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HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 8 अशोक: एक अनोखा सम्राट जिसने युद्ध का त्याग किया

Haryana State Board HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 8 अशोक: एक अनोखा सम्राट जिसने युद्ध का त्याग किया Textbook Exercise Questions and Answers.

Haryana Board 6th Class Social Science Solutions History Chapter 8 अशोक: एक अनोखा सम्राट जिसने युद्ध का त्याग किया

HBSE 6th Class History अशोक: एक अनोखा सम्राट जिसने युद्ध का त्याग किया Textbook Questions and Answers

कल्पना करो:

Class 6th History HBSE अशोक: एक अनोखा सम्राट जिसने युद्ध का त्याग किया प्रश्न 1.
तुम कलिंग में रहती हो और तुम्हारे माँ-बाप को युद्ध में काफी क्षति दुख उठाने पड़े हैं। अभी अभी अशोक के दूत धम्म के नए विचारों को लेकर आए हैं। आप अपने माता-पिता और संदेशवाहकों के बीच बातचीत का वर्णन करो।
उत्तर:
मेरे माता-पिता ने धम्म प्रचारकों की बातों को सुनने में पहले कोई रुचि नहीं ली। जब धम्म प्रचारकों ने कहा कि अब अशोक ने युद्ध का परित्याग कर दिया है और भविष्य में कभी भी पुनः युद्ध न करने की प्रतिज्ञा की है तो क्षण-मात्र को वे हतप्रभ हो गए और सोचने लगे कि अभी कुछ दिन पूर्व ही यहाँ पर मार-काट और हिंसा का वीभत्स दृश्य उपस्थित करने वाला सम्राट अचानक कैसे बदल गया है? उन्हें अपने कानों पर विश्वास नहीं हुआ।

धम्म से जुड़े लोगों ने मेरे माता-पिता को अशोक के घोषणा-पत्र की प्रति भी दिखाई और अशोक द्वारा युद्ध के दौरान मारे गए लोगों के प्रति व्यक्त सांत्वना-संदेश को भी पढ़कर सुनाया। अब मेरे माता-पिता को विश्वास हो गया कि वस्तुतः अशोक में अब बौद्ध धर्म के तत्व आ गए हैं। धर्म प्रचारक ने बताया कि अनुष्ठान और विविध कर्मकांड व्यर्थ हैं। मनुष्य ने अपने दासों और नौकरों के साथ अच्छा व्यवहार करना चाहिए। बड़ों का आदर करना चाहिए। वह सभी जीवों पर दया करें तथा ब्राह्मणों और श्रमणों को दान दें। एक-दूसरे के धर्मों का आदर करना चाहिए और प्रत्येक धर्म की अच्छी बातों को ग्रहण करना चाहिए। अशोक के इन उपदेशों तथा उसकी घोषणा ने मेरे माता-पिता को बहुत प्रभावित किया।

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 8 अशोक: एक अनोखा सम्राट जिसने युद्ध का त्याग किया

आओ याद करें:

HBSE 6th Class Social Science अशोक: एक अनोखा सम्राट जिसने युद्ध का त्याग किया प्रश्न 1.
मौर्य सम्राज्य में विभिन्न काम-धंधों में लगे हुए लोगों की सूची बनाएँ।
उत्तर:
मौर्य साम्राज्य में निम्नलिखित व्यवसायी और उद्यमी लोग थे:
1. लेखक
2. शिल्पी
3. चित्रकार
4. श्रमिक
5. राजगीर
6. किसान,
7. पशुपालक
8. शिकारी
9. आभूषणकार
10. धम्म महामात्य
11. जासूस
12. जुलाहे आदि।

अशोक: एक अनोखा सम्राट जिसने युद्ध का त्याग किया HBSE 6th Class Social Science प्रश्न 2.
रिक्त स्थानों को भरो:
(क) जहाँ पर सम्राटों का सीधा शासन था वहाँ अधिकारी ……………. वसूलते थे।
(ख) राजकुमारों को अक्सर प्रांतों में ……………. के रूप में भेजा जाता था।
(ग) मौर्य शासक आवागमन के लिए महत्त्वपूर्ण ……………. और ……………. पर नियंत्रण रखने का प्रयास करते थे।
(घ) प्रदेशों में रहने वाले लोग मौर्य अधिकारियों को ……………. दिया करते थे।
उत्तर:
(क) कर
(ख) राज्यपाल
(ग) मार्गों, नदियों
(घ) नजराना।

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प्रश्न 3.
बताओ कि निम्नलिखित वाक्य सही हैं या गलत:
(क) उज्जैन उत्तर-पश्चिम की तरफ आवागमन के मार्ग पर था।
(ख) आधुनिक पाकिस्तान और अफगानिस्तान के इलाके मौर्य साम्राज्य के अंदर थे।
(ग) चन्द्रगुप्त के विचार अर्थशास्त्र में लिखे गए हैं।
(घ) कलिंग बंगाल का प्राचीन नाम था।
(ङ) अशोक के ज्यादातर अभिलेख ब्राह्मी लिपि में हैं।
उत्तर:
(क) गलत
(ख) सही
(ग) सही
(घ) गलत
(ङ) सही

आओ चर्चा करें:

प्रश्न 4.
उन समस्याओं की सूची बनाएँ जिसका समाधान अशोक धर्म द्वारा करना चाहता था।
उत्तर:
(i) धार्मिक मतभेद
(ii) पशु बलि
(iii) अनुष्ठान और कर्मकाण्डजनित समस्या
(iv) हिंसा
(v) अनुदारता और
(vi) दुर्व्यवहार की समस्या।

प्रश्न 5.
धम्म के प्रचार के लिए अशोक ने किन साधनों का प्रयोग किया?
उत्तर:
(i) धम्म महामात्य की नियुक्ति
(ii) कई स्थानों पर शिलाओं और स्तंभों पर अपने संदेश खुदवाए.
(iii) अधिकारियों को निर्देश दिया कि वे स्तंभों पर उत्कीर्ण संदेशों को पढ़कर जनता को सुनाएँ
(iv) विदेशों में धम्म प्रचारक और प्रतिनिधियों को भेजा।

प्रश्न 6.
तुम्हारे अनुसार दासों और नौकरों के साथ बुरा व्यवहार क्यों किया जाता होगा? क्या तुम्हें ऐसा लगता है कि सम्राट के आदेशों से उनकी स्थिति में सुधार हुआ होगा? अपने जवाब के लिए कारण बताएँ।
उत्तर:
मेरे विचार से दासों को भरपेट भोजन नहीं दिया जाता होगा। उन्हें वस्त्र, आश्रय आदि भी सामान्य मनुष्य के पहनने, रहने योग्य नहीं दिए जाते होंगे। उनसे इच्छानुसार कार्य लिया जाता होगा। बीमार होने पर उनकी चिकित्सा व्यवस्था की ओर शायद ही ध्यान दिया जाता होगा। कमोवेश यही चीज सेवकों के साथ भी होती होगी। उन्हें सेवा का उचित पारिश्रमिक/वेतन नहीं दिया जाता होगा। उन्हें अपने परिवार और समाज में प्रचलित रीति-रिवाजों को सम्पन्न करने का समय नहीं दिया जाता होगा। उन्हें कार्यसमय में कटु बोल और धिकदंड (अपमान) का भागी बनाना पड़ता होगा। ऐसा व्यवहार दासों को राजनैतिक अधिकार न दिए जाने के कारण और वर्ण व्यवस्था के कारण किया जाता होगा।

सम्राट के आदेशों से उनकी स्थिति में अवश्य सुधार आया होगा क्योंकि:
(i) ये आदेश जीवों पर दया करने, सर्वधर्म समभाव की प्रेरणा देते हैं।

(ii) परस्पर मैत्री-भावना और एकात्मभाव से रहकर जीवन-यापन करने की जीवन-दिशा देते हैं।

(iii) आदेश अधिकारियों द्वारा जनता को पढ़कर सुनाए जाते थे। इस कारण भी जन-जागृति आई होगी और आम जनता ने अपने अधिकार को समझा होगा।

(iv) इन आदेशों में स्पष्ट किया गया था कि लोग अपने दासों और नौकरों के साथ अच्छा व्यवहार करें, शिला-स्तंभों में खुदवाने से अशोक के यह आदेश या राजाज्ञाएँ सार्वजनिक आधार प्राप्त थी, पीड़ित होने पर ये वादी को सम्राट के समक्ष अपनी फरियाद सुनाने का खुला आमंत्रण देते थे।

(v) ब्राहमणों और श्रमणों को दान देने के संदेश भी अशोक स्तंभ में उत्कीर्ण हैं। उल्लेखनीय है कि श्रमपूर्वक अर्जित धन या संपत्ति ही समाज के इस वर्ग को दान में जाती है। किसी को दान करने का विचार का उस मनुष्य में ही आएगा जो उदार मना होगा-निष्ठुर या निदय मन का व्यक्ति नहीं। जो दयावान है-वह व्यक्ति दास और सेवक ही नहीं बल्कि संसार के सभी जीवों का अस्तित्वअधिकार समझेगा और उन्हें यथोचित आदर एवं सेवाएँ प्रदान करेगा।

अशोक के आदेशों/ राजाज्ञाओं/ संदेशों उक्त में यह तथ्य छिपा हुआ है कि व्यक्ति सत्य, सहिष्णु, समभावी, शांत, निवर, परिश्रमी तथा सेवाभावी गुणों को धारण करे। इन गुणों के आने पर व्यक्ति में स्वतः ही विश्व-मानव का पवित्र व्यक्तित्व अभ्युदय लेता है। ऐसी मन:स्थिति में किसी को दास या सेवक समझने की भावना ही समाप्त हो जाएगी। इन संदेशों/राजाज्ञाओं ने जनता एवं अधिकारियों का हृदय परिवर्तन अवश्य किया होगा।

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आओ करके देखें:

प्रश्न 7.
रौशन को यह बताते हुए कि हमारे रुपयों पर शेर क्यों दिखाए गए हैं एक पैराग्राफ लिखो। कम से कम एक और चीज का नाम लें जिन पर इन्हीं शेरों के चित्र बने
उत्तर:
संभवतः
पराक्रम और वीरता का प्रतीक होने के कारण इन शेरों को लिया गया है। पराक्रम का अनुज पुरूषार्थ अर्थात मेहनत भी है। शेर जंगल का राजा है अत: यह राजमुद्रा का प्रतीक है। परिश्रम या पुरूषार्थ से कमाया गया धन ही कल्याणकारी कार्यों में खर्च होता है, जो व्यक्ति को अधिक पुरूषार्थ करने के लिए पुन: ऊर्जा प्रदान करता है तथा परिश्रमी व्यक्ति क्रमशः प्रगति करता जाता है।

इन शेरों के चित्र सारनाथ (वाराणसी) स्थित बौद्ध स्तूप के ऊपर गाड़े गए एक स्तंभलेख में हैं। वस्तुतः वहीं से इन चित्रों प्रतीकों को हमारे संविधान ने अंगीकार किया है। सरकारी कार्यालयों, दस्तावेजों, न्यायापालिका, राजस्व विभाग, पुलिस विभाग आदि में इन शेरों के प्रतीक को देखा जा सकता है।

प्रश्न 8.
अगर तुम्हारे पास अपना अभिलेख जारी करने की शक्ति होती तो तुम कौन-सी चार राजाज्ञाएँ देते?
उत्तर:
मेरी परिकल्पित राजाज्ञाएँ:
(i) अच्छे विचार और कर्म वही हैं जिनसे प्राणीमात्र (संपूर्ण जैव परिस्थितिकी) का कल्याण होता है।

(ii) आलस्य के स्थान पर चेष्टा बल, भीरूता के स्थान पर साहस/ विक्रम, षडयंत्र के स्थान पर सुनीति/रणनीति (युक्ति) प्रतीति के स्थान पर प्रमाण और विवाद के स्थान पर वार्ता करें-राजमार्ग स्वतः ही मिल जाएगा।

(iii) दूसरों का अनुकरण आत्महत्या है लेकिन अनुसरण एक वैज्ञानिक प्रक्रिया (प्रेक्षण, निरीक्षण, प्रयोग एवं निष्कर्ष) है-अनुसरण करें-अनुकरण (नकल) नहीं।

(iv) मस्तिष्क चेतना का घर है-इसके परिसर और कक्षों को प्रतिदिन विचारों की विशुद्ध सामग्री देकर सुवासित, सुरम्य और स्वच्छ रखें। आत्मनिरीक्षण, विश्लेषण और सामान्यीकरण से सुंपुष्ट बोध को आसन दें और उसके प्रकाश में सर्व हितकारी कार्यों को संपन्न करें।

(v) बृहत्तर आकार के समाज की एक व्यवस्था शासन है जिसका उद्देश्य समाज की इकाई (व्यष्टि) को ध्यान में रखकर संपूर्ण समाज को परस्पर सौहार्द, समन्वय और एकात्मता के साथ जीवन व्यतीत करने का अवसर परिस्थितियाँ/दशाएँ प्रदत्त करने का है। इस अर्थ में “शासक” वस्तुतः “जन-शासित” है। जनता की सेवार्थ चुना गया है। “सभी में और सभी के साथ” ही शासक शब्द का गूढार्थ है।

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 8 अशोक: एक अनोखा सम्राट जिसने युद्ध का त्याग किया

HBSE 6th Class History अशोक: एक अनोखा सम्राट जिसने युद्ध का त्याग किया Important Questions and Answers

अति लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
भारतीय रुपये में तीन शेरों के चित्र क्यों छापे गए हैं?
उत्तर:
भारत-सरकार द्वारा सारनाथ के स्तंभ में प्रकीर्ण इस प्रतीक को राजमुद्रा प्रतीक के रूप में अंगीकार दिया गया है। इसके विभिन्न सरकारी मंत्रालय, कार्यालयों, सभा-गृहों आदि के दस्तावेजों, आसनों, आवरणों आदि के ऊपर सज्जित देखा जा सकता है। त्याग की भावना से परिपूर्ण अशोक स्तंभ को सम्मान देने तथा इन चित्रों को गूढार्थ रहने से इस चित्र को स्वीकार किया गया।

प्रश्न 2.
“शेर” एक वन्य पशु किस अन्तर्जात गुण का प्रतीक है?
उत्तर:
पराक्रम, साहस और ऊर्जा का।

प्रश्न 3.
क्या सारनाथ के स्तंभ में भी तीन शेर दिखाए गए हैं?
उत्तर:
नहीं, इसमें एक शेर का मुख पीछे की ओर है जिसको मुद्रण में नहीं दिखाया जा सका है। इस प्रकार चार शेर हैं जो चतुर्दिक पराक्रम, आभा (प्रभाव) और सतर्कता गुणों (अन्तर्जात) के प्रतीक हैं।

प्रश्न 4.
नोटों में शेरों के साथ और क्या-क्या हैं?
उत्तर:
स्तंभ में शीर्षफलक के ऊपर ये शेर हैं। शीर्ष फलक के बीच में धर्मचक्र (24 तीलियाँ अथवा मानव व्यक्तित्व के अपेक्षित गुण), बाँई ओर घोड़ा तथा दाई ओर बैल है। शीर्षफलक के आधार पर “सत्यमेव जयते” उत्कीर्ण है। इस सुभाषित (सुकथन) को मुण्डकोपनिषद् से उद्धृत किया गया है।

प्रश्न 5.
अशोक स्तंभ के ऊपर शेर कैसे बनाए गए हैं?
उत्तर:
अशोक स्तंभ पत्थर का बहुत बड़ा खम्भा है। इसके ठीक उपर पत्थरों में खुदवाकर (उत्कीर्ण करके) शेरों के चित्र बनाए गए हैं।

प्रश्न 6.
स्तंभों के माध्यम से अशोक क्या कहना चाहता था?
उत्तर:
वह शासक था अतः धर्मराज्य (लोकहितकारी नियमों वाले शासकीय नियम एवं व्यवस्था) की स्थापना करना चाहता था। एक ऐसा धर्मराज्य जिसमें शासक के अपनी प्रजा के साथ पिता-पुत्र जैसे भावात्मक संबंध बन सकें और द्वेष, दुर्भावना, ईर्ष्या, हिंसा आदि का राज्य से सर्वथा उन्मूलन किया जा सके।

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प्रश्न 7.
‘गण’ के पश्चात् ‘साम्राग्य’ व्यवस्था क्या एक क्रमिक विकास है?
उत्तर:
हाँ. “गण” में सामूहिक शासन व्यवस्था थी। कालांतर में स्वाभाविक है कि नियमों का उल्लघन होने से इनमें संघर्ष हुआ होगा और शासकों का मन व्यष्टि राजवंश स्थापित करने का बना होगा। इस दिशा में उनका चिन्तन ही “साम्राज्य व्यवस्था” या “आनुवांशिक राजवंश व्यवस्था” को अस्तित्व में लाया होगा।

प्रश्न 8.
अशोक के राज्य को साम्राज्य क्यों कहा जाता.
उत्तर:
साम्राज्य “गण” की तुलना में काफी अधिक विस्तारवाला होता है। साम्राज्य में एक ही राजवंश कई पीढ़ियों तक शासन करता है। शासन प्रणाली राजतंत्र की होती है।

प्रश्न 9.
राजवंश से आप क्या समझते हैं?
उत्तर:
जब एक ही परिवार की कई पीढ़ियाँ क्रमशः राजा के पद को विभूषित करती हैं तो ऐसे परिवार को राजवंश कहा जाता है। उदाहरणार्थ-मौर्य वंश, गुलाम वंशा

प्रश्न 10.
मौर्य साम्राज्य के प्रमुख शासकों के नाम लिखिए।
उत्तर:
चन्द्रगुप्त मौर्य, बिन्दुसार एवं अशोक।

प्रश्न 11.
अशोक के स्तंभ लेख कहाँ-कहाँ पाए जाते हैं?
उत्तर:
(i) सन्मति (कर्नाटक).
(ii) मसीद (तमिलनाडु),
(iii) ब्रहमगिरि (महाराष्ट्र).
(iv) ईरावदी (आंध्र-प्रदेश),
(v) साँची (मध्य प्रदेश).
(vi) रूपनाथ (छत्तीसगढ़).
(vii) बहापुर (दिल्ली),
(viii) मेरठ,
(ix) रामपुरवा (नेपाल), लौरिया, नंदनगढ़ (बिहार) सोपारा (महाराष्ट्र) तथा गिरनार (गुजरात)।

प्रश्न 12.
मौर्यकाल के प्रमुख नगरों के नाम लिखिए।
उत्तर:
(i) उज्जैन
(ii) तक्षशिला
(iii) पाटलिपुत्र
(iv) कलिंग।

प्रश्न 13.
उज्जैन कहाँ था?
उत्तर:
उत्तर से दक्षिण की ओर जाने के मार्ग पर आधुनिक मध्य प्रदेश में।

प्रश्न 14.
राज्यों से साम्राज्य किस अर्थ में भिन्न थे?
उत्तर:
(i) राज्यों की तुलना में साम्राज्यों का क्षेत्र विस्तृत था।
(ii) साम्राज्य में राज्यों की तुलना में अधिक बड़ी सेना आवश्यक थी।
(iii) संसाधनों को एकत्रित करने के लिए उन्हें कर वसूली करने वाले कर्मचारियों एवं अधिकारियों की बड़ी संख्या में नियुक्ति करनी पड़ती थी।

प्रश्न 15.
साम्राज्य का शासन कैसे चलाया जाता था?
उत्तर:
साम्राज्य दो भागों में बंटा था – (i) केन्द्र और (ii) प्रांत। केन्द्र में राजा था और अपनी सहायता के लिए विविध अधिकारियों, कर्मचारियों, सैनिकों, गुप्तचरों आदि की नियुक्ति करता था। प्रांत में राज्यपाल शाही खानदान के व्यक्ति बनाए जाते थे। तात्पर्य यह है कि शक्तियों का विकेन्द्रीकरण किया गया था।

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प्रश्न 16.
मौर्यों की केन्द्रीय और प्रांतीय राजधानियाँ कहाँ थी?
उत्तर:
केन्द्रीय राजधानी पाटलिपुत्र में और प्रांतीय राजधानी तक्षशिला एवं उज्जैन में।

प्रश्न 17.
क्या प्रांतों पर केन्द्र का नियंत्रण भी रहता था?
उत्तर:
हाँ। राजा के गुप्तचर एवं अन्य अधिकारी प्रांतों में होने वाली गतिविधियों की सूचना राजा को देते रहते थे।

प्रश्न 18.
प्रांतों का शासन किस आधार पर चलाया जाता था?
उत्तर:
प्रांतों में प्रचलित रीति-रिवाज और सामाजिक नियमों के अनुसार।

प्रश्न 19.
केन्द्र और राज्यों के बीच मौर्य शासकों का नियंत्रण किस पर रहता था?
उत्तर:
सड़कों (मागों) और नदियों पर। यहाँ से माल की डुलाई व्यापारिक प्रयोजनों से की जाती थी।

प्रश्न 20.
कर और नजराने में क्या अन्तर है?
उत्तर:
कर की वसूली एक निश्चित अवधि में निरंतर की जाती थी लेकिन नजराना अधीनस्थ राज्य के राजा आदि से किसी भी समय मिल सकता था। कर राशि मुद्रा या वस्तु रूप में होती थी जबकि नजराना स्वेच्छा से विविध वस्तुओं के रूप में उपहारस्वरूप दिया जाता था।

प्रश्न 21.
क्या मौर्यों का वन-क्षेत्रों पर भी नियंत्रण था?
उत्तर:
हाँ। क्योंकि अर्थशास्त्र के विवरण अनुसार मौर्य शासक वनों में रहने वाले लोगों से हाथी, ईमारती लकड़ी, शहद और मोम. को कर के रूप में लेते थे।

प्रश्न 22.
चन्द्रगुप्त मौर्य के दरबार में मैगस्थनीज को राजदूत बनाकर किसने भेजा था?
उत्तर:
सेल्युकस निकेटर ने।

प्रश्न 23.
मैगस्थानीज का नाम इतिहास में क्यों प्रसिद्ध है?
उत्तर:
मैगस्थनीज ने मौर्य शासन काल का संपूर्ण विवरणअपनी एक पुस्तक ‘इण्डिका’ में संकलित किया है।

प्रश्न 24.
आप ऐसा क्यों सोचते हैं कि राजा का भोजन चखने वाला एक सेवक भी रहा होगा?
उत्तर:
मैगस्थनीज के विवरण से पता चलता है कि राजा सार्वजनिक स्थानों पर विशेष अंगरक्षकों, तथा प्रशिक्षित लोगों के साथ पालकी में जाता था। वह स्वभाव से कायर किस्म का एवं शंकाल व्यक्ति था। शत्रु भोजन में किसी युक्ति से विष न मिला दें अत: विष प्रभाव को परीक्षा के लिए वह किसी सेवक से उसे चखवाता था।

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प्रश्न 25.
अशोक मौर्य वंश का सर्वाधिक लोकप्रिय शासक कैसे बना?
उत्तर:
वह अपने राजवंश के अन्य राजाओं से भिन्न मनोवृत्ति वाला शासक था। वह शांतिपूर्ण सहअस्तित्व, समता और न्याय को आदर्श शासन का सार समझता था। प्रजा के अन्तर्जात गुणों को उज्ज्वल बनाने के लिए उसने पत्थर की ऊंची-ऊँची लाटों (स्तंभों) पर अपनी राजाज्ञाएँ उत्कीर्ण कराई कि जीवों पर दया करो, अपने लिए जो प्रतिकूल हो उसको दूसरे के लिए न करो। जन-कल्याणकारी ‘विविध कार्य करने से ही वह जन या लोकप्रिय शासक बना। उसको “प्रजानाम् प्रियदर्शी” उपनाम भी दिया गया है।

प्रश्न 26.
अशोक अपनी भावी पीड़ी से युद्ध के स्थान पर धर्म (धम्म) के विस्तार की दिशा में विचार करने की अपेक्षा क्यों रखता होगा?
उत्तर:
युद्ध, आक्रामक मानसिकता का प्रतीक है। ऐसी आक्रामकता अज्ञान के अति-अंधकार में जन्म लेती है और दिन के प्रकाश में क्षत-विक्षत शरीरों, घायलों की चीख-पुकार, आश्रितों का मान्तक विलाप आदि के दर्शन कराती है। इसके विपरीत धर्म जीवन को किसी नियमित क्रम, उपक्रम, दर्शन, प्रेक्षण, चिन्तन और अन्ततः अभिव्यक्ति (वाचिक एवं व्यावहारिक) के साथ जोड़ता है। अतः यह सृजनकारी और लोकहितकारी है। प्रत्येक बुजुर्ग अपनी भावी पीढ़ी के अपने से अधिक विकासोन्मुख रहने की भावना रखता है। ऐसी ही कुछ भावना अशोक के कलिंग युद्ध के उपरांत के स्तंभ-लेख से परिलक्षित होती है।

प्रश्न 27.
धर्म क्या है? अशोक का धम्म क्या था?
उत्तर:
धर्म या धम्म शालीन, संयमित एवं नियमित मानव जीवन की एक कार्य-विधि है। अशोक का धम्म बौद्ध था अतः अहिंसा, दया, प्रेम, मानवता एवं त्याग के गुणों से परिपूरित और प्रेरणादाई था।

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प्रश्न 28.
अशोक के कल्पित धर्म-राज्य का उल्लेख कीजिए।
उत्तर:
अशोक ऐसा धम्म राज्य चाहता था जिसमें परिवार से लेकर देश तक समस्त नागरिक सभ्यता और शिष्टाचार का पालन करें। संतान अपने माता-पिता की आज्ञाकारिणी हो, पड़ोसी, सेवक, दास किसी को मानसिक ठेस या अपमान की अनुभूति न हो, सभी लोग सौहार्दमय यूथचारिता से एकात्मवादी बनें तथा उनमें राष्ट्रप्रेम परिपूरित रहे और किसी तरह के कलह, क्लेश, द्वंद, दुःख, प्रपीड़न, उत्पीड़न, दमन जैसे कुकृत्य पूर्णत: निःशेष हो जाएँ।

प्रश्न 29.
स्तंभ लेखों को पढ़वाने के लिए कर्मचारी क्यों नियुक्त किए गए होंगे?
उत्तर:
आम-जनवा साक्षर नहीं होती अत: लिखी हुई चीजों को पढ़ नहीं पाती है। इसके लिए उन्हें ऐसे कर्मचारी स्तंभ-स्थल पर एकत्रित करके बताते थे कि अशोक का धम्म राज्य क्या है? और वह अपनी प्रिय जनता के हित में क्या सोचता है।? वस्तुतः यह प्रभावशाली अनुप्रेरणा कला थी जिसने अशोक को ‘प्रजानां प्रियदी’ बनाया।

प्रश्न 30.
‘धर्म महामात्य’ पद क्या है? अशोक ने एक नए पद का सृजन क्यों किया होगा?
उत्तर:
“अमात्य” संस्कृत शब्द है जिसका अर्थ है-मन्त्री। महामात्य का अर्थ हुआ-महामंत्री। स्पष्ट है कि अशोक ने एक मंत्रालय राज्य-धर्म का भी स्थापित करवाया था। यह मंत्रालय तथा इसके कई विभाग एवं अनुभाग भारत तथा विदेशों तक विस्तृत थे। धर्म प्रचार ही इसका मुख्य कार्य था।

लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
परिस्थितियों की कौन सी पृष्ठभूमि में अशोक के “धम्म” का जन्म हुआ? विवेचना कीजिए।
उत्तर:
सिंहासन पर बैठने के पश्चात् अशोक ने देखा कि राज्य के प्रत्येक परिवार अन्तर्कलहओं और आपसी झगड़ों में लिप्त हैं। दासों और नौकरों के साथ बहुत ही अभद्र व्यवहार किया जा रहा है तथा पड़ोसी आपस में छोटी-छोटी बातों पर झगड़ रहे हैं। धर्मों के मामले में समाज के टुकड़े हो रहे हैं। इस दृश्यावली का सर्वेक्षण, आँकडा संकलन आदि करके ही अशोक ने धम्म प्रचार का संकल्प लिया होगा। इस पृष्ठभूमि की अशोक कई स्तंभलेख संपुष्टि करते हैं। वस्तुतः अशोक के “धम्म” की जन्मदाता परिस्थितियाँ यही थी।

प्रश्न 2.
कलिंग युद्ध के पश्चात् अशोक के कार्य क्या थे?
उत्तर:
(i) सर्वजनहितकारी धम्म की संकल्पना को सिद्धांत रूप में ग्रहण
(ii) धम्म को राजसंरक्षण
(iii) धम्म प्रचार
(iv) राजमार्ग, कुँओं, विहारों आदि का निर्माण
(v) मानव स्वास्थ्य की दिशा में कार्य यथा-मनुष्य और जीव-जंतुओं (पेड़-पौधे और पशु-पक्षी) के लिए चिकित्सालयों का निर्माण एवं उचित चिकित्सा व्यवस्था। चूँकि ये सभी कार्य श्रेष्ठ हैं, सभी लोगों के लिए हितकर हैं इसीलिए अशोक को “महान” संज्ञा से विभूषित किया जाता है। उसके धम्म अथवा धारणा का ही यह व्यावहारिक एवं सर्वदर्शी रूप है।

प्रश्न 3.
अशोक का अपनी प्रजा को क्या संदेश था?
उत्तर:
संतान के जन्म, विवाह, रूग्णता या किसी यात्रा पर जाने के समय लोग तरह-तरह के अनुष्ठान करते हैं। ये अनुष्ठान उपयोगी नहीं हैं। यदि इनके स्थान पर लोग अपने दासों और सेवकों के साथ मृदु व्यवहार करते, अपने से वरिष्ठ जनों को सम्मान देते, सभी जीवों पर दया करते, ब्राह्मण और भिक्षुओं को उदारतापूर्वक दान देते, सभी धर्मों के प्रति सहिष्णुता का भाव रखते तथा दूसरों के धर्मों का भी आदर करते तो निश्चित ही इन्हें श्रेष्ठ अनुष्ठान कहा जाता।

प्रश्न 4.
भारतीय मुद्रा में धर्म-चक्र सहित तीन शेरों और महात्मा गाँधी का चित्र नागरिकों से क्या अपेक्षा रखता है?
उत्तर:
सत्यमेव जयते:
‘सत्य ही विजयी होता है।’ के अंकन सहित धर्म-चक्र की 24 तीलियाँ मानवीय 24 गुणों की परिचायक हैं और तीन शेर (मूलतः चार है) पराक्रम, पुरुषार्थ तथा धैर्य के प्रतीक हैं। शीर्षफलक पर बाँई ओर घोड़ा और दाई ओर बैल क्रमशः ऊर्जा और परिश्रम के प्रतीक हैं। मुद्रा किसी न किसी संव्यवहार के अन्तर्गत ही विनिमय का माध्यम है अत: नागरिक को इन गुणों का निरंतर ध्यान दिलाती है।

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प्रश्न 5.
सिकंदर ने भारत पर कब आक्रमण किया?
उत्तर:
सिकंदर यूनान का शासक था। वह बहुत महत्त्वाकांक्षी था। वह विश्व-विजेता का संकल्प लेकर निरंतर युद्ध कर रहा था। उसने सबसे पहले ईरान के सम्राट को हराकर उसका साम्राज्य अपने अधिकार में ले लिया। उसने भारत पर लगभग 2326 वर्ष पूर्व आक्रमण किया था। उसने भारत में पंजाब और कुछ अन्य प्राप्तों को भी जीत लिया था, परन्तु मौर्य शासक की धाक सुनकर उसने – आगे बढ़ना छोड़ दिया और वापस लौट पड़ा। लगभग 2323 वर्ष पूर्व उसकी मृत्यु हुई।

प्रश्न 6.
पंजाब प्रांत को अधिकार में लेने की चन्द्रगुप्त मौर्य की युक्ति का उल्लेख कीजिए।
उत्तर:
चन्द्रगुप्त मौर्य के राजा बनने के समय पंजाब पर सिकंदर का सेनापति सेल्युकस निकेटर राज्यपाल की हैसियत से शासक था। चन्द्रगुप्त मौर्य ने सेल्युकस के विरूद्ध युद्ध छेड़ दिया और भीषण संग्राम के पश्चात् उसने सेल्युकस को पराजित कर दिया। संधि में सेल्युकस ने चन्द्रगुप्त को अपनी पुत्री ब्याह कर दामाद बना लिया था। इस तरह आधुनिक अफगानिस्तान वाला क्षेत्र मौर्य साम्राज्य में मिला लिया गया।

प्रश्न 7.
सर्वाधिक साम्राज्य विस्तार करनेवाले मौर्य शासक का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
अशोक ही मौर्य साम्राज्य का सर्वाधिक विस्तार करने वाला शासक था। उसने अपने शासन काल में कलिंग राज्य को जीतकर साम्राज्य का सीमा विस्तार किया। उसके पितामह चन्द्रगुप्त मौर्य ने मगध के साथ ही भारत के एक विशाल भू-भाग तक साम्राज्य विस्तार किया था। उसके पिता बिन्दुसार ने इस साम्राज्य की सीमा- दक्षिण में मैसूर तक पहुँचाई थी। अशोक के शासन काल में कलिंग (उड़ीसा) तक पुनः विस्तार होने से हम अशोक को ही सर्वाधिक साम्राज्य विस्तार करने वाला शासक या सर्वाधिक बड़े साम्राज्य का शासक कह सकते हैं।

प्रश्न 8.
मैगस्थनीज द्वारा वर्णित चन्द्रगुप्त मौर्य कालीन भारत की राजनैतिक, सामाजिक और आर्थिक दशा को संक्षेप में बताइए।
उत्तर:
मैगस्थनीज ने अपनी पुस्तक ‘इंडिका’ में चन्द्रगुप्त के शासन काल की बातें संकलित की हैं। इस पुस्तक के अनुसार:
(i) चन्द्रगुप्त:
एक योग्य और शक्तिशाली शासक था। उसके पास विशाल सेना थी और वैभवपूर्ण जीवन व्यतीत करता था। स्तंभ लेखों के अनुसार प्रजा हित में कार्य करने को उसने अपना दायित्व स्वीकार किया था।

(ii) राजधानी:
चन्द्रगुप्त की राजधानी पाटलिपुत्र थी। यह एक सुंदर नगर था जिसके चारों ओर मजबूत दीवारें बनी हुई थी। राजमहल लकड़ी से निर्मित था और नक्काशीदार पत्थरों से अलंकृत किया गया था।

(iii) बरबार:
चन्द्रगुप्त के दरबार के बाहर फाटक में एक घंटी लटकी रहती थी और पीड़ित व्यक्ति (फरियादी) किसी भी समय उसको खींचकर शासक से न्याय की मांग कर सकता था। शासक इसमें किसी तरह की कोताही नहीं बरतता था।

(iv) आम-जनता और उद्योग-धंधे:
प्रजा का अधिसंख्यक वर्ग कृषक था। वे अपनी भूमि या राजा की भूमि पर खेती करते थे। नगरों में शिल्पी, लेखक, बढ़ई, लोहार और कम्मकार (कर्मकार) आदि दस्तकार एवं श्रमजीवी रहते थे। व्यापार की दशा उन्नत थी। समाज का एक बहुत बड़ा भाग सेना में भर्ती था क्योंकि मौर्य शासकों की विशाल सेना थी। सर्वत्र सुख-शांति थी, अपराध बहुत कम होते थे क्योंकि दण्ड-व्यवस्था बहुत ही कठोर थी।

प्रश्न 9.
अशोक ने प्रजा की भलाई के लिए कौन-2 से कार्य किए?
उत्तर:
अशोक को इतिहास में एक महान सम्राट कहा गया है। वह प्रजा को अपनी संतान जैसा मानता था। एक अच्छे पिता की तरह उसने प्रजा की भलाई के निम्नलिखित कार्य किए:
(क) रोगी मनुष्यों और पशुओं के लिए औषधालय और अस्पताल बनवाए।
(ख) यात्रियों की सुविधा का ध्यान रखा, लंबी-लंबी सड़कों का निर्माण कराया तथा उनके दोनों ओर छायादार वृक्ष लगवाए।’ . (ग) मार्ग में कुएँ. बाबड़ी और जलाशयों का निर्माण कराया।
(घ) स्थान-स्थान पर धर्मशालाएँ, अतिथि-गृह, विश्राम-गृह आदि का निर्माण कराया।
(ङ) अहिंसा और धर्म का प्रचार करने के लिए धर्म महामात्यों की नियुक्ति की।
(च) भिक्षु और भिक्षुणियों के रहने हेतु संघाराम और विहार बनवाए।

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 8 अशोक: एक अनोखा सम्राट जिसने युद्ध का त्याग किया

प्रश्न 10.
अशोक की शासन व्यवस्था में अधिकारी तन्त्र को कौन-कौन से कार्य सौंपे गए थे?
उत्तर:
अशोक के शासन काल में अधिकारीतंत्र/वर्ग को निम्नलिखित कार्य सौंपे गए थे:
(क) कर इकट्ठा करना: कुछ अधिकारी गाँव-गाँव घूमकर कर-संग्रह करते थे। वे कर का पूरा हिसाब-किताब रखते थे।

(ख) न्याय करना: इसके लिए न्यायाधीशों की नियक्ति की गई थी। मामले की गहरी छान-बौन करवाकर ही वे फैसला सुनाते थे। अशोक के काल में दण्ड व्यवस्था अत्यधिक कठोर नहीं

(ग) लेखा रखना: पशुओं और लोगों की निश्चित समय पर गणना करने के लिए भी कुछ अधिकारी नियुक्त किए गए थे। इस विभाग की शाखायें गाँव-गाँव तक फैली थी।

(घ) धर्म प्रचार करना: एक मंत्रालय की स्थापना और उसके अधिपति धम्म महामात्य की नियुक्ति करना धर्म-प्रचारको की बड़ी संख्या में नियुक्ति की गई थी। वे राज्य में घूम-घूम कर लोगों को धर्म का सार समझाते थे। वे ही ग्रामीणों एवं अन्य नागरिकों की शिकायतें सुनकर उनका उपयुक्त फैसला भी करते थे। अधिकारी प्रजा में एकता, आत्मीयता, एकात्मता और देश-प्रेम जगाने की दिशा में चेष्टा करते थे।

अशोक: एक अनोखा सम्राट जिसने युद्ध का त्याग किया Class 6 HBSE Notes in Hindi

1. भारतीय नोटों में गाँधी जी का मुस्कराता चित्र क्यों दिया गया होगा?: राष्ट्र नागरिकों को कर्मवीर और संकल्प वीर राष्ट्रपिता की स्मृति कराने हेतु।
2. भारतीय मुद्रा में अंगीकार किया गया तीन सिहों का चित्र कहाँ से लिया गया है?: गौतम बौद्ध के प्रथम उपदेश स्थल सारनाथ (इलाहाबाद) के स्तूप से।
3. सिहों का मुद्रांकन किस वस्तु पर किया गया है?: एक ऊँचे पाषाण स्तंभ पर उत्कीर्ण है।
4. मौर्य वंश की नींव किसने रखीं?: चन्द्रगुप्त मौर्य ने।
5. चन्द्रगुप्त का संरक्षक, प्रधानमंत्री एवं गुरू कौन था?: विष्णुगुप्त। इन्हें गुरूकुल के प्राचार्य-चणक का पुत्र होने के कारण चाणक्य कहा गया है।
6. चाणक्य रचित पुस्तक का नाम: अर्थशास्त्र।
7. मौर्य वंश के प्रभावशाली एवं प्रतापी राजा कौन थे?: चन्द्रगुप्त मौर्य, बिन्दुसार, अशोक-आनुवांशिक पद।
8. तक्षशिला राजधानी क्यों प्रसिद्ध थी?: पश्मिोत्तर भारत और मध्य एशिया का संपर्क स्थल।
9. ग्रामीणों और पशुपालकों की बस्तियाँ कहाँ थी?: मध्य भारत में।
10. मौर्यकाल के प्रमुख अधिकारी: कर-समहर्ता, राजदूत गुप्तचर, राज परिवार के सदस्य, राज्यपाल।
11. पाटलिपुत्र नगर की क्या विशेषताएँ हैं?: मोटी दीवारों वाली चारदीवारी, 570 गुंबद और 64 फाटक, लकड़ी और कच्ची इंटों के घर, पत्थर की नक्काशीवाला काष्ठ निर्मित राजमहल तथा उद्यान एवं उपवन।
12. युद्ध त्याग की प्रेरणा क्या थी?: राज्य को युद्ध और जन-संहार से जीतने की बजाए धम्म से मानव हृदय को जीतना अधिक श्रेयस्कर है।
13. धम्म क्या है?: संस्कृत शब्द धर्म का प्राकृत भाषा में पर्याय।
14. अशोक के संदेश कैसे प्रसारित हुए?: इन्हें चट्टानों और स्तंभों में उत्कीर्ण कराया गया।
15. अशोक ने कौन-कौन से देशों में बौद्ध धर्म का प्रचार कराया?: सीरिया, मिन, यूनान और श्रीलंका।
16. अशोक क्यों चाहता था कि कर्मकांडों पर आस्था न रखें बल्कि जीवों पर दया करें?: वह बौद्ध धर्म का अनुयायी था और इसमें अहिंसा तथा प्रेम पर बल दिया गया है।
17. अन्य धर्मों के बारे में अशोक का क्या विचार था? सहिष्णुता और उनके अच्छे अंशों को समझने की चेष्टा।
18. ब्राह्मी लिपि से किन-किन लिपियों का उद्भव हुआ है?: देवनागरी, बंगाली, मलयालम् और तमिल।
19. चीन की दीवार कितनी लंबी है?: 6400 किमी.

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HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 3 भोजन : संग्रह से उत्पादन तक

Haryana State Board HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 3 भोजन : संग्रह से उत्पादन तक Textbook Exercise Questions and Answers.

Haryana Board 6th Class Social Science Solutions History Chapter 3 भोजन : संग्रह से उत्पादन तक

HBSE 6th Class History भोजन : संग्रह से उत्पादन तक Textbook Questions and Answers

कल्पना करो:

अगर तुम्हारे पास जमीन का एक छोटा-सा टुकड़ा हो तो तुम उसमें कौन-सी फसल उगाओगी। बीज कहाँ से मिलेंगे? और तुम उन्हें कैसे बोओगी? अपने पौधों की देखभाल तुम कैसे करोगी? और कैसे यह समझोगी कि अब फ़सल काटने लायक हो गई है?
उत्तर:
संकेत –
छात्र सबसे पहले यह देखें कि वे कौन-से क्षेत्र में निवास करते हैं। वहाँ की जलवायु, तापमान, ऋतु-परिवर्तन प्रभाव आदि को झेलने में सक्षम या अनुकूलन सामर्थ्य रखने वाली फसलें कौन सी हैं? कृषि विज्ञान से हमें यह जानकारी प्राप्त होगी। आप दिल्ली में हैं तो मुखजन के साथ पूसा रोड स्थित कृषि अनुसंधान संस्थान में जाएँ तथा वहाँ के संबंधित प्राधिकारी से अपनी जिज्ञासाएँ शांत करवाएँ। टेलीफोन डायरेक्टरी के हरेपन्ने प्राधिकारियों के विशेष फोन नम्बर रखते हैं। इसलिए व्यष्टि संपर्क साध कर भी अपनी जिज्ञासा का शमन कराया जा सकता है। इस जानकारी के पश्चात् प्रयोग करें-अपने पिछवाड़े बगीचे में/पार्क में अनुमति लेकर विद्यालय प्रांगण की क्यारियों में। उदाहरणार्थ-रबी की फसलें नवम्बर माह के प्रथम सप्ताह में बोई जाती हैं तथा मई माह में काटी जाती हैं। खरीफ की फसलें (मोटे अनाज की फसलें) मई माह के अंत में बोई और सितम्बर के अन्तिम सप्ताह में काटी जाती हैं।

रखवाली करने के लिए किलों के चारों ओर ऊंची दीवार, जाली-आवरण, रखवाले की नियुक्ति/प्रतिदिन स्वनिरीक्षण तथा कृषि विज्ञान में वर्णित साधनों का समय-समय पर अनुप्रयोग करते हुए पौधों के पोषण और वर्धन की दिशा में प्रयास।

आओ याद करें:

भोजन संग्रह से उत्पादन तक प्रश्न उत्तर HBSE 6th Class Social Science प्रश्न 1.
खेती करने वाले लोग एक ही स्थान पर लंबे समय तक क्यों रहते थे?
उत्तर:
फसलों को उगाने की एक निश्चित ऋतु होती है। ऋतु आधार पर फसलों को खरीफ, जायद और रबी की फसल ऋतु में बाँटा गया है। बागवानी के वृक्ष यथा-सेब, आडू, आम, अमरूद, अनार आदि को उगाने के लिए कई वर्ष तक केवल परिश्रम करना पड़ता है और फिर लगातार प्रतिवर्ष, छ: माह, चार माह आदि के क्रम में बीसियों वर्ष तक फल देते रहते हैं। इन्हीं कारणों से फसल उगाने वाले लोगों या कृषकों को व्यवस्थित जीवन जीना पड़ता है। अब वे इधर-उधर घूम नहीं सकते थे।

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 3 भोजन : संग्रह से उत्पादन तक

bhojan sangrah se utpadan tak HBSE 6th Class Social Science प्रश्न 2.
एन.सी.ई.आर.टी.की पाठ्यपुस्तक के पृष्ठ 25 की तालिका को देखो। नुओ अगर चावल खाना चाहती है, तो उसे किन स्थानों पर जाना चाहिए।
उत्तर:
उत्तर प्रदेश में स्थित महागड़ नामक स्थानों में से किसी एक में।

HBSE 6th Class Social Science भोजन संग्रह से उत्पादन तक प्रश्न उत्तर प्रश्न 3.
पुरातत्त्वविद् ऐसा क्यों मानते हैं कि मेहरगढ़ के लोग पहले केवल शिकारी थे, और बाद में उनके लिए पशुपालन ज्यादा महत्त्वपूर्ण हो गया?
उत्तर:
पुरातत्व स्थलों में से एक स्थल मेहरगढ़ वर्तमान ।पाकिस्तान में पड़ता है। यह बोलन दर के पास है। तीन स्तरों में प्राप्त सामग्री में पहले स्तर पर जंगली पशुओं (हिरन और सूअर) – की हड्डियाँ पाई गई हैं और बाद में भेड़ और बकरी की हड्डियाँ पाई गई हैं। इससे पता लगता है कि आदिमानव ने सबसे पहले शिकार करके पेट भरा होगा और बाद में पशुपालक बना होगा। खोदते समय सबसे नीचे जो चीजें प्राप्त होती थीं उन्हें पुरा-पाषाण काल की चीजें माना गया और क्रमशः ऊपरी पत्तों की चीजें अनुवर्ती समय की मानी गईं।

प्रश्न 4.
सही या गलत बताओ।
(अ) हल्लूर में ज्वार-बाजरा मिला है।
(ब) बुर्जाहोम में लोग आयताकार घरों में रहते थे।
(स) चिरौंद कश्मीर का एक पुरास्थल है।
(द) जेडाइट, जो दाओजली हेडिंग में मिला है.चीन से लाया गया होगा।
उत्तर:
(अ) सत्य
(ब) असत्य
(स) असत्य
(द) सत्य

आओ चर्चा करें:

प्रश्न 5.
कृषकों-पशुपालकों का जीवन शिकारी-खाद्य संग्राहकों के जीवन से कितना भिन्न था, तीन अंतर बताओ।
उत्तर:
कृषकों-पशुपालको और शिकारी-खाद्य संग्राहकों के जीवन में विभेद:
(i) आखेटक-संग्राहक जीवन भ्रमणशील था जबकि कृषक-पशुपालक जीवन व्यवस्थित था।
(ii) आखेटक-संग्राहक जीवन में मनुष्य असुरक्षा रहित, प्रकृति के प्रकोप से पीड़ित और छोटे-छोटे समुदायों में भटकता रहता था जबकि कृषक-पशुपालक जीवन के उपरांत परिवार, समुदाय, समाजश् संगठन आदि बनने लगे।
(iii) खेटकसंग्राहक जीवन व्यक्ति-जीवन को प्रत्येक आदिमानव सभी क्रियाओं के लिए स्वयं ही उत्तरदायी था। जबकि कृषक-पशुपालक जीवन में कार्यों का विकेन्द्रीकरण या विभाजन एवं जिम्मेदारियों का हस्तांतरण होने लगा था। व्यष्टि प्रबंधन की परिगति सामूहिक प्रबंधन में तब्दील हो गई थी।

प्रश्न 6.
एन.सी.आर.टी.की पाठ्यपुस्तक पृष्ठ संख्या 25 की तालिका में दिए गए जानवरों की एक सूची बनाओ और यह भी बताओ कि इनका उपयोग किस रूप में किया जाता था।
उत्तर:
चौपाए पशु: हाथी, घोड़ा, गाय, बैल, बकरी, कुत्ता, भैंस, ऊँट, भेड़। । हाथी, ऊँट तथा घोड़ा: भार-वहन और जुताई आदि करने, प्रामान ढोने में। गाय, बैल: बैलों का प्रयोग हल जोतने, अनाज की मैड़ाई करने, सामान ढोने में। गाय का उपयोग दूध प्राप्त करने, गोबर से खाद बनाने आदि में।
बकरी और भेड़: दूध दुहने और गोश्त खाने में।
भैंस: दुध-दुहने, हल जोतने और उनके चमड़े से कृषि एवं बर के बहुत से उपकरण एवं पैरों के जूते तैयार करने में।
कुत्ता: घर की रखवाली के लिए।

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आओ करके देखें:

प्रश्न 7.
तुम जिन अनाजों को खाते हो उनकी एक सूची बनाओ।
उत्तर:
खाद्यान्नों का वर्गीकरण:
(i) अनाज
(ii) दालें
(iii) तिलहन
(iv) मसाले
(v) मेवे आदि में किया जाता है।

(i) अनाज: अनाज भी दो प्रकार के होते हैं:

  • मोटे अनाज: मक्का, ज्वार, बाजरा, कोदो , जई, जौ आदि।
  • अन्य पौष्टिक अनाज: चावल, गेहूँ आदि।

(ii) दालें: मसूर, अरहर, उड़द, मूंग, मल्का , चना, कुल्पी आदि।
(iii) तिलहन: सरसों, तिल, मूंगफली, सूर्यमुखी, कमल-बीज, कुसुम्भा
(iv) मसाले: काली मिर्च, लौंग, इलायची, धनिया, सौंफ, जौरा, राई, दालचीनी, अदरक, लहसुन, हींग, अजवाइन आदि।
(v) मेवे: काजू, किशमिश, बादाम, छुहारे, खजूर, मुनक्का आदि।

प्रश्न 8.
प्रश्न 7 के उत्तर में लिखे अनाजों को क्या तुम स्वयं उगाते हो? अगर हाँ, तो एक तालिका बनाकर उसकी खेती की विभिन्न अवस्थाओं को दिखाओ। अगर नहीं, तो एक तालिका बनाकर दिखाओ कि ये अनाज किसान से लेकर तुम्हारे पास तक कैसे पहुँचे।
उत्तर:
प्रश्न 7 में वर्णित सभी खाद्यान्न एक ही स्थल पर उगाए जाने असंभव हैं क्योंकि उनके लिए उपयुक्त भूमि, तापमान, जल एवं वायु एक ही स्थान पर मिल पाना असंभव है। उदाहरणार्थ: इलायची को नीलगिरि की पहाड़ियों (इलायची की पहाड़ियों) में उगाया जाता है, जहाँ का तापमान, वर्षा, मिट्टी आदि उत्तर प्रदेश के उस मैदानी भाग से एकदम भिन्न है जहाँ गेहूँ और चावल उगाए जाते हैं। यहाँ पर हम केवल गेहूँ उगाने की अवस्थाओं वाली तालिका को नमूने के रूप में दे सकते हैं:
(अ) गेहूँ उगाने की अवस्थाएँ:
1. खेतों की जुताई कम से कम दो बार करना और उसमें कंपोस्ट खाद मिलाना।
2. तीसरी जुताई में छिटककर बीज बोना।
3. तीन सप्ताह पश्चात् पहली सिंचाई करना और पोटेशियम फास्फेट का छिड़काव करना।
4. अंकुरण पश्चात दो माह के भीतर निराई करना एवं खरपतवार को हटाना।
5. आवश्यकतानुसार फाल्गुन मास में वर्षा न होने पर दूसरी सिंचाई करना।
6. मई मास में फसल को काटना और माँड़ना।

(ब) खाद्यान्नों का किसानों से हम तक पहुँचना:
(i) गेहूँ की सहकारी समिति द्वारा किसानों के पास जाकर कोठारों से गेहूँ का (Procurement) करना और उन्हें निश्चित मुल्य का भुगतान करना। अथवा-किसान द्वारा स्वयं मंडी में जाकर भाव-ताव तय करना और आढ़ती को गेहूँ आदि बेचना।
(ii) ट्रक, ट्राली आदि में खाद्यान्न का बाजार पहुँचना।
(iii) बाजार से खाद्यान्नों की उन स्थानों के लिए डुलाई करना जहाँ उन्हें नहीं उगाया जाता है। ढुलाई के साधन रेल, सड़क परिवहन आदि हैं।

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 3 भोजन : संग्रह से उत्पादन तक

HBSE 6th Class History भोजन : संग्रह से उत्पादन तक Important Questions and Answers

अति लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
हमारा आधुनिक भोजन कहाँ से आता है?
उत्तर:
सुदूर गाँवों से जहाँ व्यवस्थित कृषि की जाती है और पशु पाले जाते हैं।

प्रश्न 2.
कृषक वर्ग से भिन्न द्वितीयक, ततीयक और चतुर्थक कार्य करने वाले लोगों को भोजन कैसे मिल पाता है?
उत्तर:
देश में एक व्यवस्थित विनियम दर रहने, मुद्रा में प्रत्येक उत्पादन इकाई की कीमत के पारदर्शी नियमन रहने और घरेलू बाजार तथा परिवहन व्यवस्था अत्यधिक त्वरित रहने के कारण। श्रम मूल्य में खाद्यान्नों को खरीदने की सामर्थ्य निहित रहती

प्रश्न 3.
खाद्यान्नों की एक फसल स्थानविशेष में ही क्यों होती है?
उत्तर:
तापमान, जलवायु, वर्षा, सूर्य के प्रकाश, वाय-विक्षोभ एवं दाब आदि के भिन्न-भिन्न रहने के कारण।

प्रश्न 4.
पहाड़ों की सूखी और उबड़-खाबड़ चोटियों के आस-पास केवल भेड़-बकरी ही अधिक क्यों पाए जाते हैं?
उत्तर:
ये पशु शरीर से कम भारी रहने और अत्यधिक फुर्तीले रहने के कारण ऊबड़-खाबड़ पहाड़ियों पर चढ़कर वहाँ की घास खाने में कुशल होते हैं। बड़े पशुओं के लिए अधिक घास अपेक्षित रहती है और वे ऊबड़-खाबड़ भूमि पर अपने भारी शरीर को लेकर चढ़ भी नहीं पाते हैं।

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प्रश्न 5.
कृषि करने से पहले आदिमानव ने क्या-क्या जानकारियाँ हासिल की?
उत्तर:
(i) स्थानविशेष पर उगने वाली खाद्यान्न-फसल का चयन
(ii) उगने और परिपक्व होने के समय (ऋतु)
(iii) जल, सूर्य के प्रकाश, मिट्टी, खाद आदि की जाँच
(iv) फसल बोने और काटने के तरीके
(v) मोड़ने और उनका भंडारण करने के तरीके।

प्रश्न 6.
आदिमानव ने सबसे पहले कौन से पशु को पाला?
उत्तर:
कुत्ते को।

प्रश्न 7.
कुत्ते के पश्चात् कौन-कौन से पशु पाले गए?
उत्तर:
भेड़, बकरी, गाय, बैल, भैंस आदि सभी पशु जो घास खाकर जीवित रहने वाले तथा स्वभाव से कुछ शांत थे।

प्रश्न 8.
क्या आप अनुमान लगा सकते हैं कि सबसे पहले कुत्ते को ही क्यों पाला गया होगा?
उत्तर:
(i) शिकार करते समय कुत्तों के स्वभाव से परिचित होने के कारण उदाहरणार्थ-हिरन के गोश्त का टुकड़ा फेंकने के बाद कुत्तों का आक्रमण न करना।
(ii) कुत्ता का आदिमानव की गुफाओं के आस-पास अधिकतर मँडराते रहना और उनके साथ संगत बैठाने की चेष्टा में रहना।
(iii) कुत्तों की रखवाली करने की बुद्धि को देख एवं परख करके।
(iv) शिकार करते समय मग, बकरी आदि का पीछा करने में सहायक होने के कारण।

प्रश्न 9.
आविमानव ने जिन पौधों को उगाने की पहल की-वे अन्य जंगली वनस्पतियों से भिन्न कैसे थे?
उत्तर:
(i) सर्वथा स्वस्थ पौधों का चयन करने के कारण
(ii) अधिक अन्न उत्पादन में समर्थ पौधों की जाँच करके
(iii) मजबूत इंठल वाले और पवनों व बीजों का भार झेलने में सक्षम पौधों को चुनने में
(iv) इन फसलों के बीजों का संग्रह और सही ऋत में पुन: बयन (बुआई) करने से।

प्रश्न 10.
आदिमानव ने छोटे दाँत और सींग वाले पशु ही क्यों पाले होंगे?
उत्तर:
अपने बचाव के लिए मनुष्य हमेशा सजग रहता है। लंबी दाढ़ी और सींगों वाले पशु स्वभाव से निर्दय होंगे-इस बात को आदिमानव ने समझ लिया था। यही कारण है कि उसने अपने सहज नियंत्रण और सेवा-शुश्रूषा से प्रसन्न होने वाले पशुओं को ही पालना आरंभ किया।

प्रश्न 11.
पशु-पालन उद्योग कब से शुरू हुआ?
उत्तर:
आज से लगभग 12000 वर्ष पूर्व नव-पाषाण काल

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प्रश्न 12.
कृषि ने मनुष्य को व्यवस्थित जीवन कैसे दिया?
उत्तर:
कृषि के अंतर्गत खाद्यान्न-फसलों का उगाना सम्मिलित है। फसल उगाने के लिए उसको बोने, गुड़ाई करने, माँड़ने, काटने के साथ ही उचित रखवाली करने, खाद् देने, जुताई करने आदि की आवश्यकता निश्चित समय पर महसूस होती रहती है। किसी एक बात का ध्यान न रखने पर फसल खराब हो जाती है। शायद यही कारण था कि आदि-मानव ने घुमंतू जीवन का त्याग कर एक ही स्थान पर स्थाई तौर पर रहना आरंभ किया।

प्रश्न 13.
आविमानव अपनी फसलों का भंडारण कैसे करता था?
उत्तर:
ऐतिहासिक एवं पुरातात्विक साक्ष्यों के अनुसार आदि ।मानव मिट्टी के बड़े-बड़े बर्तनों, टोकरियों (कोठारों) अथवा भूमि में गड्ढा खोदकर उसमें अनाज का भंडार करता था।

प्रश्न 14.
क्या आप यह समझते हैं कि आखेटक-संग्राहक जीवन व्यतीत करते समय भी आदिमानव को भाँडे-बर्तनों की आवश्यकता महसूस हुई होगी?
उत्तर:
नहीं। क्योंकि उसका आहार-क्रम अस्थाई किस्म का था। उसको आग जलाना नहीं आता था। अत: कच्चा माँस ही खाता था। वनस्पतियों को भी वह कच्चे रूप में ही ग्रहण करता था। यदि उसके पास बर्तन होते भी तो इधर-उधर भ्रमण करने में वे असुविधा ही उत्पन्न करते। असल में चलता-फिरता खान-पान रहने की वजह से उसके मन में बर्तनों के अभाव का विचार ही नहीं आया होगा।

प्रश्न 15.
पालतू पशुओं को खाद्य-भंडार क्यों कहा जा सकता है?
उत्तर:
पालतू पशुओं की वंश-वृद्धि प्राकृतिक व्यवस्था से स्वतः होती रहती है। उचित चारा, दाना, आश्रय की दशा में उनसे पर्याप्त मात्रा में अण्डे एवं माँस मिलता है एवं कई तरह के कृषि कार्यों में उनका प्रयोग किया जाता है। वस्तुत: पकाई जाने वाली वस्तुएँ देर तक रहने के बाद सड़ने लगती हैं, दुर्गध देती हैं लेकिन पशु-धन के भंडार में ऐसा कुछ नहीं होता। विलम्ब से काटने की दशा में इनसे अधिक माँस ही प्राप्त होता है। इसके अलावा गोबर आदि एकत्रित कराने में पशु-धन का भंडार एक द्वितीयक उत्पादक भूमिका भी निभाता है। इस आधार पर पशुधन एक तरह से खाद्य भंडार ही है।

प्रश्न 16.
पुरातत्वविद् यह निष्कर्ष कैसे लेते हैं कि अमुक स्थान पर आदि मानव ने कृषक और पशु पालक का जीवन व्यतीत किया होगा?
उत्तर:
(i) पेड़-पौधे की किस्में
(ii) बीज आदि के अवशेष (उदाहरणार्थ- जले हुए बीजों की पहचान)
(iii) पशुओं की हड्डियाँ (जिनसे उनके पालतू होने के प्रमाण मिलते हैं)।

प्रश्न 17.
आदि मानव कैसे घर बनाता था?
उत्तर:
प्राप्त प्रमाणों के आधार पर यह ज्ञात हुआ है कि बुर्जाहोम (कश्मीर) नामक पुरातत्व स्थल में भू-गुहा वाले घरों के अवशेष हैं। ये भूमि में गहरे खोदे गए गड्ढे हैं जिन्हें ऊपर से बासफूस से ढका जाता था और भूतल में बने इन घरों तक पहुँचने के लिए सीढ़ियाँ बनी हुई हैं। इनके पार्श्व भाग में चूल्हे भी बने हैं।

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प्रश्न 18.
पुरातत्ववेत्ताओं ने औजारों के अवशेष देखकर क्या अनुमान लगाया होगा?
उत्तर:
उन्होंने देखा कि कृषक और पशुपालक की अवस्था में आने पर आदिमानव के औजारों में बहुत सी तब्दीलियाँ आ गई थीं। वे अब बेहतर तराशे हुए, नोक और धारदार, हड्डी या काष्ठ की मूठों वाले थे। इस आधार पर इस अवस्था के आदिमानव का जीवन-काल नवपाषाणकाल की अवधि में सम्मिलित किया गया।

प्रश्न 19.
नवपाषाणकाल के आदिमानव की किन विशेषताओं का बोध होता है?
उत्तर:
नवपाषाणकाल का आदिमानव:
(i) कृषि के औजार, गत्रुओं के रक्षा के अस्त्र-शस्त्र और भाँडे-बर्तन बनाने में कुशल था।
(ii) उसको इनका विविध तरह से उपयोग करना आता था।
(iii) वह वस्त्र भी पहनने लगा था (सूती कपड़े के टुकड़े प्रमाणित करते हैं)।
(iv) ललित कला यथा-चित्रकला की ओर भी रुचि लेने लगा था (मटका एवं अन्य बर्तनों पर की गई चित्रकारी)।

प्रश्न 20.
आदिमानव के समाज को जन-जाति की श्रेणी क्यों दी गई होगी?
उत्तर:
दो या तीन पीढ़ियों का एक बस्ती में मिल-जुल कर रहना। समाज की यह अवस्था प्रारंभिक है और राजनैतिक, प्रशासनिक व्यवस्थाओं से रहित है। संभवतः पुरातत्ववेत्ताओं ने उनके समाज को जन-जाति इसीलिए कहा होगा।

प्रश्न 21.
आदिमानव के बच्चे क्या काम करते थे?
उत्तर:
पेड़-पौधों की देख-रेख करना, इनको पशु-पक्षियों द्वारा होने वाली क्षति से बचाना तथा गाय, बकरी आदि को चराना व उनकी रखवाली करना।

प्रश्न 22.
इस काल की महिलाएँ क्या काम करती थीं?
उत्तर:
खेतों की निराई, गुड़ाई, बुआई, सिंचाई और कटाई करना, अनाज के कूटने और पीसने का काम भी करती थीं।

प्रश्न 23.
महिला और पुरुष मिल-जुलकर किन कार्यों को करते थे?
उत्तर:
भाँडे-बर्तन, औजार, यंत्र बनाने, टोकरियाँ बुनने, पशुओं को नहलाने-धुलाने, दुध-दुहने, झोपड़ी बनाने, उन्हें सजाने के आजीविका और जीवन-रक्षक कार्य तथा संगीत, गायन एवं नृत्य जैसे मनोरंजन/मनोविनोद मिल-जुलकर ही होते थे।

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 3 भोजन : संग्रह से उत्पादन तक

प्रश्न 24.
नव पाषाणकाल के पुरुष क्या कार्य करते थे?
उत्तर:
पशुओं के झुंड की व्यवस्था एवं निरीक्षण तथा नए चरागाहों की खोज।

प्रश्न 25.
आदि मानव के प्रमुख व्यवसाय क्या थे?
उत्तर:
शिकार करना, भोजन इकट्ठा करना, खेती करना, पशुपालन और मछली मारना।

प्रश्न 26.
जन-जातियों की क्या विशेषताएँ थीं?
उत्तर:
अपनी भिन्न-भाषा, संगीत, कहानी और चित्रकारी तथा चित्र परम्परा उनके देवी-देवता भी जनजाति क्रम में भिन्न-भिन्न थे।

प्रश्न 27.
आदि मानव के गाँव की क्या विशेषता थी?
उत्तर:
गाँव के समस्त निवासी खाद्यान्नों के उत्पादन में लगे रहते थे। भूमि, वन, घास के मैदान और जलाशय ही उनकी संपत्ति

प्रश्न 28.
मेहरगढ़ (पाकिस्तान) के पुरातत्व स्थल में घर कैसे बनाए गए हैं?
उत्तर:
अवशेषों से यह पता चलता है कि वहाँ आयताकार – या वर्गाकार घर बने थे। प्रत्येक घर में चार या इससे अधिक कमरे थे। कुछ कमरे खाद्यान्न आदि के भंडारण में प्रयोग किए जाते थे।

प्रश्न 29.
कैसे पता लगता है कि आदि मानव पुनर्जन्म ।में विश्वास करता था?
उत्तर:
मेहरगढ़ से प्राप्त कब्रों में मनुष्य-कंकाल के साथ ही ।बकरियों के कंकाल भी मिले हैं। शायद लोग मृतात्मा के पुनः जन्म लेकर भोजन करने के लिए ऐसी खाद्य सामग्री रखी जाती थी।

प्रश्न 30.
सिल-बट्टा कौन से पुरातत्व स्थल पर मिला
उत्तर:
ब्रहमपुत्र घाटी के निकट की चीन तथा म्यांमार की ओर जाने वाले मार्ग की पहाड़ी पर स्थित दाउजली हेडिंग नामक पुरातत्व स्थल में।

प्रश्न 31.
दाउजली हेडिंग में कौन सा पत्थर मिला है?
उत्तर:
संगयशब पत्थर, इसको यहाँ चीन से लाया गया है।

प्रश्न 32.
केटल हुयूक नामक टर्की के पुरातत्वस्थल में क्या मिला है?
उत्तर:
सीरिया का चकमक पत्थर, लाल सागर की कौडियाँ तथा भूमध्य सागर की सीपियाँ आदि।

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प्रश्न 33.
कौड़ियाँ और सीपियाँ किस उपयोग में लाई जाती रही होंगी?
उत्तर:
आभूषण बनाने, गिनती करने और घरों की सजावट में।

लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
दाउजली हेंडिग कहाँ हैं और यहाँ कौन सी विशेष चीजें मिली हैं?
उत्तर:
चीन और म्यांमार जाने के रास्ते पर ब्रहमपुत्र घाटी के पास की पहाड़ियों पर। यहाँ-सिल-बट्टा, संगयशब पत्थर, जीवाश्म (किसी युग के वृक्ष भूमि में दबने के कारण रासायनिक क्रिया के बाद कठोर बने हुए पेड़-पौधे), निर्मित औजार आदि मिले हैं। इससे संकेत मिलता है कि लोग यहाँ खेती करते थे और अनाज को सिल पर पीस कर भोजन पकाते थे वे लोग संगयशव पत्थर के आभूषण पहनने के शौकीन भी थे।

प्रश्न 2.
खुदाई करते समय पुरातत्ववेत्ता इस बात का पता कैसे लगाते होंगे कि कौन सी चीज प्राचीनतम-प्राचीनतर और कौन-सी प्राचीन है?
उत्तर:
पुरातत्ववेत्ता यह धारणा बनाते हैं कि पहले सतह पर लोग रहते होगें, उनके द्वारा भूमि पर कुडा-करकट फेंके जाने.पत्थर आदि इकट्ठा किये जाने से पृथ्वी की सतह ऊँची उठी होगी। दूसरे काल में लोगों ने इस पर घरों का पुनर्निर्माण किया और अन्तत: यह स्थान एक टीले का रूप ले चुका होगा। इस पर पुनः घरों का निर्माण कराया गया होगा। इस प्रकार खुदाई के समय जो चीज सबसे नीचे के तल पर मिलती है उसको पुरा-पाषाणकाल, दूसरे सतह पर मिलने वाली चीज को मध्य-पाषाणकाल एवं सबसे ऊपरी सतह पर सबसे पहले प्राप्त चीज को नव-पाषाणकाल की चीज मान लिया गया है।

प्रश्न 3.
आदिमानव के कृषक समुदाय का डाँचा कैसा था? विवेचना कीजिए।
उत्तर:
आदि मानव का कृषक समुदाय-“जनजाति” की परिभाषा के अन्तर्गत आता है। प्रत्येक समुदाय (जिसमें दो से लेकर तीन पीढ़ियों तक जन्मे सदस्य थे) के सदस्य अपनी भिन्न भाषा, संस्कृति, खान-पान, आचार-व्यवहार, रीति-रिवाज, चित्रकारी, संगीत, कथाओं आदि के जानकार थे। भाषा एवं रीति-रिवाज भेद के आधार पर ही उन्हें जनजाति माना गया है। समुदाय का मुखिया-उसका बुजुर्ग, अनुभवी, युवा योद्धा या पुरोहित होता था। वृद्ध महिलाओं को भी उनकी बुद्धि और अनुभव के आधार पर सम्मान प्राप्त था। भूमि, वन, घास के मैदान और जल को जनजाति अपना धन मानते थे। वे मिलकर इन संसाधनों का उपयोग करते

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प्रश्न 4.
आदिमानव के रीति-रिवाज और आचार-व्यवहार के विषय में पुरातत्वविदों ने निष्कर्ष कैसे लिया होगा?
उत्तर:
पुरातत्वविदों ने इसके लिए वर्तमान में कुछ ऐसे किसानों के आचार-व्यवहार और रीति-रिवाजों का अध्ययन किया जो सहज ढंग से कृषि कार्य करते हैं। इस गहन अध्ययन के पश्चात् उन्होंने उत्खनन से प्राप्त चीजों, घरों की बनावट, चित्रकारी के बंग आदि का प्रेक्षण किया और इससे उन्हें यह निष्कर्ष लेने में कठिनाई नहीं हुई कि आदिमानव के समुदायों में कौन से रीति-रिवाज प्रचलित रहे होंगे। उदाहरणार्थ-आज भी कई आदिवासी किसान अपने मृतकों के साथ भेड़ और बकरियाँ तथा भाँडे-बर्तन एवं अनाज को भी कब्र में गाड़ देते हैं। उत्खनन में कलें भी प्राप्त हुई और उनमें नर-कंकाल के साथ ही पशु-कंकाल भी मिले। इससे स्पष्ट हो गया कि आदिमानव की आस्था पुनर्जन्म में रही होगी तथा वे मृतकों को कब्र में दफनाते होंगे।

प्रश्न 5.
आदि-मानव मिट्टी के बर्तनों का उपयोग किन-किन कार्यों में करता होगा?
उत्तर:
पुरातत्ववेत्ताओं के अनुसार मिट्टी के बड़े-बड़े बड़े मिले हैं जिनमें यह निष्कर्ष लिया जाता है कि आदि मानव इनमें खाद्यान्नों का भंडारण करता था। छोटे बर्तन भोजन आदि पकाने के काम आते थे क्योंकि चावल, गेहूँ, मसूर आदि अनाजों के अवशेष यह सिद्ध करते हैं कि आदि मानव का समुदाय बहुधा इन्हीं अनाजों को उगाता और खाता था। छोटे बर्तन इन्हें पकाने में ही प्रयोग किए गए होंगे।

प्रश्न 6.
आग की खोज ने आदिमानव की किस प्रकार मदद की?
उत्तर:
आग के उपयोग:
(1) जंगली पशुओं से रक्षा: गुफा के दरवाजे पर जलती हुई आग को देखकर हिंसक पशु भाग जाते थे और आदि मानव पर आक्रमण करने का साहस नहीं कर पाते थे। वह निर्भीक होकर गुफा के अन्दर विश्राम कर सकता था।
(ii) सर्दी से बचाव: जाड़े की ठंडी तथा तूफानी रातों में आग ही उसके आराम और रक्षा का साधन थी। वह आग जलाकर अपने शरीर को गर्म करके सुख का अनुभव करता था।
(iii) भोजन की सुविधा: आदिमानव पहले कच्चा माँस खाता था। आग की खोज के पश्चात् वह माँस को भूनकर खाने लगा।
(iv) प्रकाश की प्राप्ति: रात के अंधकार को दूर करने के लिए गुफा में प्रकाश का साधन केवल आग ही थी।

प्रश्न 7.
आदिमानव ने औजारों का प्रयोग कौन कौन से उद्देश्यों को पूरा करने में किया?
उत्तर:
(i) जंगली पशुओं से बचाव करने
(ii) वन्य पशुओं का शिकार करने
(iii) पेड़ों को बहाकर जमीन खोदने
(iv) फलों, पत्तियों, डंठलों आदि को छीलने, काटने आदि में
(v) पत्थरों को धारदार और नुकीला बनाने में।

भोजन : संग्रह से उत्पादन तक Class 6 HBSE Notes in Hindi

1.भिन-भिन पौधे भिन्न-भिन्न दशाओं में क्यों उगते हैं?: पौधों की विशिष्ट प्रजाति में अद्वितीय जीनी गुण रहने के कारण।
2.घर के पिछवाड़े की लौकी का साग “नैनुओ” को सैर-सपाटे के दौरान प्राप्त लौकी के साग से भिन्न क्यों लगा होगा?: व्यष्टि स्तर पर स्वयं की प्रकृति के अनुसार पोषित लौकी व्यवसाय भावना से उगाई गई लौकी के अन्तनिहित गुणों (instincts) का अनुकूलन (adaptation) नहीं कर पाती।
3.बकरी और भेड़ जैसे चौपाए पशु शुष्क क्षेत्र (अवर्षण क्षेत्र) में जीवित क्यों नहीं रहते?: शुष्क क्षेत्रों में उनके भोजन और उपापचय का पूरक साधन ‘हरी घास’ न रहने और पेय जल का अभाव रहने के कारण।
4.लगभग 12000 वर्ष पूर्व जलवायु के उष्णकटिबंधी बनने के समय कौन से प्रमख परिवर्तन दृष्टिगोचर हए?: वनस्पति और जन्तु जगत दोनों की नई प्रजातियों ने पृथ्वी के नग्न आँचल को ढक दिया और सर्वत्र हरियाली छा गई।
5.आदिमानव ने कृषक बनने से पहले प्रकृति का कौन सा चमत्कार देखा?: खाद्य पेड़-पौधों के पुष्पित, फलित होने, बीज में परिपुष्ट और फलों चटक कर भूमि पर दानों की वर्षा का चमत्कार।
6.आरंभ में भेड़, बकरी, गाय, हिरन आदि पशु ही क्यों पाले गए होंगे? इन पशुओं का स्वभाव झुंड में रहने और आदि मानव की झोपड़ी के आस-पास घूमने लगे थे और मनुष्य के साथ अनुकूलन शीघ्र करने को लालायित दिखाई दिए।
7.दाँतों की कौन सी श्रेणी जंगली सूअर और कौन सी श्रेणी कुत्ते के दाँतों जैसी है?: कृन्तक (सामने के दाँत) और खदंत (किनारे के दाँत)।
8.जंगली पशुओं की तुलना में पालतू पशुओं के कौन से अंग भिन्न होते हैं?: दाँत और सींग।
9.पशु-पालन की चेतना आदिमानव को कब मिली?: आज से लगभग बारह हजार वर्ष पूर्व नव पाषाण काल में।

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 3 भोजन : संग्रह से उत्पादन तक

10.पालतू पशुओं के दाँत और सींग कैसे होते हैं?: इनके सींग तथा दाँतों का आकार जंगली पशुओं से छोटा और भिन्न बनावट का रहता है।
11.घुमंतू आदिमानव को व्यवस्थित जीवन जीने के लिए किसने प्रेरित किया?: वनस्पति ने, क्योंकि वृक्षों के लगाने। तरुणावस्था प्राप्त करने और फल एवं फूल प्रदान करने की अवधि लंबी होती है, अत: वह अपने लगाए फल खाने के लिए एक ही स्थान पर स्थाई रूप से रखा गया।
12.सबसे पहले कौन से पशु पाले गए?: भेड़ और बकरी।
13.कौन से स्थलों पर पुरातत्ववेत्ताओं को आदिमानव के कृषि कर्म के प्रमाण मिले?: कश्मीर, हिमाचल प्रदेश, कर्नाटक, गुजरात, राजस्थान आदि।
14.पुरातत्ववेत्ताओं को आदि मानव द्वारा बोई जाने वाली फसल के बीज किस रूप में मिले?: जली हुई अवस्था में (कार्बनीकृत)।
15.मेहरगढ़ (पाकिस्तान ) में कौन-कौन से अनाज और किन पशुओं की हड्डियाँ प्राप्त हुई हैं?: अनाज-गेहूँ, जौ, .जीवाश्म-भेड़, बकरी और चौपाए पशुओं की हड्डियाँ
16.पेयमपल्ली (आंध्र प्रदेश) नामक पुरातत्वीय स्थल से क्या प्राप्त हुआ है?: अनाज-काला चना, ज्वार, बाजरा जैसे मोटे अनाज। जीवाश्म पशु-चौपाए, पशु, भेड़ और सूअर की हड्डियाँ।
17.बुर्जाहोम कहाँ है और पुरातत्वीय स्थल क्यों है?: आधुनिक कश्मीर ही पाषाणयुग का बुर्जाहोम था। यहाँ पुरातत्ववेत्ताओं को गेहूँ और मसूर के जले हुए बीज तथा चौपाए पशुओं, भेड़, बकरी तथा भैस की हड्डियाँ प्राप्त हुई हैं।

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HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 4 आरंभिक नगर

Haryana State Board HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 4 आरंभिक नगर Textbook Exercise Questions and Answers.

Haryana Board 6th Class Social Science Solutions History Chapter 4 आरंभिक नगर

HBSE 6th Class History आरंभिक नगर Textbook Questions and Answers

कल्पना करो:

तुम अपने माता-पिता के साथ 4000 साल पहले लोथल से मोहनजोदड़ों की यात्रा कर रहे हो। यह बताओ कि तुम यात्रा कैसे करोगे, तुम्हारे माता-पिता यात्रा के लिए अपने साथ क्या-क्या ले जाएँगे? और मोहनजोदड़ों में तुम क्या देखोगे?
उत्तर:
लोथल से मोहनजोदड़ों की यात्रा:
लोथल के बंदरगाह से हम एक नाव/जलपोत में बैठेंगे और अरब सागर के रास्ते सोत्वाकोह पहुंचेंगे। यहाँ पर हमारा जलपोत एक घंटा रुकेगा और हम भोजन आदि से निवृत्त होंगे। इसके पश्चात हम चहुँदड़ों के लिए सिन्धु नदी के रास्ते नाव पर जाएंगे और अंतत: मोहनजोदड़ों पहुँचकर विश्राम करेंगे।

यात्रा में साथ ले जाने योग्य सामान:
लोथल में यज्ञ-मण्डप हैं और देवी-देवताओं की पत्थर की मूर्तियाँ यहाँ बहुत सुन्दर हैं। काले रंग से चित्रित लाल मिट्टी के बर्तन, माला के मनके ताँबे के औजार और पत्थर की लंबी धारदार पत्तियाँ, पट्टियाँ आदि सामान को हम लोथल से खरीद कर ले जाएंगे।

मोहनजोदड़ों की वर्शनीय चीजें:
मैं मोहनजोदड़ों में अपने माता-पिता के साथ पहुँच कर पूरे सात दिन वहाँ की सुन्दर चीजों को मैं देखना चाहूँगा। यहाँ का महान स्नानगार देखने लायक हैं। यहाँ के भवन, गली और सड़के बहुत सुंदर है। नालियाँ ढकी हुई हैं और जगह-जगह पर जल की रुकावट को दूर करने के लिए मेन-होल बने हुए हैं। यहाँ माला के बहुमूल्य पत्थरों के मनके और सोने-चांदी के आभूषण भी बहुत सुन्दर हैं। मेरी माताजी ने यहाँ से अपने सभी जेवर खरीदे है। अपने सहपाठियों को दिखाने के लिए मैं यहाँ मोहरे भी खरीद कर ला रहा

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आओ याद करें:

आरंभिक नगर प्रश्न उत्तर HBSE 6th Class Social Science प्रश्न 1.
पुरातत्वविदों को कैसे ज्ञात हुआ कि हड़प्पा सभ्यता के दौरान कपड़े का उपयोग होता था?
उत्तर:
(i) उन्होंने एक प्रस्तर मूर्ति को कड़ाईदार वस्त्र के पहरावे में तराशा हुआ देखा।
(ii) उन्हें इस बात के प्रमाण मिले कि आज से लगभग 7000 वर्ष पूर्व मेहरगढ़ (पाकिस्तान) में कपास का उत्पादन होता था।
(iii) उन्हें कातने में प्रयुक्त तकली, तकुए, अटेरन आदि जैसे उपकरणों के अवशेष भी मिले।
(iv) चाँदी के एक कलश के ढक्कन से लिपटे हुए कपड़े के टुकड़े दिखाई दिए।

उक्त आधारों पर ही उन्होंने यह निष्कर्ष लिया कि हड़प्पा सभ्यता में वेश-भूषा का प्रचलन था। लोग वस्त्र धारण करना सीख चुके थे।

Bhojan Sangrah Se Utpadan Tak HBSE 6th Class Social Science प्रश्न 2.
निम्नलिखित का सुमेल कीजिए:
(i) तांबा – (अ) गुजरात
(ii) सोना – (ब) अफगानिस्तान
(ii) टिन – (स) राजस्थान
(iv) बहुमूल्य पत्थर – (द) कर्नाटक
उत्तर:
(i) – (स)
(ii) – (द)
(iii) – (ब)
(iv) – (अ).

HBSE 6th Class Social Science आरंभिक नगर प्रश्न उत्तर प्रश्न 3.
हड़प्पा के लोगों के लिए धातुएँ, लेखन, पहिया और हल क्यों महत्त्वपूर्ण थे?
उत्तर:
(क) धातुओं का उपयोग: हड़प्पा के लोग अपने औजार, हथियार, आभूषण और भाँडे-बर्तन बनाने में ताँबे और काँसे का प्रयोग करते थे। चाँदी, लाल पत्थर, रत्न और सोने से वे माला, कर्णफूल, चूड़ियाँ और छोटी-छोटी उपयोग की वस्तुएं बनाते

(ख) लिखना: हड़प्पा सभ्यता के मोहनजोदड़ो, लोथल, मेहरगढ़, चहुंदडों, कालीबंगन, गणवेरीवाला, ढोलबीरा, सुरकोटड़ा, सोतकाकोह आदि में पाइ गई मोहरों, मुद्रांकन आदि के अवशेष दर्शाते हैं कि लिखने का कार्य हड़प्पा सभ्यता वालों के लिए बहुत महत्त्वपूर्ण था। चीजों के ऊपर उनकी शुद्धता के प्रमाणन हेतु मोहर लगाई जाती थी और पैक करने के बाद उसके ऊपर ताजी लाल मिट्टी रखकर मुद्रांकन किया जाता था। कई तरह की मोहरें इस काल में बनाई गई।

(ग) चक्र का उपयोग: इस नगर सभ्यता की बुनियाद ही चक्र के अविष्कार पश्चात् पड़ी। हाथगाड़ियाँ, बैलगाड़ियाँ आदि बनाने में इसका उपयोग किया गया। तकली से लेकर भवनों की गोलाकार मेहराब्वें चक्र ज्ञान पर ही आधारित थी।

(घ) हल: हड़प्पा सभ्यता वस्तुतः कृषि सभ्यता थी। इसमें कृषक वर्ग को समाज में उच्च स्थान प्राप्त था। गेहूँ, जौ, कई दालें, मटर, चावल, तिल, अलसी और सरसों जैसी खाद्यान्न, तिलहन
और दलहन की फसलें उगाई जाती थीं। कपास की खेती भी इस काल में प्रारंभ हो गई थी क्योंकि मनुष्य वस्त्र विनिर्माण सीख चुका था। इन सभी कार्यों के लिए हल की प्रमुख भूमिका थी।

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आओ चर्चा करें:

प्रश्न 4.
इस अध्याय में पक्की मिट्टी (टेराकोटा) से बने सभी खिलौनों की सूची बनाओ। इनमें से कौन-से खिलौने बच्चों को ज्यादा पसंद आए होंगे? .
उत्तर:
1. रीछ
2. मैंस
3. बैल
4. सूअर
5. गुड़िया
6. याक
7. बैलगाड़ी।
इनमें बच्चों ने सर्वाधिक गुड़िया को पसंद किया होगा। वह नृत्य मुद्रा में दिखाई गई है तथा उसके वस्त्रों को भी विशेष आलेखनों से अलंकृत किया गया है। उसके सिर पर घड़े जैसी कोई चीज है। संभवतः टोपी हो इस आकार की हो।

प्रश्न 5.
हड़प्पा के लोगों की भोजन सामग्री की सूची बनाओ। आज इनमें से तुम क्या-क्या खाते हो? निशान लगाकर बताओ।
उत्तर:
हड़प्यावासियों के खाद्य पदार्थ:
(अ) अनाज: गेहूँ, जौ, चावल, रागी, कोदो, साँवा और ज्वार।
(ब) दालें: कई किस्म की दालें, मटर, सेम।
(स) तिलहन: अलसी और सरसों।
उक्त से स्पष्ट होता है कि हड़प्पावासी लगभग उन्हीं चीजों को अपने भोजन में लेते थे जिन्हें हम आज भी लेते हैं।

प्रश्न 6.
हड़प्पा के किसानों और पशुपालकों का जीवन क्या उन किसानों से भिन्न था, जिनके बारे में तुमने पिछले अध्याय में पढ़ा है? अपने उत्तर में इसका कारण बताओ।
उत्तर:
नव-पाषाणकाल और हड़प्पा की नगरीय सभ्यता के किसानों तथा पशुपालकों की स्थिति में बहुत भिन्नता थी क्योंकि:
1. नव-पाषाणकाल में पहिए का आविष्कार न होने के कारण खाद्यान्नों की आपूर्ति दूरस्थ स्थानों में करना कठिन था। जलयान और नावों का आविष्कार भी नहीं हुआ था।

2. नव-पाषाणकाल में केवल दो या तीन पीढ़ियों के लोगों जन-जाति कहलाता था। इससे बड़ा सामाजिक संगठन नहीं था जबकि हड़प्पा की नगर सभ्यता के अवशेष दर्शाते हैं कि इस काल में समाज का विकास शासक और राज्य व्यवस्था तक हो गया था।

3. हड़प्पा की नगरीय सभ्यता में किसान विविध फसलों को उगाकर उन्हें अन्न-कोठारों में रखते थे तथा विपणन व्यवस्था रहने के कारण नगरों में निवास करने वाले शासक, प्रशासक, दस्तकार, शिल्पी. पुरोहित आदि वर्ग की सेवाएँ अनाज के बदले प्राप्त करते थे। वस्तुओं की पैकिंग के बाद भी उन पर गीली मिट्टी से मुद्रांकन (मोहर लगाना) की पद्धति इस तथ्य को स्पष्ट करती है।

4. नव पाषाणकाल के किसान और पशुपालक सभ्यता की प्राथमिक पाठशाला से आगे बढ़ रहे थे जबकि हड़प्पा नगर का सभ्यता काल उन्हें चरम विकास की पाठशाला में दर्शाता है। उदाहरणार्थ-नव-पाषाण काल के गड्डेनुमा घर (मतगृह) जबकि हड़प्पा के महल, स्थापत्य कला, नाली-प्रबंध, सड़कें, पक्के मकान आदि पाए गए हैं।

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आओ करके देखें:

प्रश्न 7.
अपने शहर या गाँव की तीन महत्वपूर्ण इमारतों का ब्यौरा दो। क्या वे बस्ती के महत्वपूर्ण इलाके में बनी हैं। इन इमारतों का उपयोग किसलिए किया जाता है?
इस प्रश्न का सीधा संबंध छात्र से है। वे स्वयं ही अपने गाँव या शहर के भवनों का वर्णन कर सकते हैं। यहाँ पर कुछ संकेत
संकेत:
(क) गाँव के महत्त्वपूर्ण भवन: विद्यालय, डाकघर, पंचायत घर, प्राथमिक चिकित्सा केन्द्र, ग्राम सभापति का कार्यालय, मंदिर, मस्जिद, गुरुद्वारा, गिरजाघर, सहकारी समिति का क्रय केन्द्र, धर्मशाला, बारातघर आदि।

(ख) शहर के महत्त्वपूर्ण भवन: नगरपालिका कार्यालय, अस्पताल, निदान-गृह, स्कूल एवं कॉलेज, प्राविधिक और प्रौद्योगिक शिक्षा संस्थानों के भवन, बाजार, दुकानें, क्रय-विक्रय केन्द्र, सामुदायिक भवन, विविध सरकारी कार्यालया।

वस्तुतः ये सभी भवन सार्वजनिक अर्थात् आम नागरिकों के इच्छानुसार विहार और उपयोग करने वाले भवन तथा स्थान हैं। इनका आबादी के बीचों-बीच रहना ही जनता के लिए सुविधाजनक होता है। इसीलिए ये गाँव या शहर के मध्य बनाए जाते हैं। ये आम घरों जैसे नहीं होते हैं बल्कि कार्य अनुसार इनकी बनावट और स्थापत्य कला अथवा भवन शिल्प अलग-अलग होता है। । उदाहरणार्थ-मंदिर, गुरुद्वारा, कार्यालय, स्कूल आदि भवन एक-दूसरे से आकार, बनावट, क्षेत्रफल आदि में कार्य या मूल भावना आस्थानुसार भिन्न-भिन्न होते हैं। उक्त में से किन्हीं तीन भवनों को लेकर उनके कार्यों के बारे में लिखा जा सकता है।

प्रश्न 8.
तुम्हारे इलाके में क्या कोई पुरानी इमारत है? यह पता करो कि वह कितनी पुरानी है और उनकी देखभाल -कौन करता है।
उत्तर:
यह प्रश्न भी छात्र के साथ सीधा संबंध रखता है। प्रत्येक प्रांत, जिले, शहर में कई ऐतिहासिक भवन स्थित हैं। छात्र जिस जिले या प्रांत अथवा शहर में रहता है, उसमें विद्यमान ऐसे भवनों की जानकारी पुस्तकालय, ग्राम-पंचायत के कार्यालय, नगर-निगम, सामान्य ज्ञान की पुस्तक आदि से प्राप्त करके उनके निर्माण किए जाने की तिथि एवं अवधि का भी पता लगाया जा सकता है। उदाहरणार्थ-दिल्ली का लाल किला, जामा मस्जिद आदि भवन मुगल सम्राट शाहजहाँ ने बनवाए। इनके निर्माण की अवधि लगभग 356 वर्ष पूर्व की है क्योंकि शाहजहाँ का शासनकाल 1627 से आरंभ होकर 1659 ई. तक था। . ऐसे सभी प्राचीन भवनों का संरक्षण और परिरक्षण का दायित्व हमारे देश के पुरातत्व विभाग का रहता है।

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HBSE 6th Class History आरंभिक नगर Important Questions and Answers

अति लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
एक जीर्ण-शीर्ण भवन को बच्चे भूतहा घर क्यों कहते हैं?
उत्तर:
समाज में प्रचारित अफवाह, माता-पिता द्वारा डराने के लिए उनका ऐसा परिचय दिया जाना आदि ही पुराने भवन को भूतहा घर कहने की प्रेरणा देते हैं।

प्रश्न 2.
यदि आपको कोई बहुत प्राचीन भवन, मंदिर या कोई स्तंभ दिखाई देगा तो आप क्या करेंगे?
उत्तर:
अपने जिले या शहर में स्थापित पुरातत्व विभाग के शाखा-कार्यालय में जाकर सूचना देंगे अथवा समाचार पत्रों में चित्र देकर उसका विवरण प्रसारित करायेंगे।

प्रश्न 3.
प्राचीन भवनों को ऐतिहासिक और पुरातत्व स्थल क्यों समझा जाता है?
उत्तर:
इन ढाँचों के भीतर किसी युग या काल विशेष में किए जाने वाले सभी मानवीय क्रियाकलापों, तौर-तरीकों, रहन-सहन आदि के अवशेष प्राप्त होते हैं अथवा इनकी दीवारों के चित्र, स्थापत्य और भवन-निर्माण शिल्प इनकी निश्चित काल-गणना करने में सहायक बनते हैं। इसीलिए ये पुरानी या पूर्व युग की बातों को जानने के स्थल समझे जाते हैं।

प्रश्न 4.
हड़प्पा कहाँ है और इसकी खोज कब हुई?
उत्तर:
हड़प्पा नामक नगरीय सभ्यता का पुरातत्व स्थल (नगर) पाकिस्तान के राज्य क्षेत्र (पंजाब) में स्थित है। आज से 150 वर्ष पूर्व रेल की लाइन बिछाते समय इसका पता लगा लेकिन पुरातत्व विभाग की जाँच आज से लगभग 80 वर्ष पूर्व ही शुरू हुई।

प्रश्न 5.
हड़प्पा नगर आज से कितने वर्ष पूर्व बसा होगा?
उत्तर:
4700 वर्ष पूर्व।

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प्रश्न 6.
हड़प्पा की नगर सभ्यता और सिंधु-घाटी की सभ्यता में क्या भिन्नता है?
उत्तर:
दोनों एक ही हैं क्योंकि सिन्धु घाटी की सभ्यता हड़प्पा, मोहनजोदड़ो, चहुँदडो, लोथल आदि नगरों की सभ्यता ही थी।

प्रश्न 7.
कई बार पुराने भवन जीर्ण-शीर्ण होकर ढह जाते हैं। आपके विचार से इनका जीर्णोद्धार किया जाना चाहिए या नहीं?
उत्तर:
अवश्य। क्योंकि ये हमारे अतीत के स्मारक हैं और इतिहास के ज्वलंत एवं दृश्यमान साक्ष्य हैं। संक्षेप में, हमारी पुरातात्विक विरासत हैं।

प्रश्न 8.
हड़प्पा नगर के दो भाग कौन-कौन से हैं?
उत्तर:
पश्चिम की ओर का हिस्सा गढ़ या दुर्ग था। यह ऊँचाई वाली भूमि पर बनाया गया था। दूसरा हिस्सा निम्नतर नगर था। यह क्षेत्रफल में बड़ा परंतु कम ऊंचाई वाली भूमि पर निर्मित था।

प्रश्न 9.
विशेष भवन से आप क्या समझते हैं?
उत्तर:
ऐसे भवन जिनमें व्यष्टि-स्तर पर ही नहीं बल्कि सामाजिक स्तर पर भी उपयोग करने योग्य सुविधाएँ रहें यथा-मोहनजोदड़ो में पाया गया विशाल स्नानागार।

प्रश्न 10.
भवनों को जल-प्रतिरोधी कैसे बनाया जाता था?
उत्तर:
भवनों की दीवारों को चिनते समय ईंटों के बीच में – प्राकृतिक डामर (तारकोल) की एक परत चुपड़ दी जाती थी।

प्रश्न 11.
विशाल या सार्वजनिक स्नानागार में पानी की आपूर्ति कहाँ से होती थी?
उत्तर:
आस-पास में स्थित कुंओं से कुल्या खोदकर इस स्थान तक जल पहुंचाया जाता था।

प्रश्न 12.
हवन कुंड कहाँ मिले हैं?
उत्तर:
कालीबंगन (द. प्र. और लोथल (गुजरात) में।

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प्रश्न 13.
हवन-कुंडों से किस बात की जानकारी मिलती
उत्तर:
नगरीय सभ्यता के ये लोग वैदिक अनुष्ठान एवं देवी-देवताओं की उपासना करने में अग्रणी थे।

प्रश्न 14.
हड़प्या की सभ्यता के जल-निकास प्रबंध की विशेषताएँ बताइए।
उत्तर:
1. नगर के सभी घर और भवन नालियों के जाल से आवृत्त थे।
2. नालियाँ भू-गत और हल्का ढलान लिए हुए थौं।
3. स्थान-स्थान पर बड़े छिद्र छोड़े गए थे जो कि ढके हुए थे। इनसे नाली के अवरुद्ध होने पर सफाई की जा सकती थी।
4. समूचे नगर को घेरती हुई नालियाँ अन्तत: नगर सीमा से दूर एक नाले में मल-जल का विर्सजन करती थीं।।

प्रश्न 15.
हड़प्पा के नगरों में क्या-क्या कार्य होते थे?
उत्तर:
वस्तुओं का आयात-निर्यात, क्रय-विक्रय, मुद्रांकन, भवन निर्माण की योजना, शहरी सुधार कार्यक्रम, कारीगर और विविध शिल्प कार्य।

प्रश्न 16.
हड़प्पा के नगरों में खिलौने किस चीज के बनते थे?
उत्तर:
पक्की मिट्टी या टेराकोटा के।

प्रश्न 17.
क्या मेहरगढ़ जैसे गाँवों में भी दस्तकार, कारीगर और शिल्पी थे?
उत्तर:
नहीं। वे सभी साधारण लोग के और अपनी जरूरतों को जोड़-तोड़ लगाकर पूरा करते थे।

प्रश्न 18.
आप यह कैसे जानते हैं कि हड़प्पा के नगरों में चित्रलिपि प्रचलित थी?
उत्तर:
यहाँ से प्राप्त मुहरों के ऊपर पशुओं के चित्र और विशेष संकेतों का उत्कीर्ण रहना।

प्रश्न 19.
हड़प्पा के नगरों की चीजें कौन सी कच्ची सामग्री से बनती थीं?
उत्तर:
पत्थर, कौड़ी, सीप तथा ताँबा, काँसा, सोना और चाँदी जैसी धातुओं से।

प्रश्न 20.
हड़प्पा के नगरों की दर्शनीय चीजें क्या हैं?
उत्तर:
माला के मनके, पत्थर के बाँट और छुरियाँ। बाँट चकमक पत्थर जैसे स्फटिक के बने पाए गए।

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प्रश्न 21.
बाँटों का किस काम में उपयोग होता था?
उत्तर:
धातुओं तथा कीमती रत्नों को तोलने के लिए।

प्रश्न 22.
हड़प्पा से पाई गई मोहरें किस चीज की बनी
उत्तर:
आयताकार पत्थर की। इन पर पशुओं के चित्र उकेरे गए हैं।

प्रश्न 23.
क्या आदिमानव की जनजातियाँ भी धातु का प्रयोग करती थीं?
उत्तर:
चूंकि यह नव पाषाण काल था अतः जन-जातियों को धातुओं की जानकारी नहीं थी।

प्रश्न 24.
हड़प्पा के वासी अपने बर्तनों को कैसे चमकाते
उत्तर:
रेगमाल से । रेत या बिल्लौर के चूरे को गोंद से चिपकाकर धातु की किसी पत्ती पर जमाया जाता था और फिर इससे बर्तनों को रगड़ा जाता था।

प्रश्न 25.
हड़प्पा नगरवासी कौन-कौन सी चीजों का आयात करते थे?
उत्तर:
ताँबा, टिन, सोना, चाँदी और कीमती रत्नों का।

प्रश्न 26.
ताँबा, सोना, टिन और कीमती रत्नों को कहाँ से मँगाया जाता था?
उत्तर:
ताँबे को राजस्थान और पश्चिम एशिया के ओमान देश से, टिन और कीमती रत्नों को अफगानिस्तान और ईरान से और सोने को कर्नाटक प्रदेश से।

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प्रश्न 27.
हल का प्रयोग किस उद्देश्य से किया जाता था?
उत्तर:
मिट्टी की सतह को खोदकर पलटने और बीज बोने के लिए।

प्रश्न 28.
हड़प्पावासियों के प्रमुख पालतू पशु कौन-कौन से थे?
उत्तर:
चौपाए पशु, भेड़, बकरी और भैंस।

प्रश्न 29.
ढोलवीरा नामक नगर कौन-कौन से भागों में बँटा था?
उत्तर:
तीन भागों में:
(i) दुर्ग
(ii) बाजार क्षेत्र और
(iii) सामान्य लोगों की बस्तियों वाला क्षेत्र।
ये तीनों भाग चारदीवारी से घिरे थे और प्रत्येक में केवल फाटकों से ही प्रवेश किया जा सकता

प्रश्न 30.
हड़प्पा नगर की लिपि और ढोलवीरा (गुजरात) के पुरातत्व स्थल की लिपि में क्या अंतर था?
उत्तर:
हड़प्पा नगर की लिपि छोटे अक्षरों की थी जबकि ढोलाबीरा में पाई गई लिपि के अक्षर बड़े और साथ-साथ थे। हड़प्पा की लिपि, मोहर जैसी छोटी चीजों पर उत्कीर्ण थी जबकि ढोलवीरा में लिपि को श्वेत-पत्थर और लकड़ी के तख्तों पर उकेरा गया था।

प्रश्न 31.
जहाजी माल-घाट कहाँ पाया जाता है?
उत्तर:
खंभात की खाड़ी के निकट गुजरात राज्य के लोथल नगर में।

प्रश्न 32.
हड़प्पा की नगर सभ्यता का विनाश कैसे हुआ?
उत्तर:
इसके बारे में पुरातत्वविद् सुस्पष्ट नहीं हुए हैं। कुछ विद्वान् नदियों के सूख जाने को इसका कारण मानते हैं, जबकि कुछ अन्य कहते हैं कि हड़प्पावासियों ने ईटों की भट्टी के आस-पास का पूरा वन क्षेत्र झोंक दिया था। बाढ़, पशुओं के अति चरने और ताँबे के अयस्क से ताँबा निकालने के लिए गलन भट्टी में ईंधन की अत्यधिक जरूरत के कारण वन-विनाश भी शायद इस सभ्यता के विनाश के लिए जिम्मेदार थे।

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लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
नव पाषाण काल के लोगों और हड़प्पा सभ्यता कालीन लोगों के घरों में क्या अंतर था?
उत्तर:
नव-पाषाण काल
(i) इस काल के घर भू-गत या गर्तगृह थे।
(ii) इन घरों में वायु एवं जल निकास के कोई साधन नहीं थे।
(iii) यह गृह-निर्माण का आरंभिक काल था।
(iv) यह गृह-निर्माण का विकसित काल था।
(v) इन घरों के चारों ओर दीवार और आगे तथा पीछे आंगन और प्रांगण थे।
(v) इन घरों में स्नानगृह थे।
(vi) ये घर पक्की ईंटों की दुहरी चिनाई के बने थे।

प्रश्न 2.
नील नदी की घाटी वाली सभ्यता कौन सी है? सुस्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
यह मिन की आज से 5000 वर्ष पूर्व की सभ्यता है। यहाँ के राजाओं ने सोने, चाँदी, हाथी दाँत का सामान, इमारती लकड़ी तथा वेशकीमती रत्नों को सुदूर स्थानों से एकत्रित करवाने के लिए अपनी सेना भेजी। इन्होंने पिरामिड कहे जाने वाले विशाल गुंबदों का निर्माण भी कराया। इन पिरामिडों में वे भली-भाँति परिरक्षित शव को खाद्य पदार्थ, पेय पदार्थ, वस्त्र, आभूषण, भाँडे बर्तन, संगीत वाद्य,हथियार और पशुओं तथा दास-दासियों के साथ गाड़ देते थे। यहाँ पर पिरामिडों से प्राप्त बहुत से पश और पनुष्यों के कंकाल इस तथ्य को प्रमाणित करते हैं।

प्रश्न 3.
किन प्रमाणों के आधार पर पुरातत्वविद् इस निष्कर्ष पर पहुँचे होंगे कि हड़प्पा नगर सभ्यता में लोग बस्व धारण करने लगे थे?
उत्तर:
पुरातत्वविदों को प्राप्त अवशेष:
1. मेहरगढ़ में खुदाई के दौरान उन्होंने यह पाया कि यहाँ पर कपास की खेती आज से 7000 वर्ष पूर्व होती थी।
2. मोहनजोदड़ो में उन्हें चाँदी के कलश के ऊपर लिपटे हुए कपड़े के टुकड़े मिले।
3. उन्हें तकली के चक्र भी मिले हैं। ये पक्की मिट्टी (टेराकोटा) और बिल्लौर (रेगमाल) से बने हुए हैं। इनसे ही कपास का धागा काता गया होगा।
4. मोहनजोदड़ो से प्राप्त एक व्यक्ति के बुत पर कढ़ाईदार वस्त्र की डिजाइन का रहना।।

उपुर्यक्त प्रमाणों (अवशेषों) के आधार पर पुरातत्वविदों ने यह निष्कर्ष लिया कि इस सभ्यता के लोग वस्त्र धारण करते थेऔर उन्हें कढ़ाईदार वस्त्रों के विनिर्माण की दक्षता भी प्राप्त थी।

प्रश्न 4.
किन प्रयोगों के आधार पर यह निष्कर्ष लिया पाया होगा कि हड़प्पा नगर वासी स्वच्छता- प्रिय, प्रकृति-प्रेमी, वेशभूषा के शौकीन, आभूषण-प्रिय और दूरदर्शी थे?
उत्तर:
निष्कर्ष के प्रमुख आधार:
(i) स्वच्छता-प्रिय: मोहनजोदड़ों में विशाल स्नानागार के अवशेष, प्रत्येक घर में एक कमरा स्नान के लिए पृथक दिखाई पड़ना, भू- गत नालियों की विशेष योजना एवं प्रबंध, नगरों का दुर्ग और निम्नतर शहर (कस्या) में सुचारु विभाजन।

(ii) प्रकृति प्रेमी: विविध मोहरों पर सूर्य, चन्द्रमा, वृक्ष, पशु आदि के चित्रों का रहना, विविध किस्म के पक्की मिट्टी के खिलौनों की बनावट।

(iii) वेशभूषा के शौकीन: मोहनजोदड़ो से प्राप्त प्रस्तर मूर्ति के शरीर भाग में सुंदर एवं आकर्षक कढ़ाईदार वस्त्रों की चित्रकारी।

(iv) आभूषण प्रिय: रेगमाल से माला के मनकों को चमकाना, सोने, चाँदी, ताँबे, काँसे के मनके मिले हैं। चूड़ियाँ, कर्णफूल आदि का प्राप्त होना।

(v) दूरदर्शी: अफगानिस्तान, ईरान, ओमान आदि देशों की घातुओं और वेशकीमती पत्थरों (रत्नों) का यहाँ मिलना। नगर योजना, नाली-प्रबंधन, ताँबे की गलन भट्टियाँ और ईटों की भट्टियों के अवशेष, विशाल स्नानागार की दीवारों में ईट की प्रत्येक तह के ऊपर तारकोल का पुता रहना (जल प्रतिरोधक दीवार)।

प्रश्न 5.
किन बातों से यह पता चलता है कि हड़प्पा सभ्यता के लोग वणिकवृत्ति करने वाले या व्यापारी रहे होंगे?
उत्तर:
1. स्फटिक जैसे पत्थर (कट) के आयताकार या वर्गाकार बाँटों का मिलना।
2. गाँव (निचले कस्बे वाला भाग) से खाद्यान्न और पेय पदार्थों की आपूर्ति दुर्ग कहे जाने वाले नगर के हिस्से को होना।
3. मोहरें ओर मोहरबंदी (मुद्रांकण) की कार्यविधि का दिखाई पड़ना। प्रत्येक माल के आंतरिक आवरण पर मुहर या बाह्य आवरण पर गीली लाल मिट्टी रखकर उसके ऊपर प्रामाणिकता का मुद्रांकन रहना।
4. अफगानिस्तान, ईरान और ओमान जैसे देशों के वेशकीमती पत्थरों, टिन, ताँबे आदि धातुओं का यहाँ पाया जाना।

प्रश्न 6.
पुरातत्ववेत्ताओं ने राखीगढ़ी, कालीबंगन, गाँवेडीवाला, मोहनजोदड़ो, सोतकाकोह जैसे कई नगरों को खोजा परंतु इस सभ्यता को केवल हड़प्या नगरीय सभ्यता कहा। ऐसा क्यों?
उत्तर:
इसके निम्नलिखित कारण थे:
1. हड़प्पा नगर का सबसे पहले खोजा जाना।
2. इस नगर में अन्य सभी नगरों के संपूर्ण नमूनों का मिलना। उदाहरणार्थ यहाँ खाद्यान्नों, वस्त्र, कपास, औजार, आभूषण, भवन-निर्माण, मूर्ति शिल्प, आभूषण, कीमती पत्थर आदि सभी मिले हैं। तात्पर्य यह है कि यह नगर सभ्यता के सभी अवशेषों को समेटे हुए है।
3. सभी नगरों से प्राप्त अवशेष एक ही सभ्यता का संकेत देते हैं। चूँकि सभी नगरों के नाम एक साथ देना उपयुक्त नहीं है इसलिए केवल एक नगर के नाम से ही इस सभ्यता को अभिव्यक्त करना पुरातत्वविदों ने उचित समझा होगा।

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प्रश्न 7.
विशाल स्नानागार (मोहनजोदड़ो) के भग्नावशेषों से किन-किन बातों का पता चलता है?
उत्तर:
1. यहाँ के लोग स्वच्छतापसंद थे।
2. इन लोगों द्वारा कुछ त्योहार आदि उत्सव और सामूहिक जौर पर मनाए जाते थे।
3. लोगों में परस्पर बन्धुत्व, एकता और अपनत्व के भाव
4. किन्हीं विशेष अवसरों पर ये लोग सामूहिक स्नानादिक कार्य करते थे।
5. जल संसाधन के बेहतर उपयोग की जानकारी रखते थे।

प्रश्न 8.
किसी एक चीज के मिलने पर पुरातत्वविद् अन्य चीजों की उपस्थिति का अनुमान कैसे लगा लेते हैं? सुस्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
मनुष्य के उपयोग की चीजें स्वयं में सर्वाग नहीं होती बल्कि कई अवयवों में विभाजित रहती हैं। अर्थात् एक कार्य के पूरा होने के लिए बहुत से साधन, युक्ति, पदार्थ आदि की अनिवार्य आवश्यकता रहती है। इससे यह अनुमान लगाया जा सकता है कि जिस चीज के एक अंश की जानकारी मिली है उसके सभी अंश उस समय विशेष में अवश्य रहे होंगे। उदाहरणार्थ-जब पुरातत्ववेत्ताओं ने एक पत्थर की मूर्ति पर कढ़ाईदार वस्त्रों की चित्रकारी को देखा तो उन्होंने यह अनुमान लगा लिया कि यहाँ के लोग वस्त्र विनिर्माण की जानकारी रखते थे। मेहरगढ़ में कपास उगाने के प्रमाण मिलने पर यह अनुमान और अधिक पुष्ट हो गया था। इस मूर्ति में दाढ़ी, मुखाकृति आदि की चित्रकारी से उन्होंने यह अनुमान लगाया कि इस काल के लोग मूर्ति शिल्प और चित्रकारी में निपुण थे। तथ्यों का संकलन, अन्वेषण करने और निष्कर्ष लेने की यह आसान विधि है जिसके आधार पर सामान्यीकरण तक पहुंचा जाता है।

प्रश्न 9.
पुरातत्वविदों को कैसे ज्ञात हुआ कि हड़प्प सभ्यता के दौरान कपड़े का उपयोग होता था?
उत्तर:
इस जलयान माध्यम की यात्रा को हम मोहनजोदड़ो से लोथल स्थित बंदरगाह (गोदी) तक करते। हमारे माता-पिता मोहनजोदड़ो के विशाल भंडारगृहों से हड़प्पाकालीन ताँचे, काँसे, सोने, चाँदी निर्मित सजावट की बहुत सी चीजों को अपने साथ ले जाते। पक्की मिट्टी (टेरीकोटा) से निर्मित खिलौने, नक्काशीदार -वर्तन, कीमती रत्न, माला के मनके (लाल पत्थर), कढ़ाईदार वस्त्र, तकलियाँ और पत्थर की मानक मूर्तियाँ भी वहाँ से लाई जा सकती हैं।

मोहनजोदड़ो में हम कढ़ाईदार वस्त्र पहने हुए पत्थर की मूर्तियाँ, कई तरह के आभूषण, नक्काशीदार चीजें, भाँडे-बर्तन, मोहरें, चित्रकारी, पक्की ईंटों से निर्मित सुन्दर घरों, नालियों के जल निकास और गलियों की व्यवस्था को देखते। संक्षेप में यह कहा जा सकता है कि हम मोहनजोदड़ो नगर की सुन्दर योजना, वस्तुशिल्प, मूर्तिशिल्प, कलाकृति, चित्रकारी, आभूषण विनिर्माण, शिल्प और वस्त्र विनिर्माण का दर्शन करते।

प्रश्न 10.
हड़प्पा के नगरों में रहने वाले लोगों की एक सूची बनाइए और बताइए कि वर्तमान नगरों में रहने वाले लोग इनसे कितने भिन्न हैं।
उत्तर:
हड़प्पा में रहने वाले लोग:
1. वास्तुविद
2. अभियंता
3. चिकित्सक, वैद्य
4. स्वच्छक
5. कई संस्थाएँ
6. व्यापारी
7.शासक
8. पुरोहित
9. लेखक
10. स्वर्णकार
11. आभूषणकार
12. उद्योगपति/उद्यमी
13. जुलाहे
14. चित्रकार
15. संगीतज्ञ
16. ठठेरे आदि।
आधुनिक नगरों में भी कमोवेश ऐसे ही लोग रहते हैं। सूचना, प्रौद्योगिकी विज्ञान, प्राविधि आदि में अत्यधिक विकास होने के कारण औद्योगीकरण, चिकित्सा आदि क्षेत्रों में कार्य करने वाले लोग इसमें जुड़ गए हैं। संक्षेप में हड़प्पा की सभ्यता स्वयं में पूर्णतम निखार प्राप्त नगरीय सभ्यता है। उनकी नालियों से जल-निकास एवं भवन योजना आधुनिक काल से भी बेहतर थी।

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आरंभिक नगर Class 6 HBSE Notes in Hindi

1. पुराने और खंडहर भवनों की मरम्मत और जीर्णोद्धार क्यों करते हैं?: ये हमारी विरासत हैं तथा इनसे हमें अतीत के शिल्प और अन्य भी बहुत सी बातों की जानकारी मिलती है।
2. पुराने भवनों की देखरेख और संरक्षण करने वाला विभाग कौन सा है?: पुरातत्व विभाग।
3. हड़या नामक पुरातत्व स्थल का पता कब लगा?: लगभग 150 वर्ष पूर्व पंजाब (पाकिस्तान) में रेल की लाइनें बिछाने के समय।
4. पुरातत्ववेत्ताओं को हड़प्या स्थल का पता कब लगा?: आज से लगभग 80 वर्ष पूर्व।
5. लोथल, मोहनजोदड़ो आदि सभी नगरों से प्राप्त अवशेषों को हड़प्पा संस्कृति के अवशेष क्यों कहते हैं?: सबसे पहले हड़प्पा नामक स्थल का पता लगने के कारण।
6. हड़प्पा के नगर कब बसे?: लगभग 4700 वर्ष पूर्व।
7. नगर का पश्चिमी बुर्ज जैसा छोटा हिस्सा क्या कहा गया?: दुर्ग।
8. ईंटों की चिनाई कैसे की गई है?: अन्त:पाशन विधि से (दोहरी चिनाई)।
9. दुर्ग में निर्मित विशेष चीज क्या है?: विशाल स्नानागार।
10. हवनकुंड कहाँ पाए गए?: कालीबंगन और लोथल में।
11. विशाल भंडार-गृह कहाँ पाए गए?: मोहनजोदड़ो और लोथल में।
12. जल-निकास की कैसी व्यवस्था थी?: बंद नालियों का जाल सा बिछा हुआ था जो अन्ततः-शहर से दूर नाले में खुलती थीं।
13. हडप्पा नगर के भवन क्या दर्शाते हैं?: यहाँ राजधानी रही होगी।
14. हड़प्पा में कौन-कौन से शिल्पकार रहते थे?: चित्रकार, मूर्ति-शिल्पी, भवन-शिल्पी, लेखक, मोहरें (मुद्रा) बनाने वाले।
15. क्या हड़प्पा से प्राप्त लिपि का अर्थ लगा लिया गया है?: नहीं, अभी तक नहीं लगाया जा सका है।
16. इन नगरों में पाई गई वस्तुएँ किन चीजों से बनी हैं?: पत्थर, सीप, धातु, ताँबा, काँसा, सोना और चाँदी से।

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 4 आरंभिक नगर

17. पत्थर की मोहरें कैसी हैं?: आयताकार।
18. कपास कहाँ उगाया जाता था?: मेहरगढ़ (पाकिस्तान)में आज से 5000 वर्ष पूर्व।
19. लोग रेगमाल को कैसे तैयार करते थे?: रेत या बिल्लौर के बारीक चूर्ण को वस्तु की सतह पर गोंद के साथ मिलाकर।
20. चमकाई गई चीज का रंग कैसा दिखाई पड़ता था?: नीला या समुद्री हरा।
21. रेगमाल का प्रयोग किन चीजों को चमकाने में होता था?: माला के मोती, चूड़ियाँ, कान की बालियाँ और छोटे-छोटे वर्तनों को।
22. हड़प्या वासी ताँबे को कहाँ से आयात करते थे?: राजस्थान और पश्चिमी एशिया के देश ओमान से।
23. टिन का आयात कहाँ से होता था?: अफगानिस्तान से।
24. ढोलबीरा स्थल कहाँ है?: कच्छ की खाड़ी स्थित खादिर वेयट (गुजरात) में
25. लोथल नगर कहाँ है?: गुजरात में (खंभात की खाड़ी के पास)।
26. लोचल में क्या है?: शिल्पिों की कार्यशाला और विशाल भंडार गृह के अवशेष।
27. मिन के पिरामिड क्यों बनाए गए थे?: मृतकों को गाड़ने और उनकी स्मृति को लम्बे समय तक बनाए रखने के लिए।
29. मिन के पिरामिडों में किन-किन चीजों के अवशेष मिले हैं?: खाद्य सामग्री, वस्त्र, आभूषण, भाँडे-बर्तन, संगीत वाद्य, अस्त्र-शस्त्र, पशु, शवों के कंकाल जिनमें शासक और उसके सेवादारों के कंकाल भी एक साथ हैं।

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HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 5 क्या बताती हैं हमें किताबें और कब्रें

Haryana State Board HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 5 क्या बताती हैं हमें किताबें और कब्रें Textbook Exercise Questions and Answers.

Haryana Board 6th Class Social Science Solutions History Chapter 5 क्या बताती हैं हमें किताबें और कब्रें

HBSE 6th Class History क्या बताती हैं हमें किताबें और कब्रें Textbook Questions and Answers

कल्पना करो :

तुम 3000 वर्ष पहले के इनामगाँव में रहती हो। पिछली रात सरदार की मृत्यु हो गई। आज, तम्हारे माता-पिता दफन की तैयारी कर रहे हैं। यह बताते हुए सारे दृश्य का वर्णन करो कि अंतिम संस्कार के लिए कैसे भोजन तैयार किया जा रहा है। तुम्हें क्या लगता है, खाने में क्या दिया जाएगा?
उत्तर:
हमारे समुदाय के मुखिया का कल देहान्त हो गया। आज सुबह से ही समुदाय के सभी आवाल-वृद्ध बनितादिक शव के चारों ओर घर के प्रांगण में एकत्रित हो गए हैं। गाँव के मध्य एक पाँच कमरों वाला घर पहले ही बना दिया गया था। इस घर के सामने दुब का एक प्रांगण है तथा एक पिछवाडा भी है। मैं देख रहा हूँ कि मृतक के स्वजनों ने शव को स्नान कराकर नए वस्त्र पहनाए हैं। अब शव को कफन ओढ़ाकर गाँव के मध्य बने पाँच कक्ष वाले घर में लाया गया। पूरी भीड़ अपने मुखिया के मृत शव के साथ वहाँ चली। वहाँ जाकर कुछ लोगों ने मकान के पिछवाडे एक बहुत चौड़ा गड्ढा खोदा. इसमें पानी छिड़का गया और शव को मिट्टी के एक बहुत बड़े मर्तबान में सीधा उत्तर की ओर सिर करके लिटा दिया गया है। उसकी टाँगों को आपस में फंसा (X) दिया गया है। कई पकवानों से भरे मिट्टी के पात्र और जल के घड़े शव के पास रख दिये गए हैं। अब गड्ढे को मिट्टी से ढक दिया गया है। मकान के एक कमरे में अनाज का कोठार कई तरह के खाद्यान्नों से भर दिया गया है।

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 5 क्या बताती हैं हमें किताबें और कब्रें

आओ याद करें:

क्या बताती हैं हमें किताबें और कब्रें HBSE 6th Class Social Science प्रश्न 1.
निम्नलिखित स्तंभों का सुमेल कीजिए:
(i) सूक्त – (क) सजाए गए पत्थर
(ii) रथ – (ख) अनुष्ठान
(iii) यज्ञ – (ग) अच्छी तरह से बोला गया
(iv) दास – (घ) युद्ध में प्रयोग किया जाता था
(v) महापाषाण – (ङ) गुलाक
उत्तर:
(i) – (ग).
(ii) – (घ).
(iii) – (ख),
(iv) – (ङ).
(४) – (क)

What Books And Burials Tell Us Extra Questions And Answers HBSE Class 6 प्रश्न 2.
वाक्यों को पूरा करो।
(क) ————— के लिए दासों का इस्तेमाल किया जाता था।
(ख) ————— में महापाषाण पाए जाते हैं।
(ग) ज़मीन पर गोले में लगाए गए पत्थर या चट्टान ————— का काम करते थे।
(घ) पोर्ट होल का इस्तेमाल ————— के लिए होता था।
(ङ) इमामगाँव के लोग ————— खाते थे।
उत्तर:
(क) इच्छित कार्यों में
(ख) दक्षिण भारत (कर्नाटक, आंध्र, तमिलनाडु, केरल). दक्कन (मालवा, विन्ध्य, नागपुर) और कश्मीर
(ग) कब्र
(घ) परिवार के अन्य मृत सदस्यों के शवों
(ङ) गेहूँ, जौ, चावल, दालें, मोटा अनाज, मटर, तिल और भेड़, बकरी, सूअर, सांभर, चीतल, कृष्ण मृग, बारहसिंघा, खरगोश, विविध पक्षी, कछुए, केकड़ा और मछली का माँसा

आओ चर्चा करें :

What Books And Burials Tell Us Question Answer HBSE Class 6 प्रश्न 3.
आज हम जो किताबें पड़ते हैं वे ऋग्वेद से कैसे भिन्न हैं ?
उत्तर:

आधुनिक (आज की) पुस्तकेंऋग्वेद
(i) आकर्षक लिपि एवं शैली में छपी रहती हैं।(i) भूर्ज (भोज) की छाल और ताड़पत्रों पर लिखा गया है।
(ii) अनेक भाषाओं में प्रकाशित होती हैं।(ii) केवल संस्कृत भाषा में लिखा गया है।
(iii) तद्भव शब्दों वाली लिपि (मिश्रित/प्रक्षेपित) रहती है।(iii) विशुद्ध तत्सम शब्दों वाली लिपि है।
(iv) विविध विषयों में प्रकाशित की जाती हैं।(iv) इसमें केवल इतिहास, ‘धर्मशास्त्र, समाजशास्त्र, आयुर्वेद, भूगोल और भू-विज्ञान का उल्लेख है।

History Class 6 What Books And Burials Tell Us HBSE प्रश्न 4.
पुरातत्त्वविद् कब्रों में दफनाए गए लोगों के बीच सामाजिक अंतर का पता कैसे लगाते है?
उत्तर:
(i) कुछ कब्रों के ऊपर छोटी शिलाएँ खड़ी की गई हैं-इन्हें समाज के निम्न स्तर के लोगों की कब्र माना गया है।

(ii) कुछ कब्रों यथा-ब्रहमगिरि (आंध्रप्रदेश) में एक कब्र के पास सोने के मनके, चूड़ियाँ आदि बड़ी संख्या में मिली हैं-इससे संकेत मिलता है कि यह समाज के धनाढ्य और उच्च वर्ग का मृतक रहा होगा। जिन कब्रों में खाद्यान्न, आभूषण आदि कम पाए गए हैं उन्हें निर्धन वर्ग की कब्र माना गया है। इनामगाँव में तो एक कत्र को पाँच कमरों वाला अनाज कोठार से भरा मकान ही सौंपा गया है। यह शायद समुदाय के मुखिया की कब्र है।

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 5 क्या बताती हैं हमें किताबें और कब्रें

क्या बताती है हमें किताबें और HBSE 6th Class Social Science प्रश्न 5.
एक राजा का जीवन दास या दासी के जीवन से कैसे भिन्न होता था ?
उत्तर:
(i) ऋग्वेद के इस वर्णन से कि राजा युद्ध करते थे और युद्धबंदियों को अपना दास बनाते थे।
(ii) ऋग्वेद में कार्य अनुसार ही नाम दिया गया था। दास का अर्थ है:पूर्णतः परतंत्र एक गुलाम, जिसकी अपनी कोई इच्छा नहीं और अपना कोई जीवन नहीं, जिसको स्वामी के आदेश का प्राणापन से पालन करना है।
(iii) ऋग्वेद कहता है कि दास और दासी अपने स्वामियों की संपत्ति समझे जाते थे और स्वामी उनसे किसी भी तरह के कार्य करा सकता था। आओ करके देखें:

प्रश्न 6.
पता करो कि तुम्हारे विद्यालय के पुस्तकालय में धर्म के विषय पर किताबें हैं या नहीं। उस संग्रह से किन्हीं पाँच पुस्तकों के नाम बताओ।
उत्तर:
सामान्यतया विद्यालय के पुस्तकालय में धर्मग्रंथों के सार, पुस्तिकाएँ, संस्मरण आदि ही होते हैं क्योंकि राज्य धर्म निरपेक्ष शिक्षा का पक्षधर है। फिर भी अन्तर्राष्ट्रीय, ख्यातिलब्ध ग्रंथ-रामायण, महाभारत, हितोपदेश, कल्याण, कुरान की आयतें, बाइबल, गुरुग्रंथ साहिब, याज्ञवल्क्य स्मृति, विदुर नीति. चाणक्य नौति, विविध चालीसाएँ (दुर्गा, शिव, हनुमान, गणेश: सूर्य, सरस्वती) आदि का संग्रह अवश्य देखा जा सकता है। इनमें से किन्हीं पाँच पुस्तकों के नाम लिखे जा सकते हैं।

प्रश्न 7.
एक याद की हुई कविता या गीत लिखो। तुमने उस कविता या गीत को सुनकर याद किया था या पढ़कर ?
उत्तर:
“उठ जाग मुसाफिर भोर भई, अब रैन कहाँ जो सोवत है।
जो सोवत है सो खोवत है, जो जागत है सो पावत है।
टुक नींद से आँखयाँ खोल जरा और अपने प्रभु को ध्यान में ला।
यह प्रीत करन की रौत नहीं, प्रभु-जागत हैं तू सोवत है।
नादान भुगत करनी अपनी, क्यों करनी पर पछताता है।
जब पाप की गठरी शीश धरी, फिर शीश पकड़ क्यों रोवत
यह गीत राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी द्वारा रचित है। इस गीत को मेरी दादी-माँ प्रात:काल नित्यकर्म के समय गुनगुनाती रहती थी। आरंभ में मैंने इस ओर ध्यान नहीं दिया लेकिन चौथी कक्षा में पहुँचने तक मुझे यह स्वतः ही कंठाग्र हो गया था।

नोट:छात्र इसी तरह स्वयं को कंठाग्र कविता तथा उसके कंठाग्र होने के स्रोत को लिख सकते हैं। यह केवल संकेत मात्र है।

प्रश्न 8.
ऋग्वेद में लोगों का वर्गीकरण उनके कार्य या उनकी भाषा के आधार पर किया जाता है। नीचे की तालिका में तुम छ: परिचित लोगों के नाम भरो। इनमें तीन पुरुष और तीन महिला होने चाहिए। प्रत्येक का पेशा और भाषा लिखो। क्या तुम उस विवरण में कुछ और जोड़ना चाहोगी।
उत्तर:

नामकार्य नामभाषाअन्य वितरण
(i) मनोजडॉक्टर, वैद्यहिन्दी (औपचारिक), अंग्रेजी (अनौपचारिक)यह अंग्रेजी शब्द है। इसके लिए वैद्य शब्द प्रयोग किया जाता था। भेषजज्ञ भी कहा जाता है।
(ii) रामफलहिन्दीयदि केरल का है तो मलयालम, उड़ीसा का है तो उड़िया बोलेगा।
(iii) रामचन्द्रआभूषणकार, सुनारहिन्दीस्थानीय बोली भी बोल सकता है।
(iv) सावित्री देवीमाता (संतान की उत्पत्ति और पालन-पोषण)हिन्दीस्थानीय भाषा भी। समस्त घरेलू कार्य माँ ही संपन्न करती है।
(v) धनवंतीनर्स (प्रसव-काल की परिचा/ हिन्दी शुश्रूषा और संतान पालन में सहायिका)हिन्दीस्थानीय भाषा भी। धाय अधिकतर अस्पतालों में माताओं का प्रसव कराती है। इन्हें औषधि-जान भी होता है।
(vi) सुलक्षणा रायअध्यापिका (विद्यालय में छात्र-छात्राओं को शिक्षा देना)हिन्दी (औपचारिक), अंग्रेजी (अनौपचारिक)प्राचीन काल में संस्थागत सेवारत केवल शिक्षक ही हुआ करते थे। महिलाओं के लिए नगण्य स्थान था।

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 5 क्या बताती हैं हमें किताबें और कब्रें

HBSE 6th Class History क्या बताती हैं हमें किताबें और कब्रें Important Questions and Answers

अति लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
घंटी बजने पर अध्यापक ने बच्चों से अपने पीछे आने को क्यों कहा?
उत्तर:
अध्यापक बच्चों को पहली बार पुस्तकालय और पुस्तकों से परिचित कराना चाहते थे।

प्रश्न 2.
वेद कितने प्रकार के हैं और इन्हें कब लिखा गया था ?
उत्तर:
वेद चार प्रकार के हैं:
1. ऋग्वेद
2. सामवेद
3. पजुर्वेद और
4. अथर्ववेद।
इन्हें आज से लगभग 3500 वर्ष पूर्व ऋषि-मुनियों ने लिखा था।

प्रश्न 3.
ऋग्वेद में कितने श्लोक हैं और उन्हें क्या कहा जाता है ?
उत्तर:
एक हजार से अधिक श्लोक हैं। इन्हें सूक्त कहा जाता है।

प्रश्न 4.
सूक्त का क्या अर्थ है?
उत्तर:
कही गई अच्छी बात या सु+उक्ति। यह लोकोक्ति भी हो सकती है।

प्रश्न 5.
श्लोकों के माध्यम से क्या अभिव्यक्ति की गई
उत्तर:
बहुधा इनमें देवी-देवताओं की स्तुति या प्रार्थना है।

प्रश्न 6.
ऋग्वेद की पांडुलिपि कब और कहाँ मिली ?
उत्तर:
कश्मीर में लगभग 150 वर्ष पूर्व। यह भूर्ज वृक्ष की छाल पर लिखा गया है। यह अब पुणे (महाराष्ट्र) के पुस्तकालय में सुरक्षित है।

प्रश्न 7.
संस्कृत क्या है ?
उत्तर:
भारोपीय कहे जाने वाले भाषा-परिवार का एक हिस्सा।

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प्रश्न 8.
भारोपीय भाषा परिवार में कुल कितनी भाषाएँ सम्मिलित हैं ?
उत्तर:
संस्कृत, असमी, गुजराती, हिन्दी, कश्मीरी, सिन्धी (भारतीय भाषाएँ) और अंग्रेजी, फ्रेंच, जर्मन, यूनानी, इतालवी और स्पैनिश (यूरोपीय)।

प्रश्न 9.
ऋग्वेद के अध्ययन से पुरातत्वविदों को क्या जानकारी मिलती है?
उत्तर:
(i) उस काल का साहित्य विशुद्ध संस्कृत में लिखा गया था और कथोपकथन के माध्यम से विषय-वस्तु को विस्तार दिया गया है।
(ii) प्रकृति की चीजों (नदी आदि) को उपासना की जाती थी।

प्रश्न 10.
ऋग्वेद काल में रथं क्यों महत्त्वपूर्ण थे?
उत्तर:
(i) भूमि, वन, चरागाह आदि पर कब्जा करने के लिए लगातार युद्ध करने की प्रवृत्ति।
(ii) परिवहन के साधन।

प्रश्न 11.
युद्ध में लूटी गई संपत्ति एवं धन का वितरण कैसे होता था ?
उत्तर:
(i) शासक या मुखिया
(ii) पुरोहित और शेष
(iii) आम जनता के बीच।

प्रश्न 12.
यज्ञ या बलिदान क्यों किए जाते थे?
उत्तर:
इनको प्रकृति की उपासना का एक अभिन्न अंग समझा जाता था। अभिलाषाओं की पूर्ति होने के पश्चात् विविध कामना-यज्ञ किए जाते थे। अज्ञात परंतु सर्वोच्च शक्ति (ईश्वर) के अस्तित्व का बोध था।

प्रश्न 13.
क्या ऋग्वेद काल में आज की तरह पृथक सैन्य-संगठन थे?
उत्तर:
नहीं। वहाँ पर सभाएँ आयोजित करके निश्चय लिए जाते थे। आम-नागरिकों को ही युद्ध में अपने मुखिया के साथ भाग लेना पड़ता था।

प्रश्न 14.
ब्राह्मणों का कार्य-नाम क्या था ?
उत्तर:
पुरोहिता

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प्रश्न 15.
उस काल के राजा कौन थे और क्या करते थे ?
उत्तर:
समुदाय या संगठन का अनुभवी एवं बुद्धिमान वृद्ध अथवा साहसी और वीर एवं युद्धप्रिय नवयुवक सभा के द्वारा राजा चुना जाता था। वह एक गणतंत्र का प्रधान था। सभा सर्वोपरि थी और किसी को भी किसी समय राजा बना सकती थी। वे युद्ध करते और विजित धन-संपत्ति का कुछ भाग अपने पास रखते थे। कुछ भाग पुरोहित को और शेष समस्त धन-संपत्ति आम जनता में बाँटी जाती थी।

प्रश्न 16.
ऋग्वेद के श्लोकों की रचना करने वालों ने स्वयं को क्या कहा है ?
उत्तर:
आर्य।

प्रश्न 17.
आर्यों के प्रतिद्वंदी कौन थे?
उत्तर:
दस्यु या दास (अनार्य) जो भिन्न भाषाएँ बोलते थे और यज्ञ अनुष्ठान नहीं करते थे।

प्रश्न 18.
ऋग्वेद कहाँ लिखा गया ?
उत्तर:
भारतीय उपमहाद्वीप के उत्तर-पश्चिमी भाग (सिन्धु नदी के घाटी क्षेत्र) में लिखा गया क्योंकि इसमें सिन्धु और उसकी सहायक नदियों का बार-बार उल्लेख हुआ है।

प्रश्न 19.
महापाषाण क्या थे?
उत्तर:
पत्थरों की विशाल शिलाएँ जो कनगाह या श्मशान स्थल का संकेत देती थीं।

प्रश्न 20.
महापाषाण की कब्रगाहें किस-किस रूप में पाई गई हैं ?
उत्तर:
(i) कहीं केवल एक विशाल शिला को जमीन में खड़ा किया गया है
(ii) कहीं कब्र के ऊपर कई शिलाओं को वृत्ताकार पंक्ति में गाड़ा गया है।

प्रश्न 21.
महापाषाणी कब्रों को तैयार करते समय दक्षिण भारत के लोग किस क्रम में कार्य करते थे?
उत्तर:
1. अनुकूल शिलाओं को ढूँढना
2. शिलाओं को तोड़ना
3. उन्हें कब्रस्थल पर ढोकर लाना
4. उचित आकार देना
5. खड्ड खोदना, शव को गाड़ना
6. शिलाओं को सही स्थान पर रखना
7. उन्हें सही आकार देने की कोशिश करना।

प्रश्न 22.
सभी महापाषाणी कब्रों में एक जैसी बातें क्या देखी गई हैं ?
उत्तर:
1. शवों को काली और लाल मिट्टी के पात्रों के साथ गाड़ा गया है।
2. लौह-औजार और हथियार, घोड़े के कंकाल, उसकी लगाम, काठी आदि तथा पत्थर और सोने के आभूषण रखे गए हैं।

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प्रश्न 23.
क्या हड़प्पा के नगरों की सभ्यता काल में लोहे की खोज हो चुकी थी?
उत्तर:
नहीं। यह खोज वैदिक काल में ही हुई।

प्रश्न 24.
ब्रह्मगिरि (आंध्रप्रदेश) के पुरातत्व स्थल पर पाई गई महापाषाणी कब्र में कौन-कौन सी चीजें मिली हैं ? इससे आप क्या अनुमान लगा सकते हैं ?
उत्तर:
सोने की माला के 33 मनके पत्थर की माला के दो मनके, ताँबे के चार कंगन और एक शंख। इससे जानकारी मिलती है कि यह कन किसी मुखिया, सरदार जैसे समाज प्रमुख की होगी। हाँ यह नहीं कहा जा सकता कि वह पुरुष था या महिला क्योंकि चूड़ी महिलाएं पहनती हैं तो कंगन / कड़े पुरुष भी पहनते हैं।

प्रश्न 25.
एक परिवार के मृतकों को एक ही महापाषाण की कब्र में कैसे दफनाया जाता होगा?
उत्तर:
पुरातत्वविदों को ऐसी महापाषाण शिलाएँ मिली हैं कि जिनके बीच में एक मूका (खिड़कीनुमा) रिक्त स्थान रखा गया संभवत: इसी मूका के रास्ते कब तल तक उतरकर वे लोग परिवार के अन्य शवों को गाड़ते तथा उनके खाने-पीने का सामान, आभूषण आदि रखते थे।

प्रश्न 26,
पाषाणों को एक वृत्ताकार परिपथ में क्यों रखा जाता होगा?
उत्तर:
सही कब्रस्थल की पहचान के लिए। इस पहचान के आधार पर बाद में ठीक उसी कब्र पर पहुँचा जा सकता था जो परिवार के पहले मृतक के लिए बनाई गई थी।

प्रश्न 27.
भीमा नदी की सहायक नदी ‘घोड़’ के किनारे इनामगाँव (महाराष्ट्र) नामक पुरातत्व स्थल में लोग कितनी अवधि तक रहे ?
उत्तर:
इस पुरातत्व स्थल पर लोगों का आगमन आज से 3600 वर्ष पूर्व हुआ और 2700 वर्ष पूर्व तक वे वहाँ रहे अर्थात् 3600-2700 = 900 वर्ष की अवधि तक यहाँ प्राचीन लोगों की आबादी रही।

प्रश्न 28.
इनामगाँव में कितने तरह की को पाई गई हैं ?
उत्तर:
1. घर के भीतर बनाई गई कब्र
2. घर के पिछवाड़े बनाई गई कब्र और
3. कई कमरों वाले घर के पिछवाड़े बनाई गई कब्रा

प्रश्न 29.
बच्चे और वयस्क मृतक के कंकाल को कैसे पहचाना गया ?
उत्तर:
बच्चे के कंकाल वयस्क के पूर्ण विकसित कंकाल की तुलना में छोटे होते हैं।

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प्रश्न 30.
पुरुष और महिला मृतक की कन को कैसे पहचानते हैं ?
उत्तर:
1. चूड़ियाँ और अन्य अंगारिक सामान
2. महिलाओं की उरोस्थि (नितम्ब की हड्डी) पुरुष की तुलना में अधिक चौड़ी और मोटी होती है।

प्रश्न 31.
चरक नामक प्राचीन चिकित्सक के अनुसार मनुष्य के शरीर में हड्डियों की संख्या कितनी है?
उत्तर:
360 हड्डियाँ (आधुनिक शरीर-रचना विज्ञान के अनुसार 206 हड्डियाँ)।

प्रश्न 32.
चरक ने आधुनिक शरीर-रचना विज्ञान की तुलना में मानव शरीर की हड्डियाँ अधिक क्यों बताई होगी?
उत्तर:
संभवत: चरक ने दाँत, सन्धियों और उपास्थि (यथा नाक और कान की लोचदार हड्डी) की संख्या भी स्थूल हड्डियों में जोड़ दी होगी।

प्रश्न 33.
चरक संहिता कब लिखी गई?
उत्तर:
आज से लगभग 2000 वर्ष पूर्व।

प्रश्न 34.
इनामगाँव (महाराष्ट्र) के लोगों का मुख्य भोजन क्या था ?
उत्तर:
उनका मुख्य भोजन माँस था। वे भैंस, बकरी, भेड़, कुत्ता, घोड़ा, गधा, सूअर, सांभर, चीतल, कृष्णमृग, बारहसिंघा, खरगोश, नकुल, विविध पक्षियों, मगरमच्छ, कछुआ, केकड़ा और मछली का गोश्त खाते थे। बेर, जामुन, आँवला, खजूर तथा कई तरह के सरस फल भी उनके भोजन में सम्मिलित थे।

प्रश्न 35.
लेखन-कला का आरंभ कब और कहाँ हुआ ?
उत्तर:
चीन में। आज से 3500 वर्ष पूर्व।

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प्रश्न 36.
लेखन-कला के आरंभिक रूप की विशेषताएँ बताइए।
उत्तर:
1. राजाओं द्वारा हड्डियों पर प्रश्न लिखाए जाते थे।
2. ऐसे प्रश्न भविष्य की जिज्ञासा वाले थे।
3. इन्हें आग में डाला जाता था और फिर बाहर निकाल कर चटके हुए अक्षरों एवं शब्दों के आधार पर भविष्य कथन किया जाता था।

लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
पुस्तक और श्मशान अतीत को जानने के महत्त्वपूर्ण स्रोत हैं। विवेचना कीजिए।
उत्तर:
इस प्रश्न का उत्तर देने के लिए यह उल्लेख करना आवश्यक है कि पुस्तक वस्तुतः संबंधित व्यक्ति के अपने जीवन-काल में भोगे गए पदार्थ, समाज, समुदाय, देश, राज्य, राजनीति, धर्मनीति (Ethics), अपनी मनोदशा और मनोविचार, रुचियाँ, किसी विषय विशेष की दिशा में किए गए कार्य आदि का विवरण है।

इसी विवरण के आधार पर अतीत की संपूर्ण गतिविधियाँ, स्थिति और परिस्थिति का परिरक्षण, विविध पुस्तकों का अध्ययन, परिशीलन, चिन्तन और निष्कर्ष आधार पर किया जाता है। श्मशान/कब्रगाह वस्तुत: व्यष्टि के सामाजिक संबंध, प्रचलित आस्था और विश्वास, रहन-सहन के तौर-तरीके, आर्थिक परिस्थिति, भावात्मक संज्ञान आदि के साक्ष्य प्रस्तुत करने वाला दीर्घावधि तक संचित कोष हैं। उदाहरणार्थ-महापाषाणी कब्रगाहों से पुरातत्वविदों को प्राप्त विविध जानकारी।

प्रश्न 2.
वेदों के बारे में एक संक्षिप्त टिप्पणी लिखिए।
उत्तर:
वेद संख्या में चार हैं:
1. ऋग्वेद
2. यजुर्वेद
3. सामवेद और
4. अथर्ववेद।
इन चारों वेदों में देवी-देवताओं और प्रकृति के विविध स्वरूपों यथा-पेड़-पौधों, महत्त्वपूर्ण पशु (गाय आदि) की उपासना के मंत्र और स्तुतियाँ लिखी गई हैं। ऋग्वेद विश्व का सबसे प्राचीनतम और पहला संस्कृत में लिपिबद्ध ग्रंथ है। आज से लगभग 150 वर्ष पूर्व कश्मीर में इसकी भूर्ज छाल पर अंकित पांडुलिपि प्राप्त हुई। इसको अब पुणे (महाराष्ट्र) के संग्रहालय में सुरक्षित रखा गया है। इसी पांडुलिपि के आधार पर इसका अनुवाद अब हिन्दी, अंग्रेजी सहित कई भाषाओं में किया जा चुका है।

प्रश्न 3.
ऋग्वेद काल के राजा और लगभग 3500 वर्ष पूर्व के चीन के शासकों के बीच क्या अंतर था?
उत्तर:

ऋग्वेद काल के राजाचीन के शासक
(i) ये वस्तुतः एक जन (गणतंत्र) के मुखिया थे।(i) ये अनुवांशिक पद वाले राजा थे।
(ii) इन गणतंत्रों में सभा के पास सर्वोच्च शक्ति थी। वह प्रयोजन अनुसार राजा का चयन करती थी।(ii) यहाँ के राजा का एकछत्र  और अनन्य शासन था। उसको  सर्वोच्च शक्तियाँ प्राप्त थीं।
(iii) ये वीर, साहसी और युद्धप्रिय थे।(iii) ये स्वभाव से कायर प्रतीत होते हैं क्योंकि अपने भविष्य को हड्डियों में प्रश्न लिखकर तथा उन्हें जलाकर जानने की चेष्टा करते थे।
(iv) ये लोहे के विविध उपयोग और प्रयोग करते थे।(iv) इन्हें लोहे की जानकारी नहीं थी।
(v) ये युद्ध जीतने से प्राप्त थे धन-संपत्ति को तीन भागों में वितरित करते थे। जनता भी इस धन में हिस्सा पाती थी। सादगीपूर्ण जीवन जीवन व्यतीत करते थे।(v) ये निरंकुश शासक और जनता का शोषण करके अतुल संपत्ति का संचय किया करते थे। ये विलासितापूर्ण व्यतीत करते थे।

प्रश्न 4.
ऋग्वेद के श्लोकों को ‘सूक्त’ क्यों कहते होंगे?
उत्तर:
वस्तुतः ‘सूक्त’ शब्द सु + उक्ति अर्थात् सर्वहित/लोकहित करने वाली बातें या कथन के अर्थ में अभिप्रेत है। इसमें नदियाँ, झीलें, सागर, जीव-जन्तु, स्थावर और जंगम संपदा (अर्थात् चल और अचल), समस्त प्राकृतिक, मानवीय, पुरातात्विक ससाधन आदि का पूजनीय/ सम्मानित स्थान दिया गया है। सर्वसमभाव, शांतिपूर्ण सह-अस्तित्व, समष्टि में व्यष्टि एवं व्यष्टि तथा समष्टि के भावात्मक, अध्यात्मिक संबंध आदि का सुन्दर निरूपण है।

वस्तुत: पारिस्थितिक तंत्र और जैव पारिस्थितिकी का ऋग्वेद के रचनाकारों को विशद अनुभव रहा होगा। वेदों को श्रुति भी कहते हैं क्योंकि इसके श्लोकों का पाठ, चिन्तन, अभ्यास, प्रयोग (कार्य) तत्कालीन पुरोहितों द्वारा सार्वजनिक स्थलों, गुरुकुलों, सभा-भवनों आदि में नियमित रूप से कराया जाता था एवं उन पर ‘प्रश्नोत्तर सत्र’ भी संपन्न किया जाता था। निरंतर अभ्यास से ये श्लोक लोगों को कंठस्थ हो जाते थे।

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प्रश्न 5.
संस्कृत भाषा को भारोपीय क्यों कहा जाता है ?
उत्तर:
भारोपीय शब्द में भारत एक यूरोप अन्तर्निहित है। कालांतर में भाषाविदों ने विविध भाषाओं को सही तरह समझ पाने के लिए उनके समूह बनाए। आदिकाल की भाषा संस्कृत है और भारत की अन्य भाषाएँ-असमी, गुजराती, हिन्दी, कश्मीरी (डोगरी) तथा सिन्धी हैं। यूरोप महाद्वीप के देशों की भाषाएँ देश के नाम के आधार पर फ्रेंच, स्पेनिश, जर्मन, आंग्ल (अंग्रेजी), इतालवी आदि हैं। इन सभी भाषाओं को एक समूह में रखा गया है और उस समूह को भारोपीय भाषा समूह नाम दिया गया है।

इन भाषाओं का एक समूह बनाने का आधार इनके बहुत से शब्दों का उच्चारण, अर्थ, अभिप्रेत/आशयित अर्थ आदि में समरूपता के लिया गया है। उदाहरणार्थ-मातृ (संस्कृत), माँ (हिन्दी) और मदर (mother) अंग्रेजी।

प्रश्न 6.
वैदिक काल में समाज की संगठन व्यवस्था कैसी थी? विवेचना कीजिए।
उत्तर:
वैदिक काल का सामाजिक संगठन :
(i) यह एक गणतंत्र जैसी व्यवस्था थी। इसमें मुखिया या प्रधान को वीरता, साहस, अनुभव, श्रेष्ठता आदि मानदंडों के आधार पर चुना जाता था। यह आनुवांशिक पद नहीं था। इस काल में ‘सभा’ या ‘परिषद’ को सर्वोच्च शक्ति प्राप्त थी। परिषद के सदस्य समाज के सभी वर्गों के प्रतिष्ठित व्यक्ति होते थे। परिषद चाहे तो मुखिया को किसी भी समय हटा सकती थी। बहुधा कार्य। प्रयोजन के आधार पर मुखिया का तदर्थ चयन भी किया जाता था।

(ii) इस संगठन में धन-संपत्ति (सकल आय) को तीन भागों में वितरित किया जाता था। एक भाग शासक (मुखिया) वर्ग, दूसरा पुरोहित वर्ग और तीसरा भाग जनता में बाँटा जाता था। संपत्ति की प्राप्ति बहुधा युद्धों से होती थी। अच्छे चरागाहों, उपजाऊ भूमियों, जल-स्रोत आदि पर कब्जा करने तथा युद्धबंदियों को दास बनाकर कार्य लेने के लिए ऐसे युद्ध होते थे। इन गणतंत्रों के मुखिया का कोई महल, राजधानी, नगर या सैन्य संगठन नहीं होता था। ‘सभा’ या ‘परिषद्’ ही कार्य के अनुसार आम नागरिकों में से सैनिकों का चयन करती थी। तात्पर्य यह है कि मुखिया या प्रशासक को किसी तरह के विशेषाधिकार प्राप्त नहीं थे।

प्रश्न 7.
महापाषाणी कब्रों की क्या विशेषताएँ थीं ? इन्हें तैयार करते समय तत्कालीन लोगों की क्या धारणा रही होगी?
उत्तर:
महापाषाणी कब्रों की विशेषताएँ :
(i) कत्रों को पहचानने में ये संकेतक का कार्य करती थी।

(ii) कि एक परिवार के मृतक एकं ही श्मशान क्षेत्र (महापाषाणों की वृत्ताकार परिधि) के भीतर दफन किए जाते थे अतः ऐसे क्षेत्र की एकदम सही जानकारी बाद में ये भी आवश्यक थी इसी कारण ऐसी विशेष कनें बनी।

(iii) मिन की एक महापाषाणी कब्र में मानव कंकाल के साथ ही बेशकीमती कंगन, सोना, ताँबा आदि धातुओं के बर्तन और आभूषण तथा खाद्य सामग्री प्राप्त हुई है। यह भी इन कब्रों की ही विशेषता है।

(iv) नामंगाँव की एक कब्र ऐसी है जिसमें पाँच कमरों का एक घर ही कब्र को समर्पित है। इस घर के सभी कमरों में खाद्यान्न, अस्त्र-शस्त्र, वस्त्र, आभूषण आदि का प्रचुर भंडार है तथा कब्र को पिछवाड़े खोदा गया है। एक पक्की मिट्टी से निर्मित मर्तबान की बनावट वाले पात्र में मृतक का कंकाल मिला है। शहर के एकदम मध्य में रहने से यह अनुमान लगाया गया है कि यह कन किसी नगराधीश, नगर-प्रमुख जैसे भद्र-पुरुष की रही होगी।

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प्रश्न 8.
इनामगाँव (महाराष्ट्र) पुरातत्व स्थल के लोग क्या-क्या कार्य-व्यवसाय करते थे? सविस्तार वर्णन कीजिए।
उत्तर:
महाराष्ट्र में भीमा नदी की सहायक घोड़ नदी के किनारे यह पुरातत्व स्थल खोजा गया है। यहाँ के लोगों का कार्य-व्यवसाय निम्नलिखित स्वरूपों का था:
(i) पशुपालन एवं कृषि कार्य
(ii) आखेट (पशु, पक्षी, जलचर)
(iii) मछली पकड़ना
(iv) खाद्य संग्रह कर्म।

(i)पशुपालन एवं कृषि कर्म के प्रमाण:
गेहूँ, जौ, चावल विविध दालें, मोटा अनाज (ज्वार, कोदो, बाजरा), मटर (फलियों वाले पौधे) एवं तिल के बीज पाए गए हैं। भैंस, बकरी, भेड़, कुत्ता, घोड़ा, गधा, सूअर, सौभर, चीतल, कृष्ण मृग, बारहसिंघा, खरगोश और नेवला जैसे चौपाए पशुओं के कंकाल, कई प्रजाति के पक्षियों, मगरमच्छ, कछुआ, केकड़ा और मछली जैसे जलचरों की विविध प्रजातियों के कंकाल भी मिले हैं। इससे प्रमाणित होता है कि वे लोग पशुपालन व्यवसाय करते थे।

(ii) आखेट:उक्त पशु-पक्षियों, जलचरों के कंकाल स्वत: ही बताते हैं कि लोग मांसाहारी थे तथा इनका शिकार किया करते थे।

(iii) मछली पकड़ना:मछली मारने के काँटे, विशेष किस्म की मच्छीमार नावें आदि एवं मछलियों के कंकाल प्रकट करते हैं कि लोग मछली मारने का व्यवसाय भी करते थे।

(iv) खाद्य संग्रह कर्म:
बेर, आँवला, जामुन, खजूर और विविध किस्म के रसदार फलों के बीजों का मिलना दर्शाता है कि इन जंगली फलों की महाराष्ट्र में उत्पत्ति होती थी और वैदिक काल का एक मानव-वर्ग पुरापाषाण काल से प्रचलित इस प्राथमिक कार्य को भी करता था। यह यायावर (घुमंतू) लोगों का वर्ग था जो एक स्थान से दूसरे स्थान को लगातार भ्रमण करते थे एवं घर-द्वार रहित थे।

क्या बताती हैं हमें किताबें और कब्रें Class 6 HBSE Notes in Hindi

1. पुस्तकालय क्या है ?:वह स्थान जहाँ विश्व की विविध भाषाओं की पुस्तकें, अनेक विषयों में अध्ययन हेतु उपलब्ध रहती है।
2. पुस्तकालयों का क्या महत्त्व है ?:ये अतीत की घटनाओं, आविष्कारों, खोजों, प्रशासन, समाज, आहार-व्यवहार आदि की जानकारी पुस्तकों के माध्यम से देते हैं।
3. वेदों को श्रुति क्यों कहते हैं ?:एक पीड़ी से दूसरी पीढ़ी तक श्लोकों को मौखिक रूप से सुना, समझा और याद कराकर पहुँचाने के कारण।
4, तीन देवता कौन-कौन से हैं ?:अग्नि, इन्द्र और सोम (एक पौधा जिससे सोमपेय पदार्थ तैयार किया जाता था)
5. ऋग्वेद में कितने श्लोक हैं ?:एक हजार से अधिक।
6. भारोपीय भाषा परिवार की सदस्य भाषाएँ कौन-कौन सी हैं?:असमी, गजराती, हिन्दी, कश्मीरी, सिन्धी, और संस्कृत (भारतीय भाषाएँ) एवं अंग्रेजी, फ्रेंच, जर्मन, यूनानी, इटालवी, स्पेनिश (यूरोपीय भाषाएं)।
7. तिब्बत-वर्मा परिवार की भाषाएँ:भारत के उत्तर-पूर्व में बोली जाने वाली भाषाएँ।
8. द्रविड़ परिवार की भाषाएँ:तमिल, तेलुगू, कन्नड़ और मलयालम।
9. आस्ट्रो-एशियाई भाषाएँ:झारखंड और मध्य भारत में बोली जाने वाली भाषाएँ।
10, वैदिक साहित्य का केवल पाठ और श्रवण क्यों होता होगा ?:मुद्रण कला का आविष्कार उस समय तक न होने के कारण।
11. ऋग्वेद में किन नदियों का नाम नहीं लिया गया है ?:महानदी, तापी, नर्मदा, चंबल, सोन, गोदावरी, कृष्णा, पेन्नार, कावेरी।
12. ऋग्वेद की पांडुलिपि कहाँ और कब प्राप्त हुई ?:कश्मीर के आज से लगभग 180 वर्ष पूर्व।
13. यज्ञ में आहुति किन-किन चीजों की दी जाती थी ?:घी, खाद्यान्न, तिलहन और यदा-कदा पशुओं की।
14. युद्ध से प्राप्त धन का वितरण कैसे होता था ?:शासक, पुरोहित और जनता में वितरित होता था।
15. युद्ध करने का क्या प्रयोजन था?:चौपाए पशुओं को पकड़ने, कृषि और चरागाह भूमि पर कब्जा करने, जल संसाधन तथा लोगों को अपने अधीन करने के लिए।

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 5 क्या बताती हैं हमें किताबें और कब्रें

16. क्या वैदिक काल में राजा का पद पैतृक था ?:नहीं।
17. “जन” और “विश” शब्दों का प्रयोग किसके लिए किया गया है ?:गणतंत्र स्वरूप के राज्यों हेतु।
18. ‘दास’ या ‘दस्यु’ शब्द का प्रयोग किसके लिए किया गया है ?:अपने विरोधी राज्य या शत्रु गणतंत्र के लिए।
19. महापाषाण/बृहत् पाषाण क्या हैं ?:दक्कन और दक्षिण भारत के कुछ क्षेत्रों की प्राचीनतम कब्रगाह। श्मशान स्थला
20. महापाषाण खड़ा करने की परंपरा कब आरंभ हुई?:आज से लगभग 3000 वर्ष पूर्व।
21. महापाषाणी कब्रगाहें कहाँ पाई गई हैं ? आदिचनाल्लूर (केरल), पेचमपल्ली (तमिलनाडु), ब्रहमगिरि (आंध्र प्रदेश), हुस्गी (महाराष्ट्र), हल्लूर (महाराष्ट्र), दाउजली हेडिंग (त्रिपुरा)
22. काली और लाल मिट्टी के बर्तन कहाँ पाए गए हैं ? महापाषाणी कब्रगाहों में गड़े हुए।
23. ब्रहमगिरि की एक महापाषाणी कब्रगाह में क्या-क्या चीजें मिली हैं? एक मानव कंकाल, 33 सोने के मनके, 2 पत्थर निर्मित मनके, 4 ताँबे की चूड़ियाँ और एक शंख।
24. एक ही कन में कई नर कंकाल मिलने से क्या अनुमान लगाया गया है? एक ही परिवार के सदस्यों के शव अलग-अलग _ समय पर गाड़े गए होंगे।
25. कन्नगाह के ऊपर वृत्ताकार विशाल पत्थर क्यों रखा जाता होगा?:कब्र की पहचान के लिए ताकि बाद में भी उसके दर्शन करने आया जा सके।
26. इनामगाँव में कितनी तरह की कनें पाई गई हैं ?:

  • सिर उत्तर की ओर रखकर शव के शरीर को पूरी लंबाई में पृथ्वी में गाड़ना
  • घर के ही एक हिस्से में शव गाड़ना,
  • घर के पिछवाड़े मिट्टी के बहुत बड़े पात्र में शव को रखकर गाड़ना।

27. कब्र में महिला का शव है या पुरुष का कैसे पता चलता रहा होगा?:

  • कंकाल के साथ आभूषणों का रहना
  • कंकाल की उरोस्थि अधिक चौड़ी मिलने की दशा में महिला का शव होना।

28, ‘चरक संहिता’ किसने और कब लिखी ?:लगभग 2000 वर्ष पूर्व चरक नामक बौद्ध अनुयायी ने (आयुर्वेद विशेषज्ञ)।
29. इनामगाँव (महाराष्ट्र) के लोग कौन-कौन से फल खाते थे ? बेर, आँवला, जामुन, खजूर, तथा कई अन्य सरस फल।

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HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 6 राज्य, राजा और एक प्राचीन गणराज्य

Haryana State Board HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 6 राज्य, राजा और एक प्राचीन गणराज्य Textbook Exercise Questions and Answers.

Haryana Board 6th Class Social Science Solutions History Chapter 6 राज्य, राजा और एक प्राचीन गणराज्य

HBSE 6th Class History क्या बताती हैं हमें किताबें और कब्रें Textbook Questions and Answers

कल्पना करो:

वैशाली के उस सभागार में तुम अंदर झाँक रहे हो जहाँ मगध के राजाओं द्वारा आक्रमण का सामना करने के विषयों पर चर्चा की जा रही है। तुमने क्या सुना?
उत्तर:
वैशाली के सभा-भवन में हमें यह सुनाई देगा कि आठ गणों वाले वज्जि परिसंघ पर मगध का अजातशत्रु आक्रमण करने वाला है। सभासदों में से कुछ ने परामर्श दिया कि मल्ल और काशी के नौ-नौ गणों वाले परिसंघों की सहायता लेकर अजातशत्र का मुकाबला किया जाए। तुरंत दूत भेजा जाए और सहयोग वार्ता के लिए उक्त दोनों परिसंघों के राजाओं को आमंत्रित किया जाए।

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आओ याद करें:

Class 6th History Chapter 6 HBSE राज्य, राजा और एक प्राचीन गणराज्य प्रश्न 1.
सही या गलत बताओ:
(क) अश्वमेध के घोड़े को अपने राज्य से गुजरने की छूट देने वाले राजाओं को यज्ञ में आमंत्रित किया जाता था।
(ख) राजा के ऊपर सारथी पवित्र जल का छिड़काव करता
(ग) पुरातत्वविदों को जनपदों की बस्तियों में महल मिले हैं।
(घ) चित्रित-धूसर पात्रों में अनाज रखा जाता था।
(अ) महाजनपदों में बहुत से नगर किलाबंद थे।
उत्तर:
(अ) सत्य
(ब) असत्य
(स) असत्य
(द) असत्य:
(य) सत्य

HBSE 6th Class Social Science राज्य, राजा और एक प्राचीन गणराज्य प्रश्न 2.
नीचे दिए गए खानों में निम्नलिखित शब्द भरो:
शिकारी-संग्राहक, कृषक, व्यापारी, शिल्पकार, पशुपालक
HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 6 राज्य, राजा और एक प्राचीन गणराज्य-1
उत्तर:
(i) कृषक
(ii) शिल्पकार
(ii) पशुपालक
(iv) व्यापारी
(v) शिकारी संग्राहक।

राज्य, राजा और एक प्राचीन गणराज्य HBSE 6th Class Social Science प्रश्न 3.
समाज के वे कौन-से समूह थे, जो गणों की संभाओं में हिस्सा नहीं ले सकते थे?
उत्तर:
शूद्रों, महिलाओं, दासों और कर्मकार समूहों को।

आओ चर्चा करें:

प्रश्न 1.
महाजनपद के राजाओं ने किले क्यों बनवाए?
उत्तर:
किले बनाने के कारण:
1. अन्य राजाओं के आक्रमण से प्रतिरक्षा के लिए।
2. अपने वैभव और समृद्धि का प्रभाव जमाने के लिए।
3. किले के भीतर की भूमि और जनता पर सुगमता से नियंत्रण रखने के लिए।
4. भूमिहीन बेरोजगारों को रोजगार देने के लिए।
5. भवन-निर्माण शिल्प को प्रोत्सहित के लिए।
6. युद्ध के समय कुशल रणनीति बनाने के लिए।

प्रश्न 2.
आज के शासकों के चुनाव की प्रक्रिया जनपदों के चुनाव से किस तरह भिन्न थी?
उत्तर:
जनपदों के शासक तदर्थ आधार पर कार्य-प्रयोजन से चुने जाते थे जबकि आधुनिक चुनाव प्रक्रिया निधारित कार्य-अवधि (सामान्यतः पाँच वर्ष) की है। जनपदों की सभा के समस्त सदस्यों के बहुमत से शासकों का चयन होता था जबकि आधुनिक निर्वाचन सर्वजन मत (वयस्क मताधिकार) के आधार पर होता है।

जनपदों की चुनाव प्रक्रिया में व्यक्ति के साहसिक, वीरतापूर्ण, युक्तिपूर्ण कार्यों की पृष्ठभूमि के आधार पर चयन होता था लेकिन |आज पच्चीस वर्ष के प्रत्येक नागरिक को चुनाव लड़ने का हक है। यह अलग बात है कि सामाजिक प्रभाव न रहने की दशा में

उसकी जमानत ही जब्त हो जाए। नागरिक की शिक्षा, संस्कार, । पारिवारिक पृष्ठभूमि, आधार आदि की सर्वथा उपेक्षा कर दी जाती है। इससे राजनीति का अपराधीकरण और समाज का उत्पीड़न बढ़ता है। शासकों का कोई महल नहीं होता था और न कोई विशेषाधिकार ही उन्हें दिया जाता था। वे आम नागरिक थे और समिति के नियंत्रण से राजकाज चलाते थे। इसके विपरीत आज के शासकों (प्रतिनिधियों) को विविध सुख-सुविधाएँ, विशेषाधिकार प्राप्त हैं तथा अपने ही निर्वाचन क्षेत्र में जाने के लिए उन्हें प्रक्षेपास्त्र प्रतिरोधक (bullet proof) वाहन और कवच (jacker) जैसी आत्मरक्षक चीजें भी उपलब्ध हैं।

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आओ करके देखें:

प्रश्न 3.
तुम्हारी पुस्तक के अंत में दिए गए राजनीतिक मानचित्र में अपना राज्य ढूँढ़ो। क्या वहाँ प्राचीन जनपद थे? अगर हाँ तो उनके नाम लिखो। अगर नहीं, तो अपने राज्य के सबसे नजकदा पड़ने वाले जनपदा के नाम बताओ।
उत्तर:
यह प्रश्न नितांत छात्र के व्यष्टि अवस्थान से संबंध रखता है अतः छात्र ही इसका सही उत्तर दे सकते हैं। कुछ संकेत निम्नवत् दिए जा सकते हैं
संकेत:
यदि आप दिल्ली में रहते हैं तो यहाँ का पुराना किला प्राचीन जनपद था। इसके उत्तर में कुरु, दक्षिण में अवन्ति, पूर्व में कोशल और पश्चिम में गाँधार (पाकिस्तान) नामक जनपद था। एकदम पास-पास वाले जनपद पांचाल, कौशाम्बी और सूरसेन आदि थे।

प्रश्न 4.
प्रश्न 2 के उत्तर में बताए गए समूहों में से कौन से समूह आज भी कर देते हैं।
उत्तर:
करदाता समूह हैं –
1. व्यापारी
2. शिल्पकार
3. पशुपालका

प्रश्न 5.
प्रश्न 3 के उत्तर में बताए गए समूहों में किन-किन को आज मतदान का अधिकार प्राप्त है?
उत्तर:
महिलाओं सहित सभी नागरिकों को मतदान का अधिकार प्राप्त है। कर्मकार (भूमिहीन श्रमिक) भी मतदान करते हैं और आज के युग में दास एवं दासी वर्ग नहीं है।

HBSE 6th Class History राज्य, राजा और एक प्राचीन गणराज्य Important Questions and Answers

अति लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
अश्वमेध क्यों किया जाता था?
उत्तर:
यह एक राजा के शक्ति परीक्षण और राज्य-विस्तार की कार्यविधि थी। यह राजा के चुनाव की प्रक्रिया भी थी।

प्रश्न 2.
अश्वमेघ यज्ञ में सम्मिलित होने वाले कौन-कौन – से वर्ग थे?
उत्तर:
1. अश्वमेध करने
2. वाला राजा
3. अधीनस्थ राजा
4. पुरोहित
5. सारथी
6. वैश्य
7. सैनिक।

प्रश्न 3.
उत्तर वैदिक ग्रंथों के नाम लिखिए।
उत्तर:
सामवेद, यजुर्वेद, अथर्ववेद एवं अन्य ब्राह्मण ग्रंथ।

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प्रश्न 4.
उत्तर वैदिक ग्रंथों की क्या विशेषता है?
उत्तर:
ये ग्रंथ पूर्व-वैदिक काल के ऋग्वेद की तरह स्तुतिगान तक सीमित नहीं हैं बल्कि इनमें सामाजिक नियमों, विविध अनुष्ठानों एवं उनकी कार्य-विधियों का उल्लेख है।

प्रश्न 5.
उत्तर वैदिक काल का धनी वर्ग कौन था?
उत्तर:
पुरोहित, योद्धा, कृषक और व्यापारी वर्ग।

प्रश्न 6.
उत्तर वैदिक काल में निर्धन वर्ग कौन था?
उत्तर:
पशुपालक, शिल्पकार, श्रमिक, मछली पकड़ने वाले, शिकारी और भोजन संग्राहक।

प्रश्न 7.
ब्राह्मणों और क्षत्रियों का क्या कार्य था?
उत्तर:
ब्राह्मणों का कार्य वेदों का अध्ययन और यज्ञ करना था जबकि क्षत्रियों का कार्य युद्ध करना और लोगों की रक्षा करने का था।

प्रश्न 8.
वैश्य और शूद्र वर्ग का क्या कार्य था?
उत्तर:
वैश्यों का कार्य खेती करना, पशुपालन और व्यापार करने का था। शूद्रों का कार्य ब्राह्मण, क्षत्रिय और वैश्य (तीन वर्ण) की सेवा करने का था।

प्रश्न 9.
वर्ण क्या थे और किस आधार पर बनाए गए
उत्तर:
समाज का अलग-अलग वर्ग-विभाजन ही वर्ण थे। इनको कार्य के अनुसार विभाजित किया गया था लेकिन आगे चलकर इनका आधार जन्म को मान लिया गया।

प्रश्न 10.
वेदों के अध्ययन का अधिकार किन्हें नहीं दिया गया था?
उत्तर:
महिलाओं तथा शूद्रों को।

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प्रश्न 11.
अछूत या अस्पृश्य वर्ग किनका था?
उत्तर:
1. शिल्पकार
2. शिकारी
3. भोजन-संग्राहक और
4. श्मशान घाट के चंडाल (शवदाह करने वाले)।

प्रश्न 12.
वर्ण-व्यवस्था का विरोध करने के क्या आधार थे?
उत्तर:
1. कुछ राजाओं का स्वयं को पुरोहितों से श्रेष्ठ समझना
2. जन्म-आधार पर वर्ण का निर्धारण उचित न होना
3. व्यवसाय को भेदभाव का आधार न मानना
4. यज्ञ आदि संपन्न करने में कुछ लोगों की उपेक्षा करना अनुचित
5. छुआछूत से समाज का विघटन हो सकता था।

प्रश्न 13.
कुछ जनपदों की बस्तियों के नाम लिखिए।
उत्तर:
हस्तिनापुर (मेरठ), अतरंजीखेड़ा (एटा) और पुराना किला (दिल्ली)।

प्रश्न 14.
जनपदों के लोगों का क्या व्यवसाय था?
उत्तर:
ये पशुपालक और कृषक थे।

प्रश्न 15.
जनपदों का कृषक वर्ग कौन-कौन सी फसलें उगाता था?
उत्तर:
चावल, गेहूँ, जौ, धान, कई तरह की दालें, गन्ना, तिल तथा सरसों।

प्रश्न 16.
उत्खनन से प्राप्त मिश्रित धूसर (स्लेटी) बर्तनों की बनावट कैसी है?
उत्तर:
ज्यामितीय आकार के हैं। इनमें ज्यादातर थालियाँ और कटोरियाँ ही मिली हैं। वे बहुत ही पतली सतह के और चिकने हैं।

प्रश्न 17.
महाजनपद क्या थे?
उत्तर:
महाजनपद वस्तुत: सरकार की जनपद से बड़ी संस्था थी। इनकी एक राजधानी होती थी और चारों ओर से किलेबंदी अथवा लकड़ी, ईंट या पत्थर की ऊँची चारदीवारी होती थी। प्रत्येक महाजनपद में उसकी अपनी नियमित सेना होती थी।

प्रश्न 18.
महाजनपदों के राजा ऋग्वेद में वर्णित राजाओं से किस प्रकार भिन्न थे?
उत्तर:
ऋग्वेद में वर्णित राजा केवल समिति/सभा द्वारा तदर्थ चुने गए मुखिया होते थे जबकि महाजनपदों के राजा अश्वमेध यज्ञ के द्वारा चुने जाते थे और उनके अधीन जनपदों के कई राजा रहते थे। ऋग्वेद में वर्णित राजाओं द्वारा जनता पर कर नहीं लगाए जाते थे जबकि महाजनपदों के राजा कर लगाते थे।

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प्रश्न 19.
महाजनपदों में कौन-कौन से कर लगाए गए थे?
उत्तर:
1. कृषि उत्पाद पर
2. वृत्ति कर
3. शिल्प कर
4. पशु कर
5. बिक्री कर.
6. वन्य उत्पाद कर
7. वन्य पशु आखेट कर ।

प्रश्न 20.
शिकारी तथा खाद्य-संग्राहक लोग कर के रूप में राजा को क्या देते थे?
उत्तर:
शिकारी को वर्ष में किए गए शिकार की एक निश्चित मात्रा और खाद्य-संग्राहकों को वन से प्राप्त वस्तुओं की एक निश्चित मात्रा राजा को देनी पड़ती थी।

प्रश्न 21.
उत्तर वैदिक काल की कृषि में दो महत्त्वपूर्ण परिवर्तन क्या आए?
उत्तर:
1. लकड़ी की फाल के स्थान पर लोहे की फाल लगाकर जुताई की जाने लगी.
2. धान की बीज छिटककर बुआई के स्थान पर रोपाई की जाने लगी!

प्रश्न 22.
धान की रोपाई का कार्य कौन करते थे?
उत्तर:
दास, दासियों एवं कर्मकार (भूमिहीन खेतिहर मजदूर)।

प्रश्न 23.
महाजनपद के राजाओं ने कृषि के इन परिवर्तनों को बढ़ावा क्यों दिया होगा?
उत्तर:
1. जुताई का कायं पहले से अच्छा और सुगम हो गया था। कठोर भूमि भी खोदी जा सकती थी।
2. बुआई में बीजों की बर्बादी रुक गई थी और पैदावार भी अधिक होने लगी थी।

प्रश्न 24.
मगध कहाँ था और यहाँ कौन-कौन सी नदियाँ बहती थीं?
उत्तर:
आधुनिक बिहार ( गया, पटना और शाहाबाद जिलों तक विस्तृत भू भाग) में। यहाँ गंगा और सोन नदियाँ बहती थीं।

प्रश्न 25.
उत्तर वैदिक काल में मगध की राजधानी कहाँ थी?
उत्तर:
राजगृह (आधुनिक राजगीर), बिहार में।

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प्रश्न 26.
मगध को एक शक्तिशाली महाजनपद बनाने में किन प्राकृतिक संसाधनों का हाथ रहा होगा?
उत्तर:
1. नदियों से जल की पर्याप्त आपूर्ति
2. सघन वनों के पशु (हाथी) और लकड़ी (घर, बैलगाड़ी, रथ आदि बनाने हेतु) की प्रचुरता और
3. लौह अयस्क की खोज (हथियार और औजार बनाने हेतु) का।

प्रश्न 27.
आप किस आधार पर यह कह सकते हैं कि मगध अत्यधिक शक्तिशाली महाजनपद था?
उत्तर:
मकदुनिया का राजा सिकंदर आज से लगभग 2300 वर्ष पूर्व जब उत्तर में व्यास नदी के पास पहुंचा तो उसको मगध की विजयगाथा सुनकर इतना भय हुआ कि उसने आगे कदम नहीं रखे।

प्रश्न 28.
जनपदों की सेना और ऋग्वेद में वर्णित सेना में क्या अंतर था?
उत्तर:
जनपदों की सेना प्रशिक्षित और नियमित थी जबकि ऋग्वेद में वर्णित सेना में आम नागरिकों को तदर्थ आधार पर चुना जाता था। वे अप्रशिक्षित होते थे। जनपदों की सेना चार भागों में विभाजित थी – (i) पैदल, (ii) अश्वारोही, (iii) गजारूढ़ और (iv) रथारूड़ सेना। ऋग्वेद वर्णित सेना केवल पैदल, अश्वारोही और रथारूड़ थी। जनपदों की सेना के सैनिक मासिक वेतन पाते थे जबकि ऋग्वेद में वर्णित सैनिक अवैतनिक थे।

प्रश्न 29.
वज्जि (बिहार) की शासन व्यवस्था कैसी थी?
उत्तर:
गण या सघ कहा जाने वाली शासन व्यवस्था। यह राज्यों के एक परिसंघ जैसी थी। इसमें कई राजा एक-साथ शासन करते थे।

प्रश्न 30.
दीघ निकाय क्या है?
उत्तर:
बौद्ध धर्म का एक लोकप्रिय ग्रंथा

प्रश्न 31.
वज्जि संघ और अन्य जनपदों में क्या अंतर था?
उत्तर:
1. इसमें सामूहिक शासन कार्य होता था जबकि जनपदों में केवल एक राजा ही शासक था।
2. इसमें महिलाओं को सम्मान दिया जाता था जबकि जनपदों में उन्हें दासी बनाए जाने का वर्णन है।
3. वन्जि में नियमित रूप से सभाएँ आयोजित की जाती थीं जबकि जनपदों में केवल विशेष कार्य के लिए ही सभा का आयोजन होना था।

प्रश्न 32.
पहली लोकतंत्र या गणतंत्र व्यवस्था कब और कहाँ स्थापित हुई?
उत्तर:
एथेन्स (यूनान) में लगभग 2500 वर्ष पहले।

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प्रश्न 33.
एथेन्स में महत्त्वपूर्ण पदों पर नियुक्ति का तरीका क्या था?
उत्तर:
लाटरी डाली जाती थी।

प्रश्न 34.
एथेन्स में गणतंत्र या प्रजातंत्र में कौन लोग नागरिक अधिकारों से वंचित थे?
उत्तर:
1. विदेशी व्यापारी और शिल्पकार तथा
2. खानों, खेतो. घरों व कार्यशालाओं में कार्यरत दास।

प्रश्न 35.
क्या आप यह कहेंगे कि एथेन्स में गणतंत्र अपने विशुद्ध रूप में था?
उत्तर:
नहीं। एक विशुद्ध गणतंत्र में किसी भी मनुष्य को दास = रखने की कोई व्यवस्था नहीं है। इसमें नियुक्तियाँ योग्यता के आधार पर की जाती हैं, लॉटरी आधार पर नहीं। महिला और पुरुष को समान नागरिक अधिकार रहते हैं। एथेन्स में महिलाओं को नागरिक अधिकारों से वंचित किया गया था।

लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
विचार कीजिए कि उत्तर वैदिक काल में पशुपालक, शिल्पकार, श्रमिक, मछली पकड़ने वाले, शिकारी और भोजन-संग्राहक निर्धन क्यों रहे होंगे।
उत्तर:
1. समाज के इन व्यवसायों पर कर लगाए जाते थे।
2. ये वर्ग उपेक्षित थे और यज्ञ, अनुष्ठान, सभा-समिति आदि में भाग नहीं ले सकते थे।
3. इन लोगों को किसी तरह की राजकीय सहायता और प्रोत्साहन प्राप्त नहीं था।
4. इनके साथ दासों जैसा व्यवहार किया जाता था।

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प्रश्न 2.
वर्ण-व्यवस्था आरंभ में कार्य-आधारित थी लेकिन कालांतर में जन्म-आधारित क्यों बनी होगी?
उत्तर:
संभवत: इसके निम्नलिखित कारण रहे होंगे:
(1) कार्य के साथ मनुष्य के संस्कारों का अन्तर्गन्थन रहता है। उदाहरणार्थ-अध्यापक की वाणी, व्यवहार आदि लगातार अभ्यास के कारण स्कूल के बाहर, घर और समाज में भी उपदेश, निर्देश वाली बन जाती है।
(2) एक कार्य विशेष को करने वाले व्यक्ति का शिशु आरंभ से ही उस कार्य के संस्कारों को ग्रहण करने लगता है।
(3) उत्तर वैदिक काल में राज्य स्तर पर व्यावसायिक प्रशिक्षण, सार्वजनिक शिक्षा. बुनियादी शिक्षा आदि अवसरों का अभाव रहने और श्रम-संघों का परस्पर कोई संबंध न रहने के कारण बच्चों में विविध रुचियाँ नहीं जाग पाई वे केवल अपने पैतृक व्यवसाय तक सीमित रह गए।
(4) ब्राह्मणों को विशिष्टता वाले उस समाज में कई कार्यो को तुच्छ समझा जाता था और उन कार्यों को करने वाले लोगों को भी समाज से दूर रखा जाता था। इस कारण भी भावी-पीड़ी में नए संस्कारों का प्रस्फुटन न हो पाया।

प्रश्न 3.
राजतंत्र और गणराज्य में क्या अंतर है?
उत्तर:
राजतंत्र:
1. इसमें शासन की सारी शक्तियाँ राजा के पास रहती थीं। वह निरंकुश होता था।
2. इसमें राजा का पैतृक पद होता था। गणराज्य
3. इसमें शासन की शक्ति जनता में निहित रहती है। राजा का चुनाव भी जनता ही करती है।
4. इसमें राजा का पैतृक पद नहीं रहता और जनता अपनी इच्छा से किसी भी व्यक्ति को राजा चुन सकती है।

प्रश्न 4.
विनिमय प्रणाली के क्या दोष थे? व्यापार के विस्तार में मुद्रा (आहत सिक्के) की क्या भूमिका रही?
उत्तर:
एक वस्तु देकर उसके बदले में दूसरी वस्तु लेने को विनिमय प्रणाली (लेन-देन) कहा जाता है। उत्तर वैदिक काल की विनिमय प्रणाली में निम्नलिखित दोष थे:
(क) वस्तुओं के लेन-देन में कठिनाई: वस्तुओं को बेचने और खरीदने में कठिनाई होती थी। उदाहरणार्थ-गुजरात का नमक ढोकर पंजाब लाना और यहाँ से गेहूँ ले जाना।

(ख) अधिक वस्तुएँ न रहना:
प्रत्येक व्यक्ति आत्मनिर्भर नहीं था। उसके पास इतनी वस्तुएँ नहीं होती थी, कि उन्हें देकर वह इच्छानुसार आवश्यकता की अन्य वस्तु को ले सके। व्यापार के विस्तार में मुद्रा (आहत सिक्कों) का प्रभाव !: मुद्रा के प्रचलन ने व्यापार को आसान बना दिया था। अब वस्तुओं को दूर तक ढोकर विनिमय करने की आवश्यकता नहीं रह गई थी। व्यापारियों की संख्या भी बढ़ गई थी क्योंकि सिक्कों को एक स्थान से दूसरे स्थान पर ले जाना अपेक्षाकृत आसान था।

प्रश्न 5.
करों का क्या महत्त्व है? उत्तर वैदिक काल में कर किस प्रकार लगाए और वसूल किए जाते थे?
उत्तर:
करों का महत्त्व:
किसी राज्य की उन्नति, समृद्धि और सुरक्षा के लिए उसके पास संसाधनों का रहना आवश्यक है। राज्य के प्रशासन कार्यों में धन की आवश्यकता होती है। उदाहरणार्थ-सैनिकों तथा कर्मचारियों का वेतन, सभा आदि आयोजन के खर्च आदि न रहने पर राज्यकार्य कर पाना असंभव हो जाता कर लगाने और वसूली करने का ढंग: वस्तुओं के सभी उत्पादक राजा को कर भुगतान करते थे। कृषक अपनी उपज का 1/6 भाग कर के रूप में देते थे।

बुनकर, लोहार या सुनार को राजा के लिए वर्ष में 12 दिन काम करना होता था। व्यापारी माल की खरीद और बिक्री पर कर देते थे। शिकारियों और संग्राहकों को जंगल से प्राप्त वस्तुएँ देनी होती थीं और पशुपालकों को जानवरों या उनके उत्पाद को कर रूप में देना होता था।

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प्रश्न 6.
पूर्व वैदिक और उत्तर वैदिक काल के बारे में जानकारी के स्रोत बताइए।
उत्तर:
पूर्व वैदिक और उत्तर वैदिक काल के जानकारी स्रोत:
1. वेद: वेदों से हमें तत्कालीन लोगों के रहन-सहन, सामजिक संगठन, आचार-व्यवहार, आस्था और धर्म की जानकारी मिलती है।
2. अवशेष: धूसर मिट्टी के चित्रकारी वाले बर्तन, किलों के भग्नावशेष आदि बहुत सी चीजें उक्त काल के सामाजिक और राजनीति परिवेश की जानकारी कराती हैं।
3. प्राचीन कस्बे: जन, जनपद, महाजनपद और गण या संघ शासन व्यवस्था में विद्यमान किलाबंदी (चारदीवारी) वाले शहरों के अवशेष भी उस काल की बहुत सी जानकारियाँ देते हैं।
4. जैन तथा बौद्ध धर्म: इन दोनों धर्मों के प्रसिद्ध धर्मग्रन्थ यथा-दीध निकाय (प्रसिद्ध बौद्ध ग्रंथ) उस काल के जन-जीवन और शासन व्यवस्था पर समुचित प्रकाश डालते हैं।

प्रश्न 7.
उत्तर वैदिक काल में जाति प्रथा की क्या मुख्य विशेषताएँ थीं?
उत्तर:
इस काल में जाति प्रथा की निम्नलिखित विशेषताएँ थीं:
(i) विभिन्न जातियों के लोग एक दूसरे के साथ बैठकर भोजन नहीं कर सकते थे।
(ii) जातियाँ चार भागों में विभाजित थीं-

  • ब्राह्मण
  • क्षत्रिय
  • वैश्य और
  • शूद्र।

(iii) चूँकि पुत्र अपने पिता के व्यवसाय को अपनाने लगे थे अत: जाति का आधार कार्य न रहकर जन्म बन गया।
(iv) प्रत्येक जाति के लिए अलग-अलग नियम बनाए गए थे। नियमों की अवहेलना करने वाले को दण्डित किया जाता था।
(v) अलग-अलग व्यवसाय करने वालों की अपनी अलग-अलग उपजातियाँ बन गई थीं।

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प्रश्न 8.
मगध में ऐसी कौन सी प्राकृतिक सुविधाएँ थीं जिनके कारण वह एक शक्तिशाली और समृद्ध जनपद बना?
उत्तर:
मगध को प्राप्त ऐसी प्राकृतिक सुविधाएँ निम्नलिखित थीं:
(i) कच्चे लोहे की प्रचुर उपलब्धि: मगध राज्य छोटा नागपुर के पठार तक विस्तृत था। यहाँ लोहे की खदानें थी और प्रचुर मात्रा में कच्चा लोहा प्राप्त होता था। इससे औजार और अस्त्र-शस्त्र बनाने में सहायता मिली और युद्ध जीते गए तथा राज्य-विस्तार किया गया।

(ii) व्यापार की उन्नति: मगध गंगा और सोन नदियों की घाटी में था अतः इन नदियों ने नौकायन और नौ-यात्रा की सुविधा प्रदान की। इसके फलस्वरूप व्यापार का प्रचुर उत्कर्ष हुआ। मगध सम्राट बिम्बिसार ने अंग राज्य पर अधिकार कर लिया जिससे चंपा के बंदरगाह पर भी उसका नियंत्रण हो गया।

(iii) गंगा का उपजाऊ मैदान: मगध राज्य गंगा और सोन नदी की घाटी में होने के कारण इसमें जलोड़ उपजाऊ मिट्टी थी। इसमें खाद्यान्नों की फसलें प्रचुर मात्रा में उगाई जाती थीं।

प्रश्न 9.
राजा शासन किस तरह चलाता था? वह राज-काज के खर्च हेतु धन कहाँ से प्राप्त करता था?
उत्तर:
राजा द्वारा शासन-कार्य पुरोहित और मंत्रियों की सहायता से किया जाता था। कई अधिकारी भी नियुक्त किए जाते थे। राज-काज का खर्च पूरा करने के लिए राजा किसानों से उपज का 1/6 भाग लगान के रूप में वसूल करता था। लोहार राजा के लिए मुफ्त में औजार बनाते थे। बढ़ई वेतन लिए बिना ही राजा के लिए रथ तैयार करते थे। जुलाहे एक निश्चित लंबाई का वस्त्र राजा को दिया करते थे। करों की वसूली से प्राप्त आय सेना के वेतन, सड़कों, नहरों और कुंओं आदि के निर्माण पर खर्च की जाती थी।

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राज्य, राजा और एक प्राचीन गणराज्य Class 6 HBSE Notes in Hindi

1. मतदान के कर्तव्य को सर्वोपरि समझना क्यों आवश्यक है?: मतदान से ही सर्वोच्च संस्था सरकार बनती है और योग्य जन-प्रतिनिधियों को चुना जाता है।
2. पूर्व वैदिक काल के राजाओं को कौन चुनता था?: जन या जनता।
3. अश्वमेध क्या था?: एक युद्ध अभियान इसमें एक घोड़े को सैनिकों के साथ स्वतंत्र छोड़ा जाता था और घोड़ा पकड़ने वाले शासक के साथ युद्ध किया जाता था। अंत में घोड़े की बलि दी जाती थी।
4. अश्वमेध के घोड़े को न रोकने वाले राजा को क्या समझा जाता था? अधीनता को स्वीकार कर लेना/ पराजित राजा।
5. अश्वमेध में उपस्थित होने वाले लोग कौन-कौन थे?: पराजित/ अधीनस्थ राजा, पुरोहित, विजयी राजा, रानी. उसका पुत्र, सारथी, राजकुल के रिश्तेदार, आम जनता।
6. अश्वमेघ में उपस्थित होने की अनुमति समाज के किस वर्ग को नहीं थी?: शूद्रों को।
7. ऋग्वेद के पश्चात् रचित ग्रन्थों को क्या कहा गया?: उत्तर वैदिक ग्रंथा।
8. उत्तर वैदिक ग्रंथ किसने लिखे?: ब्राह्मणों ने।।
9. उत्तर वैदिक काल के समाज समूह कौन थे?: पुरोहित, योद्धा, किसान, पशुपालक, व्यापारी, दस्तकार, श्रमिक, मछुवारे तथा जंगली लोग।
10. वर्ण विभाजन का आधार क्या था?: कार्य/व्यवसाय। कालांतर में जन्म आधार पर।
11. वैश्य कौन थे?: किसान, पशुपालक तथा व्यापारी।
12. शूद्र कौन थे?: तीनों उच्च वर्गों के सेवक। इसमें महिलाएं भी सम्मिलित थीं।
13. अस्पृश्य कौन थे?: दस्तकार, आखेटक, खाद्य-संग्राहक, श्मशान घाट में चिता लगाने वाले (चंडाल)।
14, अश्वमेध करने वाले राजा कौन से संगठन के थे?: जनपद के।।
15, जनपद कौन-कौन से थे?: कुरु, हस्तिनापुर, कोशल, कौशाम्बी, अंग।
16. उत्तर वैदिक काल में कौन सी नई फसल उगाई जाने लगी?: गन्ने की फसल।

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 6 राज्य, राजा और एक प्राचीन गणराज्य

17. महाजनपद कौन थे?: समाज का जनपद से बड़ा और राजधानी नगर वाला संगठन। उदाहरणार्थ-मगध, गाँधार।
18. किले क्यों बनाए जाते थे?: बाहरी आक्रमणकारियों से प्रतिरक्षा और अपनी समृद्धि का प्रदर्शन करने के लिए।
19. आहत-मुद्रा का परिचलन कौन से संगठन में हुआ?: महाजनपद में।
20. स्थाई सैन्य संगठन कौन सी व्यवस्था में था?: महाजनपद में।
21. कौन-कौन सी चीजों पर कर लगाए गए?: फसलों, शिल्प, पशुपालन, माल की बिक्री और वन्य उत्पादों पर।
22. कार स्वरूप नकद भुगतान का था या वस्तु की वसूली का?: वस्तु की वसूली का।
23. धान की रोपाई किनसे कराई जाती थी?: दास, दासियों, कर्मकारों से।
24. मगध के शक्तिशाली शासक कौन थे?: बिम्बिसार और अजातशत्रु।
25. मगध की राजधानी कहाँ थी? राजगृह।
26. वज्जि में सरकार का कौन सा स्वरूप था?: गण या संघ।
27. सिकंदर ने भारत पर कब आक्रमण किया? आज से लगभग 2300 वर्ष पूर्व।
28. गण के राजा कितने थे?: हजारों की संख्या में, सामूहिक प्रशासन।
28. गण का क्या अर्थ है?: कई सदस्यों वाला एक समूह।
29. संघ का क्या अर्थ है?: संगठन या संसद।
30. सरकार का गण या संघ स्वरूप कब समाप्त हुआ?: आज से 1500 वर्ष पूर्व, गुप्त वंश के पदार्पण पश्चात्।
31. लोकतंत्र सरकार सबसे पहले कहाँ बनी?: यूनान में। आज से 2500 वर्ष पूर्व।

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HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 7 नए प्रश्न नए विचार

Haryana State Board HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 7 नए प्रश्न नए विचार Textbook Exercise Questions and Answers.

Haryana Board 6th Class Social Science Solutions History Chapter 7 नए प्रश्न नए विचार

HBSE 6th Class History नए प्रश्न नए विचार Textbook Questions and Answers

कल्पना करो:

तुम लगभग 2500 वर्ष पूर्व के एक उपदेशक को सुनने जाना चाहती हो। वहाँ जाने की अनुमति लेने के लिए तुम अपने माता-पिता को कैसे सहमत करोगी, इसका वर्णन करो।
उत्तर:
चूंकि लगभग 2500 वर्ष पूर्व के उपदेशक गौतम बुद्ध और वर्धमान महावीर थे अतः हम गौतम बुद्ध के उपदेश सुनने जाना चाहेंगे। हम अपने माता-पिता को बताएंगे कि गौतम बुद्ध ने राजकुमार और गृहस्थी होने के बाद भी इन सभी सुखों का त्याग कर दिया है। वे समाज का उद्धार करने के लिए आए हुए हैं। उनका कहना है कि हममें आत्मसंयम रखकर शांति से जीने की कला का आना आवश्यक है। आप लोग जानते ही हैं कि ब्राह्मणों ने वर्ण-व्यवस्था का आश्रय लेकर समाज के टुकड़े-टुकड़े कर दिए हैं। लोग आपस में हुआछूत और भेदभाव रखते हैं जिसके कारण हम सभी असुरक्षित हैं तथा बाहर की शक्ति हमें कभी भी अपना गुलाम (दास) बना सकती है। बुद्ध की भाषा भी हम आम-लोगों की है। अतः हमें आसानी से समझ में आ जाएगी, आपको यह भी बता दें कि बुद्ध समाज के लोगों से यह नहीं कह रहे हैं कि वे घर-द्वार छोड़कर उनके साथ आ जाएँ बल्कि वे तो घर पर रहकर ही सादा जीवन, उच्च विचार रखने को कह रहे हैं। सभी धर्मों और वर्णों के लोग उनके उपदेश सुनने जा रहे हैं अत: कृपया हमें भी अनुमति दीजिए।

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 7 नए प्रश्न नए विचार

आओ याद करें:

Class 6th History Chapter 7 HBSE नए प्रश्न नए विचार प्रश्न 1.
बुद्ध ने लोगों तक अपने विचारों का प्रसार करने के लिए किन-किन बातों पर जोर विया?
उत्तर:
बौद्ध धर्म के सिद्धांतों की प्रसार-विधि:
(i) प्राकृत या जन-सामान्य की भाषा का प्रयोग: युद्ध ने अपने उपदेश स्थान-विशेष के लोगों की अपनी सरल भाषा में दिए। इस कारण लोगों को उनकी बातें आसानी से समझ में आने लगी और वे बौद्ध-धर्म अपनाने लगे।

(ii) निरन्तर भ्रमण: बौद्ध धर्म में दीक्षित भिक्षु और भिक्षुणी पूरे वर्ष स्थान-स्थान पर भ्रमण करते रहते थे और बुद्ध के उपदेशों को जन-मानस में समाविष्ट करते रहते थे। स्वयं बुद्ध भी कभी एक स्थान पर टिके नहीं रहे।

(iii) मठों और विहारों का निर्माण: अपने पतियों से अनुमति लेकर आने वाली महिलाओं, स्वामियों को अनुमति प्राप्त सेवक, कर्जदार अपने देनदार की अनुमति लेकर बौद्ध धर्म में दीक्षित होते थे और उनके निवास करने के लिए विहार बनाए गए। ये आम-लोगों को शिक्षा देते और उनकी यथायोग्य सहायता करते थे। आपसी लड़ाई का निपटारा भी वे सभा आयोजित करके किया करते थे।

(iv) विवेकपूर्ण व्यवहार: मृत पुत्र को जीवित करवाने की लालसा से आई एक महिला को बुद्ध ने कहा कि वह ऐसे घर से सरसों माँग कर लाए जहाँ आज तक किसी की मृत्यु न हुई हो। वह महिला जब असफल रही तो बुद्ध ने उसको सान्त्वना देते हुए कहा कि मृत्यु पर किसी का नियंत्रण नहीं है। अतः व्यर्थ में मृतक के लिए शोक न करे। यह सत्य को समझाने का एक विचित्र तरीका था।

(v) भेद-भाव रहित प्रवेश: बौद्ध-धर्म में ब्राह्मण, क्षत्रिय, वैश्य, शूद्र, चण्डाल, अस्पृश्य, नाई. वेश्या, महिलाएँ, दास आदि दीक्षित किए जा सकते थे। इस भेद-भाव रहित व्यवस्था के कारण ही बौद्ध-धर्म का आशातीत प्रचार-प्रसार हा पाया।

HBSE 6th Class Social Science नए प्रश्न नए विचार प्रश्न 2.
“सही” व “गलत” वाक्य बताओ:
(क) बुद्ध ने पशु बलि को बढ़ावा दिया।
(ख) बुद्ध द्वारा प्रथम उपदेश सारनाथ में देने के कारण इस जगह का बहुत महत्व है।
(ग) बुद्ध ने शिक्षा दी कि कर्म का हमारे जीवन पर कोई प्रभाव नहीं पड़ता।
(घ) बुद्ध ने बोधगया में ज्ञान प्राप्त किया।
(ङ) उपनिषदों के विचारकों का मानना था कि आत्मा और ब्रह्म वास्तव में एक ही है।
उत्तर:
(क) गलत
(ख) सही
(ग) गलत
(घ) सही
(ङ) सही

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नए प्रश्न नए विचार HBSE 6th Class Social Science प्रश्न 3.
उपनिषदों के विचारक किन प्रश्नों का उतर देना चाहते थे?
उत्तर:
1. पुनर्जन्म
2. यज्ञ की उपयोगिता
3. मृत्यु पश्चात अस्तित्व में रहने वाली चीज आदि पर पूछे गए प्रश्नों का उत्तर देना चाहते थे।

प्रश्न 4.
महावीर की प्रमुख शिक्षाएँ क्या थीं?
उत्तर:
1. जीव हत्या मत करो
2. सदाचारपूर्ण जीवन व्यतीत करो
3. शुभ कर्म करके संसार से मुक्ति पाओ
4. जाति-पाति, छोटा-बड़ा और ऊँच-नीच का भेदभाव व्यर्थ है।
5. तपस्या तथा ब्रह्मचर्य व्रत का पालन करो।

आओ चर्चा करें:

प्रश्न 5.
अनघा की माँ क्यों चाहती थी कि उसकी बेटी बुद्ध की कहानी से परिचित हो? तुम्हारा इसके बारे में क्या कहना है?
उत्तर:
बुद्ध के जीवन की कहानी प्रत्येक मनुष्य को-
(i) अपने लक्ष्य-मार्ग पर अडिग रहने
(ii) कठोर परिश्रम करने
(iii) तृष्णा और इच्छाओं का दमन करने तथा
(iv) सुख-शांतिपूर्वक जीवन व्यतीत करने की प्रेरणा देती है। प्रकृति के सभी जीवों (वनस्पतियों, पशु-पक्षी आदि) पर दया करने की शिक्षा बुद्ध ने दी है। एक राजकुमार और गृहस्थ होने पर भी उन्होंने इन सुखों का त्याग कर दिया था।

शायद अनघा में कुछ आदतें अच्छी न हों उदाहरणार्थ-वह भाई-बहनों से झगड़ती हो। आवश्यकता से अधिक इच्छा करने वाली हो या पढ़ाई में परिश्रम न करती हो। यह भी हो सकता है कि वह गौतम बुद्ध के बारे में विस्तार से जानना चाहती हो और अपनी इच्छा स्वयं व्यक्त करने में संकोच कर रही हो इसीलिए माँ के माध्यम से अध्यापिका को कहला रही हो।

प्रश्न 6.
क्या तुम सोचते हो कि दासों के लिए संघ में प्रवेश करना आसान रहा होगा, तर्क सहित उत्तर दो।
उत्तर:
उन दासों के लिए संघ में प्रवेश करना आसान रहा होगा जिनके स्वामी-
1. बौद्ध-धर्म के उपदेशों को सुन चुके होंगे और इसका स्वीकार कर लिया होगा:

2. स्वामियों ने इस शर्त का अनुमोदन अवश्य किया होगा एवं स्वयं को गौरवान्वित समझा होगा।

3. बौद्ध धर्म में भेदभाव के लिए कोई स्थान न रहने के कारण स्वामियों की बुद्धि में सुधार अवश्य आया होगा और लोगों को अपना दास बनाकर उनसे इच्छानुसार कार्य लेने की उनकी प्रवृत्ति पर अंकुश लगा होगा अर्थात् उनमें सर्वजन समभाव आया होगा और दासों को मुक्त करके उन्होंने बौद्ध धर्म में दीक्षित होने की अनुमति अवश्य दी होगी।

4. बौद्ध धर्म के अनुयायी एवं भिक्षु-भिक्षुणी घर-घर जाकर उपदेश देते थे और उनकी जानकारी में वे घर अवश्य आए होंगे, जहाँ लोगों को दास बनाया गया होगा। वहाँ गौतम बुद्ध ने स्वयं जाकर अपनी विलक्षण बुद्धि से ‘अंगुलिमाल डाकू’ की तरह उनके स्वामियों का हृदय परिवर्तन किया होगा।

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आओ करके देखें:

प्रश्न 7.
इस अध्याय में उल्लिखित कम से कम पाँच विचारों तथा प्रश्नों की सूची बनाओ। उनमें से किन्हीं तीन का चुनाव कर चर्चा करो कि वे आज भी क्यों महत्त्वपूर्ण हैं?
उत्तर:
विचार तथा प्रश्न

(क) प्रश्न
(i) मानव जीवन क्या है?
(ii) मृत्यु क्यों होती है?
(iii) मनुष्य को रोग, वृद्धावस्था और मानसिक विकार क्यों घेरते हैं?
(iv) मनुष्य के दु:खी रहने का कारण क्या है?
(v) मृत्यु के बाद मनुष्य का क्या होता है?

(ख) विचार:
(i) मानव जीवन कष्ट और दुःखों से परिपूर्ण है।
(ii) मोक्ष ही मनुष्य जीवन का चरम लक्ष्य है।
(iii) शुभ-कर्म करने से ही मनुष्य को दु:खों से छुटकारा (मोक्ष) मिलना संभव है।
(iv) आत्मा अजर और अमर है।
(v) समस्त जीवों पर दया करना, तृष्णा (तन्हा) पर नियंत्रण रखना, ज्ञान प्राप्ति के लिए प्रयास करना और सादगी को अपनाना ही शुभ-कर्म हैं।

आधुनिक युग में प्रासांगिकता:
(i) जीवों पर दया करना:
जैव-पारिस्थितिकी और पारिस्थितिकी संतुलन बिगड़ने के कारण ही आज मौसम में अचानक परिवर्तन होने लगे हैं. भूमण्डलीय तापमान बढ़ रहा है, सागरों का जल-स्तर अत्यधिक तेजी से बढ़ रहा है (इन्दिरा प्वांइट इब चुका है) और प्राकृतिक आपदाएँ (भूस्खलन, बाढ़, सुनामी, चक्रवात आदि) आ रही हैं। मनुष्य ने वनों का विनाश कर दिया है। वनस्पति आवरण लगातार घटता जा रहा है। वन्य पशुओं का निर्ममता से हत्या की जा रही है। इसी कारण यह असुंतलन बढ़ता जा रहा है।

(ii) ज्ञान प्राप्ति का प्रयास:
आज की अत्याधुनिक सभ्यता में बुद्धि का चरम विकास हो चुका है लेकिन ज्ञान (मूल्य आधारित शिक्षा) का पूर्णतः अभाव होता जा रहा है। “शिक्षा क्या स्वर साध सकेगी यदि नैतिक शृंगार नहीं है।” ज्ञान या विवेक वैज्ञानिक निष्कर्ष पर आधारित है जो केवल भौतिक भोग की वस्तुओं तक सीमित नहीं है, बल्कि समष्टि में संतुलित और चिर-निर्वाह की स्थिति को प्राप्त कराता है। भौतिक सोच से हटकर आज जीवों के अस्तित्व को बनाए रखने की दिशा में चिंतन करने की आवश्यकता है।

(iii) सादगीपूर्ण जीवन:
आधुनिक प्रसंग में सादगीपूर्ण – जीवन को अपनाना अति आवश्यक हो गया है। पाश्चात्य भोग-भावना और संस्कृति ने आज हमारी वैज्ञानिक, अनुसंधान, शोध की शक्तियों को अत्यधिक प्रभावित किया है और हम कभी तृप्त न होने वाले भौतिक साधनों को तृष्णा की ओर केन्द्रित हो चुके हैं। अत्यधिक फैशन और व्यसनों का प्रत्यक्ष प्रमाण है कि सीता, सावित्री और अनुसूया जैसी धर्मपरायण और सच्चरित्र महिलाओं के इस देश में पुरुषों की बुद्धि अब सम्मान भावना को छोड़कर बलात्कार, हत्या, अपहरण जैसे कुकृत्यों को अंजाम देने लगी है। इसका मूल कारण हमारा भोगवादी जीवन बिताना ही है।

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प्रश्न 8.
आज दुनिया का त्याग करने वाले स्त्रियों और पुरुषों के बारे में और अधिक जानने का प्रयास करो। ये लोग कहाँ रहते हैं, किस तरीके के कपड़े कपड़े पहनते हैं तथा क्या खाते हैं? ये दुनिया का त्याग क्यों करते हैं?
उत्तर:
दुनिया का त्याग करने वाले संन्यासी कहलाते हैं। ये लोग मठों और मंदिरों में रहते हैं। इनके वस्त्र गेरुए रंग के होते हैं। इनके हाथ में कमंडल और भिक्षापात्र होता है। कई साधु त्रिशूल भी धारण करते हैं। संन्यासी महिला और पुरुष कई पंथों के होते हैं। प्रत्येक पंथ या संप्रदाय के अपने अलग-अलग नियम होते हैं। कई लोग वन के कंदमूल, फल खाते हैं और निर्जन वन या पहाड़ों के शिखरों में कुटिया बनाकर रहते हैं। कुछ ऐसे भी हैं जो गाँव एवं बस्ती की धर्मशालाओं में रहते हैं तथा ग्रामीण लोगों के साथ उनका

सीधा संपर्क होता है। शहरों में भी बहुत से साधु-संन्यासी रहते हैं। ये लोग आम लोगों जैसा भोजन अर्थात दाल, रोटी-सब्जी आदि खाते हैं। दुनिया का त्याग करने के पीछे इनकी, अपनी-अपनी रुचियाँ, परिस्थितियाँ और विवशताएँ होती हैं। कुछ लोग ज्ञान-प्राप्ति के लिए योगी बनते हैं। कुछ की पत्नी या पति की मृत्यु हो जाने पर घर की आर्थिक दशा खराब हो जाने के कारण और कुछ लोग कामचोर तथा आलसी होने के कारण भी संन्यास ले लेते हैं। कारणों के अनुसार ही ये लोग समाज को कष्ट या सुख प्रदान करते हैं।

HBSE 6th Class History नए प्रश्न नए विचार Important Questions and Answers

अति लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
अनघा की माँ ने अध्यापिका से बच्चों को सारनाथ दिखाने का आग्रह क्यों किया होगा?
उत्तर:
भगवान गौतम बुद्ध ने बोधगया में ज्ञान की प्राप्ति के पश्चात् अपना पहला उपदेश सारनाथ में दिया था। बच्चों का संबंध भी ज्ञान-प्राप्ति के साथ होता है। अत: ज्ञान की प्राप्ति और उसके आचरण में परिणित होने की कामना से ऐसा आग्रह किया गया होगा।

प्रश्न 2.
गौतम बुद्ध के जन्म के समय समाज में कौन-कौन से परिवर्तन हो रहे थे?
उत्तर:
समाज में बड़े संगठन यथा-जन, जनपद, महाजनपद और संघ या गण बन रहे थे। लोगों को बोध हो गया था कि सुरक्षित जीवन के लिए उन्हें अपनी सरकार बनानी चाहिए। नगरीय जीवन की शुरुआत भी हो रही थी।

प्रश्न 3.
गौतम बुद्ध को ज्ञान प्राप्ति के लिए महल, परिवार और संतान का त्याग क्यों करना पड़ा होगा?
उत्तर:
प्रखर मानसिक शक्ति के बालक बाल्यकाल में उन चीजों का गूढ़ अर्थ लेते हैं जो सामान्य घटनाएँ होती हैं यथा-बूढ़े व्यक्ति को देखना, मृतक की शव यात्रा देखना। उनका मस्तिष्क अनन्य रूप से एकल विषय पर केन्द्रित हो जाता है अत: भौतिक संबंधों से परे हो जाता है।

प्रश्न 4.
तपस्या से आप क्या समझते हैं?
उत्तर:
किसी मानसिक या भौतिक विषय पर पूर्ण एकाग्न शक्ति को किसी निश्चित समयावधि तक लगाना तपस्या कहलाता है। उदाहरणार्थ-छात्र का पाठ्यक्रम एवं शैक्षिक विषय का सुरुचि और स्वरुचि से अध्ययन करना।

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प्रश्न 5.
ज्ञान-प्राप्ति के पश्चात् उसके प्रसार के लिए भ्रमण क्यों करते होंगे?
उत्तर:
ज्ञान एक दिशा विशेष (भौतिक या मानसिक स्वरूप) में सिद्धि प्राप्ति या अद्वितीय एवं लोकहितकारी विचार एवं कर्म को उत्पन्न करता है। इस तरह मनुष्य में मनःशक्ति या मनो-ऊर्जा इतनी संचित हो जाती है कि अभिव्यक्ति के लिए छटपटाने लगती है और ज्ञानी पुरुष जन-कल्याण के लिए भ्रमण करते हैं।

प्रश्न 6.
बुद्ध की शिक्षाओं का मूल सार क्या था?
उत्तर:
यह संसार कष्टों से परिपूर्ण है और ऐसे कष्ट और दुःख हमारी कभी पूरी न हो सकने वाली इच्छाओं या तृष्णा (तन्हा) के कारण महसूस होते हैं।

प्रश्न 7.
बुद्ध के अनुसार दुःखों से कैसे उबरा जा सकता
उत्तर:
जब हम अपने मन पर नियंत्रण लगाएँ और यथार्थ के उजाले में स्वयं को पहचानें व अपनी तृष्णा (तन्हा) पर संतुलन की सीमा तक नियंत्रण लगाएँ।

प्रश्न 8.
‘कर्म’ से बुद्ध का क्या तात्पर्य है?
उत्तर:
बुद्ध के अनुसार कर्म या कार्य हमारी अन्तर्जात भावना (अन्त:करण) के प्रेक्षण, निरीक्षण के अंतर्गत प्रयोग (व्यवहार) से संपन्न होता है। उदाहरणार्थ- किसी के लिए अपशब्द (गाली) का प्रयोग करने से बहुत पहले किसी तृष्णा (तन्हा) को चोट पहुंचने पर अहंकार (क्रोध) हमारे मन में उत्पन्न हो चुका होता है। कार्य और परिणाम’ का ‘कर्तव्य और अधिकार’ की तरह चोली-दामन का साथ होने से उसको अवश्य भोगना/झेलना पड़ता है।

प्रश्न 9.
बुद्ध ने ऐसा क्यों कहा होगा कि हमारे कर्मों के अच्छे या बुरे परिणाम वर्तमान जीवन के साथ ही बाद के जीवन को भी प्रभावित करते हैं?
उत्तर:
कार्य चाहे जो भी किया जाए उसके स्नायु तंत्र में प्रभाव पड़ते हैं और उसकी पुनरावृत्ति तथा लगातार अभ्यास होने लगता है। चूँकि अन्त:करण में सबसे पहले जन्म लेने वाली धारणा या विचार का नेत्रदर्शी रूप नहीं होता अतः यह वर्तमान जीवन के बाद अथवा पुनर्जन्म में भी चेतन या सक्रिय रहता है।

प्रश्न 10.
बुद्ध के अनुसार अच्छे कर्म क्या हैं?
उत्तर:
वह कार्य जिससे किसी भी जीव एवं पदार्थ का अहित, दुरुपयोग, हिंसा, पीड़ा, हानि आदि का परिणाम न दिखाई देता हो।

प्रश्न 11.
वेदों की रचना किस भाषा में हुई और बुद्ध के उपदेश किस भाषा में थे?
उत्तर:
वेदों की रचना संस्कृत में हुई जो जन-सामान्य के लिए बोधगम्य नहीं थी जबकि बुद्ध के उपदेश प्राकृत भाषा (तत्समय प्रचलित सामान्य लोगों की बोली) में थे जो आसानी से समझ में आ जाते थे।

प्रश्न 12.
बुद्ध ने ऐसा क्यों कहा कि लोग किसी शिक्षा को उनका उपदेश मानकर नहीं बल्कि अपने विवेक से उसकी परीक्षा/जाँच करके ग्रहण करें?
उत्तर:
बुद्ध के अनुसार उपदेश केवल सुझाव के स्वरूप का है- एक आदेश नहीं। सुझाव को समझकर मानसिक एवं बौद्धिक विश्लेषण करने के पश्चात् ही निष्कर्ष पर पहुँचना बुद्धिमानी है क्योंकि चिन्तन के समय हमारी चेतना सर्वांगीण जागती है। इससे चिन्तन विषय व्यवहार में शत-प्रतिशत और स्थाई रूप में आ जाता

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प्रश्न 13.
किसागौतमी की कहानी से क्या संकेत मिलता
उत्तर:
उपदेशक के जन-मानस में प्रवेश कर उसे स्वयं अनुभव का अवसर दिलाने वाली कला किसगौतमी को सरसों के बीज माँगते समय मृत्यु के चिरंतन सत्य का स्वयं ज्ञान प्राप्त हुआ।

प्रश्न 14.
उपनिषद् शब्द का क्या अर्थ है?
उत्तर:
गुरु के समीप बैठना अर्थात् गुणीजन के साथ वार्तालाप के माध्यम से यथार्थ ज्ञान प्राप्त करना।

प्रश्न 15.
उपनिषद की विषय-वस्तु क्या है?
उत्तर:
पुनर्जन्म और यज्ञों के महत्त्व का विशुद्ध वर्णन प्रश्नोत्तर क्रम म। .

प्रश्न 16.
उपनिषदों की विषय-वस्तु कहाँ से ली गई है?
उत्तर:
सांसारिक जीवन की आम-घटनाओं से। उदाहरणार्थ-बुद्धिमानी भिखारी।

प्रश्न 17.
उपनिषदों में वार्ताकार कौन-कौन हैं?
उत्तर:
जाति, वर्ग, लिंग आदि के भेदभाव से परे सभी विद्वान् पुरुष, महिलाएं, दास एवं निम्न कुलोत्पन्न व्यक्ति।

प्रश्न 18.
उपनिषदों में आत्मा और ब्रह्म दोनों को एक क्यों माना गया है?
उत्तर:
आत्मा एवं ब्रह्म ही सार्वभौम आत्मा (सभी प्राणियों में मौजूद चेतन तत्व) है।

प्रश्न 19.
बुद्ध के उपवेश और उपनिषद् की अभिव्यक्ति शैली एक जैसी क्यों है?
उत्तर:
“बुद्धिमान भिखारी” के दृष्टांत की तरह ये दोनों आम-जीवन की घटनाओं का विशेष प्रसंग में उल्लेख करते हैं। बुद्ध के उपदेश प्रसंग में हम “अँगुलिमाल” की कहानी को ले सकते हैं।

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प्रश्न 20.
पाणिनी नामक प्राचीन विद्वान् की लोकप्रियता किस कारण है?
उत्तर:
उन्होंने संस्कृत भाषा के प्रयोग नियम अर्थात् लघु सूत्र (लगभग 3000) लिखे। स्वर और व्यंजनों को विशेष क्रम में रखकर उनके प्राथमिक सूत्र बनाए अर्थात् संस्कृत व्याकरण के रचयिता थे।

प्रश्न 21.
वर्धमान महाबीर कौन थे? उन्होंने अपने उपवेश कौन सी भाषा में दिए?
उत्तर:
वर्धमान महावीर वज्जि संघ के लिच्छवि कुल में उत्पन्न राजकुमार थे। उन्होंने अपने उपदेश बुद्ध की तरह ही प्राकृत भाषा में दिए।

प्रश्न 22.
जैन धर्म में कौन से नियम प्रचलित थे?
उत्तर:
1. भिक्षा माँगकर अत्यंत सरल और सादा जीवन बिताना
2. अस्तेय (चोरी न करना)
3. ब्रह्मचर्य पालन,
4. दिगम्बर (वस्त्रहीन) एवं सर्वत्यागी रहना।

प्रश्न 23.
जैन धर्म की शिक्षाओं का मूल सार क्या था?
उत्तर:
अहिंसा और क्षमा।

प्रश्न 24.
जैन धर्म के अनुयायी किस कोटि के थे?
उत्तर:
कुछ अनुयायी भिक्षु-भिक्षुणी बनकर संपूर्ण त्यागमय जीवन बिताने लगे जबकि कुछ अन्य गृहस्थ में रहकर भिक्षु-भिक्षुणी आदि को भोजनादि सुविधाएँ प्रदान करने लगे।

प्रश्न 25.
जैन धर्म के समर्थक कौन थे?
उत्तर:
मुख्यत: व्यापारी क्योंविः किसानों के लिए इस सीमा तक अहिंसा का पालन करना कठिन था। उदाहरणार्थ-उनसे कई कीड़े-मकोड़ों की हिंसा संभावित थी।

प्रश्न 26.
विनयपिटक में क्या उल्लेख है?
उत्तर:
घर-द्वार त्यागने वाले अनुयायियों के लिए संघ बनाए गए थे जिनमें महिलाओं और पुरुषों के निवास की अलग-अलग व्यवस्थाएँ थीं।

प्रश्न 27.
संघ में प्रवेश की शर्ते क्या थी?
उत्तर:
1. महिला एवं पुरुष वर्ण, जाति आदि के भेदभाव से परे संघ में प्रवेश ले सकते थे।
2. बच्चों को अपने माता-पिता, दासों को अपने स्वामी, राजसेवकों को राजा और कर्जदारों को अपने लेनदारों की अनुमति प्राप्त करनी होती थी।

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प्रश्न 28.
बहुधा किस तरह के लोग संघ में प्रवेश लेते थे?
उत्तर:
ब्राह्मण, क्षत्रिय, व्यापारी, मजदूर, नाई, वेश्याएँ और

प्रश्न 29.
संघाराम क्या थे?
उत्तर:
उद्यानों में अनुयायियों द्वारा बनवाए गए कृत्रिम निवास स्थल अथवा पहाड़ी क्षेत्रों की प्राकृतिक गुफाएँ।

प्रश्न 30.
बौद्ध भिक्षु संघाराम में निवास कब करते थे?
उत्तर:
वर्षा ऋतु में। क्योंकि इस दौरान भ्रमण कर पाना कठिन हो जाता था।

प्रश्न 31.
विहार क्या थे?
उत्तर:
परिष्कृत संघाराम ही विहार थे। ये ईंट और पत्थरों से निर्मित विशाल इमारतें थीं। लकड़ी से बनाए गए संघाराम भी

प्रश्न 32.
क्या संघों में वेद वर्णित चारों वर्गों को प्रवेश की अनुमति थी?
उत्तर:
हाँ। इन संघों में वर्ण-भेद बिल्कुल भी नहीं था।

प्रश्न 33.
जराथुष्ट्र कौन थे? जराथुष्ट्र की शिक्षाओं का सार क्या है?
उत्तर:
एक ईरानी पैगम्बर थे। इस धर्म की शिक्षाओं का सार ‘सद्विचार, सद्वचन और सद्कार्य’ है।

प्रश्न 34.
जराथुष्ट्र धर्म की शिक्षाएँ कौन से ग्रंथ में संकलित हैं?
उत्तर:
‘अवेस्ता’ नामक ग्रंथ में।

प्रश्न 35.
भारत में जराथुष्ट्र धर्म के अनुयायी कहाँ हैं?
उत्तर:
गुजरात और महाराष्ट्र के पश्चिमी तट क्षेत्रों में।

प्रश्न 36.
जराथुष्ट्र धर्म को पारसी धर्म क्यों कहा जाता
उत्तर:
फारस से तात्पर्य ईरान से है और ईरान के लोगों का धर्म फारसी या जराथुष्ट्र धर्म ही है।

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लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
“किसागौतमी की कहानी” का संदर्भ लेकर गौतम बुद्ध को उपदेश-कला पर प्रकाश डालिये।
उत्तर:
इस दृष्टांत के आठ विभाग हैं:
1. एक महिला के पुत्र की मृत्यु होना
2. सड़क पर पुत्र की मृत देह लेकर विलाप करना
3. लोगों से उसको पुनर्जीवित करने का आग्रह करना
4. एक व्यक्ति का उस महिला को गौतम बुद्ध के पास ले जाना
5. क मुट्ठी सरसों मांगकर लाने को कहना
6. ऐसे घर से माँगना जहाँ मृत्यु न हुई हो
7. महिला का द्वार-द्वार भटकना परंतु ऐसा घर न मिलना
8. महिला को इस सत्य का ज्ञान होना कि सभी की मृत्यु होती है।

इसमें हम देखते हैं कि मनुष्य में तृष्णा (तन्हा) का जन्म कैसे होता है, वह किस तरह भटकता है और अंतत: गुणी पुरुष किस युक्ति से उसको सत्य का स्वयं एहसास कराता है। यह आत्मनिरीक्षण और आत्मावलोकन वाली उपदेश शैली है जिसमें उपदेश को सिद्धांत नहीं बल्कि व्यवहार का विषय बनाया जाता है। गौतम बुद्ध स्वयं ही कहते हैं कि उपदेशों का तुरंत पालन करने के स्थान पर उनकी अपने विवेक से जाँच करो, यथार्थ उभरकर सामने आ जाएगा।

प्रश्न 2.
उस युग में सत्यकाम जाबाल के अलावा अन्य निर्धन व्यक्ति धर्म चर्चाओं में भाग क्यों नहीं लेते थे? सुस्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
निर्धन व्यक्तियों के वाताओं में भाग न लेने के निम्नलिखित कारण रहे होंगे:
(i) साधनों का अभाव: निर्धन व्यक्ति का मन और मस्तिष्क केवल अपनी आजीविका तक सीमित रहता होगा जैसा कि प्रमाण मिलते हैं। इस युग में शिल्प पर भी कर वसूली होती थी। व्यक्तियों के पास इतना समय ही न रहता होगा कि वे आजीविका के अलावा कुछ और करने की सोच भी सकें।

(ii) ग्रंथों को खरीदने के लिए धन का अभाव: धर्म परिचर्चा करने में सक्षम वही व्यक्ति हो सकता था जिसने वेद, उपनिषद् आदि ग्रंथों का अध्ययन किया हो और मन में मंथन के पश्चात किसी विषय विशेष के बारे में उसकी जिज्ञासा जागी हो। निर्धन व्यक्ति के पास इन ग्रंथों को खरीदने के लिए धन नहीं था

इसलिए वह इन चर्चाओं में रुचि नहीं लेता था। उदाहरणार्थ-भिखारी का शौनक मुनि से भीख माँगना परंतु विद्वान होने पर भी उनके द्वारा भी उसकी उदर पूर्ति न कराई जानी। इससे संकेत मिलता है कि उस युग में भिखारी भी बड़ी संख्या में थे। ऐसी दशा में वे क्या धर्मचर्चा कर सकते थे।

प्रश्न 3.
केवल व्यापारी वर्ग ही जैन धर्म का अनुयायी क्यों बना होगा, कृषक वर्ग क्यों नहीं? सकारण स्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
इस प्रश्न के संदर्भ में सबसे पहले यह उल्लेख करना समीचीन रहेगा कि जैन धर्म में अहिंसा, अस्तेय (चोरी न करना) और क्षमा जैसे गुणों पर बल दिया गया था। व्यापारी वर्ग का कार्य द्वितीयक व्यवसाय के रूप का होता है। उसको केवल दुकान पर लाए गए खाद्यान्नों, वस्त्रों तथा अन्य माल की बिक्री करनी होती है। अत: इस कार्य में उक्त नियमों का पालन करना संभव है।

इसके विपरीत जब हम किसान की बात करते हैं तो वह कृषि में कई जीवों यथा-चूहा, साँप, चींटी, जंगली पशु, टिड्डी. खरगोश आदि की जान-बूझकर हत्या करता है। ऐसा न करने पर उसकी फसल बर्बाद हो जाएगी। गाय या भैंस के बछड़ों का हिस्सा (दूध) स्वयं छीनकर वह चोरी भी करता है। बकरी, भेड़ आदि पशुओं को हत्या करने के लिए ही पालता है। इन कारणों से किसानों के लिए इन नियमों का पालन करना कठिन रहा होगा।

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प्रश्न 4.
“घर-बाहर के त्याग” को सुस्पष्ट कीजिए।
उत्तर:
घर-बाहर से तात्पर्य केवल मिट्टी, पत्थर से बने भवन से नहीं बल्कि पारिवारिक रिश्ते (भाई, बहन, माता-पिता) और सामाजिक रिश्ते (परिजन तथा विविध व्यवसायरत लोगों के साथ संबंध) भी है। इन संबंधों को शारीरिक, मानसिक, भावात्मक और आध्यात्मिक स्तर पर बाधक बनने से रोकने की मनोवृत्ति ही त्याग है। देह-चेतना से उठकर मनश्चेतना के स्तर तक पहुँचने की एक तपस्या सिंचित प्रक्रिया या अनुक्रिया ही त्याग है। संक्षेप में एक ही अग्रता (एकाग्रता) वाली तपस्या ही मानसिक लक्ष्य तक पहुँचाती है।

प्रश्न 5.
वैदिक काल के ‘संघ’ और जैन तथा बौद्ध धर्म के ‘संघों’ में विभेद सुस्पष्ट कीजिए।
उत्तर:

वैदिक काल के संघधर्म-संघ
(i) ये राजनैतिक संगठन थे।(i) ये धर्म-संगठन थे।
(ii) इनमें कई राजा मिलकर एक सभा बनाते थे जिनमें सामूहिक निर्णय लिया जाता था।(ii) ये घर-द्वार त्याग कर ज्ञान की सच्ची जिज्ञासा वाले विचारकों हेतु बनाए गए।
(iii) इनका स्वरूप दृष्ट था अर्थात् राजा, जनता, समितियाँ, सभाएँ आदि सभी प्रत्यक्ष देखी जाने वाली व्यवस्थाएँ और उन व्यवस्थाओं के वाहक थे।(iii) ये भावात्मक संगठन थे। संघ किसी इमारत या भवन का नाम नहीं बल्कि विशेष मनोदशा और मानसिक चिंतन का नाम था। इसका इष्टस्वरूप नहीं था।
(iv) इनके नियमों में प्रत्यक्ष लाभ, भौतिक प्राप्ति उपलब्धि आदि की दिशा में कार्य-प्रवाह था।(iv) इनका कार्य-प्रवाह सत्य के अनुसंधान की ओर था। समस्त त्याग के साथ जीवन के भौतिक कष्टों को झेल कर यथार्थ सुख की ओर बढ़ना ही धर्म संघ का उद्देश्य है।

प्रश्न 6.
उत्तर वैदिक काल के बाद बौद्ध और जैन धर्म की नई विचारधाराएँ क्यों आ गई होंगी?
उत्तर:
उत्तर वैदिक काल वस्तुत: सिन्धु घाटी की सभ्यता की तरह क्रमिक विकास के बीच का एक स्फुलिंग अथवा स्फुरण चमत्कार जैसा था। इसके सामवेद, अथर्ववेद, यजुर्वेद जैसे वेदों में सामाजिक नियमों के कठोर से कठोरतम होने का उल्लेख है। यह संकेत देता है कि पूर्व वैदिक काल (ऋग्वेद रचना काल) तक मनुष्य क्रमिक विकास का अवलंबन लिए हुए था जबकि उत्तर वैदिक काल में राजा और पुरोहित के बीच विशिष्ट संबंध बनने के कारण पुरोहितवाद का सृजन हुआ। इसने समूचे समाज की पीड़ा बढ़ा दी।

संस्कृत शिक्षित विशिष्ट वर्ग के अलावा अन्य वर्ग द्रविड़ बन गया और भाषा का यह संघर्ष आरंभ हो गया। प्राकृत भाषा आम लोगों की बोली थी जिसके द्वारा उन्हें उचित दिनचर्या, उचित खान-पान, उचित कार्य-चयन आदि से परिचित कराने वाले उपदेश गौतम बुद्ध और वर्धमान महावीर द्वारा दिए गए। समाज की इस आवश्यकता को देखते हुए उपनिषद् (गुरु के पास बैठना) लिखे जाने लगे। इनमें प्रश्नोत्तर के क्रम में आम-मानव की बौद्धिक जिज्ञासाओं का शमन किया गया है।

इनकी भाषा भी सहज प्रवाहमय और सरल है। वेदों की गूळ संस्कृत इनमें व्याख्यात्मक (स्पष्टीकरण) रूप में पाई जाती है। छांदोग्य उपनिषद् की बुद्धिमान भिखारी वाली कहानी और गौतम बुद्ध के “किसागौतमी की कहानी” में तत्कालीन उपदेशकों की आत्मनिरीक्षण शैली के एक समान दर्शन होते हैं। इस युग के मानव को अपनी ही चेष्टा (शारीरिक, मानसिक, भावात्मक) से उपदेशित सत्य को पहचानने की शैली अपेक्षित थी और यह शैली उपनिषद एवं जैन और बौद्ध धर्म ग्रंथों में दिखाई पड़ती है। वर्ण-भेद से उत्पन्न विकारों का भी इस युग में शमन करने की चेष्टा की गई।

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 7 नए प्रश्न नए विचार

नए प्रश्न नए विचार Class 6 HBSE Notes in Hindi

1. सारनाथ कहाँ है?: वाराणसी में।
2. बुद्ध का जन्म कब हुआ?: लगभग 2500 वर्ष पूर्व।
3. लोगों के जीवन में क्या परिवर्तन हो रहे थे?: समाज-व्यवस्था, नगरों का विकास, सरकार की स्थापना आदि।
4. बोधगया कहाँ है?: आधुनिक बिहार में।
5. गौतम बुद्ध का मृत्यु स्थल: कुशी नगर।
6. संतुष्ट न होने की मनुष्य की प्रवृत्ति को क्या कहते हैं?: तन्हा (तृष्णा)।
7. प्राकृत भाषा क्या थी?: तत्समय प्रचलित आम लोगों की बोली।
8. जीवन का अटल सत्य क्या है?: प्रत्येक जीव की मृत्यु।
9. उपनिषद का क्या अर्थ है?: गुरु के निकट बैठना।
10. मृत्यु उपरांत भी शेष रहने वाली चीज क्या है?: आत्मा।
11. सत्यकाम जाबाल किसके पुत्र थे?: एक दासी के।
12. संस्कृत भाषा के व्याकरण का रचनाकार कौन था?: आचार्य पाणिनी।
13. वर्धमान महावीर कौन थे?: वज्जि संघ और लिच्छवी कुल के एक राजकुमार।
14. जैन धर्म का मुख्य उपदेश क्या था?: जीवों की हिंसा न करो।
15. मगध राज्य में बोली जाने वाली प्राकृत भाषा को क्या कहते थे?: मागधी।
16. किसानों के लिए जैन-धर्म का पालन कठिन क्यों था?: उन्हें फसल की रक्षा के लिए कीड़े-मकोड़ो को मारना पड़ता था जिसका धर्म में निषेध था।
17. संघ क्या था?: घर-बार त्याग कर बनाया गया धर्म दीक्षित भिक्षु और भिक्षुणियों का एक संगठन।
18. मठ क्या थे?: भिक्षु और भिक्षुणियों के लिए बनाए गए शरण-स्थल या विहार।
19. आश्रम व्यवस्था का विकास किसने किया?: ब्राह्मणों ने।
20. भिक्षुओं के नियम कौन से ग्रंथ में वर्णित हैं?: विनयपिटक में।

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HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 2 आरंभिक मानव की खोज में

Haryana State Board HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 2 आरंभिक मानव की खोज में Textbook Exercise Questions and Answers.

Haryana Board 6th Class Social Science Solutions History Chapter 2 आरंभिक मानव की खोज में

HBSE 6th Class History आरंभिक मानव की खोज में Textbook Questions and Answers

कल्पना करो:

तुम आज से 12,000 साल पहले पत्थर की एक गुफा में रहते हो। एन.सी.ई.आर.टी. की पाठ्यपुस्तक के पृष्ठ 15 पर देखो। तुम्हारे मामा गुफा की एक भीतरी दीवार पर चित्र बना रहे हैं और तुम उनकी सहायता करना चाहते हो। तुम रंग बनाओगे, रेखाएँ खींचोगे या फिर उनमें रंग भरोगे? तुम्हारे मामा तुम्हें कौन-कौन सी कहानियाँ सुनाएंगे?
उत्तर:
मेरे मामाजी ऐसी चित्रकारी को किसी पेसिल या कलम से नहीं बल्कि पत्थर के बने हड्डी की मूठ वाले औजार से करेंगे। वे बार-बार इसकी मूठ पर दूसरे पत्थर से चोट करके रेखाएं खींच रहे हैं। वे इसमें हिरन, शुतुरमुर्ग, जंगली साँड़ और भालू के चित्र बनाने की कोशिश कर रहे हैं। उनका पत्थर जब-जब जमीन पर गिरता है तो मैं उन्हें उठाकर देता हूँ। हमारे रिश्तेदार विन्ध्य पर्वतमाला और दक्कन के पठार की नर्मदा घाटी में ही रहते हैं। जब कभी वे इस ओर आएँ तो यहाँ पाए जाने वाले पशुओं से परिचित हो सकें और यहाँ के रास्तों का उन्हें ज्ञान हो जाए-इसके लिए वे पूरा नक्शा भी बना रहे हैं। वे मुझसे चूल्हे से बुझे हुए कोयले इकट्ठा करने को कहते हैं। मैं ढेर सारे कोयले बड़े-बड़े पत्तों में इकट्ठा कर लाया हूँ। अब हम इन चित्रों में कोयले से रंग परेंगे।

चित्रकारी करते समय मामाजी मुझे बताते हैं कि किस तरह हम लोग जंगली हिरन आदि का पीछा करते हुए यहाँ आए? उनका कहना है कि रास्ते में हमारे कई लोग जहरीली वनस्पतियाँ खाकर मर गए थे। दो-चार लोगों को भालू ने मार दिया और अब केवल मैं और चाचा ही शेष रह गए हैं। उन्होंने मुझे बहुत से स्वादिष्ट पत्तों, जड़ों और जंगली फलों के बारे में बताया। इनको छिलकर कैसे खाते हैं, यह भी बताया। अंत में हमने पिछले दिन मारे गए हिरन को पकाया और पेट भर खाकर सो गए। कल हम यहाँ से चले जाएँगे क्योंकि अब हम अकेले रह गए हैं। हम अपने रिश्तेदारों के पास नर्मदा नदी की घाटी में जाकर रहेंगे। ऐसी चट्टानें ही हमारा घर और पत्थर के औजार बनाने के कारखाने हैं।

आओ याद करें:

आरंभिक मानव की खोज प्रश्न उत्तर HBSE 6th Class Social Science प्रश्न 1.
इन वाक्यों को पूरा करो।
(क) शिकारी-खाद्य संग्राहक गुफाओं में इसलिए रहते थे क्योंकि ……………….. ।
(ब) घास वाले मैदानों का विकास ……………….. साल पहले हुआ।
(स) आरंभिक लोगों ने गुफाओं की ……………….. चित्र बनाए।
(द) हुस्गी में ……………….. से औजार बनाए जाते थे।
उत्तर:
(अ) उन्हें हिंसक पशुओं से सुरक्षा मिले, तीक्ष्ण गर्मी और ठंडी हवा के थपेडों से बचा जा सके और अपने शिकार को सुरक्षित रखा जा सके।
(ब) 12000
(स) भीतरी दीवारों
(द) चूने के पत्थरों

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 2 आरंभिक मानव की खोज में

आदिमानव का निवास स्थान HBSE 6th Class Social Science प्रश्न 2.
उपमहाद्वीप के आधुनिक राजनीतिक मानचित्र को देखो। उन राज्यों को ढूँढों जहाँ भीमबेटका, हुँगी और कुरनूल स्थित हैं। क्या तुषार की रेल इन जगहों के पास से होकर गई होगी?
उत्तर:
भीमबेटका मध्य प्रदेश में, हुँगी महाराष्ट्र और कुरनूल आंध्रप्रदेश में है। तुषार की रेल दिल्ली से भीमबेदका (मध्यप्रदेश) और फिर कुरनूल (आंध्र प्रदेश) के पास से होकर चेन्नई पहुँची होगी। आओ चर्चा करें:

Adimanav History HBSE 6th Class Social Science प्रश्न 3.
शिकारी खाद्य संग्राहक एक स्थान से दूसरे स्थान पर क्यों घूमते रहते थे? उनकी यात्रा और आज की हमारी यात्रा के कारणों में क्या समानताएँ या क्या भिन्नताएँ हैं?
उत्तर:
शिकारी खाद्य संग्राहक एक स्थान से दूसरे स्थान पर घूमने के कारण:
(i) शिकारी पूर्णतः प्राकृतिक चीजों यथा-पेड़-पौधों (कंद, मूल और फल) पर निर्भर था। एक स्थान के फल और वनस्पति समाप्त हो जाने पर दूसरे स्थान में जाकर उन्हें ढूँढना आवश्यक

(ii) शिकार करते समय पशुओं के साथ आदि मानव को भागना पड़ता था और इस तरह वह एक स्थान से दूसरे स्थान पर पहुँच जाता था।

(iii) पौधे और. वृक्षों में फल लगने की भी ऋतुएँ होती हैं इसलिए आदि मानव बदलती हुई ऋतुओं के साथ स्थान को बदलता रहता था।

(iv) मनुष्य, पेड़-पौधों और पशुओं सभी को जीवित रहने के लिए जल की आवश्यकता रहती है। कई नदियों और झीलों में किसी खास ऋतु में ही जल रहता है जबकि वर्ष के अन्य महीनों में वहाँ जलाभाव होने लगता है। शुष्क मौसम में आदि मानव को दूसरे जल वाले स्थल खोजने पड़ते थे।

(v) अपने समुदाय के अन्य सदस्यों से मिलने के लिए भी आदि मानव भ्रमण करता रहता था।

(vi) शिकारियों में क्रमशः बुद्धि और प्रेरणा विकसित हो रही थी इसलिए वह नए-नए स्थानों के बारे में जानकारी एकत्रित करने की उत्सुकता रखता था।

आधुनिक भ्रमण और आदि-काल के भ्रमण में समानताएँ/असमानताएँ:
(क) समानताएँ:
(i) आधुनिक मनुष्य भी एक राज्य से दूसर राज्य, एक दश से दूसर देश को आवागमन करता रहता है। आज भा वह अधिक लाभकारी काम खजिन, सामाजिक प्रतिष्ठा पाने, संस्कृति का प्रसार प्रचार करने और नए अनुसंधान करने तथा मनोरंजन के लिए यत्र-तत्र भ्रमण करता है।

(ii) आधुनिक युग के मनुष्य की आवश्यकताएँ भी आदि मानव जैसी ही हैं क्योंकि जीवित रहने के लिए उसको भोजन, पहनने के लिए वस्त्र और रहने के लिए घर की आवश्यकता रहती

(ख) असमानताएँ:
(i) आज का मनुष्य प्रशासनिक, सामाजिक और राष्ट्रीय तथा अन्तर्राष्ट्रीय चित्रों में बँधा है। आप्रवासन और उत्प्रवासन को वह दो देशों के बीच हुए समझौते की शर्तों के आधार पर ही कर पाता है।

(ii) आज के मनुष्य की आवश्यकताएँ आरामदायक और विलासिता वाली अधिक हैं अर्थात् वह मनोरंजन करने, सम्मेलन, सभाओं, गोष्ठियों और वार्ताओं के उद्देश्य से भ्रमण करता है।

(iii) आधुनिक मानव स्वेच्छा से पशुओं का शिकार नहीं कर सकता है और न वनस्पतियों को क्षति पहुंचा सकता है। प्रत्येक देश में पर्यावरण सुरक्षा के प्रावधान और कानून हैं जिनके अन्तर्गत ऐसा कृत्य अपराध समझा जाता है।

(iv) आधुनिक मनुष्य के भ्रमण की सीमाएँ उसकी योग्यता, देश के कानून और सामाजिक नियमों ने सीमित कर दी हैं। वह स्वतंत्र एवं स्वच्छंद नहीं है।

(v) प्रत्येक देश के कानूनों ने अपने नागरिकों को एक निश्चित स्थान पर स्वामित्व का अधिकार दिया है और वह केवल कानून की अनुज्ञा के आधार पर ही दूसरे स्थान में अपना अस्तित्व बना सकता है।

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प्रश्न 4.
आज तुम फल काटने के लिए कौन-से औजार चुनोगे? वह औजार किसी चीज से बना होगा?
उत्तर:
छुरी, चाकू, फल-तराश आदि ये बहुधा लोहे के बने होते हैं और इनमें बेकलाइट, लकड़ी आदि की मूठ लगी होती है।

प्रश्न 5.
शिकारी खाद्य-संग्राहक आग का उपयोग किन-किन चीजों के लिए करते थे? क्या तुम आज आग का उपयोग इनमें से किसी चीज के लिए करोगे!
उत्तर:
आदि मानव द्वारा आग का प्रयोग-

  1. माँस आदि पकाने
  2. गुफा में प्रकाश करने और
  3. शीत तथा हिंसक पशुओं के आक्रमण से बचने के लिए किया जाता था।

आज भी हम भोजन बनाने तथा ठंड से बचने के लिए आग। का प्रयोग करते हैं। आदिवासी क्षेत्रों में तो आज भी उक्त तीनों काया हतु आग का प्रयोग होता है। भारत के दूर-दराज के इलाका में आज भी घरों में मिट्टी के तेल के लैंप जलाकर घरों में प्रकाश किया जाता है। शीतकाल में आज भी लोग काठ-कोयला जलाते। हैं। महानगरों में ईधन का कार्य गैस और बिजली के उपकरण कर – रहे हैं लेकिन आज भी आग का प्रयोग इन सभी कार्यों में हो रहा है। केवल हिंसक पशुओं से बचने के लिए आज कोई भी आग नहीं जलाता। इसका कारण यह है कि लोग अब पक्के घरों में रहते हैं। तथा जनसंख्या बढ़ने और वन क्षेत्र संकुचित होते रहने एवं पशुओं। का निर्ममता से शिकार कर दिए जाने के कारण अब ऐसा खतरा। बिल्कुल भी नहीं रह गया है। आज हम हिंसक पशुओं यथा- शेर, बाघ, भालू, साँप आदि को केवल चिड़ियाघरों, अभयारण्यों या जैव आरक्षित क्षेत्र में ही देख सकते हैं।

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आओ करके देखें:

प्रश्न 6.
अपनी पुस्तिका के पन्ने पर एक लाइन खींचकर इसके दो खाने बनाओ। बाएँ खाने में, उन खाद्य पदार्थों की सूची बनाओ, जिन्हें शिकारी-खाद्य संग्राहक खाते थे और ‘दाएँ खाने में तुम जो चीजें खाते हो उनमें से कुछ के नाम लिखो। क्या तुम्हें इन दोनों में कोई समानता या भेद दिखाई देता है?
उत्तर:
शिकारी-खाद्य संग्राहक के भोजन की वस्तुएँ: कुछ विशेष पेड़ों की पत्तियाँ, जड़े, जंगली फल, गिरीदार फल, बीज, डंठल, अंडे, हिरन, मृग, सूअर, मुर्गी, साही आदि पशुओं का गोश्ता
आधुनिक मानव के खाद्य पदार्थ:

  1. पत्ते: पान, पालक, बंदगोभी, दालचीनी आदि।
  2. जड़ें: आलू, प्याज, रतालू. कचालू आदि।
  3. फल: सेब, अनार, संतरा, अमरूद, अनानास आदि।
  4. बीज: मूंगफली, सभी खाद्यान्न (गेहूँ, चावल, दालें आदि)।
  5. डंठल: गन्ना आदि।
  6. अंडे: मुर्गी, बत्तख, मोर, कबूतर आदि।
  7. गोश्त: बकरी, भेड़, सूअर, मुर्गी, मछली, हिरन, मृग, बारहसिंघा, चीतल, फाख्ता आदि।

समानता / असमानता से संबंधित निष्कर्ष:
उक्त सूची से स्पष्ट हो जाता है कि आदि मानव और आधुनिक मानव के खान-पान में किसी भी तरह का अंतर नहीं आया है। यदि अंतर है तो यह केवल भोज्य पदार्थों को पका कर खाने और परोसने के तरीकों में ही दिखाई पड़ता है। समाज का केवल 5% वर्ग ही ऐसा है जो माँसाहारी नहीं है, बाकी 95% सर्वभक्षी हैं। आदिमानव शराब, अफीम, गाँजा आदि मादक पदार्थों का सेवन नहीं करता था लेकिन आधुनिक मानव इन विषैली चीजों को भी नि:संकोच अपना भोजन बनाता है।

प्रश्न 7.
यदि तुम्हारे पास कोई गुटिका (प्राकृतिक पत्थर का टुकड़ा) जैसे कि एन.सी.ई.आर.टी, की पाठ्यपुस्तक की पृष्ठ संख्या 13 पर दिखाया गया है, हो तो उसे किस काम के लिए इस्तेमाल करोगे?
उत्तर:
बिना तराशे हुए पत्थर के टुकड़ों का प्रयोग:

  1. किसी गिरीदार फल (यथा-अखरोट आदि) को तोड़कर, गिरी बाहर निकालने में
  2. किसी पत्थर को तराशते समय हथौड़े का काम करने में
  3. दो पत्थरों को टकराकर बीच में घास रखकर आग उत्पन्न करने में
  4. दूसरे पत्थर को तोड़ते समय भूमि में रखकर पान (आधार) बनाने में
  5. चूल्हा बनाने में
  6. कच्चे घर की दीवार बनाने में
  7. किसी पक्षी का शिकार करने में
  8. गोटी खेलने में
  9. झोपड़ी के दरवाजे को इच्छित सीमा तक खुला रखने के लिए उसके कोने में फंसाने के लिए।

प्रश्न 8.
ऐसे दो काम लिखो जिन्हें आज महिलाएँ और पुरुष दोनों करते हैं। दो ऐसे काम बताओ जिन्हें सिर्फ पहिलाएं ही करती हैं और दो वे जिन्हें सिर्फ पुरुष ही करते हैं। अपनी सूची की अपने दो साथियों की सूचियों से तुलना करो। क्या तुम्हें इनमें कोई समानता या भेद दिखाई दे रहा है?
उत्तर:
पुरुष और महिला दोनों द्वारा किए जाने वाले कार्य:

  • कृषि कार्य, घर संभालना
  • समस्त कार्यालयीय और व्यावसायिक कार्य

केवल महिलाओं द्वारा किए जाने वाले कार्य:

  • बच्चों को जन्म देना
  • गृहचर्या (भोजनादि बनाना, बच्चों को स्तन-पान करना) और कताई-बुनाई जैसे कार्य जिनमें केवल महिलाओं की रुचि रहती है।

पुरुषों द्वारा किए जाने वाले कार्य:

  • गर्भाधान
  • जोखिम भरे और अत्याधिक परिश्रम साध्य कार्य।

इन सूचियों में असमानता भी हो सकती है लेकिन बच्चों को जन्म देने के महिला के कार्य में असंगति कदापि नहीं हो सकती क्योंकि यह ध्रुव सत्य है कि महिलाएँ ही बच्चों को जन्म दे सकती

HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 2 आरंभिक मानव की खोज में

HBSE 6th Class History आरंभिक मानव की खोज में Important Questions and Answers

अति लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
भारत में रेलें कब से चली?
उत्तर:
आज में लगभग 150 वर्ष पूर्व ।

प्रश्न 2.
आदिमानव एक स्थान से दूसरे स्थान का भ्रमण कैसे करता था?
उत्तर:
पैदल और नंगे पाँव।

प्रश्न 3.
आदिमानव को शिकारी और खाद्य-संग्राहक क्यों कहा जाता है?
उत्तर:
आदिमानव जंगलों में रहता था और वहाँ के पेड़-पौधों की जड़ें, पत्तियाँ, फल और वहाँ रहने वाले जीव-जन्तु ही उसके आहार थे।

प्रश्न 4.
आदिमानव को किन-किन चीजों की जानकारी थी?
उत्तर:
(i) कौन सी जड़ें, फल और पत्ते खाए जा सकते हैं और कौन से विषैले हैं?
(ii) किस ऋतु में जंगली फल कौन से स्थान पर मिलते हैं?
(iii) पेड़-पौधों और जीव-जन्तुओं की प्रचुरता कौन सी जगह रहती है?
(iv) शिकार करने के लिए कौन-कौन से उपाय किए जाते हैं?

प्रश्न 5.
क्या आपको भी पेड़-पौधों के बारे में आदिमानव की तरह जानकारी रहती है?
उत्तर:
आदिमानव से भी अधिक। कृषि विज्ञान, वनस्पति विज्ञान, भूगोल, भू-विज्ञान और पुरातत्व विज्ञान हमें सभी प्रकार के खाद्य और अखाद्य पेड़-पौधों, फलों, जड़ों आदि की जानकारी प्रदान करते हैं।

प्रश्न 6.
आदि-मानव के शिकारी और खाद्य-संग्राहक होने के बारे में आप कैसे जानते हैं?
उत्तर:
स्थान-स्थान पर मिलने वाले तराशे गए पत्थर के औजार, हड्डी से निर्मित औजार और लकड़ी की मूठ वाले औजार। इन औजारों की बनावट ऐसी है कि इनके शिकार करने, फलों एवं जड़ों को छीलने, खोदने, काटने आदि कार्यों में प्रयोग करने की जानकारी मिलती है।

प्रश्न 7.
पुरातत्ववेत्ताओं को जो औजार मिले. हैं-उनसे क्या पता लगता है?
उत्तर:
ऐसा लगता है कि पत्थरों से बने ये औजार, माँस और हड्डी को काटने, पेड़ों की छाल खुरचने, पशुओं को खाल निकालने, फल और जड़ों को काटने, शिकार करने (भाले और बाण जैसे अस्त्र शस्त्र बनाने में प्रयुक्त औजार), पशुओं की खाल को सिलकर वस्त्र बनाने में प्रयोग किए जाते हैं।

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प्रश्न 8.
पुरापाषाण काल के पुरातत्व स्थल कहाँ हैं?
उत्तर:

  • हुस्गी
  • कुर्नूल गुफाएँ।

प्रश्न 9.
नव-पाषाण काल के स्थल कहाँ हैं?
उत्तर:

  1. पेयमपल्ली
  2. हल्लूर
  3. कोल्डिहवा
  4. महागड़
  5. चिरांद
  6. दाउजली हडिंग
  7. बुर्जाहोम।

प्रश्न 10.
महापाषाण काल के पुरातत्वीय स्थल कहाँ हैं?
उत्तर:

  • अदिचनाल्लूर
  • ब्रहमगिरि।

प्रश्न 11.
आधुनिक शहर बन चुके आदिकाल के गाँव कहाँ हैं?
उत्तर:
इनामगाँव (महाराष्ट्र)।

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प्रश्न 12.
पुरातत्वीय वास-स्थल किन्हें कहा जाता है?
उत्तर:
ये वे स्थान हैं जहाँ पाई गई चीजों से यह पता चलता है कि आदि मानव इनमें निवास करते थे। उदाहरणार्थ-भीमबेदका – (मध्य प्रदेश)। ये गुफाएँ और चट्टानों पर बने आश्रय-स्थल हैं।

प्रश्न 13.
वास और कारखाना-स्थल क्या है?
उत्तर:
आदि मानव जिन स्थानों पर निवास करने के साथ ही पत्थरों को तराश कर उनसे औजार भी बनाता था। वास और कारखाना स्थल कहे गए। यहाँ पर टूटे-फूटे औजार, तराशते समय टूटने वाले छोटे-छोटे टुकड़े प्राप्त हुए हैं।

प्रश्न 14.
पुरातत्वीय स्थल किसे कहते हैं?
उत्तर:
वे स्थान जहाँ पुरातत्ववेत्ताओं को आदि मानव के औजार, भाँड़े-बर्तन, निवास करने के लक्षण वाली गुफाएँ आदि प्राप्त हुई।

प्रश्न 15.
आदिमानव पत्थर के औजार कैसे बनाता था?
उत्तर:
(i) एक पत्थर से दूसरे पत्थर पर चोट करके
(ii) तराशे जाने वाले पत्थर को कठोर शिला पर रखकर दूसरे पत्थर से उस पर हथौड़े की तरह चोट करके सही नुकीला आकार देकर।

प्रश्न 16.
शिकारी आदिमानव को क्या जानकारी थी?
उत्तर:
जन्तुओं की प्रजनन-ऋतु, उनके द्वारा खाई जाने वाली घास की किस्में घास की विविध किस्मों के उत्पत्ति स्थल और विशेष पशुप्रजातियों की पहचान, लक्षण और उनके गोश्त का स्वाद, ऊर्जा प्राप्ति की मात्रा आदि की जानकारी थी।

प्रश्न 17.
शिकारी अवस्था से आदिमानव पशुपालक क्यों बना होगा?
उत्तर:
जब आदिमानव को आखेट योग्य पशुओं की संपूर्ण गतिविधियों, दुधारू पशुओं के स्वभाव, लक्षण आदि का विस्तृत ज्ञान हो गया तो स्वाभाविक ही था कि वन में उनके पीछे-पीछे भागने के स्थान पर उसने उनका झुंड अपने पास रखना चाहा होगा। इन्हीं कारणों से वह पशुपालक बना होगा।

प्रश्न 18.
पुरा-पाषाण काल को कितने वर्गों में बाँटा जाता है?
उत्तर:
तीन वर्गों में:
(i) आदि पाषाण काल
(ii) मध्य पाषाण काल और
(iii) उत्तर पाषाण काल।
पुरा-पाषाण काल की कुल अवधि – 20 लाख वर्ष पूर्व से लगभग 12000 वर्ष पूर्व के बीच अर्थात् 19,88,000 वर्ष की है।

प्रश्न 19.
मध्य पाषाण काल की अवधि बताइए।
उत्तर:
लगभग 12000 वर्ष पूर्व से लगभग 10000 वर्ष पूर्व तक अर्थात् 2000 वर्ष की अवधि।

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प्रश्न 20.
उत्तर पाषाण काल या नव पाषाण काल की अवधि बताइए।
उत्तर:
10000 वर्ष पूर्व से लेकर 8000 वर्ष पूर्व तक अर्थात् 2000 वर्ष की अवधि।

प्रश्न 21.
पुरा-पाषाण काल और नव पाषाण काल के औजारों में क्या अंतर है?
उत्तर:
पुरा-पाषाण काल के औजार बड़े-बड़े आकार के अपरिष्कृत और अच्छी तरह तराशे नहीं गए हैं। जबकि नवपाषाण काल के औजार बहुत कम भार वाले, कई कार्यों के उपयुक्त (यथा-जानवरों की खाल सिलकर वस्त्र बनाने के काम, जड़ों को खोदकर निकालने के काम आदि) तथा बहुत परिष्कृत हैं।

प्रश्न 22.
गुफाओं की चित्रकारी सर्वप्रथम कहाँ की गई थी?
उत्तर:
आंध्र प्रदेश और दक्षिणी उत्तर प्रदेश (झाँसी आदि क्षेत्र) में।

प्रश्न 23.
चित्रकारी के प्रमुख विषय या वस्तुएँ क्या थी? उत्तर: वन्य पशु। प्रश्न 24. शुतुरमुर्ग के अंडे कहाँ पाए गए हैं?
उत्तर:
पाटनी (महाराष्ट्र) में।

लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
यह बताइए कि आदि मानव गुफाओं के भित्ति चित्रों में कौन से रंग भरता था?
उत्तर:
जैसा कि फ्रांस में मौजद 100000 वर्ष पूर्व की एक गुफा में देखा गया है काला, भूरा और हल्का पीला रंग इन चित्रों में भरा गया है। काले रंग को काठ-कोयले, भूरे रंग को गेरू और हल्का पीला रंग लौह-अयस्क से तैयार किया जाता था।

प्रश्न 2.
फ्रांस की गुफा में कौन-कौन सी चीजों के चित्र बनाए गए हैं?
उत्तर:
जंगली घोड़ा, अरोच (चौपाया पशु), जंगली साँड, घने बालों वाला गैंडा तथा भालू।

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प्रश्न 3.
ऐसा कैसे पता चलता है कि आदि मानव शिकार की खोज में जाने से पहले विशेष मुहूर्तों, अनुष्ठानों में भित्ति-चित्रकारी करता था?
उत्तर:
चित्रों के लक्षणों को देखकर पुरातत्ववेत्ताओं ने ऐसा अनुमान लगाया है। ऐसा प्रतीत होता है कि समुदाय के सभी सदस्यों को पशुओं के लक्षणों, शारीरिक बनावट और उनके दौड़ने की गति से अवगत कराने के लिए ऐसे चित्र शिकार पर जाने से पहले बनाए गए होंगे।

प्रश्न 4.
विचार कीजिए कि आदिमानव का भ्रमण क्षेत्र सीमित क्यों रहा होगा?
उत्तर:
(i)) आदिमानव के पास आज की तरह परिवहन साधन नहीं थे। वह नग्न पाँव इधर से उधर पशु-पक्षियों के पीछे भायता रहता था।
(ii) केवल नदी घाटियों और मैदानों में ही प्राकृतिक भोजन (वनस्पति और जन्तु) उपलब्ध था।
(iii) दक्षिणी भारत की ओर ही गुफाओं आदि की प्रचुरता और उष्णकटिबंधीय अर्थात् उष्ण जलवायु थी।

प्रश्न 5.
विवेचना कीजिए कि आदिमानव सर्वप्रथम खाद्य-संग्राहक क्यों बना?
उत्तर:
खाद्य-संग्राहक से तात्पर्य है: जंगली जड़ों, फलों और पत्तियों को एकत्रित करना और उनका भोजन करके जीवन बिताना। पृथ्वी की सतह पर सबसे पहले वनस्पति ने ही जन्म लिया और यह भी उष्णकटिबंधीय जलवायु वाले क्षेत्रों में ही सर्वप्रथम उगनी आरंभ हुई। यही कारण है कि मनुष्य को सर्वप्रथम पशुओं की तरह वनस्पति को ही अपना आहार बनाना पडा। दसरा तथ्य यह है कि मनुष्य की उत्पत्ति भी क्रमिक विकास की प्रक्रिया से हुई है और वह सबसे पहले अफ्रीका का एक लंगूर (बंदर) था जो कि पशु है और जिसका स्वभाव खाद्य-संग्राहक की तरह ही जीवन व्यतीत करने का है।

प्रश्न 6.
भोजन संग्राहक मनुष्य के विकास, भोजन, वस्त्र और औजारों का विवरण दीजिए।
उत्तर:
पुरा-पाषाण काल में आदि मानव का जीवन अति-कठिन और विपत्तियों से घिरा हुआ था। उसको भोजन तथा आश्रय की खोज में स्थान-स्थान पर घूमना पड़ता था। उसका जीवन अस्थिर था। उसको सभ्य बनने के लिए विकास की कई अवस्थाओं से गुजरना पड़ा। उसके जीवन की आरंभिक अवस्था “भोजन या खाद्य संग्राहक” की थी।

इस काल में उसकी जीवन-चर्या निम्नवत रही:
(क) निवास: आदिमानव के निवास का आज की तरह कोई निश्चित स्थान नहीं था। वह भोजन की तलाश में स्थान-स्थान पर घूमता था। वह सदी, गर्मी, वर्षा और धूप से बचने के लिए पेड़ों के कोटरों, गुफाओं या वृक्षों की घनी पत्तियों से ढकी शाखाओं में बैठा और सोया करता था।
(ख) भोजन: आदिमानव जंगली जडे, फल और पत्तियाँ और बहुत से पशुओं का माँस खाकर अपनी भूख मिटाता था। एक स्थान पर इन चीजों के समाप्त हो जाने की दशा में वह दूसरे स्थान पर चला जाता था।
(ग) वस्त्र: आदिमानव के वस्त्र वृक्षों की छाल और पशुओं की खाल के थे। इन्हें वह पत्थर के विशेष औजारों से सिलकर तैयार करता था।
(घ) औजार: इसके मुख्य औजार पत्थरों से निर्मित तीर, भाले, कुल्हाड़ी, छुरी, दराँती आदि जैसे आकार के पाए गए हैं।

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आरंभिक मानव की खोज में Class 6 HBSE Notes in Hindi

1. आदि मानव अपना भोजन कैसे प्राप्त करता था?: पशुओं का शिकार करके और पेड़ों के कन्दमूल तथा फल खाकर।
2. आदि मानव का घर कहाँ था?: वृक्षों के कोटरों और गुफाओं में।
3. उसने नदियों और झीलों वाले स्थानों को ही क्यों चुना होगा?: वनस्पति की प्रचुरता और जल पर्याप्त मात्रा में उपलब्ध रहने के कारण।
4. वह स्थान-स्थान पर क्यों भटकता रहता था?: ऋतु परिवर्तन से प्रभावित वनस्पति की उपलब्धता, पशुओं का पीछा करते हुए तथा पर्याप्त जल वाले स्थानों का चयन करने के लिए।
5. आदि मानव के हथियार किस चीज के बने थे?: पत्थरों, हड्डियों और काष्ठ के।
6. उसके वस्त्र किस चीज के थे?: पशुओं के खाल, वृक्षों के पत्ते या छाल के।
7. वह औजारों का प्रयोग किन-किन कार्यों में करता था?: पशु-पक्षियों का शिकार करने, उनकी खाल निकालने, पेड़ की जड़ों को खोदने, फलों को छीलने, कोमल घास के तनों को छीलने आदि में।
8. आदि मानव जहाँ पत्थरों को तराश का औजार बनाता था उन स्थानों का क्या नाम दिया गया है?: कारखाना-स्थल।
9. प्राकृतिक गुफाएँ और चट्टानों के आश्रय-स्थल कहाँ पाए जाते हैं?: विन्ध्य पर्वतमाला और दक्कन पठार में।
10. वास-स्थल किन्हें कहा गया है?: आदि मानव के निवास स्थल। यथा- गुफाएँ।
11. औजार बनाने की विधियाँ कौन सी थीं?:

  • एक पत्थर से दूसरे पर चोट मारकर नुकीला बनाना
  • तराशे जाने वाले

पत्थर को कठोर भूमि पर रखकर दूसरे पत्थर से चोट करना।
12. आदि मानव आग को किस काम में लेता था?: हिंसक पशुओं को गुफा से दूर रखने, प्रकाश करने और गोश्त भूनने।

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13. भूमि पर घास और विभिन्न खाद्यान्न कब उगने आरंभ हुए?: लगभग 12000 वर्ष पूर्व जब तापमान में वृद्धि होने लगी।
14. पुरा-पाषाण काल की अवधि क्या थी?: 20 लाख वर्ष पूर्व से लगभग 12000 वर्ष पूर्व तक।
15. 12000 वर्ष से 10000 वर्ष पूर्व के बीच की 2000 वर्ष पूर्व की अवधि को क्या कहते हैं?: मध्य पाषाण काला
16. मध्य पाषाण काल के दराँती और आरे जैसी हड्डी या लकड़ी की मूठ वाले हथियार क्या कहे जाते हैं?: सूक्ष्मपाषाणी औजार।
17, लगभग 10,000 वर्ष पूर्व से आगे की अवधि को क्या कहा जाता है?: नवपाषाण काल।
18. नवपाषाण काल के स्थानों के नाम आधुनिक ही क्यों दिए गए हैं?: उस काल के नामों की प्रामाणिक जानकारी न रहने के कारण।
19. भित्ति-चित्रकारी सबसे पहले कहाँ की गई थी?: मध्य प्रदेश और दक्षिणी उत्तर प्रदेश में।
20. भारत में शुतुरमुर्ग किस काल में और कहाँ पाए गए?: पाटनी (महाराष्ट्र) में पुरापाषाण काल के दौरान।
21. पुरापाषाण काल के स्थल कहाँ पाए गए हैं?: हुसगी (महाराष्ट्र) में।

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HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 1 क्या, कब, कहाँ और कैसे

Haryana State Board HBSE 6th Class Social Science Solutions History Chapter 1 क्या, कब, कहाँ और कैसे Textbook Exercise Questions and Answers.

Haryana Board 6th Class Social Science Solutions History Chapter 1 क्या, कब, कहाँ और कैसे

HBSE 6th Class History क्या, कब, कहाँ और कैसे Textbook Questions and Answers

कल्पना करो:

तुम्हें एक पुरातत्वविद् का साक्षात्कार लेना है। तुम उन पाँच प्रश्नों की एक सूची तैयार करो जिन्हें तुम पुरातत्त्वविद् से पूछना चाहोगे?
उत्तर:
पांच भिन्न-भिन्न प्रश्नों की सूची:
प्रश्न 1: आप आज से 3000 वर्ष की सभ्यता के बारे में क्या जानते हैं?
प्रश्न 2: आप निश्चित कालगणना कैसे करते हैं?
प्रश्न 3: आपको लोगों के रहन-सहन, रीति-रिवाज के बारे में कैसे पता चलता है?
प्रश्न 4: प्राचीन काल की बातों को जानने के स्रोत क्या हैं?
प्रश्न 5: आपको कई बातों के स्रोत मिलते हैं और कई अन्य के प्रामाणिक स्रोत नहीं भी मिल पाते होंगे, ऐसी दशा में आप तथ्यों का सामान्यीकरण किस तरह करते हैं?

HBSE 7th Class Social Science Solutions History Chapter 1 क्या, कब, कहाँ और कैसे

आओ याद करें:

क्या कब कहाँ और कैसे प्रश्न उत्तर HBSE 6th Class Social Science प्रश्न 1.
निम्नलिखित का सुमेल करो:

(अ)(ब)
(अ) नर्मदा घाटी(i) पहला बड़ा राज्य
(ब) मगध(ii) शिकार तथा संग्रहण
(स) गारो पहाड़ियाँ(iii) लगभग 2500 वर्ष पूर्व के नगर
(द) सिन्धु और इसकी सहायक नदियाँ(iv) आरंभिक कृषि
(य) गंगा घाटी(v) प्रथम नगर

उत्तर:

(अ)(ब)
(अ) नर्मदा घाटी(ii) शिकार तथा संग्रहण
(ब) मगध(i) पहला बड़ा राज्य
(स) गारो पहाड़ियाँ(iv) आरंभिक कृषि
(द) सिन्धु और इसकी सहायक नदियाँ(v) प्रथम नगर
(य) गंगा घाटी(iii) लगभग 2500 वर्ष पूर्व के नगर

HBSE 6th Class Social Science क्या कब कहाँ और कैसे प्रश्न 2.
पाण्डुलिपियों तथा अभिलेखों में एक प्रमुख अंतर बताओ।
उत्तर:
पाण्डुलिपि को प्राचीन विद्वानों ने भूर्जपत्र (भूर्ज वृक्ष की छाल) और ताड़ के पत्तों पर लिखा जबकि अभिलेख पत्थरों और धातुओं पर उत्कीर्ण किए गए।

आओ चर्चा करें:

क्या कब कहाँ और कैसे HBSE 6th Class Social Science प्रश्न 3.
कई सौ वर्ष पूर्व की घटनाओं की जानकारी कैसे प्राप्त की जा सकती है? रशीदा के प्रश्न को फिर से पढ़ों। इसके क्या उत्तर हो सकते हैं?
उत्तर:
कई सौ वर्ष की घटनाओं के बारे में इतिहास के स्रोतों से जानकारी प्राप्त की जा सकती है। ये स्रोत हैं:
(i) पाण्डुलिपि
(ii) शिलालेख
(iii) गूढ़ लिपि का अर्थ ज्ञान
(iv) पुरातत्त्ववेत्ताओं द्वारा एकत्रित किए गए प्राचीनकाल के भग्नावशेष तथा
(v) कालक्रम -(ईसा मसीह के जन्म-पूर्व और पश्चात की काल गणना)।

प्रश्न 4.
पुरातत्त्वविदों द्वारा पाई जाने वाली सभी वस्तुओं की एक सूची बनाओ। इनमें से कौन सी वस्तुएँ पत्थर की बनी हो सकती है?
उत्तर:
पुरातत्त्वविदों द्वारा पाई जाने वाली वस्तुएँ:
(i) अभिलेख
(ii) शिलालेख
(iii) पाण्डुलिपि
(iv) कलाकृतियाँ
(v) भवन-शिल्प
(vi) मुद्रा एवं मोहर
(vii) औजार/हथियार/भाँडे-वर्तन
(viii) स्मारक, मंदिर, धर्मशालाएँ, कुएँ, मूर्तियाँ
(ix) मनुष्य, पशुओं, पक्षी और मछलियों की हड्डियाँ
(x) खाद्यान्नों के बीज
(xi) वस्त्र
(xii) आभूषण।
पत्थर की बनी वस्तुएँ: औजार, भाँडे-बर्तन, मूर्तियाँ, शिलालेख, चित्रकारी आदि हैं।

HBSE 7th Class Social Science Solutions History Chapter 1 क्या, कब, कहाँ और कैसे

प्रश्न 5.
साधारण स्त्री और पुरुष अपने कार्यों का विवरण क्यों नहीं रखते थे? इसके बारे में तुम क्या सोचती हो?
उत्तर:
इसके निम्नलिखित आधार हैं:
(i) पुरातत्त्वीय आधार: पुरातत्त्ववेत्ता को आमआदमी की दिनचर्या के बारे में लिखी गयी कोई पाण्डुलिपि नहीं मिली। उन्होंने इनके बारे में जानकारी उनके औजार, हथियार, भाँडे-बर्तन आदि के अवशेषों से प्राप्त की है।

(ii) आम आदमी की वर्तमान स्थिति: आज भी हम देखते हैं कि आम आदमी अर्थात्-सामान्य किसान, मजदूर, श्रमिक, मछुआरे, आदिवासी एवं पशुपालक के सभी कार्य प्राथमिक अवस्था के रहते हैं। इसी कारण उनके कार्यों और क्रियाओं तथा मान्यताओं का कोई भी अभिलेख तैयार नहीं किया जाता। इनका परिश्रम समाज के अन्य वर्गों के लिए ही होता आया है।

(iii) जनगणना आदि जैसी प्रशासनिक व्यवस्था का न रहना: इतिहास बताता है कि जनगणना केवल अठारहवीं शताब्दी के बाद से ही की जा रही है। इसके बीच की समयावधि में भी कई बाधाएँ आई थी। अतः जनसामान्य के बारे में जानकारी के कोई स्रोत नहीं हैं।

प्रश्न 6.
कम से कम दो ऐसी बातों का उल्लेख करो जिनसे तुम्हारे अनुसार राजाओं और किसानों के जीवन में भिन्नता का पता चलता है।
उत्तर:
ऐसे दो आधार हैं:

  1. शिलालेख और
  2. पुरातत्त्वीय साक्ष्य।

शिलालेखों में उत्कीर्ण राजाज्ञाएँ दर्शाती हैं कि शासक वर्ग हमेशा युद्धरत रहता था, उनके बड़े-बड़े महल थे और वे ऐश्वर्यपूर्ण जीवन बिताते थे। भाँडे-बर्तन, पत्थरों के औजार, हड्डियों के आभूषण जैसे अवशेष दर्शाते हैं कि उनका जीवन स्तर बहुत ही दयनीय रहा होगा। पुरातत्ववेत्ताओं ने उनकी किसी पाण्डुलिपि को भी नहीं पाया जिससे यह ज्ञात होता है कि वे सर्वथा निरक्षर थे। उपलब्ध राजाज्ञाओं और ग्रंथों में भी केवल राजा और रानियों की वीरता और सुन्दरता का उल्लेख मिलता है। इससे पता चलता है कि किसान वर्ग समाज का शोषित और उपेक्षित वर्ग था।

HBSE 7th Class Social Science Solutions History Chapter 1 क्या, कब, कहाँ और कैसे

आओ करके देखें:

प्रश्न 7.
एन.सी.ई.आर.टी. की पाठ्यपुस्तक के पृष्ठ 1 पर शिल्पकार शब्द का पता लगाओ। आज प्रचलित कम से कम पांच भिन्न-भिन्न शिल्पों की सूची बनाओ। क्या ये शिल्पकार (क) स्त्री, (ख) पुरुष, (ग) स्त्री तथा पुरुष दोनों होते हैं?
उत्तर:
आधुनिक युग में प्रचलित शिल्प हैं:

  1. हस्त-शिल्प: (इसमें हाथ से बनाई जाने वाली विपणन योग्य चीजें-टोकरी, थैले, सजावट का सामान अदि आते हैं)
  2. भवन-शिल्प: (इसमें भवन निर्माण अभियन्ता एवं योजनाकार आदि शिल्पियों का कार्य सम्मिलित रहता है)
  3. मूर्ति शिल्प: (इसमें कलाकृतियाँ, मूर्तियाँ आदि आती हैं)
  4. काष्ठ-शिल्प: (इसमें फर्नीचर, झाड़-फानूस आदि गृह-सजा का कार्य आता है)
  5. चर्म-शिल्प: (इसमें चमड़े की वस्तुएँ बनाने का कार्य सम्मिलित है)।

हस्तशिल्प को स्त्री और पुरुष दोनों ही पसंद करते है और बहुधा स्त्रियाँ ही इन कार्यों में तल्लीन दिखाई पड़ती है। भवन शिल्प में बहुधा पुरुषों का ही योगदान रहता है। अभियंता आदि के पद पर तो महिलाएँ भी दिखाई पड़ती है लेकिन कार्य-स्थल के निर्माता पुरुष ही रहते हैं। मूर्ति-शिल्प: महिला और पुरुष दोनों। काष्ठ शिल्प: अधिकतर पुरुष ही, चर्म-शिल्प: बहुधा पुरुष।

HBSE 7th Class Social Science Solutions History Chapter 1 क्या, कब, कहाँ और कैसे

प्रश्न 8.
अतीत में पुस्तकें किन-किन विषयों पर लिखी गई थीं? तुम इनमें से किन पुस्तकों को पढ़ना पसंद करोगी?
उत्तर:
प्राचीन काल में धार्मिक आस्थाओं और धर्माचरण (धर्मशास्त्र), शासकों की जीवनियाँ, चिकित्सा, विज्ञान और साहित्य जैसे विषयों पर पुस्तकें लिखी गई थीं।

मैं इनमें से धर्मशास्त्र की पुस्तकें पढ़ना चाहूँगा क्योंकि-
(i) इससे ही मनुष्य की धारणाएँ (मनोवृत्ति, संकल्प, अन्त:करण) बनीं जिससे आदि-काल का समाज संगठित हुआ होगा और संगठित समाज को सुचारू रूप से चलाने के लिए एक मुखिया (राजा या शासक) की आवश्यकता महसूस हुई होगी तथा सदाचारी राजा ने ही राज्य के बीमार, कमजोर तथा अस…. लोगों के उपचार की स्थितियाँ उत्पन्न की होंगी तथा समाज की प्रगति हेतु चिन्तन करने वाले और प्रसन्न मानसिकता के जन-समुदाय के हृदय में ही कविताओं, गीतों तथा सत्साहित्य ने जन्म लिया होगी।

(ii) मेरा यह मानना है कि समाज को एकता के सूत्र में आबद्ध करने वाली विशुद्ध और निरपेक्ष धारणा ही धर्म है। आहार से आचार, आचार से विचार और विचार से ही व्यवहार (कर्म) क्रमशः आरोही क्रम में उद्गमित होते हैं। प्राचीन काल के इन सभी संस्थानों (परिवार, समुदाय, गण, संघ, परिसंघ आदि) की उत्पत्ति भी इसी क्रम में हुई है।

HBSE 6th Class History नगर, व्यापारी और शिल्पिजन Important Questions and Answers

अति लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
अतीत की घटनाओं के बारे में जानने के स्रोत क्या हैं?
उत्तर:
पाण्डुलिपियों, शिलालेखों और पुरातत्व विज्ञान द्वारा खोजी गई प्राचीन चीजों को स्रोत कहा जाता है।

प्रश्न 2.
प्राचीन काल की जानने योग्य चीजें क्या हैं?
उत्तर:
प्राचीन काल की जानने योग्य चीजें-लोगों का रहन-सहन, उनके आचार और व्यवहार, वेश-भूषा, भोजन के तरीके और काम-धन्धे तथा शिल्प हैं। उस काल में मौजूद साहित्य, संगीत, विज्ञान, गणित, खेल-कूद और व्यायाम, मनोविनोद के साधन आदि भी जानने योग्य तथ्य हैं।

प्रश्न 3.
भोजन संग्राहक लोग सबसे पहले भारत में कहाँ रहते थे?
उत्तर:
नर्मदा नदी की घाटी में।

प्रश्न 4.
प्राचीन काल के भोजन-संग्राहक लोग क्या खाते थे?
उत्तर:
पेड़ों के कन्द, जड़ें (मूल) और फल। वन की इन्हीं चीजों को खाकर वे अपना जीवन व्यतीत करते थे। उनमें कुछ लोग ऐसे भी थे जो जंगली पशु-पक्षियों का शिकार करते थे।

HBSE 7th Class Social Science Solutions History Chapter 1 क्या, कब, कहाँ और कैसे

प्रश्न 5.
8000 वर्ष पूर्व कृषि कार्य करने वाले लोग कहाँ रहते थे?
उत्तर:
भारत के उत्तर-पूर्व में स्थित किरथर और सुलेमान पहाड़ियों में। वे गेहूँ और जौ की फसलें उगाते थे।

प्रश्न 6.
पशुपालक लोगों का समुदाय कहाँ रहता था?
उत्तर:
भारत के उत्तर-पूर्व में स्थित गारो पहाड़ियों और मध्य भारत की विन्ध्य पर्वतमाला के आस-पास वाले क्षेत्र में। वे भेड़-बकरी और अन्य पशुओं को पालते थे। यहाँ सबसे पहले धान की खेती भी की गई।

प्रश्न 7.
दक्षिण एशिया को उपमहाद्वीप क्यों कहा जाता है?
उत्तर:
समुद्रों, पहाड़ियों और पर्वतों ने इस भू-भाग को एक नया आकार और अलग पहचान दी है। यह भारत, पाकिस्तान, बांग्लादेश, नेपाल, भूटान, श्रीलंका, अफगानिस्तान, ईरान, चीन तथा म्यनमार को सम्मिलित करने वाला विशाल भू-भाग है।

प्रश्न 8.
सहायक नदी क्या है?
उत्तर:
वह छोटी नदी जो अपने उद्गम से आगे बढ़कर किसी मुख्य नदी में मिल जाती है। उदाहरणार्थ- यमुना, कोसी, घाघरा आदि गंगा नदी की सहायक नदियाँ हैं।

प्रश्न 9.
सोन नदी कहाँ बहती है?
उत्तर:
मध्य प्रदेश में।

प्रश्न 10.
मगध राज्य कहाँ स्थित था?
उत्तर:
मगध राज्य का विस्तार गंगा और सोन नदी के किनारे दक्षिण की ओर था।

प्रश्न 11.
प्राचीन काल में लोग इधर-उधर क्यों घूमते रहते थे?
उत्तर:

  1. भोजन की तलाश में
  2. बाढ़ और सूखे जैसी आपदा से बचने के लिए
  3. दूसरे राज्य पर अधिकार करने के लिए
  4. वस्तु-विनिमय पद्धति से व्यापार करने के लिए
  5. धर्म प्रचार के लिए तथा
  6. नए स्थानों की खोज करने के लिए।

प्रश्न 12.
लोगों के देश के भीतरी भागों और विदेशों में अवागमन का परिणाम क्या रहा है?
उत्तर:

सांस्कृतिक विविधता आई तथा कई तरह की संस्कृतियों का समामेलन हुआ
लोगों ने पत्थरों को तराशने, उन पर लिपियाँ उत्कीर्ण करने की कला सीखी और संगीत एवं विविध किस्म के भोजन तैयार करने सीखे।

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प्रश्न 13.
भारत के कितने नाम हैं?
उत्तर:

  1. आर्यावर्त्त
  2. जम्बूद्वीप
  3. भारतवर्ष
  4. हिन्दुस्तान
  5. पुण्यक्षेत्र
  6. इण्डिया और
  7. हिन्दुस्तान।

प्रश्न 14.
भारत का नाम इण्डिया कैसे पड़ा?
उत्तर:
यूनानियों और ईरान वासियों ने “सिन्धु” शब्द को अपनी भाषा में हिन्दोस या इन्दोस कहा और इस नदी के पूर्व का भू-भाग इसी आधार पर इण्डिया कहा गया।

प्रश्न 15.
विश्व का प्राचीनतम ग्रंथ ‘ऋग्वेद’ कब लिखा गया? इसमें “भारत” शब्द किसके लिए प्रयोग हुआ है?
उत्तर:
ऋग्वेद को आज से लगभग 3505 वर्ष पूर्व लिखा गया। इसमें भारत शब्द का प्रयोग इस भू-भाग के उत्तर-पश्चिम में रहने वाले लोगों के लिए किया गया है।

प्रश्न 16.
हस्तलिपि क्या है?
उत्तर:
प्राचीन काल की लेखन-कला हस्तलिपि थी। यह ताड़-पत्र या भोजपत्रों में हाथ से लिखी जाती थी। इन पत्तों को पृष्ठों के आकार में काटकर आपस में जोड़ दिया जाता था।

प्रश्न 17.
भोजपत्र किसको कहते हैं? यह कहाँ पाया जाता है?
उत्तर:
भूर्ज नामक वृक्ष की छाल को भोजपत्र कहते हैं। यह हिमालय के पर्वतीय क्षेत्र में पाया जाने वाला एक वृक्ष है।

प्रश्न 18.
प्राचीन काल की प्रमुख भाषाओं के नाम लिखिए।
उत्तर:

  1. संस्कृत
  2. प्राकृत (जनसामान्य की भाषा) और
  3. तमिल।

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प्रश्न 19.
लिपि क्या है?
उत्तर:
अक्षरों या संकेतों का सार्थक और उद्देश्यपरक समुच्चयन ही लिपि है।

प्रश्न 20.
राजाज्ञा के अलावा शिलालेखों में क्या उत्कीर्ण रहता था?
उत्तर:
राजा और रानी की जीवनियाँ और कार्य। विशेषकर युद्ध विजय के बारे में ही विवरण दिया जाता था।

लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
अतीत की जानकारी या इतिहास का अध्ययन आवश्यक क्यों है?
उत्तर:
(i) बीते हुए समय की जानकारी लेकर वर्तमान को बेहतर बनाना: चूँकि मानव सभ्यता का क्रमिक विकास हुआ है। इस कारण निश्चित है कि अतीत काल में मनुष्य की जीवन पद्धति में कई कमियाँ थीं। इन कमियों में हम सुधार इनका वास्तविक बोध होने के बाद ही कर सकते हैं।

(ii) आत्म-निरीक्षण करने की शक्ति का मिलना: तुलना करने के लिए दो वस्तुओं का समांतर रहना आवश्यक है। अतीत और वर्तमान दोनों में मानव क्रियाकलापों पर विचार करके ही हम उस युग की अच्छाइयों को ग्रहण कर सकते हैं और बुराइयों का त्याग कर सकते हैं। उदाहरणार्थ-इतिहास का हर्षवर्धन हमें प्रजा के लिए सर्वस्व त्याग करने वाले शासक का दर्शन कराता है और वर्तमान में हम शासक वर्ग की शह पर होने वाली हत्या, बलात्कार आदि के दृश्य भी देख रहे हैं।

(iii) भौतिक, मानसिक और आध्यात्मिक संतुलन की क्षमता मिलना: आदिम-युग में मानव सभ्यता के प्रथम चरण पर था और अब पराकाष्ठा पर पहुंच चुका है जहाँ से पतन की शुरुआत होती है। इन दोनों स्थितियों का आकलन करके हम मध्यम मार्ग को चुन सकते हैं।

प्रश्न 2.
प्रागैतिहासिक काल से आप क्या समझते हैं?
उत्तर:
वह काल जो ऐसे अंध-युग का था कि उसकी प्रामाणिक जानकारी जुटा पाना कठिन है। केवल पुरातत्ववेत्ताओं के अन्वेषण और अनुसंधान से ही उस काल की धुंधली छवि नजर आती है।

प्रश्न 3.
भोजन संग्राहक मनुष्य की जीवन-दशा कैसी थी?
उत्तर:
मनुष्य को भोजन पकाने, कृषि करने आदि का ज्ञान नहीं था। वह वन के कंदमूल और फलों को खाकर जीवन-व्यतीत करता था। एक स्थान के फल समाप्त हो जाने के दशा में वह दुसरे स्थान की ओर चल पड़ता था। इस क्रम में उसको भूखों भी मरना पड़ता था। वह वृक्ष की कोटरों, पर्वतों की दरारों और पेड़ों को अपना क्षणिक निवास स्थान बनाता था।

HBSE 7th Class Social Science Solutions History Chapter 1 क्या, कब, कहाँ और कैसे

प्रश्न 4.
इतिहास के अध्ययन से किन-किन बातों की जानकारी मिलती है?
उत्तर:
प्राचीन काल के मनुष्यों का रहन-सहन, वस्त्राभूषण, काम-धन्धे, मनोविनोद के साधन, खेल-कूद और व्यायाम, भाषा और लिपि, गीत-संगीत और भवन-निर्माण एवं मूर्ति शिल्प आदि की जानकारी मिलती है।

प्रश्न 5.
विन्ध्य पर्वतमाला के उत्तर में ही सबसे पहले बावल की खेती क्यों की गई होगी?
उत्तर:
यह क्षेत्र गंगा, यमुना, चंबल, सोन आदि नदियों से सिंचित क्षेत्र है। इन नदियों ने मालवा के पठार तक विस्तृत इस क्षेत्र को अपनी जलोढ़ मिट्टी से समृद्ध बनाया है। चावल की खेती के लिए जल का पर्याप्त मात्रा में रहना और ऐसे क्षेत्र का मानसून द्रोणी के निकट रहना आवश्यक है और उत्तर के इन मैदानों में यह गुणवत्ता पूर्णतः रहती है। शायद आदिमानव का यहाँ सबसे पहले चावल की खेती करने का यही प्रधान कारण रहा होगा।

प्रश्न 6.
कारण बताइए कि सबसे पहले की नगरीय सभ्यता सिन्धु और गंगानदी की घाटियों एवं समुद्र तटों में ही क्यों विकसित हुई।
उत्तर:
जलवायु की अनुकूलता, उपजाऊ मिट्टी, परिवहन के साधन, जल की पर्याप्तता और अनुकूल भू-आकारिकी तथा मौसम आदि ऐसे घटक हैं जो मानव जीवन के लिए आवश्यक हैं। इन नदियों द्वारा बनाए गए मैदानों और समुद्र तटीय मैदानों में ऐसे अनुकूल तत्व मौजूद हैं। इनमें भवन-निर्माण की सामग्री यथा-पत्थर, इंट, गारा आदि सुलभ थी। पर्याप्त मात्रा में खाद्यान्नों का उत्पादन होता था। खनिज पदार्थ पर्याप्त थे। इसी कारण यहाँ नगर बसे होंगे। आज भी सघन जनसंख्या घनत्व वाले (दस लाख से ऊपर जनसंख्या) अधिकतर नगर इन्हीं मैदानी और तटवर्ती भागों में हैं यथा-लखनऊ, कानपुर, इलाहाबाद, अमृतसर, लुधियाना, चेन्नई, मुंबई और कोलकाता आदि।

प्रश्न 7.
प्राचीन काल के लोगों की भ्रमणकारी मनोवृत्ति क्यों थी? विवेचना कीजिए।
उत्तर:
मनुष्य विशेष संवेदनशील प्राणी है क्योंकि उसका मस्तिष्क हमेशा अपने विकास के लिए चिन्तन करता रहता है। सभ्यता का शून्य से पराकाष्ठा तक विकास इसी का परिणाम है। इस मनोवृत्ति के कारणों को हम निम्नवत् दे सकते हैं:

  • कन्दमूल और जंगली फलों का सीमित रहना।
  • नए स्थानों को खोजने की साहसिक प्रवृत्ति।
  • भिन्न-भिन्न लोगों के साथ संपर्क स्थापित करके कुछ नया सीखने की जिज्ञासा।
  • अपने आचरण और आस्था (धर्म) का विभिन्न जन समुदायों में प्रचार करने की ललक।
  • नए राज्यों को जीतकर अपना साम्राज्य विस्तार करने की महत्त्वाकांक्षा।
  • स्थानीय चीजों एवं कृषि उत्पादों की उपयुक्त बाजार खोजने की चेष्टा।

HBSE 7th Class Social Science Solutions History Chapter 1 क्या, कब, कहाँ और कैसे

प्रश्न 8.
पाण्डुलिपि और हस्तलिपि के बीच विभेद कीजिए। ऐतिहासिक तथ्यों की जानकारी देने वाली पस्तकों को पाण्डुलिपि कहा जाएगा या हस्तलिपि?
उत्तर:
पाण्डुलिपि और हस्तलिपि में विभेद:

पाण्डुलिपिहस्तलिपि
(i) गहन शोध एवं विश्लेषण के उपरांत किसी विषय पर प्रकाश डालने वाली लिपि है।(i) हाथ से लिखे हुए किसी भी संदेश, सूचना, जानकारी या अभिव्यक्ति को हस्तलिपि कहा
(ii) यह विद्वानों द्वारा गहन अनुभव के उपरांत हाथ से लिखी गई किसी विषयविशेष को प्रस्तुत करने वाली लिपि है।(ii) इस लिपि के अंतर्गत कोई विषयविशेष लिया जाए- ऐसा आवश्यक नहीं है। एक सामान्य पत्र भी हस्तलिपि का विषय बन सकता है।
(iii) इस लिपि का प्रयोग विषय-विशेष को प्रस्तुत करने के नियमों का ध्यान रखकर किया जाता है। प्रयोजन, मीमांसा, विश्लेषण, दृष्टांत, उद्धरण आदि को समाज हित की जानकारी एवं इस लेखन कार्य के उत्तरवर्ती परिणामों को ध्यान में रखा जाता है।(iii) किसी भी तरह का हाथ से लिखा गया अंश इस लिपि के अन्तर्गत आ जाता है।

उक्त विभेदों की दृष्टि से ऐतिहासिक ग्रंथों की लिपि को पाण्डुलिपि ही कहा जा सकता है, हस्तलिपि नहीं।

क्या, कब, कहाँ और कैसे Class 6 HBSE Notes in Hindi

1. पिछले दिन की बातों का ज्ञान किन स्रोतों से होता है? रेडियो, दूरदर्शन, समाचार-पत्र आदि से।
2. एक वर्ष पीछे की बात का ज्ञान कैसे होता है? लोगों से पूछताछ करके, समाचार पत्रों (पिछली तारीखों के) का अध्ययन करके।
3. सैकड़ों वर्ष पीछे की बातों का ज्ञान कैसे होता है?: इतिहास से।
4. इतिहास की जानने योग्य बातें क्या हैं?: प्राचीन काल के लोगों का रहन-सहन, आस्था-विश्वास, काम-धंधे, गीत-संगीत, भाषा-साहित्य, शासन-व्यवस्था आदि।
5. लोगों ने सबसे पहले (8000 वर्ष पूर्व) गेहूँ और जौ जैसी फसलें कहाँ उगाईं?: भारत के उत्तर-पश्चिमी भाग की सुलेमान और किरथर पहाड़ियों पर।
6. भोजन-संग्राहक लोग कहाँ रहते थे?: घने वनों में।
7. पशु-पालन भारत में सबसे पहले कहाँ से आरंभ हुआ?: उत्तर-पूर्व की गारो और खासी पहाड़ियों तथा विन्ध्य पर्वतमाला (मध्य भारत) के आस-पास।
8. सिन्धु नदी की घाटी में लोग कब बसे?: 4700 वर्ष पूर्व।
9. गंगा नदी की घाटी में लोग कब बसे?: 2500 वर्ष पूर्व।
10. भारत, पाकिस्तान, बांग्ला देश, नेपाल, भूटान, अफगानिस्तान, ईरान, चीन और म्यनमार के संयुक्त भौगोलिक केन्द्र को क्या कहते हैं?: दक्षिण एशिया या उपमहाद्वीप।

HBSE 7th Class Social Science Solutions History Chapter 1 क्या, कब, कहाँ और कैसे

11. मगध राज्य कहाँ था?: गंगा नदी के दक्षिण में।
12. प्राचीन काल के लोग इधर-उधर क्यों घूमते रहते थे?: भोजन की तलाश में, नई भूमियों पर कब्जा करने और व्यापार करने के लिए तथा नए स्थानों की खोज में।
13. दक्षिण एशिया के लोगों का यहाँ से बाहर जाने और बाहर के लोगों का यहाँ आने का क्या परिणाम रहा?: सांस्कृतिक परंपराओं का विकास हुआ, काम-धन्धे बढ़े, कला-कौशल का विकास हुआ।
14. भारत नाम सबसे पहले किसका था?: भारत के उत्तर-पश्चिम में रहने वाले जन-समूह का।
15. यूनानियों एवं ईरानवासियों ने भारत को क्या नाम दिया?: हिन्दोस या इन्दोस।
16. ऋग्वेद कब लिखा गया?: 3500 वर्ष पूर्व।
17. हस्तलिपियाँ (पाडुलिपि) क्या हैं?: जो लेखक द्वारा स्वयं लेखनी से तैयार की जाती हैं।
18. प्राचीन ग्रंथ किस पर लिखे गए?: ताड़ के पत्रों और भूर्ज की छाल (भोजपत्र) पर।
19. प्राचीन ग्रंथों के विषय क्या थे?: धर्मशास्त्र, प्रशासन, औषधि, विज्ञान. साहित्य (गद्य एवं पद्य)।
20. प्राचीन ग्रंथों की भाषा क्या थी?: संस्कृत, प्राकृत और तमिल।
21. शिलालेख क्या हैं?: पत्थरों या धातुओं की चादरों पर जारी की गई राजाज्ञाएँ।
22. लिपि क्या है?: अक्षर या संकेत चिह्न (विशेष अर्थ में प्रयुक्त)।।
23. अतीत के भग्नावशेषों का अध्ययन करने वाले लोग: पुरातत्त्ववेत्ता।
24. भग्नावशेष क्या हैं?: अतीत काल की टूटी-फूटी चीजें (भाँडे-बर्तन, आभूषण, हथियार, सिक्के, चित्रकारी, मूर्ति शिल्प, हड्डियाँ)।
25. अतीत का अध्ययन करने वाले लोग कौन हैं?: इतिहासकार।
26. स्रोत क्या है?: प्राचीन पाण्डुलिपि, शिलालेख और पुरातत्त्व विज्ञान से प्राप्त जानकारी एवं साक्ष्य।
27. ईसवी सन क्या है?: ईसा मसीह के जन्म पश्चात् गिनती में लिए गए वर्ष।
28. ईसवी पूर्व (ई. पू.) क्या है?: ईसा मसीह के जन्म से पहले की अवधि।

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HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Poem 2 The Kite

Haryana State Board HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Poem 2 The Kite Textbook Exercise Questions and Answers.

Haryana Board 6th Class English Solutions Honeysuckle Poem 2 The Kite

HBSE 6th Class English The Kite Textbook Questions and Answers

Poem The Kite HBSE 6th Class English Honeysuckle Question 1.
What is the difference between a house and a home? Discuss it with your partner. Then read the poem.
Answer:
Read the summary of the poem.

The Kite Class 6 Poem HBSE 6th Class English Honeysuckle Question 2.
List out the action words in the poem.
dive, dip, snaps ………….
…………. …………. …………. ………….
Find out the meanings of these words.
Answer:
dive, dip, snaps, soars, rides/climbs, pulls, rests, falls, wind, blows, flaps.
Meanings:
Dive – to plunge
Dip – to bend.
Snap – to crack
Soars – flies
Rides – climbs
Pulls – gives a jerk
Rests – stops flying
Falls – comes down
Wind – to roll
Blows – sends out current of air.
Flaps – flutters.

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Poem 2 The Kite

HBSE 6th Class English Honeysuckle Poem The Kite Question 3.
Read these lines from the poems
Then soars like a
ship With only a sail
The movement of the tailless kite is compared to a ship with a sail. This is called a simile. Can you suggest what or who the following actions may be compared to?
He runs like __________
He eats like __________
She sings like __________
It shines like __________
It flies like __________
Answer:
He runs like a hare
He eats like a goat (glutton)
She sings like a nightingale It shines like sun (mirror)
It flies like an aeroplane.

Question 4.
Try to make a kite with your friends. Collect the things required such as colour paper/newspaper, thread, glue, a thin stick that can be bent. After making the kite see if you can fly it.
Answer:
(For self-attempt class-room activity)

HBSE 6th Class English The Kite Important Questions and Answers

Question 1.
Which things will you collect while making a kite?
Answer:
We shall collect the following things while making a kite:

  • colour paper/newspaper.
  • thread
  • gum or glue
  • a thin stick that can be bent.

Question 2.
Where do the people generally fly kites?
Answer:
The people generally fly kites in parks, fields, on the roofs or in the grounds of public buildings.

Question 3.
When does the kite become ragged?
Answer:
The kite becomes ragged when it is caught in the trees. Then it flutters its wings helplessly. Sometimes it is torn while it pulls at the string.

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Poem 2 The Kite

Question 4.
How can you say that the kite depends on wind’s mercy?
Answer:
The kite plays many tricks when the wind blows. It rises higher and higher. It pulls the strings to get free. It becomes motionless when the wind falls. In this way, the kite depends on wind’s mercy.

Question 5.
When does the kite become a raggeder thing?
Answer:
The kite becomes a raggeder thing when it is stuck in the top of a tree. Then it is of no use as its gets torn and does not keep flying as always.

Question 6.
How does the kite appears in the sky?
Answer:
The kite appears bright and beautiful in the sky.

Question 7.
How can you say that wind plays an important role in the way in which kites fly?
Answer:
When there is a great desirable flow of wind, then the kite flows higher and higher. It soars in the sky. If there is such a flow of wind, then it climbs to the crest. But it does not soar and comes to rest when there is no wind.

Question 8.
What has the kite been compared to? Why?
Answer:
The kite has been compared to a ship. Just like a ship streams away, due to the current of water similarly a kite soars high in the sky due to current of air.

Question 9.
Who is the poet of ‘The Kite’?
Answer:
Harry Behn.

Question 10.
Make Sentences
Use these words in the sentences of yours own :
(i) bright
(ii) breeze
(iii) dive
(iv) ship
(v) flaps
Answer:
(i) bright : The whole house looked bright on the day of Diwali.
(ii) breeze: The weather report predicted breeze from the eastern front.
(iii) dive : Dive into the deep water and start swimming.
(iv) ship : The people cheered the crew of the ship when they left.
(v) flaps : Be careful of mud flaps beside the river.

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Poem 2 The Kite

The Kite Poem Stanzas for Comprehension

Question 1.
How bright on the blue
Is a kite when it’s new !
With a dive and dip
It snaps its tail
Then soars like a ship
With only a sail Questions :
(i) How does the new kite look?
(ii) How does it snap its tail?
(iii) How does the kite soar?
Answers :
(i) The new kite looks bright.
(ii) It snaps its tail with a dive and a dip.
(iii) The kite soars like a ship with a single sail.

Question 2.
As over tides
Of wind it rides,
Climbs to the crest
Of a gust and pulls,
Then seems to rest
As wind falls.
Questions:
(i) What does the kite ride?
(ii) When does the kite pull?
(iii) When does the kite seem to rest?
Answers:
(i) The kite rides over the tides of wind.
(ii) The kite pulls when it climbs to the top of the stormy wind.
(iii) The kite seems to rest as the wind falls or fails.

Question 3.
When string goes slack
You wind it back
And run until
A new breeze blows
And its wings
fill And up it goes !
Questions:
(i) When do you wind the kite hack?
(ii) How long do you run?
(iii) When does the kite go up?
Answers:
(i) We wind the kite back when the thread becomes loose.
(ii) We run until the mild wind starts blowing again.
(iii) The kite goes up when its wings catch (are filled by) the soft wind.

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Poem 2 The Kite

Question 4.
How bright on the blue
Is a kite when it’s new !
But a raggeder thing
You never will see
When it flaps on a string
In the top of a tree.
Questions:
(i) Does the kite always look bright?
(ii) What does the kite do when it is caught in the tree?
(iii) Give the rhyming words in the above stanza.
Answers:
(i) No Sometimes the kite looks rough (ragged).

(ii) The kite pulls on a string when it is caught in the tree.

(iii) The rhyming words in the above stanza are :

  • blew-new
  • thing-string
  • see-tree.

The Kite Poem Translation in Hindi

How bright ………….. wind falls.
जब पतंग नया होता है तो आकाश में कितना चमकीला लगता है। यह गोता लगाते और झुकते समय अपनी दुम को फड़फड़ाता है। फिर वह एक पतवार वाली जलपोत की तरह सरकता है। ज्यों ही हवा के ज्वार पर वह सवार होता है तो हवा के शिखर पर चढ़कर झटके मारता है। हवा के बंद होते ही वह विश्राम करता हुआ दिखाई पड़ता है।

Word-Meaning-Bright-shining, चमकीला। Blue-sky, आकाश। Dive-to plunge, गोता लगाना। Dips-(here) bends, झुकना। Snaps-cracks, चटकाना। Soars-sails, उड़ना, ऊपर की तरफ उठना। Sail-canvas to catch wind, पाल। Tides- periodical rise and fall of sea, ज्वार भाटा। Cresttop, चोटी। Gust-stormy wind, हवा का झोंका।

When string goes ………….. top of a tree.
जब डोरी ढ़ीली हो जाती है तो तुम उसे वापिस लपेट लेते हो। उस समय तक दौड़ते रहते हो जब तक दोबारा हवा नहीं चलती और इस की पंख (हवा से) भर जाती हैं और यह ऊपर उड़ (उठ) जाता है। जब पतंग नया होता है तो आकाश में कितना चमकीला लगता है। परंतु उससे भद्दी और कोई चीज तुम कभी नहीं देखोगे जब यह पेड़ की चोटी में अटक जाता है और अपनी डोरी के ऊपर फड़फड़ाता है।

Word-Meanings-String-thread, धागा। Slack-loose, ढीला। Wind-roll, लपेटना। Breeze-gentle wind, मंदी हवा। Raggeder-more rough, अधिक भद्दी। Flaps-flutters, फड़फड़ाना।

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Poem 2 The Kite

The Kite Poem Summary in English

A new kite looks bright in the sky. It dives, dips and flutters its tail. It soars high in the sky when the wind blows. It rests when the wind stops blowing. It is to be pulled if the string becomes loose. It looks rough when it is caught on the top of a tree.

The Kite Poem Summary in Hindi

नया पतंग, आकाश में चमकीला दिखाई पड़ता है। यह गोता लगाता है और अपनी दुम फड़फड़ाता है। जब हवा चलती है तो यह आकाश में काफी ऊँचा उड़ जाता है। यह उस समय विश्राम करता है जब हवा चलना बंद कर देती है। यदि डोरी ढ़ीली हो जाए तो इसे खींचना पड़ता है। यह उस समय भद्दा लगता है जब यह पेड़ की चोटी के ऊपर अटक जाता है।

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HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 7 Fair Play

Haryana State Board HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 7 Fair Play Textbook Exercise Questions and Answers.

Haryana Board 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 7 Fair Play

HBSE 6th Class English Fair Play Textbook Questions and Answers

A. Match sentences under I with those under II.

I
1. Jumman and Algu were the best of friends.
2. Jumman’s aunt transferred her property to him.
3. The aunt decided to appeal to the Panchayat.
4. Algu was unwilling to support the aunt.
5. Jumman was very happy to hear Algu’s name as head Panch.

II
1. She wanted justice.
2. He believed that his friend would never go against him.
3. In the absence of one, the other took care of his family.
4. The condition was that he would be responsible for her welfare.
5. The bond of friendship between him and Jumman was very strong.
Answer:

III
• Jumman and Algu were the best of friends.• In the absence of one, the other took care of his family.
• Jumman’s aunt transferred her property to him.• The condition was that he would be responsible for her welfare.
• The aunt decided to appeal to the Panchayat.• She wanted justice.
• Algu was unwilling to support the aunt.• The bond of friendship between . him and Jumman was very strong.
• Jumman was very happy to hear Algu’s name as head Ranch• He believed that his friendship would never go against him

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 7 Fair Play

B. Answer the following questions:

Fair Play 6th Class English HBSE Honeysuckle Question and Answer Question 1.
My wife knows best how to run the house.
Answer:
Jumman says this to his aunt as she wants to get a monthly allowance from him.

6th Class English HBSE Honeysuckle Question and Answer Fair Play Question 2.
But is it right, my son, to keep mum and not say what you consider just and fair?
Answer:
Aunt says this to Algu as she wants to make him realise his duty as a just human being.

Fair Play Question and Answer 6th Class English HBSE Question 3.
What have you to say in your defence?
Answer:
Algu says this to Jumman as he wants to hear his defence as a Punch.

Question 4.
I can’t pay you a penny for the wretched beast you sold me.
Answer:
Sahu says this to Algu as he does not want to pay the money to him (Algu) after the bullock’s death.

Question 5.
Victory to the Panchayat. This is justice.
Answer:
Algu says this to Jumman and others as Jumman delivers judgement quite impartially.

C. Answer the following questions:

Question 1.
‘Then the situation changed’. What is being referred to?
Answer:
When some property was transferred to Jumman, he and his family were tired of Aunt after a couple of years. This situation is being referred to here.

Question 2.
When Jumman’s aunt realised that she was not welcome in his house, what arrangement did she suggest?
Answer:
She suggested that she should be given monthly allowance.

Question 3.
What was the villager’s reaction when the aunt explained her case to them?
Answer:
The villagers reacted in various manners. Some sympathised with her, some laughed at her while some advised her to settle the dispute with Jumman and his wife.

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 7 Fair Play

Question 4.
Why was Jumman happy over. Algu’s nomination as head-panch?
Answer:
Jumman was happy over Algu’s nomination as head panch because Algu was his best friend.

Question 5.
‘God lives in the heart of the Panch’, the aunt said. What did she mean?
Answer:
She meant that a Panch has to be just and impartial just like God.

Question 6.
What was Algu’s verdict as head- panch? How did Jumman take it?
Answer:
Algu gave this verdict that Jumman must either pay his aunt a monthly allowance or he must return the property to her.

Question 7.
Algu found himself in ‘a tight spot’. What was his problem?
Answer:
Algu’s one fine bullock died and he sold the other to Samjhu Sahu a cart driver of the village. The bullock died within a month. So Sahu did not want to pay the price of the bullock.

Question 8.
Why was Algu upset over Jumman’s nomination as a head-panch?
Answer:
Algu was upset over Jumman’s nomination as a head-panch because he thought now Jumman would take revenge on him.

Question 9.
What was Jumman’s verdict as head Panch? How did Algu take it?
Answer:
Jumman’s verdict as head-Panch was that Sahu should pay Algu, the price of the bullock. Algu was overjoyed and said loudly “Victory to the Panchayat….”

Question 10.
Which of the following sums up the story best?
(a) I also “know that you will not kill your conscience for the sake of friendship.”
(b) “Let no one deviate from the path of justice and truth for friendship or enmity.”
(c) “The voice of the panch is the voice of God.”
Give a reason for your choice.
Answer:
(c) The voice of the Panch is the voice of God because God is supposed to be just and impartial. In this story Jumman and Algu gave their verdict as a Panch like God being just and impartial.

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 7 Fair Play

HBSE 6th Class English Fair Play Important Questions and Answers

Question 1.
What was the fault of Jumman’s aunt?
Answer:
Jumman’s aunt was an old lady. She had some property. She transferred her property to Jumman. This was her biggest fault.

Question 2.
How long did Jumman and his wife look after the old aunt? What happened afterwards?
Answer:
Jumman and his wife looked after the old aunt for two years. Then Jumman and his wife got tired of the old woman. Both of them became indifferent to her. They got sick of feeding her. They also started insulting her.

Question 3.
What made the aunt very angry?
Answer:
The aunt asked Jumman to give her a monthly allowance. She said that she would set up a separate kitchen. Jumman got annoyed with her. He spoke shamelessly that his wife knew better how to run the house. He snubbed her and asked her to have patience. This incident made the aunt very angry.

Question 4.
‘Her words kept ringing in his ears’. Explain.
Answer:
Jumman’s aunt explained her case to Algu and asked him for help. Algu showed his helplessness as he was Jumman’s friend. The aunt asked Algu if it was right to keep mum and not speak what is just and fair. She also asked Algu to come to the panchayat and speak the truth. These words of Jumman’s aunt kept ringing in Algu’s ears.

Question 5.
Why was the Panchayat held under an old banyan tree both the times?
Answer:
Perhaps there was no panchayat ghar in the village. There is party politics in every village. Therefore, it is not proper to hold the panchayat in anybody’s personal house. Therefore, it was held in the common place ‘an old banyan tree’.

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 7 Fair Play

Question 6.
What is the importance of breach of understanding in this lesson?
Answer:
Jumman had given the understanding that he would keep his aunt in his house and look after her. He became indifferent to his aunt.
Samjhu Sahu had given the understanding to Algu to make payment for the bull in a month. He refused to make the payment because the bullock died within the month.
Both the cases brought before the panchayat related to ‘breach of understanding’.

Question 7.
How long did Jumman and his wife look after the old aunt? What happened afterwards?
Answer:
Jumman and his wife looked after the old aunt for two years. Then Jumman and his wife got tired of the old woman. Both of them became indifferent to her. They got sick of feeding her. They also started insulting her.

Question 8.
What made the aunt very angry?
Answer:
The aunt asked Jumman to give her a monthly allowance. She said that she would set¬up a separate kitchen. Jumman got annoyed with her. He spoke shamelessly that his wife knew better how to run the house. He snubbed her and asked her to have patience. This incident made the aunt very angry.

Question 9.
‘Her words kept ringing in his ears’. Explain.
Answer:
Jumman’s aunt explained her case to Algu and asked him for help. Algu showed his helplessness as he was Jumman’s friend.
The aunt asked Algu if it was right to keep mum and not speak what is just and fair. She also asked Algu to come to the panchayat and speak the truth. These words of Jumman’s aunt kept ringing in Algu’s ears.

Question 10.
Why was the panchayat held under an old hanyan tree both the times?
Answer:
Perhaps there was no panchayat ghar in the village. There is party politics in every village. Therefore, it is not proper to hold the panchayat in anybody’s personal house. Therefore, it was held in the common place ‘an old banyan tree’.

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 7 Fair Play

Question 11.
What is the importance of breach of understanding in this lesson?
Answer:
Jumman had given the understanding that he would keep his aunt in his house and look after her. He became indifferent to his aunt.
Samjhu Sahu had given the understanding to Algu to make payment for the bull in a month. He refused to make the payment because the bullock died within the month.
Both the cases brought before the panchayat . related to breach of understanding.

Question 12.
If you would have been nominated as head Panch in either of the cases; what judgement would you have given?
Answer:
If I would have been nominated as head Panch in either of the cases, I would have also given the same judgements as that were the most unbiased and just verdict.

Fair Play Passages for Comprehension

Passage – 1

Jumman ……………… its limits.
Questions :
(i) What did Jurnrnan’s aunt transfer to him?
(ii) What was the understanding between them?
(iii) How long did the arrangement work well?
(iv) Who swallowed the insults and how long?
(v) Use the phrase ‘to look after’ in your own sentence.
Answers:
(i) Jumman’s aunt transferred to him the little property she had.
(ii) The understanding was that the aunt would stay with Jumman and he would look after her.
(iii) The arrangement worked well for two years.
(iv) Jumman’s aunt swallowed the insults for a few months.
(v) Parents have to look after their children.

Passage – 2

For many ……………… in his ears.
Questions:
(i) Who is the old lady here?
(ii) What was her case?
(iii) Why did she explain her case to the villagers?
(iv) How could Algu not go against Jumman?
(v) Use the phrase ‘to laugh at’ in your own sentence.
Answers :
(i) Jumman’s aunt is the old lady here.
(ii) The refusal of Jumman to pay his aunt a monthly allowance to set up a separate kitchen was her case.
(iii) She explained her case to the villagers to seek their support.
(iv) Algu could not go against Jumman because they were fast friends.
(v) Do not laugh at the poor and helpless people.

Passage – 3

“Jumman.” said …………… to say.”
Questions :
(i) What is Algu’s role here?
(ii) Who were old friends?
(iii) What could Jumman not stop?
(iv) What was not possible for Jumman?
(v) Use the phrase ‘as dear as’ in your own sentence.
Answers:
(i) Algu is the head Panch here.
(ii) Jumman and Algu were old friends.
(iii) Jumman could not stop the quarrels between his wife and his aunt.
(iv) It was not possible for Jumman to pay a monthly allowance for his aunt.
(v) A daughter is as dear as a son for the parents.

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 7 Fair Play

Passage – 4

Days passed you sold me.
Questions :
(i) What happened to one of Algu’s bullocks?
(ii) What did he do to the other bullock?
(iii) Who was Samjhu Sahu?
(iv) What was the understanding between Sahu and Algu Chowdhry?
(v) What does the wretched beast here refer to?
Answers :
(i) One ofAlgu’s bullocks died.
(ii) He sold the other bullock to Samjhu Sahu.
(iii) Samjhu Sahu was the cart driver of the village.
(iv) The understanding was that Sahu would pay the price of bullock to Algu in a month’s time.
(v) ‘The wretched beast’ here refers to the bullock which Algu had sold to Samjhu.

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 7 Fair Play

Passage – 5

Both Algu …………….. Panch.”
Questions :
(i) What role is Jumman playing here?
(ii) What was Jumman’s announcement?
(iii) Did the bullock suffer any disability or disease when it was bought?
(iv) How could Algu not be blamed?
(v) ‘Unfortunate’ has ‘un’ as prefix. Writetwo other words with ‘un’ as prefix.
Answers :
(i) Jumman is playing the role of the head Panch here.
(ii) Jumman’s announcement was that Sahu should pay Algu the price of the bullock.
(iii) No, the bullock did not suffer any disability or disease when it was bought.
(iv) Algu could not be blamed because the bullock’s death was unfortunate.
(v) Unable, unlucky.

Fair Play Translation in Hindi

Part – I

1. Jumman Shaikh …………… village
जुमन शेख और अलगू चौधरी अच्छे मित्र थे। उनकी मित्रता का बंधन इतना मजबूत था कि जब दोनों में से कोई एक गाँव से दूर जाता तो दूसरा उसके परिवार की देखभाल करता था। दोनों का

Word-Meanings:
Bond-relation, Halli Looked after-took care of, देखभाल करता था।

2. Jumman had ……………. its limits.
3. One day …………… kitchen.”
“My wife knows …………… panchayat.
जुमन की एक बूढ़ी चाची थी जिसके पास कुछ संपत्ति थी। इसे उसने इस समझौते के साथ उसे हस्तांतरित कर दी कि वह उसके साथ रहेगा और वह उसकी देखभाल करेगा। कुछ वर्षों तक यह व्यवस्था ठीक तरीके से चलती रही। फिर स्थिति बदल गई। जुमन और उसका परिवार बूढी संबंधी से थक गये। जुमन की पत्नी जो कि थोड़ा-सा भोजन इस औरत को प्रतिदिन दिया करती थी, प्रतिकार करती थी, तथा दोनों उसकी तरफ से उदासीन हो गये। वह (चाची) कुछ महीनों तक भोजन के साथ बेइज्जती सह लेती थी। लेकिन धीरज की सीमा होती है।

एक दिन उसने जुमन से कहा, “मेरे पुत्र, अब यह साफ है कि मैं तुम्हारे घर में चाही नहीं जा रही हूँ। कृपया मुझे मासिक भत्ता दे दिया करो ताकि मैं अलग रसोई कायम कर सकूँ।
“मेरी पत्नी जानती है कि घर किस प्रकार से अच्छे तरीके से चलाया जाता है। धीरज रखो।” जुमन ने बेशर्मी से कहा। इस बात ने चाची को बहुत क्रोधित कर दिया और उसने इस मामले को गाँव की पंचायत के पास ले जाने का निश्चय किया।

Word-Meanings:
Understanding thinking, समझा Couple-pair,जोड़ा (यहाँ पर)। Indifferent-unconcerned, greitai Grudged gave unwillinglly, envied, felt unhappy, असंतोष प्रकट किया। Swallowed-tolerated, निगल लिया। Obvious-clear, Hel Shamelessly-without any sense of shame, निर्लज्जता से।

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 7 Fair Play

4. For many …………… in his ears.
कई दिनों तक, बूढ़ी औरत गाँववालों को अपना मामला स्पष्ट करते हुए और उनका समर्थन पाने के लिए बात करती हुई देखी गई। कुछ गाँववालों ने उसे सहानुभूति दिखाई, कुछ उस पर हँसे और कुछ अन्यों ने उसके भतीजे और उसकी पत्नी से सुलह करने की सलाह दी। अंत में वह अलगू चौधरी के पास आई और उससे बातें कीं! “तुम जानती हो, चाची, जुमन मेरा सबसे बढ़िया मित्र है। मैं उसके विरूद्ध कैसे जा सकता हूँ?” अलगू ने कहा, “लेकिन क्या यही सही है, मेरे बेटे, कि तुम चुप्पी रखो और जिसे तुम ठीक और न्यायसंगत समझते हो उसे नहीं कहो।” बूढ़ी औरत ने दलील दी। “पंचायत में आओ और सच बोलो,” उसने कहा। अलगू ने कोई जवाब नहीं दिया लेकिन उसके शब्द उसके कान में गूंजते रहे।

Word-Meaning:
Mum-quiet, silent, चुप्पी। Ringing-बजते रहे।

PART – II

5. The …………… her decision.
6. The Panch…………… of luck.
उसी शाम एक बरगद के नीचे पंचायत लगाई गई। जुमन खड़ा हुआ और बोला, ‘पंच की आवाज भगवान की आवाज होती है। मेरी चाची को मुख्य पंच को मनोनीत करने दें। मैं उनके निर्णय को मानूंगा।”
पंच न मित्र और नहीं दुश्मन जानता है। तुम अलगू चौधरी के बारे में क्या कहते हो।” बूढ़ी औरत ने घोषणा की।
“ठीक है” जुमन ने अप्रत्याशित भाग्य पर खुशी छिपाते हुए कहा।

Word-Meanings:
Nominate-suggest somebody’s name, मनोनीत करती है। Abide-accept, obey, मानना। Unexpected-not precalculated, अप्रत्याशित।

“Chachi, you …………… her case.

“चाची, तुम तो जुमन के साथ मेरी दोस्ती को जानती हो,” अलगू ने कहा “मैं इसे जानती हूँ” चाची ने कहा, लेकिन मैं यह भी जानती हूँ कि तुम दोस्ती के वास्ते अपनी आत्मा को नहीं मारोगे। भगवान् पंच के हृदय में रहता है और उसकी आवाज भगवान की आवाज होती है।” और उस बूढ़ी औरत ने अपने मामले का खुलासा किया।

Word-meaning:
Conscience-inner soul, अंतरात्मा। Friendship-amity, मित्रता। Kill-to cause death, मारना।

“Jumman,” said …………… defence.?”
“जमुन’ अलगू ने कहा, “तुम और मैं पुराने दोस्त हैं, तुम्हारी चाची मेरे लिये उतनी ही प्रिय है, जितने कि तुम हो। अब मैं पंच हूँ। तुम और चाची मेरे लिए समान हो। तुम्हें अपने बचाव में क्या
कहना है।”

Word-Meanings:
Defence-safety, protection बचाव।

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 7 Fair Play

“Three years …………… to say.”
“तीन साल पहले” जुमन ने जारी रखा, “मेरी चाची ने अपनी संपत्ति मुझ को हस्तांतरित कर दी। मैंने जब तक चाची जिंदा रहती है, उसे साथ देने का वायदा किया था। मैं जो कुछ कर सकता था, किया। मेरी पत्नी और चाची के बीच कई झगड़े हुए हैं लेकिन इन्हें मैं नहीं रोक सकता हूँ। अब मेरी चाची मुझसे मासिक भत्ते का दावा कर रही है। यह संभव नहीं है। यही सब कुछ मुझे कहना है।”

Word-Meanings:
Property-belongings, what is owned, संपत्ति। Quarrels-disputes, झगड़े। Allowance-some money for livelihood, भत्ता।

7. Jumman was …………… to her.”
जुमन से अलगू और अन्य पंचों के द्वारा जिरह की गई। अब अलगू ने घोषणा की, ‘हमने मामले की सावधानीपूर्वक खोजबीन की है। हमारे विचार में जुमन को अपनी चाची को मासिक भत्ता देना चाहिए या फिर संपत्ति उसे वापस लौटानी होगी।’

Word-Meaning:
Cross-examineddebated, जिरह की।

8. Now, the two…………… his revenge.
अब दोनों मित्रों को कभी-कभार ही साथ देखा जाता था। दोनों के बीच टुट गई। वास्तव में जुमन अलगू का दुश्मन हो गया और उससे बदला लेना चाहता था।

Word-Meanings:
Seldom-not frequently, कभी-कभार ही। Revenge tit for tat, बदला।

Part – III

9. Days passed …………… a month.
दिन बतीते गये और जैसा कि दुर्भाग्य में था, अलगू चौधरी एक मुसीबत में फंस गया। उसके अच्छे बैलों की जोड़ी में से एक बैल मर गया और उसने दूसरे बैल को समझू साहू जो कि गाँव में ही गाड़ी चालक था, को बेच दिया। समझौता यह थी कि साहू एक महीने के वक्त में बैल की कीमत चुका देगा। यह ऐसा हुआ कि बैल एक महीने के दौरान ही मर गया।

Word-Meanings:
Tight spot-difficult situation, परेशानी में। Happened-took place, घटित हुआ।

10. Several …………… said angrily.
बैल की मौत के कुछ महीनों बाद, अलगू ने समझू को जो अभी तक पैसा नहीं चुकाया था, के बारे में याद दिलाया। साहू बहुत चिड़ गया “मैं उस दुष्ट बैल के लिए जिसे तुमने मुझे बेचा था एक कौड़ी भी नहीं चुका सकता। वह बैल बर्बादी के अलावा हमारे लिए कुछ नहीं लाया। मेरे पास एक बैल है। (तुम) एक महीने के लिए प्रयोग करो और तब मुझे वापस लौटा दो। मरे हुए बैल के लिए कोई पैसा-धेला नहीं,” उसने गुस्से में कहा।

Word-Meaning:
Bullock-ox, बैल। Annoyed-irritated, चिढ़ गया। Wretchedmiserable, worthless, दुष्ट।

11. Algu decided …………… support.
अलगू ने मामले को पंचायत ले जाने का निश्चय किया। कुछ दोनों ही पार्टियाँ उनके समर्थन पाने के लिए लोगों से मिलने का काम शुरू कर दिया।

Word-Meanings:
Refer-submit, सौंपना, विचारार्थ भेजना। Seeking-asking earnestly for, माँगते हुए। Support-to uphold, समर्थन।

12. The panchayat……………decision.”
पुराने बरगद के पेड़ के नीचे पंचायत रखी गई। अलगू खड़ा हुआ और बोला, “पंच की आवाज भगवान की आवाज होती है। साहू को मुख्य पंच नामांकित करने दें मैं उसका निर्णय मानूँगा।”

13. Satusaw …………… could he do?
साहू ने अपना अवसर देखा और जुमन का नाम प्रस्तावित कर दिया। अलगू का दिल बैठ सा गया और वह पीला पड़ गया। लेकिन वह कर क्या सकता था?
Word-Meanings:
Proposed-suggested, प्रस्तावित किया। Sank-fell down in spirit, (दिल) बैठ गया, डूब गया। Pale-wan, lost colour, पीला।

14.The moment……………doingjustice.
जिस क्षण जुमन मुख्य पंच बना, उसने जज के रूप में जिम्मेदारियाँ और ओहदे की महत्ता महसूस की। क्या वह, उस ऊँचे स्थान पर बैठकर, अब बदला ले सकता था? वह सोचता ही रह गया। नहीं, उसे सत्य बोलने की राह में तथा न्याय करने के लिए अपनी व्यक्तिगत भावनाओं को आगे नहीं आने देनी चाहिए।

Word-Meanings:
Dignity-reputation, महत्ता Justice-fair treatment, न्याय।

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 7 Fair Play

15. BothAlgu …………… Panch.”
अलगू और साहू दोनों ने अपने मामले बयान किये। उनकी दोनों तरफ से जिरह की गई और मसले को गहराई से सोचा गया। तब जमुन खड़ा हुआ और घोषणा की, “यह हमारा विचार है कि साहू को बैल की कीमत चुकानी चाहिए। जब साहू ने बैल खरीदा था तब यह किसी अयोग्यता या बीमारी से पीड़ित नहीं था। बैली मौत दुर्भाग्यपूर्ण थी परंतु इसके लिए अलगू को दोष नहीं दिया जा सकता है।” अलगू अपनी भावनाओं को काबू में नहीं रख सका। वह खड़ा हो गया और बार-बार जोर से बोला, “पंचायत की जय हो। यह न्याय है। पंच की वाणी में भगवान् रहते हैं।”

Word-Meanings:
Stated-narrated, cited, कहा। Opinion-view, विचार। Contain-keep under control, रखना। Victory-triumph, upperhand, विजय।

16. Soon after …………… or enmity.”
शीघ्र ही बाद में जुमन अलगू के पास आया, उसे गले लगाया और बोला, “पिछली पंचायत से, मैं तुम्हारा दुश्मन हो गया था। आज मैंने महसूस किया कि पंच होना क्या होता है। पंच का कोई मित्र या दुश्मन नहीं होता। वह केवल न्याय जानता है। किसी को भी मित्रता या दुश्मनी के लिए न्याय और सत्य के मार्ग से विचलित नहीं होना चाहिए।”

Word-Meanings:
Embraced-hugged, गले लगाया। Deviate-to move away from, रास्ता भटकना। Enmity-hostility, दुश्मनी।

Algu embraced ………… between them.
अलगू ने अपने मित्र को गले लगा लिया और रो पड़ा। और उसके आँसुओं ने उनके बीच की गलतफहमी के कचरे को बहा दिया।

Word-Meanings:
Misunderstandingwrong calculation, गलतफहमी Became indifferent-lost interest in, did not care for, उदासीन बन गया। Grudged-gave unwillingly, अनिच्छा से दिया। Swallowed-tolerated, सह गया। Make it up-come to agreement, समझौते करना। Mum-quiet/ silent, चुप्पी। Nominate-to propose somebody’s name,मनोनीत करना। Abide by-accept, पालना करना। Seldom-rarely, कदाचित ही।

Fair Play Summary in English

Munshi Premchand has narrated the story of two friends Jumman Shaikh and Algu Choudhry. Jumman got some property from his aunt on the understanding that she would stay with him and he would look after her. When this understanding is violated, she approaches the village panchayat. Algu is made the head Panch. He gives the verdict in favour of aunt. Consequently, a friend turns a foe. Ther Jumman also gets a chance to settle the score, when he is made a head Panch by Sahu who does not want to pay the remaining money of a bullock sold to him by Algu. But when Jumman really becomes a head panch, he becomes impartial. He gives the verdict in favour of Algu. Thus justice triumphs.

Fair Play Summary in Hindi

मुंशी प्रेमचंद ने दो मित्र जुमन शेख और अलगू चौधरी की कहानी बताई है। जुमन को अपनी चाची से कुछ संपत्ति इस समझौते से प्राप्त हुई कि वह उनके साथ रहेगी और वह उसकी देखभाल करेगा। जब इस आपसी समझौते का उल्लंघन हुआ तो चाची गाँव की पंचायत के पास पहुँचती है। अलगू को मुख्य पंच बनाया जाता है वह चाची के पक्ष में फैसला दे देता है। परिणामस्वरूप मौका मिलता है जब साहू के द्वारा उसे मुख्य पंच बनाया जाता है। साहू अलगू द्वारा उसको बेचे गए बैल की कीमत के बाकी बचे हुए पैसे नहीं चुकाना चाहता है। किंतु जब जुमन वास्तव में मुख्य पंच बनता है तब वह निष्पक्ष हो जाता है। वह अलगू के पक्ष में फैसला देता है। इस प्रकार न्याय की विजय होती है।

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HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 6 Who I Am

Haryana State Board HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 6 Who I Am Textbook Exercise Questions and Answers.

Haryana Board 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 6 Who I Am

HBSE 6th Class English Who I Am Textbook Questions and Answers

A. Answer the following questions:

1. Peter’s favourite day of the week is Sunday because …………….. .
2. Nasir wants to learn …………….. .
3. Dolma believes that she can make a good Prime Minister because …………….. .
Answer:
1. Peter’s favourite day is Sunday because his whole family always goes to the cinema hall to see a film on this day.
2. Nasir wants to learn how to preserve seeds so that they can use them again and not spend money on them every year.
3. Dolma believes that she can become a good Prime Minister because she would make things better for every one. She would arrange for good hospitals, roads and schools. She would inspire scientists to invent cures for diseases and send a spaceship to Mars.

B. Write True or False against each of the following statements:

1. Peter is an only child …………….. .
2. When Serbjit gets angry he shouts at people. …………….. .
3. Nasir lives in the city …………….. .
4. Radha’s mother enjoys doing things with her ……………… .
Answer:
1. False
2. False
3. False
4. True.

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 6 Who I Am

HBSE 6th Class English Who I Am Important Questions and Answers

Who I Am HBSE 6th Class Honeysuckle Chapter 6 Question 1.
What did Radha’s mother tell her? What did she do herself?
Answer:
Radha’s mother told her that it was not sensible for girls to climb trees. One afternoon, she herself climbed up the tree.

Class 6 English Who I Am Question Answer Question 2.
What did Radha and her mother do on the tree?
Answer:
Radha and her mother sat comfortably on the tree. They talked with each other and ate raw fruits.

Who I Am Class 6 HBSE Honeysuckle Chapter 6 Question 3.
Why did Nasir want to become a seed collector?
Answer:
Nasir’s grandfather used to collect the seeds from his own plants. His father bought the seeds every year. Therefore, Nasir wanted to become a seed collector. He would save money to be spent on seeds.

Question 4.
What are the geographical locations mentioned by Rohit in this lesson?
Answer:
Rohit mentions the following geographical locations in this lesson.

Question 5.
When does Serbjit become angry? How does he control his anger?
Answer:
Serbjit becomes angry when the people look at him thinking that he is telling lies. He looks down at his shoes and counts to ten. In this way he controls his anger.

Question 6.
Why does Peter call the second Sunday of every month, his favourite day?
Answer:
Peter’s entire family goes to see a film in the cinema hall every second Sunday of the month. He enjoys eating peanuts while watching the film. All of them eat ice cream when the film is over. So he calls the second Sunday of every month as his favourite day.

Question 7.
What are the career opportunities if you have:
(a) Visual intelligence
(b) Verbal intelligence
(c) Mathematical intelligence
(d) Bodily intelligence
(e) Musical intelligence
(f) Interpersonal intelligence (list any two)
Answer:
(a) Navigator, engineer
(b) Teacher, lawyer
(c) Accountant, researcher
(d) Dancer, athlete
(e) Musician, singer
(f) Teacher, politician

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 6 Who I Am

Question 8.
Whom do you want to be like or whom do you resemble (after reading about the students) and why?
Answer:
I am more like Rohit seeing his fascination for nature and thrill. I too love to travel a lot and noticify the beauty of world around us. I am stoic, physically tough and unflappable. I love and like the wondrous nature, I have always dreamt of running looking distances and enjoying the calm of islands and mountains. You should learn to respond to your patience and I am just like that.

Who I Am Passages for Comprehension

Passage – 1

My favourite ……………. managoes.
Questions:
(i) Who is the speaker of the above lines?
(ii) What is his/her favourite activity?
(iii) Where is the guava tree?
(iv) What did Radha’s mother do one afternoon?
(v) Give the opposites of: ‘outside, love, simple and raw”.
Answers:
(i) Radha is the speaker of the above lines.
(ii) Climbing trees is her favourite activity.
(iii) The guava tree is just outside Radha’s house.
(iv) One afternoon, Radha’s mother also climbed up the tree.
(v) Outside – inside
Love – hate
Simple – difficult
Raw – ripe.

Passage – 2

When I grow ……………. next year.
Questions:
(i) Who is the speaker of the above lines?
(ii) What does he want to become when he grows up?
(iii) Where are their cotton fields?
(iv) Why does his father spend a lot of money every year?
(v) What did his grandfather tell him?
Answers:
(i) Nasir is the speaker of the above lines.
(ii) He wants to become a seed collector when he grows up.
(iii) Their cotton fields are in their village.
(iv) His father spends a lot of money every year in buying new seeds to grow their cotton plants.
(v) His grandfather told him that he could collect the seeds from his own plants many years ago.

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 6 Who I Am

Passages – 3

If I had a ……………. to see coral.
Questions:
(i) Who is the speaker of the above lines?
(ii) What would he do if he had enough money?
(iii) Where did he see the mountains of New Zealand?
(iv) Where is the Amazon river?
(v) Give the opposites of ‘beautiful and down’.
Answers:
(i) Rohit is the speaker of the above lines.
(ii) He would travel and travel if he had enough money.
(iii) He saw the mountains of New Zealand in a magazine picture.
(iv) The Amazon river is’in South America.
(v) beautiful – ugly
down – up.

Passage – 4

What makes angers me.
Questions:
(i) Who is the speaker of the above lines?
(ii) What happens when he tells the truth?
(iii) Why couldn ‘t he do his home work?
(iv) Who had actually started the fight?
(v) Use the phrase ‘to look at’ in your own sentence.
Answers:
(i) Serbjit is the speaker of the above lines.
(ii) People don’t believe him when he tells the truth.
(iii) He couldn’t do his home work because Ravi borrowed his book and forgot to return it.
(iv) Ravi’s little brother had actually started the fight.
(v) He looks at me with suspicion.

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 6 Who I Am

Passages – 5

My father ……………. happy family.
Questions:
(i) Who is the speaker of the above lines?
(ii) Which tickets does his father get?
(iii) How do they reach the cinema hall?
(iv) What does his father buy in the interval?
(v) Give the opposites of, ‘Grandfather, brother, father, darkness, lucky and happy’.
Answers:
(i) Peter is the speaker of the above lines.
(ii) His father gets tickets for the film.
(iii) They reach the cinema hall by bus.
(iv) His father buys peanuts in the interval.
(v) Grandfather – grandmother
Brother – sister
Father – mother
Darkness – light
Lucky – unlucky
Happy – unhappy.

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 6 Who I Am

Who I Am Translation in Hindi

Radha: My …………… whole world.
राधा : वृक्षों पर चढ़ना मेरी मनचाही सक्रियता है। हमारे घर के ठीक बाहर, अमरूद का एक पेड़ है जिसके ऊपर चढ़ना मुझे पसंद है। उसकी शाखाएँ फैली हुई हैं, इसलिए, पेड़ के ऊपर चढ़ना आसान है और मैं दो शाखाओं की फाड़ के ऊपर आराम से बैठ सकती हूँ। मेरी माँ मुझे कहती है कि पेड़ों के ऊपर चढ़ना, लड़कियों के लिए बुद्धिमत्ता नहीं है। परंतु एक दिन दोपहर बाद, वह भी (पेड़ के ऊपर) चढ़ गई और हम दोनों वहाँ बैठी हुई बातें करती रहीं और कच्चे फल खाती रहीं। मैं, जब पेड़ पर काफी ऊँचे बैठी हुई होती हूँ तो मुझे महसूस होता है कि मैं समूचे संसार के ऊपर शासन कर सकती हूँ।

Word-Meanings:
Favourite-dear to heart, मनपसंद। Activity-action, hobby, सक्रियता, गतिविधि। Spread-stretch, फैलना। Comfortably in relief, आराम से। Fork-prongs, फाड़। Sensible wise, बुद्धिमत्तापूर्ण। Raw-unripe, कच्चे। Rulegovern, शासन करना।

Nasir : When …………… every year.
नासिर : जब मैं बड़ा हो जाऊँगा तो मैं बीज इकट्ठे करने वाला बनना चाहता हूँ। गाँव में हमारे कपास के खेत हैं और प्रतिवर्ष, मेरे पिता, कपास के पौधों को उगाने के लिए नए बीज खरीदने में काफी धनराशि खर्च करते हैं। मेरे दादा जी ने मुझे बताया था कि बहुत साल पहले, वह अपने नए पौधों से बीज इकट्ठे कर सकता था जिनका प्रयोग अगले वर्ष नए पौधे उगाने में किया जा सकता था। परंतु आज वह कार्यान्वित नहीं हो रहा है इसलिए हमें प्रत्येक वर्ष नए बीज खरीदने के लिए धनराशि खर्च करनी पड़ती है। मैं यह पता लगाना चाहता हूँ कि वैसा क्यों हो रहा है। मैं सीखना चाहता हूँ कि बीजों को कैसे सुरक्षित रखा जाए ताकि हम उन्हें दोबारा प्रयोग में ला सकें और प्रतिवर्ष धनराशि नहीं खर्च करें।

Word-Meanings:
Grow up-become mature, वयस्क हो जाऊँ Alotof-agreat deal of, ढेर सारी। Collect-togather, इकट्ठा करना। Next following immediately, nearest in time or place, अगला। Happening-taking place, घटित होना। Preserve-to keep safe, सुरक्षित रखना। Every-each, प्रत्येक।

Rohit : If I …………… old buildings.
रोहित : यदि मेरे पास अथाह धनराशि हो जाए तो मैं यात्राएँ । ही यात्राएँ करूंगा। मैं न्यूजीलैंड के पर्वतों को देखना चाहता हूँ क्योंकि एक पत्रिका के चित्रों में छपे हुए वे मुझे सुंदर लगे। मेरी इच्छा है कि मैं दक्षिणी अमरीका की अमेजन नदी में एक बेड़े में सवार होकर सैर (जल यात्रा) करूँ। मैं भारत में लक्ष्यद्वीप के तटों पर निवास करना चाहता हूँ और मूंगों को देखने के लिए गोते लगाना चाहता हूँ। मैं उड़ीसा में कोणार्क मंदिर या चीन की राजधानी बीजिंग के पुराने शहर और मिस्र में स्थित सूच्चाकार स्तंभों को देखने के लिए भी जाना चाहता हूँ परंतु जिस चीज से मुझे वास्तविक आनंद मिलता है वह है पुराने भवनों की अपेक्षा प्रकृति का दर्शन।

Word-Meanings:
Huge-enormous, very large, fayati Magazine-a journal, fent Raft– a float of cans or logs of wood, Ti Beaches– coasts, Ti Coral-a hard submarine substance secreted by many species of polyps, मूंगा, प्रवाल। Actually-really, वास्तव में।

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 6 Who I Am

Serbjit : What …………… am angry.
सर्बजीत : इस बात से मैं अत्यधिक क्रुद्ध हो जाता हूँ जब लोग उस समय मुझ पर विश्वास नहीं करते हैं जब मैं सच बोल रहा होता हूँ। जैसे मैं अपने अध्यापक को बताता हूँ कि मैं अपना गृहकार्य उस कारण से नहीं कर सका क्योंकि रवि ने मेरी पुस्तक उधार ले ली थी और उसे लौटाना वह भूल गया था। या मैं अपने माता-पिता को बताता हूँ कि लड़ाई शुरू करने वाला मैं नहीं हूँ बल्कि मेरा छोटा भाई है या, यदि मैं अपने अध्यापक को बता दूँ कि वास्तव में मैंने परीक्षा के लिए पढ़ाई की थी हालाँकि मेरे नंबर कम आए हैं। वे सभी मेरी तरफ इस प्रकार देखते हैं मानो वे सोचते हैं कि मैं झूठ बोल रहा हूँ। उनके चेहरों का अवलोकन मुझे वास्तव में क्रोधित कर देता है। कई बार मुझे अपने जूतों की ओर नीचे देखना पड़ा है और यह दिखाने के लिए दस तक गिनती गिननी पड़ती है कि मुझे क्रोध नहीं आया है।

Word-Meanings:
Believe-trust, favars करना। Borrowed-took on loan, उधार देना। Forgot did not remember to give back, भूल गया। Return-to give back, वापिस देना। Look appearance, झलक, अवलोकन। Sometimes-often, कई बार।

Dolma : When …………… to Mars.
डोलमा : जब मैं बड़ी हो जाऊँगी तो भारत की प्रधानमंत्री बनूँगी। जब मैं ऐसे कहती हूँ तो लोग हमेशा हँसने लगते हैं परंतु मुझे पूर्ण निश्चय है कि मैं वह बनूँगी। मेरी कक्षा वाले सभी मुझ से पूछते हैं कि उनके समक्ष यदि कोई समस्या आए तो क्या करें और मेरे अध्यापक सदा मुझ पर विश्वास करते हैं जब स्कूल में कुछ करने की जरूरत पड़ती है। मैं सभी के लिए चीजों को बेहतर बनाना चाहती हूँ। मैं चाहती हूँ कि हमारे लिए अच्छे अस्पताल, सड़कें और स्कूल हों। मैं यह सुनिश्चित करना चाहती हूँ कि भारत में बहुत से बढ़िया वैज्ञानिक हों जो रोगों के उपचारों को खोजें और मंगल ग्रह पर अंतरिक्षयान भेजें।

Word-Meanings:
Always-every time, हमेशा। Sure-definite, निश्चित। Problem-a difficult situation, समस्या। Trusts-relies on, भरोसा रखना। Needs-required, जरूरत पड़ना। Cures-remedies, उपचार, इलाज। Diseases-ailments, बीमारियाँ।

Peter : My …………… happy family.
पीटर : प्रत्येक महीने का दूसरा रविवार मेरा मनचाहा दिन होता है। इस दिन, हमारा समूचा परिवार हमेशा फिल्म देखने के लिए सिनेमा घर जाता है। मेरे पिता पहले ही टिकट प्राप्त कर लेते हैं और हम सभी मेरे दादा, मेरे माता-पिता, मेरे दो भाई और मैं बस द्वारा वहाँ पहुँचते हैं। मध्यांतर में मेरे पिता हमारे लिए मूंगफलियाँ (चीनिया बादाम) खरीद लेते हैं और मुझे हाल के अंधेरे में बैठे हुए खाते हुए, फिल्म देखना पसंद है। उसके बाद हम आईसक्रीम खाने के लिए हमेशा रूक जाते हैं। सभी अच्छे मिजाज में होते हैं और हम सभी, स्वयं को बड़े भाग्यशाली समझते हैं कि हमारा परिवार इतना खुश है।

Word-Meanings:
Whole-entire, समूचा। Film-cinema, चलचित्र। In advance-before hand, पहले से। Interval-half time, मध्यांतर। Peanuts-groundnuts, मूंगफली, चीनिया बादाम। Watching-viewing, देखना। Afterwards-later on, बाद में। Mood-mental state, मनोभाव, मिजाज। Lucky-fortunate, भाग्यशाली।

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 6 Who I Am

Who I Am Summary in English

Radha: Climbing trees is her favourite activity. She climbs up the guava tree and sits in the fork of its two branches. Her mother also climbed up the same tree one afternoon. They talked and ate raw fruits. Radha feels elated in climbing high up in the tree.

Nasir: His family has cotton fields. His father buys new seeds to grow cotton plants every year. His grandfather could collect the seeds from his own plants to grow new plants. Nasir wants to learn how to preserve seeds to save money every year.

Rohit: He is fond of travelling. He would see mountains, sail down the Amazon river on a raft. He would live on sea beaches and dive down to see coral. He would see the Konark temple or the old city in Beijing and the pyramids in Egypt too. He prefers seeing nature to seeing old buildings.

Serbjit: He gets angry when the people don’t believe his true words. Even his teachers and parents look at him as if they think he was telling lies. The look in their faces makes him angry. To avoid his anger, he looks down at his shoes and counts to ten.

Peter: On second Sunday, his entire family goes to the cinema hall to see a film. His father buys peanuts in the interval. He loves to sit in the darkness of the hall. He eats peanuts while watching the film. The family eats ice-cream after the film is over.

Dolma: The people laugh at his determination to become the Prime Minister of India. He solves many problems in the school. He would make things better for everyone. He would make good hospitals, roads and schools. He would encourage scientists to invent cures for diseases. They would also be inspired to send a spaceship to Mars.

HBSE 6th Class English Solutions Honeysuckle Chapter 6 Who I Am

Who I Am Summary in Hindi

राधा: पेड़ों पर चढ़ना उसकी मनचाही क्रिया है। वह अमरूद के पेड़ के ऊपर चढ़ जाती है और उसकी द्विशाखा पर बैठ जाती है। एक दोपहर बाद, उसकी माँ भी उसी पेड़ पर चढ़ गई। वे बातें करती रहीं और कच्चे फल खाती रहीं। पेड़ पर काफी ऊँचे चढ़ने में राधा को आनंद आता है।

नासिर: उसके परिवार के पास कपास के खेत हैं। कपास के पौधे उगाने के लिए, उसके पिता प्रतिवर्ष नए बीज खरीदते हैं। उसके दादा, नए पौधे उगाने के लिए अपने पौधों से ही बीज इकट्ठे कर लिया करते थे। प्रतिवर्ष, धन बचाने के लिए नासिर यह सीखना चाहता है कि बीजों को कैसे सुरक्षित रखा जाए।

रोहित: उसे सैर करने का शौक है। वह पर्वतों को देखेगा, एक बेड़े पर अमेजन नदी पर सैर करेगा। वह समुद्र के किनारों पर निवास करेगा और मूंगों को देखने के लिए गोते लगाया करेगा। वह कोनार्क मंदिर या बीजिंग में पुराने नगर और मिस्त्र के शुंडाकार स्तंभों को भी देखेगा। वह पुराने भवनों की तुलना में प्रकृति को देखना अधिक पसंद करता है।

सर्बजीत: उसे क्रोध आता है जब लोग उसके सच्चे शब्दों पर विश्वास नहीं करते हैं। यहाँ तक कि उसके अध्यापक और माता-पिता भी उसकी तरफ वैसे देखते हैं जैसे वे सोचते हैं कि वह झूठ बोल रहा हो। उनके चेहरों की झलक उसे क्रुद्ध कर देती है। अपने क्रोध को हटाने के लिए, वह अपने जूतों की तरफ नीचे देखने लग जाता है और दस तक गिनती गिनता है।

पीटर: दूसरे रविवार को उनका समूचा परिवार सिनेमा हॉल में फिल्म देखने जाता है। मध्यांतर में उसके पिता मुंगफलियाँ (चीनिया बादाम) खरीदते हैं वह हाल के अंधेरे में बैठना पसंद करता है। फिल्म देखते समय वह मूंगफलियाँ (चीनिया बादाम) खाता है। फिल्म समाप्त होने पर समूचा परिवार आईसक्रीम खाता है।

डोलमा: भारत का प्रधानमंत्री बनने के उसके दृढ़ संकल्प पर लोग हंसते हैं। वह अपने स्कूल में काफी समस्याओं को हल कर देता है। वह सभी के लिए बढ़िया जीवन बना देगा। वह बढ़िया अस्पताल, सड़कें और स्कूल बना देगा। वह बीमारियों का इलाज खोजने के लिए वैज्ञानिकों को प्रोत्साहित करेगा। मंगल ग्रह पर अंतरिक्षयान ले जाने के लिए भी वह उन्हें प्रेरणा देगा।

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