HBSE 10th Class Science Important Questions Chapter 15 हमारा पर्यावरण

Haryana State Board HBSE 10th Class Science Important Questions Chapter 15 हमारा पर्यावरण Important Questions and Answers.

Haryana Board 10th Class Science Important Questions Chapter 15 हमारा पर्यावरण

अतिलघु उत्तरीय प्रश्न (Very short Answer Type Questions)

प्रश्न 1.
पर्यावरण को परिभाषित कीजिए।
उत्तर-
किसी जीवधारी के आस-पास का आवरण जो उसे प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से प्रभावित करता है, पर्यावरण कहलाता है।

प्रश्न 2.
किसी वन की खाद्य श्रृंखला का एक उदाहरण लिखिए।
उत्तर-
पेड़-पौधे व घास → हिरण → भेड़िया → शेर।

प्रश्न 3.
मानव निर्मित एक अजैव निम्नीकरणीय पदार्थ का नाम लिखिए।
उत्तर-
प्लास्टिक।

प्रश्न 4.
जैव निम्नीकरणीय पदार्थ क्या हैं ?
उत्तर-
ऐसे अपशिष्ट पदार्थ जिनका सूक्ष्म जीवों द्वारा आसानी से अपघटन हो जाता है।

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प्रश्न 5.
प्रकृति में संतुलन स्थायित्व किस प्रकार संभव हो पाता है ?
उत्तर-
सभी जीवों तथा भौतिक कारकों में परस्पर अन्योन्य क्रियाओं से।

प्रश्न 6.
पारितंत्र के जैविक तथा अजैविक घटकों में से प्रत्येक का एक-एक उदाहरण लिखिए।
उत्तर-
जैविक घटक → उत्पादक (हरे पौधे)।
अजैविक घटक → वायु।

प्रश्न 7.
उत्पादक क्या होते हैं ?
उत्तर-
सभी हरे पौधे जो प्रकाश संश्लेषण द्वारा स्वयं भोजन संश्लेषित कर लेते हैं।

प्रश्न 8.
जीवमण्डल किसे कहते हैं ?
उत्तर-
पृथ्वी पर पाये जाने वाले सभी प्राकृतिक क्षेत्र तथा उसमें पाए जाने वाले सभी जीवधारी मिलकर जीवमण्डल कहलाते हैं।

प्रश्न 9.
दो सूक्ष्म जीवधारियों के नाम लिखिए।
उत्तर-

  1. जीवाणु तथा
  2. कवक।

प्रश्न 10.
शाकाहारी उपभोक्ता क्या हैं ?
उत्तर-
पेड़-पौधों तथा उनके उत्पादक को खाने वाले उपभोक्ता।

प्रश्न 11.
मानव निर्मित पारितंत्रों के दो उदाहरण लिखें।
उत्तर-

  1. धान का खेत,
  2. बगीचा।

प्रश्न 12.
जनसंख्या को परिभाषित कीजिए।
उत्तर-
किसी भी प्रजाति के एक स्थान पर पाए जाने वाले जीवों की कुल संख्या जनसंख्या कहलाती है।

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प्रश्न 13.
क्या जैविक एवं अजैविक घंटक एक-दूसरे पर आश्रित हैं ?
उत्तर-
हाँ, ये एक दूसरे को प्रभावित भी करते हैं।

प्रश्न 14.
जीवमण्डल को किस रूप में माना जाता है?
उत्तर-
जीवमण्डल को सबसे बड़े पारितंत्र के रूप में माना जाता है।

प्रश्न 15.
सर्वाहारी क्या हैं ?
उत्तर-
ऐसे जन्तु जो पेड़-पौधों एवं जन्तु दोनों को खा सकते हैं।

प्रश्न 16.
विभिन्न आहार श्रृंखलाएँ मिलकर क्या बनाती हैं ?
उत्तर-
आहार जाल।

प्रश्न 17.
एक तालाब की आहार श्रृंखला का उदाहरण दीजिए।
उत्तर-
पादप प्लवक → सूक्ष्म कीट → छोटी मछली → बड़ी मछली।

प्रश्न 18.
निम्नलिखित खाद्य श्रृंखला में यदि शेर को 100 जूल ऊर्जा प्राप्त थी तो हरे पौधे को कितनी ऊर्जा प्राप्त थीं? (CBSE 2017)
हरे पौधे → हिरण → शेर
उत्तर-
चूंकि प्रत्येक पोषी स्तर पर ऊर्जा का केवल 10% भाग ही अगले स्तर के उपभोक्ता को उपलब्ध हो पाता है। इसलिए हरे पौधे को 10,000 जूल ऊर्जा प्राप्त थी जो हिरण में घटकर 1,000 जूल हो गई और शेर में 100J हो गई।
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प्रश्न 19.
दो प्राणी प्लवकों के नाम लिखें।
उत्तर-
डेफ्निया, साइक्लोप्स।

प्रश्न 20.
पृथ्वी पर अनन्तिम ऊर्जा का स्रोत क्या है?
उत्तर-
सूर्य।

प्रश्न 21.
ऊर्जा प्रवाह का प्रथम चरण कौन सा है?
उत्तर-
हरे पौधों द्वारा प्रकाश संश्लेषण।

प्रश्न 22.
पौधों के कार्बनिक पदार्थों का स्त्रोत क्या है?
उत्तर-
वायुमण्डल।

प्रश्न 23.
(अ) ओजोन परत सूर्य से आने वाली कौन-सी विकिरण से सुरक्षा प्रदान करती है?
(ब) डिस्पोजेबल प्लास्टिक कप की अपेक्षा कागज़ के डिस्पोजेबल कप के इस्तेमाल के क्या लाभ हैं? [राज. 2015]
उत्तर-
(अ) पराबैंगनी किरणों से।
(ब)डिस्पोजेबल प्लास्टिक कप की अपेक्षा कागज के डिस्पोजेबल कप प्रकृति में जीवाणुओं द्वारा आसानी से अपघटित हो जाते हैं जिससे कि प्रकृति में कोई प्रदूषण नहीं होता।

प्रश्न 24.
सबसे खतरनाक अपशिष्ट का नाम लिखिए।
उत्तर-
प्लास्टिक।

लघु उत्तरीय प्रश्न (Short Answer Type Questions)

प्रश्न 1.
जैव निम्नीकरणीय तथा अजैव निम्नीकरणीय प्रदूषकों में अन्तर स्पष्ट कीजिए। [CBSE 2015]
जैव निम्नीकरणीय तथा अजैव निम्नीकरणीय प्रदूषकों में अन्तर
उत्तर-

जैव निम्नीकरणीय प्रदूषक अजैव निम्नीकरणीय प्रदूषक
1. ये सूक्ष्म जीवों द्वारा अपघटित हो जाते हैं। 1. ये सूक्ष्म जीवों द्वारा अपघटित नहीं होते हैं।
2. इनका चक्रीकरण सम्भव है। 2. इनका चक्रीकरण संभव नहीं है।
3. ये अत्यधिक मात्रा में उत्पन्न होते हैं। उदाहरण-फल तथा सब्जियों के छिलके, घरेलू मल-मूत्र, कागज, कृषि अपशिष्ट, लकड़ी, कपड़ा आदि। 3. ये कम मात्रा में उत्पन्न होते हैं। उदाहरण – प्लास्टिक, शीशा, पीड़कनाशी, डी. डी.टी, पारा, चमड़ा आदि।

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प्रश्न 2.
अपशिष्ट के निपटारे की समस्या को कम करने में हम किस प्रकार सहायता कर सकते हैं ? तीन विधियाँ सुझाइए। (CBSE 2019)
उत्तर-
अपशिष्ट निपटारे की प्रमुख तीन विधियाँ निम्नलिखित हैं-

  • पुनः चक्रण (Recycling) : इस्तेमाल की गई पुरानी वस्तुओं को इकट्ठा कर उन्हें संबंधित उद्योगों को पुन: चक्रण के लिए देना। जैसे- कागज, काँच की वस्तुएँ, प्लास्टिक की वस्तुएँ। हमें नई वस्तुओं की अपेक्षा पुनः चक्रित वस्तुओं के इस्तेमाल को बढ़ावा देनी चाहिए।
  • कम्पोस्ट बनाना-रसोई के बचे हुए भोजन, फलों, सब्जियों के छिलके, चाय की पत्तियों आदि को गड्ढे में दबाकर कम्पोस्ट बनाना चाहिए। यह एक उत्तम खाद का कार्य करता है।
  • जैव निम्नीकरणीय और अजैव निम्नीकरणीय कचरे को अलग-अलग कूड़ेदान में फेंकना चाहिए।

प्रश्न 3.
पारिस्थितिक तंत्र के विभिन्न घटकों के उदाहरण दीजिए। [राज. 2015]
उत्तर-
किसी भी पारिस्थितिक तंत्र के दो घटक होते हैं –
1. अजैविक घटक-इसमें जल, वायु, प्रकाश, ताप, मृदा, आदि सम्मिलित हैं।
2. जैविक घटक-ये निम्न प्रकार के हैं –

  • उत्पादक – सभी हरे पौधे।
  • उपभोक्ता – ये प्राथमिक, द्वितीयक, तृतीयक आदि होते हैं।
  • अपघटक – ये सूक्ष्म जीव, जीवाणु, कवक होते हैं।

प्रश्न 4.
पारितंत्र की परिभाषा लिखिए। किसी पारितंत्र में ऊर्जा-प्रवाह दर्शाने के लिए ब्लॉक आरेख खींचिए।
उत्तर-
पारितंत्र-पारितंत्र जैव तथा अजैव घटकों से मिलकर बना एक स्वव्यवस्थित इकाई है, जो एक-दूसरे पर निर्भर करता है। जैव घटक-पेड़-पौधे व अन्य जीव। अजैव घटक-वायु, जल, सूर्य का प्रकाश, मिट्टी आदि।
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प्रश्न 5.
जीवोम या बायोम का निर्माण कैसे होता है? किसी एक बायोम का उदाहरण दीजिए।
उत्तर-
जैविक तथा अजैविक घटकों के बीच पारस्परिक क्रियाएँ होती रहती हैं फलस्वरूप ऊर्जा एवं पदार्थों का आदान-प्रदान चलता रहता है; जिसे हम पारिस्थितिक तंत्र कहते हैं। किसी भौगोलिक क्षेत्र में समस्त पारिस्थितिक तंत्र एक साथ मिलकर एक और बड़ी इकाई का निर्माण करते हैं जिसे जीवमण्डल. कहते हैं।
उदाहरण-वन बायोम में अनेक तालाब, झीलें, वन, घास मैदान पारितंत्र स्थित होते हैं।

प्रश्न 6.
(a) पारितंत्र किसे कहते हैं ?
(b) किन्हीं दो प्राकृतिक पारितंत्रों की सूची बनाइए।
(c) हम तालाबों और झीलों की सफाई नहीं करते, परन्तु किसी जलजीवशाला को नियमित सफाई की आवश्यकता होती है ? क्यों (CBSE 2020)
उत्तर-
(a) पारितंत्र किसी क्षेत्र के जैव, अजैव घटकों, प्राणियों, पेड़-पौधों, जीव जंतुओं के आपसी संबंधों का एक संगठन है।
(b) दो प्राकृतिक परितंत्र-झील, तालाब ।
(c) तालाब प्राकृतिक पारितंत्र है जबकि जलजीवशाला मानव निर्मित पारितंत्र है। तालाब में प्राकृतिक रूप से पाए जाने वाले सूक्ष्म जीव हैं जो अपमार्जक का कार्य करते हैं, पर जलजीवशाला में ऐसा नहीं है। इसलिए जलजीवशाला को साफ करना आवश्यक है, तालाब को नहीं।

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प्रश्न 7.
उत्पादक तथा उपभोक्ता में अन्तर लिखिए।
उत्तर-
उत्पादक एवं उपभोक्ता में अन्तर-

उत्पादक (Producers) उपभोक्ता (Consumers)
1. ये सूर्य प्रकाश की उपस्थिति में पर्णहरित द्वारा अपना भोजन स्वयं बना सकते हैं। 1. ये अपना भोजन स्वतः नहीं बना सकते हैं।
2. ये सौर ऊर्जा को रासायनिक ऊर्जा में बदलते हैं। 2. ये पौधों से प्राप्त ऊर्जा का प्रयोग करते हैं।
3. ये एक ही प्रकार के होते हैं।

उदाहरण-सभी हरे पौधे।

3. ये प्राथमिक द्वितीयक अथवा तृतीयक हो सकते हैं। उदाहरण-सभी जन्तु एवं अपघटक।

प्रश्न 8.
स्वपोषी तथा परपोषी में अन्तर लिखिए।
उत्तर-
स्वपोषी तथा परपोषी में अन्तर-

स्वपोषी (Autotrophs) परपोषी (Heterotrophs)
1. ये अपना भोजन सूर्य के प्रकाश की उपस्थिति में स्वयं बना लेते हैं। 1. ये अपना भोजन प्रत्यक्ष या परोक्ष रूप से स्वपोषी से प्राप्त करते हैं।
2. ये सौर ऊर्जा को रासाय- निक ऊर्जा में बदलते हैं। 2. ये सौर ऊर्जा को रासायनिक ऊर्जा में नहीं बदल सकते।
3. इन्हें उत्पादक कहते हैं। उदाहरण-सभी हरे पेड़-पौधे। 3. इन्हें उपभोक्ता कहते हैं। उदाहरण-सभी जन्तु  एवं अपघटक।

प्रश्न 9.
जीवाणु एवं कवक अपघटक क्यों कहलाते हैं ? पर्यावरण के लिए अपघटकों का महत्व लिखिए।
उत्तर-
जीवाणु एवं कवक अपघटक कहलाते हैं क्योंकि ये मृत पेड़-पौधों एवं जीव-जन्तुओं के शरीरों में उपस्थित जटिल कार्बनिक यौगिकों को सरल पदार्थों में अपघटित कर देते हैं।

पर्यावरण के लिए अपघटकों का महत्व निम्न प्रकार है-

  • अपघटक पदार्थों के चक्रण की क्रिया में योगदान करते हैं।
  • ये पर्यावरण की स्वच्छता के लिए योगदान करते हैं।

प्रश्न 10.
(a) नीचे दिए गए जीवों की आहार श्रृंखला का सृजन कीजिए-कीट, बाज, घास, साँप, मेंढक।
(b) इस सृजित आहार श्रृंखला के तृतीय पोषी के जीव का नाम लिखिए। होगी?
(c) इस आहार श्रृंखला के किस जीव में अजैवनिम्नीकरण रसायनों की सांद्रता अधिकतम होगी?
(d) इससे संबद्ध परिघटना का नाम लिखिए।
(e) यदि इस प्रकार श्रृंखला में मेंढकों का 10000 जूल ऊर्जा उपलब्ध है, तो साँपों को कितनी ऊर्जा उपलब्ध (CBSE 2020)
उत्तर-
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(b) मेंढक और साँप
(c) बाज में।
(d) जैव-आवर्धन (Biological Magnification).
(e) चूंकि 10% नियम के अनुसार अगले पोषी स्तर पर भोजन की मात्रा का केवल 10% ही जैव मात्रा में बदल पाता है और अगले स्तर के उपभोक्ता के लिए उपलब्ध हो पाता है इसलिए साँपों को उपलब्ध ऊर्जा .
= 10,000 J का 10% = 10,000x\(\frac{10}{100} \) = 1000J

प्रश्न 11.
यदि सूर्य से पौधे को 20,000 जूल ऊर्जा उपलब्ध हो तो निम्नलिखित आहार श्रृंखला में शेर को कितनी ऊर्जा उपलब्ध होगी ? गणना कीजिए
पौधे हिरण→ शेर ।
उत्तर-
पौधे → हिरण → शेर
लिंडमान के ऊर्जा प्रवाह के 10% नियम के अनुसार ऊर्जा की केवल 10% मात्रा ही एक पोषी स्तर से दूसरे पोषी स्तर पर स्थानान्तरित होती है। अतः पौधे से हिरण को 200 जूल तथा हिरण से शेर को केवल 20 जूल ऊर्जा प्राप्त होगी।

प्रश्न 12.
एक पारितंत्र में ऊर्जा प्रवाह का आरेखी चित्र बनाइए।
उत्तर-
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प्रश्न 13.
पर्यावरणीय प्रदूषण क्या है? तीन अजैव निम्नीकरणीय प्रदूषकों के नाम लिखिए जो मानव के लिए हानिकारक हैं।
उत्तर-
जल, वायु एवं मृदा के भौतिक, रासायनिक एवं जैविक गुणों में अवांछनीय परिवर्तन जिसके कारण ये प्रयोग हेतु नहीं रह जाते, इन परिवर्तनों को वातावरणीय प्रदूषण कहते हैं। डी.डी.टी., सीसा, प्लास्टिक अजैव निम्नीकरणीय प्रदूषक हैं, जो मानव को अधिक हानि पहुँचाते हैं।

प्रश्न 14.
सुपोषण को समझाइए।
उत्तर-
जलाशयों में मल-मूत्र के अत्यधिक विसर्जन से जल प्लवकों की अधिक वृद्धि होने लगती है। प्लवकों की बढ़ती संख्या के कारण जल में घुलित ऑक्सीजन की मात्रा में कमी होने लगती है। ऑक्सीजन की कमी के कारण जल प्लवक मर कर सड़ने लगते हैं फलस्वरूप जल में घुली अधिकांश ऑक्सीजन की मात्रा में कमी आने लगती है। अतः जलाशय में पोषकों का अत्यधिक संभरण तथा शैवालों की वृद्धि तथा ऑक्सीजन की मात्रा में होती कमी की प्रक्रिया सुपोषण (Eutrophication) कहलाती है।

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प्रश्न 15.
अम्ल वर्षा क्या है ? संक्षिप्त में समझाइए।
उत्तर-
अम्ल वर्षा (Acid Rain)-प्रदूषित वायु में उपस्थित सल्फर तथा नाइट्रोजन के ऑक्साइड वर्षा जल से क्रिया करके क्रमशः सल्फ्यूरिक अम्ल तथा नाइट्रिक अम्ल बनाते हैं। वर्षा के साथ ये अम्ल पृथ्वी पर आते हैं, इसे अम्ल वर्षा कहते हैं। अम्ल वर्षा, फसलों, पेड़-पौधों तथा इमारतों को हानि पहुँचाती है। यह जल को प्रदूषित करती है जिससे जलीय जीव-जन्तुओं को हानि पहुँचती है। इससे कृषि उत्पादकता में कमी होती है।

प्रश्न 16.
वैश्विक तापन या पौधघर प्रभाव किसे कहते हैं?
उत्तर-
जीवाश्म ईंधन (कोयला, पेट्रोलियम) के जलने से उत्पन्न CO2, तथा मेथेन गैसें पृथ्वी से होने वाली ऊष्मीय विकिरण को रोक लेती हैं। इसके फलस्वरूप पृथ्वी का ताप बढ़ता है, इसे पौधघर प्रभाव या हरित गृह प्रभाव कहते हैं। इसके कारण मौसम में परिवर्तन होने के साथ-साथ पहाड़ों से बर्फ तीव्रता के साथ पिघल रही है और समुद्र जल के स्तर में वृद्धि हो रही है जिसके भविष्य में घातक परिणाम हो सकते हैं।

प्रश्न 17.
अम्लीय वर्षा, घनी आबादी और बड़ी संख्या में फैक्ट्रियों के चारों ओर वाले क्षेत्रों में क्यों होती
उत्तर-
घनी आबादी तथा फैक्ट्रियों के चारों ओर के क्षेत्र में वायु को प्रदूषित करने वाली गैसों CO2, SO3, एवं नाइट्रोजन के ऑक्साइड की मात्रा अधिक होती है। अतः ये गैसें वर्षा जल के साथ मिलकर अम्ल वर्षा उत्पन्न करती हैं। क्योंकि ये प्रदूषक घनी आबादी वाले क्षेत्रों एवं फैक्ट्रियों से अधिक उत्पन्न होते हैं अतः अम्ल वर्षा इन क्षेत्रों में अधिक होती है।

प्रश्न 18.
वायुमण्डल के उच्चतर स्तर पर ओजोन किस प्रकार बनती है ? ओजोन परत के अपक्षय के लिए उत्तरदायी यौगिक कौन से हैं ?
उत्तर-
वायुमण्डल के उच्चतर स्तर पर पराबैंगनी विकिरण (UV-Rays) के प्रभाव से ऑक्सीजन के अणुओं से ओजोन का निर्माण होता है। उच्च ऊर्जा वाली पराबैंगनी विकिरण किरणें ऑक्सीजन अणुओं को विघटित कर स्वतंत्र ऑक्सीजन (O) परमाणु बनाती है। ऑक्सीजन के ये स्वतंत्र परमाणु संयुक्त होकर ओजोन बनाते हैं
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क्लोरोफ्लुओरो कार्बन्स (CFCs) यौगिक ओजोन के अवक्षय के लिए मुख्य रूप से उत्तरदायी हैं।

प्रश्न 19.
(a) किसी आधार श्रंखला में सामान्यतः तीन या चार पोषी स्तर ही होते हैं। व्याख्या कीजिए।
(b) जैव आवर्धन किसे कहते हैं ? व्याख्या कीजिए। (CBSE 2019)
उत्तर-
(a) किसी आहार श्रृंखला में सामान्यत : तीन या चार पोषी स्तर होते हैं क्योंकि प्रत्येक स्तर या चरण पर ऊर्जा का ह्रास इतना अधिक होता है कि चौथे स्तर के बाद उपयोगी ऊर्जा की मात्रा बहत कम हो जाती है।

(b) जैव-आवर्धन (Biological magnification) : अनेक प्रकार की फसलों को रोग एवं पीड़कों से बचाने के लिए पीड़कनाशक एवं रसायनों का प्रयोग किया जाता है जो बहकर मिट्टी अथवा जल स्त्रोत में चले जाते हैं। मिट्टी, से पौधों में तथा जलाशयों से जलीय पौधों और जंतुओं में, फिर आहार श्रृंखला के द्वारा खाद्यान्न-जैसे-गेहूँ, चावल, फल, सब्जियों से हमारे शरीर में, ये रसायन संचित हो जाते हैं, इसे ‘जीव-आवर्धन’ कहते हैं।

जैसे-जैसे पोषी स्तर में ऊपर की ओर बढ़ते हैं, जैवआवर्धन की मात्रा बढ़ती जाती है। चूँकि मनुष्य आहार श्रृंखला में शीर्ष पर है इसलिए हमारे शरीर में यह रसायन मात्रा में संचित हो जाते हैं।

दीर्घ उत्तरीय प्रश्न (Long Answer Type Questions)

प्रश्न 1.
किसी जलीय पारितंत्र का सचित्र वर्णन कीजिए।
उत्तर-
स्वच्छ जल का तालाब जलीय पारितंत्र का एक अच्छा उदाहरण है। तालाब के पारितंत्र में निम्नलिखित घटक होते हैं
जैविक घटक-ये निम्नलिखित हैं-
1. उत्पादक-एजोला, ट्रापा, हाइड्रिला, वैलिसनेरिया एवं अनेक सूक्ष्म शैवाल उत्पादक हैं जो प्रकाश संश्लेषण द्वारा भोजन बनाते हैं।
2. उपभोक्ता-केपियोड, जलीय सूक्ष्म कीट, लार्वा निम्फ तथा प्राणी प्लवक तालाब में प्राथमिक उपभोक्ता हैं जो उत्पादकों को खाते हैं, ये स्वयं द्वितीयक उपभोक्ताओं जैसेछोटी मछलियाँ, मेंढ़क तथा क्रस्टेशियन्स, द्वारा खाये जाते हैं। द्वितीयक उपभोक्ताओं को बड़ी मछली, जलीय पक्षी आदि तृतीय श्रेणी के उपभोक्ता खाते हैं। तालाब की तली में अनेक जीवाणु एवं जलीय कवक होते है जो पौधों और जन्तुओं के मृत शरीरों का अपघटन करते हैं।
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अजैविक घटक-जल, जल में घुलित विभिन्न गैसें, जल का ताप, सूर्य का प्रकाश, एवं तालाब की भौगोलिक स्थिति आदि अजैविक घटक हैं।

प्रश्न 2.
खाध जाल तथा आहार श्रृंखला में अन्तर लिखिए।
उत्तर-
खाद्य जाल तथा आहार श्रृंखला में अन्तर आहार श्रृंखला (Food Chain)
1. यह किसी पारिस्थितिक तंत्र में भोजन तथा ऊर्जा के प्रवाह को प्रदर्शित करती है।
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2. इसमें ऊर्जा का प्रवाह एक दिशीय होता है।
3. इसमें पोषण स्तर सीमित है।
4. ये बहुत छोटी होती है।

खाद्य जाल (Food Web) –
1. इसमें अनेक खाद्य शृंखलाएँ आपस में जुड़ी होकर एक जाल बनाती हैं।
2. इसमें ऊर्जा का प्रवाह बहुमुखी होता है।
3. इसमें पोषण स्तर पारितंत्र में प्राकृतिक संतुलन को प्रदर्शित करते हैं।
4. यह बहुत बड़ा है।
→ शेर+ सारस
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प्रश्न 3.
पारिस्थितिक पिरामिड क्या है? पारिस्थितिक पिरामिड जीवमंडल में पोषण रीति की संरचना को किस प्रकार प्रदर्शित करते हैं ?
उत्तर-
पारिस्थितिक पिरामिड (Ecological Pyramid)-किसी भी पारितंत्र में उत्पादकों, विभिन्न श्रेणी के उपभोक्ताओं की संख्या, जीव भार, तथा संचित ऊर्जा के पारस्परिक सम्बन्धों के ग्राफीय निरूपण को पारिस्थितिक पिरामिड कहते हैं।
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पारिस्थितिक पिरामिड विभिन्न पोषी स्तरों को इस प्रकार प्रदर्शित करते है कि पारिस्थितिक पिरामिड का चौड़ा आधार उत्पादकों (जैसे-पौधों) को प्रदर्शित करता है तथा शीर्ष भाग उच्चतम उपभोक्ता को प्रदर्शित करता है। पारिस्थितिक पिरामिड के आधार से जैसे-जैसे ऊपर जाते हैं, पिरामिड का आकार पतला होता जाता है तथा शीर्ष पर उच्चतर उपभोक्ता को प्रदर्शित करता है। पिरामिड की प्रत्येक कड़ी पोषी स्तर को प्रदर्शित करती है।

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प्रश्न 4.
एक वन में प्रचलित आहार श्रृंखला
घास → हिरण → शेर में क्या होगा यदि-
(i) सभी शेरों को हटा दिया जाए।
(ii) सभी हिरणों को हटा दिया जाए।
(iii) सम्पूर्ण घास निकाल दी जाए।
उत्तर-
(i) यदि वन से सभी शेरों को हटा दिया जाए तो वन में शेर द्वारा खाए जाने वाले हिरणों की संख्या अत्यधिक बढ़ जाएगी। इस प्रकार हिरणों की संख्या बढ़ने से घास के उत्पादन में कमी होने लगेगी जिससे, घास खाने वाले अन्य जीवों पर हानिकारक प्रभाव पड़ेगा।

(ii) हिरण शेरों का भोजन है। यदि वन से हिरणों को हटा दिया जाए तो शेरों के लिए भोजन उपलब्ध नहीं होगा और वे भोजन के अभाव में भूखे मर जाएँगे। शेरों की संख्या कम हो जाएगी। इसके साथ ही घास की संख्या बढ़ जाएगी।

(iii) घास वन में उत्पादक का कार्य करती है, यह हिरणों के साथ-साथ अनेक शाकाहारियों का भोजन है। यह प्रकाश-संश्लेषण की क्रिया में O2 उत्पादित करके वातावरण को स्वच्छ करती है। यदि घास को हटा दिया जाए तो प्रत्यक्ष एवं परोक्ष रूप से वन के विभिन्न जीवधारियों पर प्रभाव पड़ेगा। भोजन के अभाव में हिरणों तथा शेरों दोनों की संख्या में कमी आएगी।

प्रश्न 5.
ऊर्जा के सम्बन्ध में कौन-सी आहार श्रृंखलाएँ लाभप्रद हैं ?
उत्तर:
उत्पादक स्तर पर आहार श्रृंखला से अधिक ऊर्जा उपलब्ध होती है। हम जितना उत्पादक स्तर (पौधों) के समीप होंगे हमें उतनी ही अधिक ऊर्जा प्राप्त होगी। इसलिए ऊर्जा के संदर्भ में द्विचरण आहार श्रृंखला या तीन चरण आहार श्रृंखलाएँ लाभप्रद होंगी।
द्विचरण आहार श्रृंखला : उत्पादक → मानव
हरी सब्जियाँ, फल, अनाज अधिक लाभप्रद होते हैं क्योंकि इन्हें खाने से हमें अधिकाधिक ऊर्जा उपलब्ध होती है। शाकाहारी होने के कारण हमें पौधों से सीधे ही ऊर्जा प्राप्त हो जाती है।

तीन चरण आहार श्रृंखला
उत्पादक → बकरी → मानव उपर्युक्त आहार श्रृंखला में पौधों द्वारा उत्पन्न ऊर्जा भोजन के रूप में पहले बकरी द्वारा ग्रहण की जाती है। इस ऊर्जा का काफी अंश बकरी द्वारा अपनी क्रियाओं के लिए खर्च कर दिया जाता है। शेष ऊर्जा संचित होती है जो दूध या माँस के रूप में मानव को प्राप्त होती है। अतः तीसरे चरण में कम ऊर्जा उपलब्ध होती है। इसलिए खाद्य श्रृंखला जितनी लम्बी होगी, अन्तिम उपभोक्ता को उतनी ही कम ऊर्जा की प्राप्ति होगी।

प्रश्न 6.
एक आहार श्रृंखला की सहायता से समझाइए कि हानिकारक कीटनाशकों का जैव आवर्धन किस प्रकार होता है?
उत्तर-
जब फसलों पर रासायनिक पदार्थों (जैसे-डी. डी.टी.) आदि का छिड़काव फसल की कीटों से रक्षा करने के लिए किया जाता है तो इनकी कुछ मात्रा मृदा में चली जाती है। इनकी कुछ मात्रा जल में घुलकर वर्षा जल के साथ जलाशयों में पहुँच जाती है। पौधों द्वारा भी इसका कुछ भाग अवशोषित कर लिया जाता है।

पौधों एवं जन्तुओं के माध्यम से इन रसायनों की मात्रा का हमारे शरीर में भी संचयन होता है जो कि जैव आवर्धन कहलाता है। माना कि एक झील के पानी में 0.02 ppm कीटनाशक (डी.डी.टी.) था। जन्तु प्लवकों में यह 5 ppm और फिर मछलियों में 240 ppm कीटनाशक सान्द्रित हुआ। इस प्रकार हम देखते हैं कि जैसे हम खाद्य श्रृंखलाओं में आगे बढ़ें कीटनाशक का सान्द्रण भी बढ़ता जाता है।
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प्रश्न 7.
मानव शरीर पाँच महत्वपूर्ण घटकों से मिलकर बना है जिसमें से जल एक प्रमुख घटक है। प्रत्येक मानव के लिए भोजन एवं पेयजल आवश्यक है। भोजन कृषि द्वारा पौधों से प्राप्त होता है। अधिक उपज प्राप्त करने के लिए खेतों में पीड़कनाशियों को बड़े पैमाने पर उपयोग किया जा रहा है। इन पीड़कनाशियों को पौधे मृदा से जल एवं खनिजों के साथ अवशोषित कर लेते हैं तथा जलाशयों से यही पीड़कनाशी जलीय पादपों और जीवों के शरीरों में पहुँच जाते हैं। चूंकि यह पीड़कनाशी जैव निम्नीकरणीय नहीं हैं अतः यह रसायन प्रत्येक पोषी स्तर पर क्रमिक रूप से संचित होते जाते हैं। इन रसायनों की अधिकतम सांद्रता हमारे शरीरों में संचित हो जाती है और हमारे मस्तिष्क और शरीर को अत्यधिक प्रभावित करती है। (CBSE 2020)
(a) मानवों के शरीर में पीड़कनाशियों की सांद्रता अधिकतम क्यों पायी जाती है ?
उत्तर-
मानवों के शरीर में पीड़कनाशियों की सांद्रता अधिकतम इसलिए है क्योंकि आहार श्रृंखला में मनुष्य शीर्षस्थ है और पोषी स्तर में ऊपर की ओर जाने पर जैव-आवर्धन की मात्रा बढ़ती जाती है।
(b) कोई ऐसी विधि लिखिए जिसका अनुप्रयोग करके हम पीड़कनाशियों का भोजन द्वारा अपने शरीर में प्रवेश कुछ सीमा तक कम कर सकते हैं।
उत्तर-
पीड़कनाशियों का भोजन द्वारा अपने शरीर में प्रवेश कम करने की एक विधि है-
(i) फलों व सब्जियों के छिलके निकाल कर खाना चाहिए।
(ii) जैविक कृषि (खेती) के उत्पादों का इस्तेमाल करना चाहिए।
(कोई एक) (c) किसी आहार-श्रृंखला के विभिन्न चरण निरूपित करते हैं:
(a) आहार जाल (b) पोषी स्तर (c) पारितंत्र
(d) जैव आवर्धन।
उत्तर-
(b) पोषी स्तर
(d) किसी पारितंत्र में प्रचलित विभिन्न आहार श्रंखलाओं के संदर्भ में मानव है, कोई :
(a) उपभोक्ता
(b) उत्पादक
(c) उत्पादक एवं उपभोक्ता
(d) उत्पादक और अपमार्जक।
उत्तर-
(a) उपभोक्ता।

प्रश्न 8.
आप कचरे की मात्रा को किस प्रकार कम कर सकते हैं? (मा. शि. बोर्ड 2012)
उत्तर-
कचरे की मात्रा को कम करने के लिए निम्नलिखित विधियाँ प्रयुक्त की जा सकती हैं-

  • पुनः चक्रण-कचरे में छंटाई करके ऐसे पदार्थ को अलग कर लिया जाता है जिनका पुनः चक्रण सम्भव है। जैसे-काँच की खाली बोतलें, प्लास्टिक के सामान, आदि। इन पदार्थों को स्थानीय निकाय कर्मियों के हवाले कर दिया जाता है। ये कर्मी इन पदार्थों को पुन: चक्रण के लिए कारखानों में भेज देते हैं।
  • भूमि भराव-ठोस कचरे को शहर के आस-पास की खाली भूमि में भराव के लिए उपयोग किया जाता है।
  • जलाने से-कुछ कचरे को जलाने से इसकी मात्रा में कमी की जा सकती है जैसे-कागज, लकड़ी आदि।
  • बायो गैस तथा खाद के उत्पादन द्वारा-जैव अपघटनी कचरे से बायोगैस तथा खाद का उत्पादन किया जा सकता है। इससे कचरे के निपटान के साथ-साथ ऊर्जा का उत्पादन भी होता है।

बहुविकल्पीय प्रश्न (Objective Type Questions)

1. किसी पारितंत्र के घटक हैं
(a) उत्पादक
(b) उपभोक्ता
(c) अपघटक
(d) यह सभी।
उत्तर-
(d) यह सभी।

2. निम्न में से उत्पादक हैं-
(a) हरे पौधे
(b) कवक
(c) जीवाणु
(d) यह सभी।
उत्तर-
(a) हरे पौधे।

3. हरे पादप किस पोषी स्तर में आते हैं?
(a) प्रथम
(b) द्वितीय
(c) तृतीय
(d) चतुर्थ।
उत्तर-
(a) प्रथम।

4. निम्न में से कौन-सी एक सही आहार श्रृंखला है?
(a) घास → मेंढ़क → बाज → सर्प
(b) घास → टिड्डा → मेंढ़क → सर्प
(c) पादप → हिरन → गाय → मेंढ़क
(d) घास → चिड़िया → हिरन → बाज।
उत्तर-
(b) घास → टिड्डा → मेढक → सर्प।

5. निम्नलिखित में कृत्रिम पारिस्थितिक तंत्र है –
(a) वन
(b) समुद्र
(c) गेहूँ का खेत
(d) तालाब।
उत्तर-
(c) गेहूँ का खेत।

HBSE 10th Class Science Important Questions Chapter 15 हमारा पर्यावरण

6. सबसे बड़ा पारितंत्र है
(a) रेगिस्तान
(b) महासागर
(c) वन
(d) झील।
उत्तर-
(b) महासागर।

7. एक पारितंत्र में मानव है
(a) शाकाहारी
(b) उत्पादक
(c) मांसाहारी
(d) सर्वाहारी।
उत्तर-
(d) सर्वाहारी।

8. प्रकृति में कितने प्रकार के पारिस्थितिक पिरैमिड पाए जाते हैं ?
(a) एक
(b) दो
(c) तीन
(d) चार।
उत्तर-
(c) तीन।

9. ऊर्जा का पिरामिड होता है-
(a) सदैव सीधा
(b) सदैव उल्टा
(c) उल्टा व सीधा
(d) इनमें से कोई नहीं।
उत्तर-
(a) सदैव सीधा।

10. पारितंत्र में ऊर्जा का प्रवाह होता है-
(a) एक-दिशीय
(b) द्विदिशीय
(c) उत्क्रमणीय
(d) बहुमुखी।
उत्तर-
(a) एक-दिशीय।।

11. निम्नलिखित में से कौन अजैव निम्नीकरणीय है ?
(a) कपड़ा
(b) लकड़ी
(c) फलों के छिलके
(d) चमड़ा।
उत्तर-
(d) चमड़ा।

12. ओजोन परत को हानि पहुँचाने वाला रसायन है –
(a) DDT
(b) CFCs
(c) O2
(d)CO2.
उत्तर-
(b) CFCs.

रिक्त स्थानों की पूर्ति कीजिए (Fill in the blanks)

1. ……………………………… कारक में अजीवित अंश सम्मिलित होते हैं।
उत्तर-
अजैविक,

2. जो जीव उत्पादक द्वारा उत्पादित भोजन पर प्रत्यक्ष अथवा परोक्ष रूप से निर्भर करते हैं, ……………………………… कहलाते हैं।
उत्तर-
उपभोक्ता,

3. एक स्थलीय पारितंत्र में हरे पौधे की पत्तियों द्वारा प्राप्त होने वाली सौर ऊर्जा का लगभग ……………………………… प्रतिशत भाग खाद्य ऊर्जा में परिवर्तित करते हैं।
उत्तर-
1%,

4. वे पदार्थ जो जैविक प्रक्रम द्वारा अपघटित हो जाते हैं, ……………………………… कहलाते हैं।
उत्तर-
जैव निम्नीकरणीय।

HBSE 10th Class Science Important Questions Chapter 15 हमारा पर्यावरण

सुमेलन संबंधी प्रश्न (Matrix Type Questions)

(a) निम्न प्रश्नों में सूची A को सूची B से मिलान कीजिए।

सूची A सूची B
1. हरे पौधे (i) सर्वाहारी
2. प्रकाश (ii) जलीय पारितंत्र
3. कुत्ता (iii) उत्पादक
4. जीवाणु (iv) अजैविक घटक
5. महासागर (v) सबसे बड़ा पारितंत्र
6. जीवमण्डल (vi) अपघटक

उत्तर-

सूची A सूची B
1. हरे पौधे (iii) उत्पादक
2. प्रकाश (iv) अजैविक घटक
3. कुत्ता (i) सर्वाहारी
4. जीवाणु (vi) अपघटक
5. महासागर (ii) जलीय पारितंत्र
6. जीवमण्डल (v) सबसे बड़ा पारितंत्र

(b)

सूची A सूची B
1. सर्वाहारी (i) हरी घास
2. मृतोपजीवी (ii) शेर
3. परजीवी (iii) हिरन
4. शाकाहारी (iv) जूं
5. परभक्षी (v) कवक
6. उत्पादक (vi) कुत्ता

उत्तर-

सूची A सूची B
1. सर्वाहारी  (vi) कुत्ता
2. मृतोपजीवी  (v) कवक
3. परजीवी (iv) जूं
4. शाकाहारी (iii) हिरन
5. परभक्षी (ii) शेर
6. उत्पादक (i) हरी घास

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