Haryana State Board HBSE 9th Class Science Important Questions Chapter 7 जीवों में विविधता Important Questions and Answers.
Haryana Board 9th Class Science Important Questions Chapter 7 जीवों में विविधता
अति लघूत्तरात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
वर्गिकी किसे कहते हैं?
उत्तर:
जीवों का वर्गीकरण करने वाली विज्ञान की शाखा. वर्गिकी कहलाती है।
प्रश्न 2.
किस व्यक्ति ने जीवों का वर्गीकरण उनके आवास के आधार पर किया?
उत्तर:
यूनानी विचारक एरिस्टोटल ने।
प्रश्न 3.
किन कोशिकाओं में केंद्रक, कोशिकांग और झिल्ली पाई जाती है?
उत्तर:
यूकैरियोटिक कोशिकाओं में।
प्रश्न 4.
किन कोशिकाओं में बहुकोशिकीय जीव के निर्माण की क्षमता होती है?
उत्तर:
केंद्रक युक्त कोशिकाओं में।
प्रश्न 5.
जो कोशिकाएँ समूह बनाकर किसी जीव का निर्माण करती हैं, उनमें पाए जाने वाले एक गुण के बारे में लिखो।
उत्तर:
श्रम विभाजन का गुण।
प्रश्न 6.
पौधे किन्हें कहते हैं?
उत्तर:
जिन जीवों में प्रकाशसंश्लेषण प्रक्रिया द्वारा भोजन बनाने की क्षमता हो, उन्हें पौधे कहते हैं।
प्रश्न 7.
जंतु किन्हें कहते हैं?
उत्तर:
जो जीव अपना भोजन बाहर से ग्रहण करें, उन जीवों को जंतु कहते हैं।
प्रश्न 8.
जैव विकास की अवधारणा किस वैज्ञानिक ने दी?
उत्तर:
चार्ल्स डार्विन ने 1859 में अपनी पुस्तक ‘दि ओरिजिन ऑफ स्पीशीज़’ में।
प्रश्न 9.
आदिम या निम्न जीव किन्हें कहते हैं?
उत्तर:
पृथ्वी पर पहले प्रकार के जीव आदिम जीव या निम्न जीव कहलाते हैं।
प्रश्न 10.
उन्नत या उच्च जीव किसे कहते हैं?
उत्तर:
आदिम जीवों में आई जटिलताओं से बने जीवों को उन्नत या उच्च जीव कहते हैं।
प्रश्न 11.
जीवों का किंगडम नामक बड़े वर्ग में विभाजित करने का प्रयास किन जैव वैज्ञानिकों ने किया?
उत्तर:
अन्सर्ट हेकेल (1894), राबर्ट व्हिटेकर (1959) और कार्ल वोस (1977) ने।
प्रश्न 12.
व्हिटेकर द्वारा प्रस्तावित वर्गीकरण का नाम क्या है?
उत्तर:
पाँच-किंगडम।
प्रश्न 13.
मोनेरा किंगडम को किस जैव वैज्ञानिक ने आर्कीबैक्टीरिया और यूबैक्टेरिया में बाँटा?
उत्तर:
कार्ल वोस ने।
प्रश्न 14.
स्पीशीज किसे कहते हैं?
उत्तर:
जीवों का समूह जिसकी प्रजाति परस्पर संकरण कर सकती है। यह वर्गीकरण की सबसे छोटी इकाई है।
प्रश्न 15.
वर्गीकरण की आधारभूत इकाई क्या है?
उत्तर:
जाति।
प्रश्न 16.
नामकरण किसे कहते हैं?
उत्तर:
ऐसी पद्धति जिसमें जीव-जंतुओं और पौधों की प्रत्येक जाति का नामकरण किया जाता है।
प्रश्न 17.
वर्गिकी के जनक कौन हैं?
उत्तर:
केरोलस लिनियस।
प्रश्न 18.
वैज्ञानिक नाम लिखने की पद्धति को द्विनाम पद्धति क्यों कहते हैं?
उत्तर:
इस पद्धति में किसी भी जीव के दो नाम लिखे जाते हैं-पहला नाम जेनेटिक और दूसरा स्पीशीज़ (प्रजाति) का।
प्रश्न 19.
मनुष्य का वैज्ञानिक नाम क्या है?
उत्तर:
होमो सेपिएंस।
प्रश्न 20.
नामकरण की अंतर्राष्ट्रीय नाम पद्धति कौन-सी है?
उत्तर:
द्विनाम पद्धति।
प्रश्न 21.
वर्गीकरण की विभिन्न इकाइयाँ क्या हैं?
उत्तर:
जाति, वंश, गण, वर्ग, संघ तथा जगत।
प्रश्न 22.
जीनस (Genus) क्या है?
उत्तर:
समान जातियाँ मिलकर वंश या जीनस बनाती हैं।
प्रश्न 23.
पुराने तंत्र के अनुसार संसार को कितने जगतों में बाँटा गया है?
उत्तर:
दो जगतों में-
- पादप जगत
- जंतु जगत।
प्रश्न 24.
वर्गीकरण किसे कहते हैं?
उत्तर:
जीवों में समानता, विभिन्नता तथा इनके आपसी संबंधों के आधार पर समूहों या वर्गों में बाँटना वर्गीकरण कहलाता है।
प्रश्न 25.
वर्गीकरण का एक महत्त्व लिखो।
उत्तर:
जीवों का अध्ययन सरल हो गया है।
प्रश्न 26.
संसार के समूचे जीवों को वनस्पति व जंतु जगत में किस वैज्ञानिक ने बाँटा?
उत्तर:
केरोलस लिनियस ने सन् 1758 में।
प्रश्न 27.
प्रोटिस्टा (तीसरा श्रेणी जगत) किसकी देन है?
उत्तर:
ई०एच० हेकेल (1866) की।
प्रश्न 28.
चौथा श्रेणी जगत मोनेरा और पांचवाँ श्रेणी जगत फेजार्ड किसने बनाए?
उत्तर:
राबर्ट व्हिटेकर (1959) ने।
प्रश्न 29.
किन जीवों में वृद्धि जीवन-भर होती रहती है?
उत्तर:
पौधों में।
प्रश्न 30.
आइशलर (1883) ने वनस्पति जगत को कितने उपजगतों में बाँटा?
उत्तर:
दो-क्रिप्टोगैमी व फैनरोगैमी।
प्रश्न 31.
कवक अपना भोजन स्वयं क्यों नहीं बना सकते?
उत्तर:
क्योंकि कवक में पर्णहरिम नहीं पाया जाता।
प्रश्न 32.
आवृतबीजी पौधे कितने प्रकार के होते हैं?
उत्तर:
दो प्रकार के-
- द्विबीजपत्री तथा
- एकबीजपत्री।
प्रश्न 33.
अनावृतबीजी पौधों के दो उदाहरण दो।
उत्तर:
साइकस व चीड़।
प्रश्न 34.
शैवाल और कवक में एक अंतर बताओ।
उत्तर:
शैवाल में पर्णहरितम पाया जाता है, जबकि कवक में नहीं।
प्रश्न 35.
लाइकेन क्या है?
उत्तर:
कवक और शैवाल के सहजीवी लाइकेन कहलाते हैं।
प्रश्न 36.
क्रिप्टोगैमी का कौन-सा विभाजक कवक से संबंधित है?
उत्तर:
थैलोफाइटा।
प्रश्न 37.
ब्रायोफाइटा का एक उदाहरण दो।
उत्तर:
मॉस (फ्यूनेरिया)।
प्रश्न 38.
टेरिडोफाइटा का एक उदाहरण दो।
उत्तर:
फर्नस, मार्सीलिया।
प्रश्न 39.
क्रिप्टोगैम्स किसे कहते हैं?
उत्तर:
जिन पौधों में बीज उत्पन्न करने की क्षमता न हो और इनमें अप्रत्यक्ष जननांग स्पोर पाए जाते हैं।
प्रश्न 40.
फैनरोगैम्स किसे कहते हैं?
उत्तर:
जिन पौधों में जनन प्रक्रिया के पश्चात् बीज उत्पन्न हो।
प्रश्न 41.
जिम्नोस्पर्म किसे कहते हैं?
उत्तर:
नग्न बीज उत्पन्न करने वाले पौधों को जिम्नोस्पर्म कहते हैं।
प्रश्न 42.
एंजियोस्पर्म किसे कहते हैं?
उत्तर:
फल के अंदर बीज उत्पन्न करने वाले पौधों को एंजियोस्पर्म कहते हैं।
प्रश्न 43.
प्लांटी का प्रमुख गुण क्या है?
उत्तर:
स्वपोषण।
प्रश्न 44.
एनिमेलिया का प्रमुख गुण क्या है?
उत्तर:
परपोषण।
प्रश्न 45.
पोरीफेरा किसे कहते हैं?
उत्तर:
जिन जीवों के शरीर पर अनेकों छिद्र पाए जाते हैं।
प्रश्न 46.
सीलेंटरेटा के दो उदाहरण दो।
उत्तर:
हाइड्रा, समुद्री एनीमोन।
प्रश्न 47.
चपटे कृमि वर्ग का नाम क्या है?
उत्तर:
प्लेटीहेल्मिन्थीज।
प्रश्न 48.
फीताकृमि का वैज्ञानिक नाम लिखो।
उत्तर:
टिनिया सोलियम।
प्रश्न 49.
किस वर्ग के अधिकतर जीव परजीवी हैं?
उत्तर:
निमेटोडा के।
प्रश्न 50.
एनीलिडा का एक उदाहरण दो।
उत्तर:
केंचुआ, जोंक।
लघूत्तरात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
वर्गिकी अथवा वर्गीकरण विज्ञान क्या है?
उत्तर:
वर्गिकी-जीव विज्ञान की वह शाखा जिसमें जीवों का वर्गीकरण किया जाता है, वर्गिकी कहलाती है। सबसे पहले डी० केंडोली ने इस शब्द का उपयोग किया। वर्गिकी द्वारा जीवों की पहचान, वर्गीकरण, नामकरण आदि किया जाता है।
वर्गीकरण-यह जीवों को उनके संबंधों के आधार पर समूहों में व्यवस्थित करता है। जंतु तथा पौधों को विभिन्न श्रेणियों; जैसे फाइलम, वर्ग, आर्डर, कुल, जीनस तथा जाति में विकास के क्रम में रखा गया है। केरोलस लिनियस (1707-1778) ने सर्वप्रथम अपनी पुस्तक Systema Naturae में इस बारे में जानकारी दी। इसीलिए केरोलस लिनीयस को जीव वर्गिकी का जनक कहा जाता है।
प्रश्न 2.
जीवों को वर्गीकृत करना क्यों आवश्यक है? अपने शब्दों में बताओ।
उत्तर:
संसार में जीवों की संख्या अत्यधिक है। इन जीवों में कुछ समानताएँ हैं तो कुछ विभिन्नताएँ पाई जाती हैं। इन जीवों की संरचना कुछ की सरल तो कुछ की जटिल है। इन जीवों की रचना, स्वभाव, जीवन-चक्र, पोषण, श्वसन, जनन आदि करने में भारी भिन्नताएँ पाई जाती हैं। अतः इन जीवों का अध्ययन करने के लिए वर्गीकृत करना आवश्यक है। जीवों को इनकी समानताओं और असमानताओं के आधार पर वर्गीकृत किया जाता है। वर्गीकरण जीव विज्ञान की विभिन्न शाखाओं के लिए आधार का कार्य करता है।
प्रश्न 3.
वर्गीकरण क्या है? इसका महत्त्व बताइए।
उत्तर:
जीवों को इनकी समानताओं, विभिन्नताओं तथा आपसी संबंधों के आधार पर वर्गीकृत करना ‘वर्गीकरण’ कहलाता है। महत्त्व-वर्गीकरण का महत्त्व निम्नलिखित है-
- वर्गीकरण अन्य जीव विज्ञान की शाखाओं को आधार प्रदान करता है।
- वर्गीकरण से जीवों का अध्ययन करना सरल और आसान हो जाता है।
- वर्गीकरण सभी जीवों की एकदम स्पष्ट तस्वीर प्रदान करता है।
- इससे विभिन्न जीवों के समूहों के बीच आपसी संबंधों के बारे में जानकारी मिलती है।
- भूगोल का अध्ययन पूर्णतया पौधों तथा जंतुओं के वर्गीकरण पर आधारित है।
- जीवों का वर्गीकरण अन्य विषयों में से अधिकतर ज्ञान विकास में काफी सीमा तक योगदान करता है।
- पारिस्थितिकी कोशिका विज्ञान, कायिकी आदि जीव विज्ञान की शाखाएँ वर्गीकरण के कारण विकसित हो पाई हैं।
प्रश्न 4.
द्विपद नाम पद्धति क्या है? एक उदाहरण देकर स्पष्ट करो।
उत्तर:
द्विपद नाम पद्धति (Binomial Nomenclature) यह पद्धति केरोलस लिनियस की देन है। इस पद्धति में जंतुओं की 4200 जातियों का नामकरण सन् 1758 में सिस्टेमा नेचुरी नामक पुस्तक में किया गया। इस पद्धति में प्रत्येक पौधे व जंतु को दो नाम दिए जाते हैं। पहला नाम जेनेटिक तथा दूसरा नाम स्पीशीज अर्थात जीव के वंश का नाम होता है। लिनियस को द्विनाम पद्धति का जनक माना गया है।
उदाहरणार्थ-आम (Mango) का वैज्ञानिक नाम मेंगिफेरा इंडिका (Mangifere Indica), सरसों का नाम ब्रेसिका कंपेस्ट्रिस (Brassica Compertis) और मनुष्य का नाम होमो सेपिएंस (Homo Sapiens) है। इन सभी में पहला नाम जेनेटिक और दूसरा स्पीशीज़ है और ये नाम पूरे संसार में एक समान अर्थात् उक्त नाम ही प्रचलित हैं।
प्रश्न 5.
वर्गीकरण की द्वि-जगतीय प्रणाली की प्रमुख विशेषताएँ क्या हैं? बैक्टीरिया और कवक को पौधों के साथ वर्गीकृत क्यों किया गया है?
उत्तर:
संसार के सभी जीवों को दो मुख्य जगतों में बाँटा गया है-
- जंतु जगत (Animals) तथा
- पादप जगत (Plants)।
इन दोनों जगत के जीवों में जीवों के मुख्य लक्षण तो एक समान हैं परंतु कुछ लक्षणों के कारण भिन्न होते हैं। जंतु जगत के जीव प्रायः एक स्थान पर नहीं रहते हैं। ये अपना भोजन स्वयं तैयार नहीं कर सकते, क्योंकि इनमें हरे रंग का पदार्थ पर्णहरिम अर्थात् क्लोरोफिल नहीं पाया जाता, जबकि पादप जगत के जीव प्रायः स्वपोषी होते हैं। ये प्रायः एक स्थान पर रहते हैं। इनकी कोशिका . भित्ति सैल्यूलोज की बनी होती है। इन जीवों में पर्णहरिम अर्थात् क्लोरोफिल पाया जाता है।
बैक्टीरिया और कवक में हरे रंग का पदार्थ पर्णहरिम नहीं पाया जाता और न ही ये स्वपोषी होते हैं। ये अपना भोजन मृत अथवा जीवित जीवों से प्राप्त करते हैं। फिर भी इन्हें निम्नलिखित कारणों से पादप जगत में रखा गया है-
- इनकी कोशिका भित्ति सैल्यूलोज की बनी होती है।
- यह अपना भोजन पौधों की तरह घोल अवस्था में ही प्राप्त करते हैं।
प्रश्न 6.
वर्गीकरण की विभिन्न श्रेणियों का वर्णन कीजिए।
उत्तर:
वर्गीकरण की निम्नलिखित श्रेणियाँ हैं-
- जाति-यह जीवों की निम्नतम श्रेणी है।
- जीनस-जातियाँ मिलकर जीनस बनाती हैं।
- कुल-जीनस से उच्चतम श्रेणी कुल है।
- आर्डर-कुल मिलकर आर्डर बनाते हैं।
- वर्ग-आर्डर मिलकर वर्ग बनाते हैं।
- फाइलम-वर्ग से उच्चतम तथा वर्गों से मिलकर फाइलम बनता है।
प्रश्न 7.
क्रिप्टोगैमी और फैनरोगेमी किसे कहते हैं?
उत्तर:
- क्रिप्टोगैमी-ये निम्नकोटि के पौधे होते हैं। इनमें फूल, फल व बीजों का अभाव होता है। इनमें गुप्त जननांग होते हैं। स्पोर के द्वारा जनन करते हैं।
- फैनरोगैमी-ये उच्च-कोटि के पौधे होते हैं। इनमें जड़, तना, पत्ते, फूल, फल व बीज पाए जाते हैं। इनमें जनन प्रक्रिया के पश्चात बीज बनता है। बीज में भ्रूण और संचित खाद्य पदार्थ होता है।
प्रश्न 8.
क्रिप्टोगैमी का वर्गीकरण कैसे किया गया है?
उत्तर:
क्रिप्टोगैमी-ये सभी अपुष्पी पौधे होते हैं। इनमें जनन अंग छुपे हुए होते हैं। इनमें बाहरी फूल व बीज नहीं पाए जाते। लिंडले और आइशलर के वर्गीकरण अनुसार क्रिप्टोगैमी को तीन फाइलमों (संघों) में विभाजित किया गया है-
- थैलोफाइटा; जैसे यूलोथ्रिक्स, पेनिसिलियम, लाइकेन आदि।
- ब्रायोफाइटा; जैसे फ्यूनेरिया, मार्केशिया आदि।
- टेरिडोफाइटा; जैसे फर्नस, सिलैजीनैला आदि।
प्रश्न 9.
एकबीजपत्री और द्विबीजपत्री पौधों में अंतर स्पष्ट करो।
उत्तर:
एकबीजपत्री और द्विबीजपत्री पौधों में निम्नलिखित अंतर हैं-
एकबीजपत्री (Monocots) | द्विबीजपत्री (Dicots) |
1. इनके बीजों में एक बीजपत्र पाया जाता है। | 1. उनके बीज में दो बीजपत्र पाए जाते हैं। |
2. इनकी पत्तियों में समानांतर शिरा विन्यास पाया जाता है। | 2. इनकी पत्तियों में जालिका शिरा विन्यास पाया जाता है। |
3. इनमें रेशेदार जड़ तंत्र पाया जाता है। | 3. इनमें मूसला जड़ तंत्र पाया जाता है। |
4. इनमें द्वितीयक वृद्धि नहीं होती। | 4. इनमें द्वितीयक वृद्धि पाई जाती है। |
5. इनका तना गांठदार (पोरियों में बँटा) होता है। उदाहरण- गोहूँ, मक्का, ज्वार, बाजरा। | 5. इसका तंना पोरियों में नहीं बँटा होता। उदाहरण-सरसों, मटर, चना आदि। |
प्रश्न 10.
एनिमेलिया किसे कहते हैं? इस वर्ग की प्रमुख विशेषताएँ और इनके प्रमुख फाइलम के नाम लिखो।
उत्तर:
एनिमेलिया-ऐसे बहुकोशीय जीव जिनमें कोशिका भित्ति का अभाव होता है, एनिमेलिया कहलाते हैं। इनकी प्रमुख विशेषताएँ निम्नलिखित हैं-
- ये सभी जीव विषमपोषी और परपोषी होते हैं।
- ये एक निश्चित आकृति प्राप्त कर देहवृद्धि रोकने वाले जीव होते हैं।
- अधिकतर जीव जंगम (चल) होते हैं।
इनका वर्गीकरण निम्नलिखित प्रकार से किया जा सकता है-
- पोरीफेरा
- सीलेंटरेटा
- प्लेटीहेल्मिन्थीज
- निमेटोडा
- एनीलिडा
- आर्थोपोडा
- मोलस्का
- इकाइनोडर्मेटा
- प्रोटोकॉर्डेटा
- वर्टीब्रेटा।
प्रश्न 11.
पोरीफेरा फाइलम (संघ) की विशेषताएँ बताइए।
उत्तर:
पोरीफेरा की विशेषताएँ निम्नलिखित हैं-
- ये अधिकतर लवणीय होते हैं, जबकि कुछ अलवण जल (ताजे जल) में भी पाए जाते हैं।
- ये बहुकोशिक होते हैं।
- उनकी देहाभित्ति दो स्तरों की बनी होती है।
- इनमें तंत्रिका तंत्र व कंकाल-तंत्र नहीं पाया जाता।
- देहाकृति क्लश या थैलीनुमा गोलाकार या शाखित होती है।
- सारे शरीर में छिद्र (Ostia) पाए जाते हैं, जबकि शिखर पर एक बड़ा मुख ऑसकुलम (Osculum) पाया जाता है।
- इनमें नाल तंत्र पाया जाता है।
- जनन लैंगिक (निषेचन) तथा अलैंगिक (मुकुलन) द्वारा होता है। उदाहरण-साइकॉन, यूप्लेक्टेला, स्पांजिला आदि।
प्रश्न 12.
सीलेंटरेटा फाइलम (गुहांत्र जीव) के मुख्य लक्षण बताइए।
उत्तर:
सीलेंटरेटा (गुहांत्र) के मुख्य लक्षण निम्नलिखित हैं-
- ये समुद्र में एकल या कॉलोनी के रूप में पाए जाते हैं।
- इनमें सत्य गुहा नहीं होती।
- अरीय सममित होती है।
- इनमें सीलेंटट्रोन उपस्थित होता है।
- दंश कोशीय टेंटाकलस पर पाई जाती हैं।
- इनमें स्टिगिंग कोशिकाएँ पाई जाती हैं, जिन्हें निडोब्लास्ट कहते हैं।
- निवाही जीवों में (पॉलिप व मेडूसा) जीवन-चक्र में बारी-बारी से आते हैं अर्थात् पीढ़ी एकांतरण पाया जाता है।
- जनन प्रायः पॉलिप में अलैंगिक और मेडूसा में लैंगिक होता है। उदाहरण-हाइड्रा, ओबीलिया, समुद्री एनीमोन, मूंगा आदि।
प्रश्न 13.
प्लेटीहेल्मिन्थीज फाइलम (चपटे कृमि) की विशेषताएँ बताओ।
उत्तर:
प्लेटीहेल्मिन्थीज की विशेषताएँ निम्नलिखित हैं-
- ये प्रायः चपटे कृमि होते हैं
- ये अधिकतर परजीवी होते हैं, कुछ मुक्तजीवी भी हैं
- इनका शरीर तीन स्तरों (layers) का बना होता है
- शरीर द्विपार्श्व (Bilateral) होता है
- ये उभयलिंगी होते हैं
- आहार नाल में केवल एक मुँह छिद्र होता है
- इनका शरीर यकृत पर्णाभ पृष्ठधारीय, चपटा और पत्ते जैसा या रिबॅननुमा होता है।
उदाहरण-फीताकृमि, प्लेनेरिया, लिवरफ्लूक आदि। ।
प्रश्न 14.
निमेटोडा फाइलम (गोल कृमि) की विशेषताएँ लिखें।
उत्तर:
निमेटोडा फाइलम की विशेषताओं का वर्णन निम्नलिखित है-
- ये परजीवी या मुक्तजीवी हैं।
- इनकी द्विपार्श्व सममित होती है।
- उनकी आहार नाल पूर्ण होती है।
- देहगुहा असली नहीं है, उसे कूटसीलोम कहते हैं।
- ये एकलिंगी होते हैं।
- शरीर त्रिस्तरीय और अखंडित होता है।
- शरीर का आकार सूक्ष्मदर्शी से लेकर कुछ सेंटीमीटर तक होता है।
उदाहरण-एस्केरिस, पिन कृमि, गोल कृमि आदि।
प्रश्न 15.
ऐनीलिडा फाइलम (सखंड कमि) की विशेषताएँ लिखें।
उत्तर:
ऐनीलिडा फाइलम की विशेषताएँ निम्नलिखित हैं-
- ये गीली मिट्टी, अलवण व लवण जल में पाए जाते हैं।
- ये लंबे व सखंड शरीर वाले होते हैं।
- ये असली देहगुहा वाले प्रथम प्राणी हैं।
- इनमें उत्सर्जन के लिए नेफेरिया नामक अंग पाए जाते हैं।
- द्विपार्श्व सममित शरीर होता है।
- कुछ जीव द्विलिंगी होते हुए भी जनन लैंगिक करते हैं; जैसे जनन लैंगिक व अलैंगिक दोनों प्रकार का होता है।
- इनमें गति के लिए काइटिन युक्त शुकमय तथा पैरापोडियम के रूप में पार्श्व उपांग होते हैं।
उदाहरण-केंचुआ, जोंक, नेरीस, समुद्री चूहा आदि।
प्रश्न 16.
आर्थोपोडा फाइलम की विशेषताएँ क्या-क्या हैं?
उत्तर:
आर्थोपोडा फाइलम (संधित उपांग वाले जीव) की विशेषताओं का वर्णन इस प्रकार है-
- ये ज़मीन पर, मिट्टी में, अलवण व लवण जल में सभी जगह पाए जाते हैं।
- ये परजीवी के रूप में भी पाए जाते हैं।
- इनके पाँव सखंड होते हैं।
- इनका शरीर भी सखंड है। पूरा शरीर तीन भागों-सिर, वृक्ष व उदर में समूहित होता है।
- शरीर का अग्रभाग मस्तिष्क व संवेदी अंगों के लिए एक पृथक् सिर बनाता है।
- शरीर पर काईटिननी का बना निर्जीव बाहरी कंकाल पाया जाता है।
- परिवहन तंत्र खुले प्रकार का होता है।
- इनमें शरीर गुहा (Haemocoel) होती है।
- नर व मादा जननांग अलग-अलग होते हैं।
उदाहरण-कॉकरोच, केकड़ा, बिच्छू, मक्खी, तितली, मच्छर आदि।
प्रश्न 17.
मोलस्का फाइलम (नरम देह वाले कवची जीव) के जीवों की विशेषताएँ बताइए।
उत्तर:
मोलस्का फाइलम की विशेषताएँ निम्नलिखित हैं-
- ये नरम शरीर वाले कवची जीव होते हैं।
- ये जलचर होते हैं।
- इनका आकार सूक्ष्म से लेकर भीमकाय (ऑक्टोपस 50 फुट) तक होता है।
- इनका शरीर अखंड व उपांगरहित होता है।
- श्वसन गिल या कंकत्वक्लोम (Ctenidia) द्वारा होती है।
- ये एकलिंगी होते हैं।
- इनमें सत्य देह गुहिका पाई जाती है।
- इनमें प्रचलन पाद द्वारा होता है।
उदाहरण-पाइला, यूनियो, ऑक्टोपस, काइटॉन।
प्रश्न 18.
हेमीकॉर्डेटा फाइलम की विशेषताएँ लिखो।
उत्तर:
हेमीकॉर्डेटा फाइलम की विशेषताएँ निम्नलिखित हैं-
- ये कृमिनुमा अखंड जीव होते हैं,
- ये सभी जीव समुद्र के निवासी हैं
- इनमें कशेरुकी व अकशेरुकी दोनों के गुण पाए जाते हैं
- इनका शरीर शुंड (Proboscis), कॉलर व धड़ में बँटा होता है
- ये सममिति द्विपार्शिव होते हैं
- इनमें श्वसन गिल स्लिट (कलोम छिद्र) द्वारा होता है
- ये एकलिंगी होते हैं।
उदाहरण बैलैनाग्लोसस, सेफैलोडिस्कस आदि।
प्रश्न 19.
नानकॉर्डेटा और कॉर्डेटा जंतुओं में मुख्य अंतर लिखो।
उत्तर:
नानकॉर्डेटा और कॉर्डेटा में मुख्य अंतर निम्नलिखित हैं-
नानकॉर्डेटा जंतु | कॉर्डेटा जंतु |
1. इनकी गुदा के पीछे पूँछ नहीं पाई जाती। | 1. इनमें पूँछ पाई जाती है। |
2. इनके रक्त में हीमोग्लोखिन प्लैज्मा घुला होता है। | 2. इनमें हीमोग्लोबिन लाल रक्त कणिकाओं में पाया जाता है। |
3. हृदय पृष्ठ उपस्थित होता है। | 3. इनमें हृदय अधर की ओर होता है। |
4. इनमें केंद्रीय तंत्रिका तंतु ठोस होता है। | 4. इनमें यह खोखला होता है। |
5. इनमें रीढ़ रज्जु नहीं पाई जाती है । | 5. इनमें रीढ़ रज्जु पाई जाती है। |
निबंधात्मक प्रश्न
प्रश्न 1.
क्रिप्टोगैमी के वर्गीकरण का वर्णन करो।
उत्तर:
क्रिप्टोगैमी-ये पौधे पुष्पविहीन व फलविहीन होते हैं। इनमें जनन अंग छुपे हुए होते हैं। इनमें बाहरी फूल व बीज नहीं पाए जाते। इन्हें तीन वर्गों में बाँटा गया है-
1. थैलोफाइटा-पादप शरीर तना, जड़ व पत्तियों में विभाजित नहीं होता, अपितु एक समरूप थैलस के रूप में होता है। इनमें कोई संवहन तंत्र नहीं होता। उनके जननांग एककोशी होते हैं। इस डिवीज़न में पौधों के तीन स्पष्ट समूह हैं-
- शैवाल; जैसे यूलोथ्रिक्स, क्लैडोफोरा, अल्वा।
- कवक; जैसे ऐस्पर्जिलस, पेनिसिलियम, ऐगैरिकस।
- लाइकेन; जैसे लाइकेन पर्णिल, फ्रुटिकोज लाइकेन (सहजीवी)।
2. ब्रायोफाइटा-इन पौधों का शरीर जड़, तना व पत्तों जैसी संरचनाओं में बंटा होता है। ये नमी वाले छायादार स्थानों पर उगते हैं। इनमें भी संवहन तंत्र अनुपस्थित होता है। जननांग बहुकोशीय होते हैं। इनमें निषेचन के बाद भ्रूण बनता है; जैसे रिक्सिया, फ्यूनेरिया, मार्केशिया आदि।
3. टेरिडोफाइटा-इनका शरीर जड़, तना, पत्तों में विभाजित होता है। इनमें संवहन तंत्र विद्यमान होता है। इनके जननांग बहुकोशिक होते हैं। इनमें निषेचन के बाद भ्रूण बनता है; जैसे फर्नस (टेरिस, सिलैजीनैला)।
प्रश्न 2.
प्रत्येक की एक या दो विशेषताओं व उदाहरण सहित प्राणियों के मुख्य फाइलम के नाम दीजिए।
उत्तर:
जंतुओं के प्रमुख फाइलम व उनकी विशेषताएँ व उदाहरण निम्नलिखित प्रकार से हैं-
उपजगत | संघ तथा उसके सामान्य लक्षण | उदाहरण |
(1) प्रोटोजोआ (एककोशिकीय) | 1. प्रोटोजोआ-ये एककोशी होते हैं। इनका आकार निश्चित व अनिश्चित होता है। | अमीबा, यूग्लीना |
(2) मेटाजोआ (बहुकोशिकीय) | 2. पोरीफेरा-ये बहुकोशी जीव हैं। सभी स्थानबद्ध होते हैं। | स्पंज, साइकॉन |
3. सीलेंटरेटा-इनमें दंश कोशिकाएँ पाई जाती हैं। इनमें ऊतक विभाजन पाया जाता है। | हाइड्रा, जैलीफिश, ओबीलिया | |
4. प्लेटीहेल्मिन्थीज-इन कृमियों का शरीर मुलायम और चपटा होता है। इनमें सत्यगुहा नहीं पाई जाती। | फीताकृमि, लिवरफ्लूक | |
5. निमेटोडा-इनका शरीर गोल बेलनाकार व क्यूरीकल से ढका होता है। इनमें पाचन नली पूर्ण होती है। | एस्केरिस, (हुकवार्म) | |
6. एनीलिडा-इनका शरीर लंबा व खंड-युक्त होता है। इनमें वास्तविक देहगुहा पाई जाती है। | केंचुआ, जोंक | |
7. आर्थ्रोपोडा-इनका शरीर खंड-युक्त होता है। श्वसन गिल, श्वास नली या पुस्त फुफ्फस द्वारा होता है। | कॉकरोच, मक्खी, मच्छर | |
8. मोलस्का-शरीर कोमल व सख्त कवच से ढका होता है। इनका शरीर अखंड व उपांगरहित होता है। | पाइला, ऑक्टोपस, यूनियो | |
9. इकाइनोडर्मेटा-इनका शरीर चूनेदार काँटों से ढका होता है। ये अखंड होते हैं। | सी-कुकुम्बर, सितारा मछली | |
10. प्रोटोकॉर्डेटा-इनमें कशेरुकी तथा अकशेरुकी दोनों के गुण पाए जाते हैं। शरीर शुंड, कालर व धड़ में विभाजित होता है। | बैलैनाग्लोसस, होलोध्यूरिया, | |
11. कॉर्डेटा-इनमें तंत्रिका-तंत्र तथा गिल रंध्र पाए जाते हैं। इनमें नोटोकार्ड पाया जाता है। | क्रेल, चूहा, बंदर |
प्रयोगात्मक कार्य
क्रियाकलाप 1.
एकबीजपत्री और द्विबीजपत्री में अंतर करना।
कार्य-विधि-गेहूँ, चना, मटर, मक्का, धान, इमली आदि के बीज लेकर इन्हें पानी में भिगोओ। जब अच्छी तरह फूल जाए
इनका वर्गीकरण उतारकर अवलोकन करो। जिनमें एकबीजपत्र (गेहूँ, मक्का, धान) हो एकबीजपत्री और जिनमें द्विबीजपत्र (चना, मटर, इमली) हो द्विबीजपत्री होता है। इन पौधों में अन्य अंतर देखने के लिए तालिका बनाओ-
तालिका
क्रमांक | अंतर का कारण | एकबीजपत्री | द्विबीजपत्री |
1. | जड़ें | रेशेदार | मूसला जड़ |
2. | पत्तियों में शिराविन्यास | समानांतर | जालिका |
3. | तना | गांठदार | बिना गांठ वाला |
4. | बीज | एकबीजपत्र | द्विबीजपत्र |
अध्याय का तीव्र अध्ययन
1. ‘वर्गिकी’ शब्द के जनक हैं-
(A) एरिस्टोटल
(B) राबर्ट हुक
(C) डी. केंडोली
(D) केरोलस लिनियस
उत्तर:
(D) केरोलस लिनियस
2. मोनेरा जैसे जीवों के वर्गीकरण का आधार नहीं है-
(A) कोशिकीय संरचना
(B) पोषण
(C) शारीरिक संगठन
(D) निवास
उत्तर:
(D) निवास
3. पर्णहरित नहीं पाया जाता-
(A) मोनेरा में
(B) प्रोटिस्टा में
(C) फंजाई में
(D) प्लांटी में
उत्तर:
(C) फंजाई में
4. मत्स्य का लक्षण नहीं है-
(A) धारारेखीय शरीर
(B) श्वसन गलफड़ों द्वारा
(C) हृदय तीन कक्षीय
(D) शरीर पर शल्क पाए जाते हैं।
उत्तर:
(C) हृदय तीन कक्षीय
5. उभयचर प्राणी नहीं है
(A) ड्रैको
(B) हाइला
(C) टोड
(D) मेंढक
उत्तर:
(A) ड्रैको
6. कंकाल खोखला होता है
(A) मत्स्य में
(B) उभयचर में
(C) सरीसृप में
(D) एवीज़ में
उत्तर:
(D) एवीज़ में
7. जीवों को किंगडम नामक बड़े वर्ग में विभाजित करने में योगदान नहीं था-
(A) अन्सर्ट हेकेल का
(B) राबर्ट व्हिटेकर का
(C) कार्ल वोस का
(D) डार्विन का
उत्तर:
(D) डार्विन का
8. निम्नलिखित में से कौन-सा जीव अंडे देता है, परंतु स्तनों से बच्चों को दूध पिलाता है?
(A) मनुष्य
(B) हाथी
(C) कंगारू
(D) डकबिल प्लेटीपस
उत्तर:
(D) डकबिल प्लेटीपस
9. निम्नलिखित में से जीनस है-
(A) समान आर्डर का समूह
(B) समान जातियों का समूह
(C) समान गणों का समूह
(D) समान कुलों का समूह
उत्तर:
(B) समान जातियों का समूह
10. आइशलर ने वनस्पति जगत को दो उपजगतों में बाँटा, उनके नाम हैं-
(A) क्रिप्टोगैमी व फैनरोगैमी
(B) जिम्नोस्पर्मी व एंजियोस्पर्मी
(C) ब्रायोफाइटा व टेरिडोफाइटा
(D) मोनेरा व प्रोटिस्टा
उत्तर:
(A) क्रिप्टोगैमी व फैनरोगैमी
11. अनावृतबीजी का उदाहरण है-
(A) फर्नस
(B) मार्सीलिया
(C) साइकस
(D) मॉस
उत्तर:
(C) साइकस
12. थैलस पाया जाता है-
(A) थैलोफाइटा में
(B) ब्रायोफाइटा में
(C) टेरिडोफाइटा में
(D) इनमें से किसी में भी नहीं
उत्तर:
(A) थैलोफाइटा में
13. फैनरोगैम्स वे होते हैं जिनमें बीज-
(A) होते हैं।
(B) नहीं होते
(C) नग्न होते हैं
(D) ढके होते हैं
उत्तर:
(A) होते हैं
14. जीव विज्ञान का जनक है-
(A) कार्ल वोस
(B) केरोलस
(C) डार्विन
(D) थियोफ्रेस्टस
उत्तर:
(D) थियोफ्रेस्टस
15. सहजीविता का गुण निम्नलिखित में से किसमें पाया जाता है?
(A) मोनेरा में
(B) लाइकेन में
(C) प्रोटिस्टा में
(D) इनमें से किसी में भी नहीं
उत्तर:
(B) लाइकेन में
16. निम्नलिखित में से जिम्नोस्पर्म का पादप कौन-सा है?
(A) आम
(B) मटर
(C) साइकस
(D) अमरूद
उत्तर:
(C) साइकस
17. निम्नलिखित में से किसमें बाह्य कवच पाया जाता है?
(A) यूनियो में
(B) घोंघा में
(C) काइटॉन में
(D) उपर्युक्त सभी
उत्तर:
(D) उपर्युक्त सभी
18. निम्नलिखित में से किस वर्ग में दुग्ध ग्रंथियाँ पाई जाती हैं?
(A) पक्षियों में
(B) स्तनधारियों में
(C) सरीसृप में
(D) इनमें से किसी में भी नहीं
उत्तर:
(B) स्तनधारियों में
19. किस संघ के जंतु का शरीर छिद्रमय होता है?
(A) मोलस्का
(B) सरीसृप
(C) स्पंज
(D) प्रोटोजोआ
उत्तर:
(C) स्पंज
20. रेशेदार जड़ तंत्र पाया जाता है-
(A) सरसों में
(B) मूली में
(C) गेहूँ में
(D) गाजर में
उत्तर:
(C) गेहूँ में
21. किस संघ के जीव उभयलिंगी होते हैं?
(A) प्लेटीहेल्मिन्थीज़
(B) सीलेंटरेटा
(C) पोरीफेरा
(D) मोलस्का
उत्तर:
(A) प्लेटीहेल्मिन्थीज़
22. किन जीवों का शरीर सिर, वक्ष व उदर में बंटा होता है?
(A) एनीलिड़ा
(B) प्लेटीहेल्मिन्थीज
(C) निमेटोडा
(D) आर्थोपोडा
उत्तर:
(D) आर्थोपोडा
23. काइटन किस फाइलम से संबंधित है?
(A) आर्थोपोडा
(B) मोलस्का
(C) नेमेटोडा
(D) एनीलीडा
उत्तर:
(B) मोलस्का
24. किस फाइलम में कशेरुकी और अकशेरुकी दोनों के गुण पाए जाते हैं?
(A) यूरोकॉर्डेटा
(B) सेफैलोकॉर्डेटा
(C) हेमीकॉर्डेटा
(D) वर्टीब्रेटा
उत्तर:
(C) हेमीकॉर्डेटा
25. पादप जगत का उभयचर है-
(A) थैलोफाइटा
(B) ब्रायोफाइटा
(C) टेरिडोफाइटा
(D) इनमें से कोई नहीं
उत्तर:
(B) ब्रायोफाइटा
26. हाइड्रा, आबीलिया, ओरेलिया का फाइलम कौन-सा है?
(A) पोरीफेरा
(B) सीलेंटरेटा
(C) प्लेटीहेल्मिन्थीज
(D) इनमें से कोई नहीं
उत्तर:
(B) सीलेंटरेटा
27. यूनियो, घोंघा, ऑक्टोपस का फाइलम कौन-सा है?
(A) आर्थोपोडा
(B) एनीलिडा
(C) मोलस्का
(D) इकाइनोडर्मेटा
उत्तर:
(C) मोलस्का
28. आर्थोपोडा का सबसे मुख्य लक्षण है-
(A) जोड़ीदार टांगें
(B) बाह्य कंकाल
(C) श्वसन ट्रेकिया
(D) एंटीना
उत्तर:
(A) जोड़ीदार टांगें
29. स्टारफिश पाए जाते हैं-
(A) वायु में
(B) स्थल में
(C) समुद्र में
(D) पहाड़ों में
उत्तर:
(C) समुद्र में
30. जीवों के स्तर में सबसे ऊपर का स्तर है-
(A) वर्ग
(B) जाति
(C) गण
(D) जगत
उत्तर:
(D) जगत
31. चार्ल्स डार्विन ने जैव विकास की अवधारणा को कब जन्म दिया?
(A) सन् 1857 में
(B) सन् 1858 में
(C) सन् 1859 में
(D) सन् 1860 में
उत्तर:
(C) सन् 1859 में
32. प्रकाशसंश्लेषण प्रक्रिया द्वारा अपना भोजन बनाते हैं-
(A) पक्षी
(B) पशु
(C) हरे पौधे
(D) मछलियाँ
उत्तर:
(C) हरे पौधे
33. निम्नलिखित में त्रिकोरक का उदाहरण कौन-सा है?
(A) स्पांजिला
(B) हाइड्रा
(C) यूग्लीना
(D) फीता कृमि
उत्तर:
(D) फीता कृमि