HBSE 7th Class Hindi Solutions Vasant Chapter 2 दादी माँ

Haryana State Board HBSE 7th Class Hindi Solutions Vasant Chapter 2 दादी माँ Textbook Exercise Questions and Answers.

Haryana Board 7th Class Hindi Solutions Vasant Chapter 2 दादी माँ

HBSE 7th Class Hindi दादी माँ Textbook Questions and Answers

कहानी से

दादी माँ प्रश्न उत्तर HBSE 7th Class प्रश्न 1.
लेखक को अपनी दादी माँ की याद के साथ-साथ बचपन की और किन-किन बातों की याद आ जाती है?
उत्तर :
लेखक को अपनी दादी माँ की याद के साथ-साथ बचपन की अन्य निम्नलिखित बातों की याद आ जाती है:

  • अपने उन शुभचिंतक मित्रों की जो उसे प्रसन्न करने के लिए छुट्टियों की सूचना देते हैं और पीठ पीछे उसका मजाक उड़ाते हैं।
  • क्वार के महीने की जब रास्ते का कीचड़ विचित्र गंध के साथ सूख जाता है।
  • बचपन में ज्वर का चढ़ना और उसमें दादी माँ की सेवा।
  • किशन भैया की शादी का मौका और उस समय औरतों का चार-पाँच दिन तक गीत और अभिनय का कार्यक्रम।
  • रामी चाची की घटना।

दादी माँ पाठ के प्रश्न उत्तर HBSE 7th Class प्रश्न 2.
दादा की मृत्यु के बाद लेखक के घर की आर्थिक स्थिति खराब क्यों हो गई थी ?
उत्तर :
दादा की मृत्यु के बाद लेखक के घर की आर्थिक स्थिति इसलिए खराब हो गई थी क्योंकि उनके श्राद्ध पर पिताजी ने काफी धन खर्च कर दिया था। धोखेबाज और दिखावी मित्रों ने स्थिति को और भी खराब कर दिया था।

पाठ 2 दादी मां के प्रश्न उत्तर HBSE 7th Class प्रश्न 3.
दादी के स्वाभाव कौन-सा पक्ष आपको सबसे अच्छा लगता है और क्यों ?
उत्तर :
दादी के स्वाभाव का वह पक्ष हमें सबसे अच्छा लगता है जिसमें वे दूसरों के प्रति अपनी चिंता रखती है। वे बीमार के पास बैठकर उसकी पूरी देखभाल करती थी, उसकी दवा का प्रबंध अपने ढंग से करती थी। मुँह से भले ही कडवी लगती थीं, पर दूसरों की आर्थिक मदद भी करती थीं। रामी चाची का कर्ज माफ कर नकद रुपए भी दिए ताकि उसकी बेटी का विवाह निर्विघ्न हो जाए। पिताजी को भी अपना स्वर्ण-कंगन देकर आर्थिक चिंता से उबारा था।

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कहानी से आगे

Dadi Maa Class 7 HBSE प्रश्न 1.
आपने इस कहानी में महीनों के नाम पढ़े, जैसे-क्वार, आषाढ़, माघ। इन महीनों में मौसम कैसा रहता है?
उत्तर :

  1. क्वार : गरमी का अंत हो रहा होता है। हल्की-हल्की ठंड शुरू हो जाती है। दशहरा इस मास का प्रमुख त्योहार है।
  2. आषाढ़ : यह भास वर्षा का है। इस महीने खूब वर्षा होती है। वर्षा न होने पर गरमी रहती है।
  3. माघ : यह महीना सर्दी का है। माघ के पहले पंद्रह दिन भयंकर सर्दी पड़ती है। फिद सर्दी का जोर घटता चला जाता है।

दादी माँ पाठ के शब्दार्थ HBSE 7th Class प्रश्न 2.
‘अपने-अपने मौसम की अपनी-अपनी बातें होती हैं’-लेखक के इस कथन के अनुसार यह बताइए कि किस मौसम में कौन-कौन सी चीजें विशेष रूप से मिलती हैं?
उत्तर :
गरमी के मौसम में तेज गरमी पड़ती है। इस मौसम में तरबूज-खरबूज खूब होते हैं। इनके खाने से गरमी का प्रभाव शरीर पर कम पड़ता है। वर्षा के मौसम बारिश होती है। दिन धूप से तपता है। ज्यादा गरमी वर्षा ले आती है। खाने को आम मिलते हैं।

सर्दी : इस मौसम के आते ही गर्मी-वर्षा से छुटकारा मिल जाता है। यह मौसम स्वास्थ्यवर्धक होता है। खाने को सेब, अमरूद, केले. अंगूर आदि फल मिलते हैं।

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HBSE 7th Class Hindi दादी माँ Important Questions and Answers

अति लघुत्तरात्मक प्रश्न

Class 7 Vasant Chapter 2 HBSE प्रश्न 1.
लेखक की क्या कमजोरी है?
उत्तर :
लेखक की यह कमजोरी है कि वह थोड़ी सी भी मुश्किल पड़ने पर घबरा उठता है।

Dadi Maa Prashn Uttar HBSE प्रश्न 2.
लेखक को हल्की-सी बीमारी क्यों अच्छी लगती है?
उत्तर :
लेखक को हल्का ज्वर या सिर पर हल्का सिरदर्द इसलिए अच्छा लगता है क्योंकि इसमें खाने के लिए दिन भर नींबू और साबू मिलता है।

दादी माँ Class 7 HBSE प्रश्न 3.
दादी माँ को किनके पचासों नाम याद थे?
उत्तर :
दादी माँ को मुंबई-गाँव की पचासों किस्म की दवाओं के नाम याद थे।

पाठ 2 दादी मां के शब्दार्थ HBSE 7th Class प्रश्न 4.
तब बुखार किसके डर से भाग जाता था?
उत्तर :
तब कुनैन मिक्सचर की शीशी की तिताई के डर से बुखार भाग जाता था।

7th Class Hindi Dadi Maa Question Answer प्रश्न 5.
दादी माँ का उत्साह और आनंद कब देखते बनता था?
उत्तर :
किशन भैया की शादी के अवसर पर दादी माँ का उत्साह और आनंद देखते बनता था।

Dadi Maa 7th Class HBSE प्रश्न 6.
दादी माँ किशन के विवाह पर औरतों की किस बात पर बिगड़ी
उत्तर :
जय रात के समय औरतें अभिनय कर रहीं थी तब औरतों ने लेखक व राघव के वहाँ होने पर ऐतराज किया था। इस पर दादी उन पर बिगड पडी।

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प्रश्न 7.
देबू की माँ ने चादर खींचकर क्या कहा?
उत्तर :
देबू की माँ ने कहा-“कहो दादी, यह कौन बच्चा सोया है? बेचारा रोता है शायद, दूध तो पिला दूं।”

प्रश्न 8.
धन किसमें खर्च हो गया था? वह कहाँ का था?
उत्तर :
दादा के श्राद्ध में पिताजी ने काफी धन खर्च कर दिया था। वह घर का नहीं, कर्ज का था।

प्रश्न 9.
दादी नेसंदूकखोलकर क्या वस्तु निकाल कर दी?
उत्तर :
दादी ने संदूक खोलकर सोने का कंगन निकाल कर दिया।

प्रश्न 10.
लेखक को किस सूचना पर सहज विश्वास नहीं हुआ?
उत्तर :
लेखक को दादी माँ की मृत्यु की सूचना पर सहज विश्वास नहीं हुआ।

लघुत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
क्वार के महीने में गाँव के वातावरण में क्या परिवर्तन आ जाता है?
उत्तर :
क्वार के आते ही रास्तों का कीचड़ सूख जाता है। मोथा और साई की अधगली घासें, बनप्याज की जड़ें तथा अन्य प्रकार की घासों के बीच सूरज की गर्मी में सड़कर विचित्र गंध देने लगते हैं। गाँव के लड़के झाग भरे जलाशयों में कूदते रहते हैं।

प्रश्न 2.
दादी माँ को बीमारियों का ज्ञान कैसा था तथा वे दवा करने के क्या उपाय करती थीं?
उत्तर :
दादी माँ हाथ, माथा, पेट छूकर भूत, मलेरिया सरसाम, निमोनिया तक का अनुमान लगा लेती थीं। वे लौंग, गुड़-मिश्रित जलधार, गुग्गल और धूप से इलाज करती थीं।

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प्रश्न 3.
दादी माँ के दो रूप इस कहानी में विखाई देते हैं? वे कौन-कौन से हैं?
उत्तर :
दादी माँ का एक रूप तो वह है जब वे रामी की चाची से मय सूद के अपनी रकम वसूलने की धमकी देती हैं। दूसरा रूप वह है जब वे रामी की चाची की बिटिया की शादी के लिए सारा कर्ज माफ कर देती हैं तथा उसे दस रुपये भी दे देती हैं।

प्रश्न 4.
पिताजी और किशन भैया मन मारे क्यों बैठे थे?
उत्तर :
पिताजी और किशन भैया मन मारे कुछ सोच रहे थे। घर की आर्थिक स्थिति अच्छी नहीं थी। जिन पर रुपये थे, वे लौटाते नहीं थे। लोगों पर काफी बकाया था। उन्हें कुछ समझ नहीं आ रहा था।

दादी माँ गद्यांशों की सप्रसंग व्याख्या

1. कमजोरी ही है ……….. उठती है।

अर्थग्रहण संबंधी प्रश्न :
1. यह गद्यांश किस पाठ से लिया गया है?
2 लेखक की कमजोरी क्या है?
3. मित्र किस प्रकार का दोमुंहा व्यवहार करते हैं?
4. लेखक के सामने क्या नाच उठती है?
उत्तर:
1. यह गद्यांश ‘दादी माँ’ पाठ से लिया गया है।
2. लेखक की कमजोरी यह है कि जरा-सी मुश्किल के आने पर उसका मन प्राय: अनमना हो जाता है। अर्थात वह घबरा जाता है।
3. लेखक के मित्र उसे प्रसन्न करने के लिए मुंह पर तो आने वाली छुट्टियों की सूचना देते हैं और पीठ पीछे उसे कमजोर और घबराने वाला कहकर उसका मजाक उड़ाते हैं। इस प्रकार वे दोमुँहा व्यवहार करते हैं।
4. लेखक की आँखों के सामने शरद ऋतु की शीतल किरणों के समान स्वच्छ, शीतल किसी की धुंधली छाया नाच उठती है।

बहुविकल्पी प्रश्न सही उत्तर चुनकर लिखिए

1. कौन-सा नाम ऋतु का नाम नहीं है?
(क) गरमी
(ख) बरसात
(ग) विकलता
(घ) मेघ
उत्तर :
(घ) मेघ

2. शुभचिंतक कौन होते हैं?
(क) शोभाकारक
(ख) भला सोचने वाले
(ग) चिंतन करने वाले
(घ) अशुभ
उत्तर :
(ख) भला सोचने वाले

3. ‘प्रतिकूलता’ का विलोम शब्द है
(क) अनुकूलता
(ख) विकलता
(ग) व्याकुलता
(घ) विकूलता
उत्तर :
(क) अनुकूलता

4. ‘धुंधली छाया’ में रेखांकित शब्द है
(क) संज्ञा
(ख) सर्वनाम
(ग) विशेषण
(घ) क्रिया
उत्तर :
(ग) विशेषण

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2. दिन में …………… अनुमान करती।

अर्थग्रहण संबंधी प्रश्न:
1. कौन, क्यों चादर लपेटे सोया था?
2. दादी माँ किस रूप में आई थीं?
3. दादी ने आते ही क्या किया?
4. वे चारपाई के पास बैठकर क्या करती?
उत्तर:
1. लेखक को बुखार चढ़ा था। दिन में कम था अतः वह चादर लपेटे हुए सोया हुआ था।
2. दादी माँ झागवाले जल में नहाकर आई थी। उसने अपने दुबले-पतले शरीर पर बिना किनारी की धोती पहन रखी थी। उसके सफेद बालों के सिरों से पानी की बूंदें टपक रहीं थीं।
3. दादी ने आते ही लेखक का सिर और पेट छुआ। आँचल की गाँठ खोलकर किसी शक्तिधारी चबूतरे की कुछ मिट्टी मुँह में डाली और कुछ माथे पर लगाई।
4. दादी माँ दिन-रात चारपाई के पास बैठी रहतीं। कभी पंखा से हवा करती, कभी हाथ-पैर को कपड़े से सहलाती, कभी सिर पर दालचीनी का लेप करती और कभी हाथ से छूकर बुखार का अंदाजा लगातीं।

बहुविकल्पी प्रश्न सही उत्तर चुनकर लिखिए

1. दादी माँ कैसे जल में नहा कर आईं थी?
(क) ठंडे
(ख) गरम
(ग) झागवाले
(घ) सफेद
उत्तर :
(ग) झागवाले

2. दादी माँ की धोती कैसी थी?
(क) सफेद
(ख) बिना किनारी की
(ग) दोनों तरह की
(घ) लाल
उत्तर :
(ग) दोनों तरह की

3. दादी माँ के बाल किसके समान सफेद थे?
(क) सन के
(ख) कपड़े के
(ग) धूप के
(घ) साबुन के
उत्तर :
(क) सन के

4. दादी माँ की क्रियाओं से उसका क्या झलकता था?
(क) डर
(ख) स्नेह
(ग) चिंता
(घ) दिखावा
उत्तर :
(ख) गरम मसाले का

5. दालचीनी किसका नाम है?
(क) चीनी का
(ख) गरम मसाले का
(ग) मिठाई का
(घ) दवा का
उत्तर :
(ख) गरम मसाले का

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3. किशन के ……………. जा सका था।

अर्थग्रहण संबंधी प्रश्न:
1. किसको शादी की बात का उल्लेख है?
2 विवाह के चार-पाँच रोज पहले क्या किया जाता है?
3. इसमें क्या दृश्य दिखाए जाते हैं?
4. लेखक बारात में क्यों नहीं जा सका?
उत्तर:
1. लेखक के बड़े भैया किशन की शादी का उल्लेख है।
2 विवाह के चार-पाँच रोज़ पहले से ही औरतें रात-रातभर जागकर गीत गाती हैं। विवाह की रात को अभिनय भी किया जाता है।
3. उसमें विवाह से लेकर पुत्रोत्पत्ति तक के सभी दृश्य दिखाए जाते हैं। इनमें सभी पार्ट औरतें करती हैं।
4. लेखक बीमार था अतः वह बारात में नहीं जा सका था।

बहुविकल्पी प्रश्न सही विकल्प चुनकर लिखिए

1. किसके विवाह के दिनों की बात है?
(क) लेखक के
(ख) किशन के
(ग) राघव के
(घ) ममेरे भाई के
उत्तर :
(ख) किशन के

2. विवाह से चार-पाँच रोज पहले औरतें क्या करती है?
(क) रातभर गीत गाती हैं
(ख) अभिनय करती हैं
(ग) खाना पकाती हैं
(घ) तैयारियां करती हैं
उत्तर :
(क) रातभर गीत गाती हैं

3. ‘पुत्रोत्पत्ति’ का सही संधि-विच्छेद है
(क) पुत्र + उत्पत्ति
(ख) पुत्रो + उत्तपत्ति
(ग) पुत्रो + त्पति
(घ) पुत्र + उत्तपत्ति
उत्तर :
(क) पुत्र + उत्पत्ति

4. विवाह की रात को क्या होता है?
(क) गायन
(ख) अभिनय
(ग) वादन
(घ) खाना
उत्तर :
(ख) अभिनय

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4. स्नेह और …………………………… करते थे।

अर्थग्रहण संबंधी प्रश्न
प्रश्न:
1. दादी माँ कैसी थी?
2. दादी माँ क्या बात खूब जानतीं थीं?
3. वे क्यों उदास रहती थीं?
4. दादी माँ को यह संसार कैसा प्रतीत होता था? क्यों?
उत्तर:
1. दादी माँ स्नेह और ममता की मूर्ति थीं।
2 दादी माँ यह बात भली प्रकार जानती थी कि परिस्थितियों का घटनाचक्र जीवन को सूखे पत्ते के समान नचाता है अर्थात् मनुष्य का जीवन परिस्थितियों और घटनाओं के वशीभूत होकर चलता है।
3. दादाजी की मृत्यु के बाद दादी माँ बहुत उदास रहती थीं।
4. दादी माँ को यह संसार धोखे की टट्टी मालूम होता था क्योंकि यहाँ कदम-कदम पर धोखा था। दादाजी भी उनको धोखा देकर इस संसार से चले गए थे।

बहुविकल्पी प्रश्न सही उत्तर चुनकर लिखिए

1. दादी माँ किसकी मूर्ति प्रतीत होती थीं?
(क) स्नेह की
(ख) ममता की
(ग) स्नेह-ममता की
(घ) दया की
उत्तर :
(ग) स्नेह-ममता की

2. ‘वात्याचक्र’ कैसा शब्द है?
(क) तत्सम
(ख) तद्भव
(ग) देशज
(घ) विदेशी
उत्तर :
(ग) देशज

3. दादी माँ की उदासी का कारण था
(क) दादा की मृत्यु
(ख) धन की कमी
(ग) लेखक की बीमारी
(घ) संसार का रवैया
उत्तर :
(क) दादा की मृत्यु

4. संसार दादी माँ को कैसा प्रतीत होता था?
(क) अच्छा
(ख) बुरा
(ग) धोखे की टट्टी
(घ) मिला-जुला
उत्तर :
(ग) धोखे की टट्टी

5. सचमुच मुझे ………………………….. नहीं रहीं?

अर्थग्रहण संबंधी प्रश्न
प्रश्न:
1. लेखक को दादी माँ कैसी लगों? क्यों?
2 लेखक ने क्या देखा?
3. हाथ में क्या काँप रहा है?
4. पत्र में क्या सूचना दी गई होगी?
उत्तर:
1. लेखक को दादी माँ शापभ्रष्ट देवी-सी लगी। वैसे तो दादी माँ त्याग और ममता की देवी थीं, पर किसी शाप के कारण धरती पर कष्टपूर्ण जीवन जीने आ गई थीं।
2 लेखक ने देखा कि दिन काफी चढ़ आया है, खजूर के पेड़ से उड़कर एक कौआ काले पंख फैलाकर उसकी खिड़की पर बैठ गया था। (अपशकुन की सूचना)
3. लेखक के हाथ में किशन भैया का पत्र काँप रहा है।
4. पत्र में दादी माँ की मृत्यु की सूचना दी गई होगी।

बहुविकल्पी प्रश्न सही उत्तर चुनकर लिखिए

1. लेखक को दादी माँ कैसी लगी?
(क) देवी
(ख) शापध्रष्ट देवी-सी
(ग) सामान्य
(घ) विशिष्ट
उत्तर :
(ख) शापध्रष्ट देवी-सी

2. कौआ पहले कहाँ बैठा था?
(क) खजूर के पेड़ पर
(ख) खिड़की पर
(ग) नीम के पेड़ पर
(घ) दरवाजे पर
उत्तर :
(ख) खिड़की पर

3. ‘पाँख’ शब्द कैसा है?
(क) तत्सम
(ख) तद्भव
(ग) दशज
(घ) विदेशी
उत्तर :
(ख) तद्भव

4. लेखक को किस पर विश्वास नहीं होता?
(क) आँखों पर
(ख) दादी की मृत्यु की सूचना पर
(ग) पत्र पर
(घ) किसी पर नहीं
उत्तर :
(ख) दादी की मृत्यु की सूचना पर

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दादी माँ Summary in Hindi

दादी माँ पाठ का सार

लेखक की एक कमजोरी है कि जरा सी कठिनाई पड़ते ही प्रायः उसका मन अनमना-सा हो जाता है। लेखक के मित्र और शुभचिंतक उसे आने वाली छुट्टियों की सूचना देकर प्रसन्न करने
का प्रयास करते हैं, पर पीछे से उसका मजाक उड़ाते हैं। लेखक ‘को लगता है कि क्वार के दिन आ गए हैं। चारों ओर पान हिलोरें ले रहा है। मोथा और साई की अधगली घासें, बनप्याज की जड़ें तथा तरह-तरह की बरसाती घासे विचित्र गंध छोड़ती जान पड़ती हैं। रास्तों का कीचड़ सूख गया है।

क्वार के दिनों में गंधपूर्ण झाग भरे जल में कूदकर नहाने के कारण वह बीमार हो गया। वैसे हलकी बीमारी लेखक को अच्छी लगती है। पर इस बार बुखार चढ़ा तो चढ़ता ही चला गया। रजाई पर रजाई ओढ़ी तब रात बारह बजे के बाद उतरा। दिन में चादर लपेटकर सोया था। दादी माँ नहाकर आई थीं। उनके दुबले-पतले शरीर पर सफेद विना किनारी की धोती थी। बाल सफेद सन जैसे थे तथा उनसे पानी की बूंदें टपक रही थीं। उन्होंने आते ही लेखक का सिर और पेट को छुआ।

आँचल की गाँठ खोलकर और चबूतरे की मिद्री मँह में डाली और माथे से लगाई। वह रात-दिन चारपाई के पास बैठी रहती और कभी पंखा झलती, कभी सिर पर दाल-चीनी का लेप करतीं और बार-बार छूकर बुखार का अनुमान लगातीं। वे अनेक प्रकार की जानकारियाँ लेती-जैसे हाँडी में पानी आया कि नहीं? उसे पीपल की छाल से छौंका या नहीं? खिचड़ी में मूंग की दाल एकदम मिल तो नहीं गई? कोई बीमार घर में सीधे तो नहीं चला आया ? आदि।

दादी माँ को गाँव में प्रयुक्त होने वाली पचासों किस्म की दवाओं के नाम याद थे। जब भी गाँव में कोई बीमार होता, वे वहाँ पहुँच जाती और यही सब बातें करती और दोहरातीं। सफाई की सीख उनसे ली जा सकती थी, दवा में देरी उनसे सहन नहीं होती थी। लेखक को बुखार तो अब भी आता है पर अब वह बात कहाँ ? मेस-महाराज अपने मन से पकाकर खिचड़ी या साबू दे जाता है, डॉक्टर नाड़ी देखकर कुनैन मिक्सर दे जाता है। पर अब बुखार बुलाने का मन नहीं करता।।

किशन भैया की शादी के मौके पर दादी माँ का उत्साह देखते – ही बनता था। उन्होंने घर को सिर पर उठा लिया था। वे सारा काम अपने हाथ से करना चाहती थीं। एक दिन दोपहर को दादी माँ किसी पर बिगड़ रही थी। वे धन्नों से अपने रुपए ब्याज सहित माँग रही थी। रामी की चाची दया की भीख माँग रही थी। बाद में उसी दादी ने पिछला सारा रुपया छोड़ दिया और दस रुपए को नोट देकर कहा-“धन्नो, जैसी तेरी बेटी, वैसी मेरी। दस-पाँच रुपए के लिए हँसाई न हो। देवता है बेटा, देवता।”

किशन के विवाह की बात है। चार-दिन पहले से ही गीत गाने लगे थे। लेखक बीमार होने के कारण बारात में न जा सका था। लेखक को एक चारपाई पर चादर उढ़ाकर सुला दिया। देबू की माँ ने चादर खींच ली। स्नेह और ममता की मूर्ति दादी माँ की एक-एक बात बड़ी अनोखी लगती है। दादा की मृत्यु के बाद से ही वे उदास रहती थी। दादा के श्राद्ध में दादी माँ के मना करने पर भी पिताजी ने जो अतुल संपत्ति व्यय की थी, वह घर की तो नहीं। एक माघ मास के कड़कती ठंड में दादी माँ गीली धोती पहने एक संदूक पदउ दिया जलाए हाथ जोड़कर बैठी थी। लेखक ने उनसे गीली धोती बदलने को कहा तो वे बोली-मुझे सरदी-गरमी नहीं लगती। लेखक ने एक सुबह पिताजी को किशन भैया के साथ उदास बैठे देखा। दादी ने पिताजी की आर्थिक समस्या को सुलझाने के लिए अपना कंगन निकालकर दे दिया।

दादी माँ शब्दार्थ

कठिनाई = मुश्किल (dificulty), शुभचिंतक = भला सोचने वाले (well-wisher),शीत = ठंड (cold), स्वच्छ = साफ (clear), विचित्र = अनोखी (strange), जलाशय = तालाब (pond), शीतलता = ठंडक (coleiness), ज्वर = बुखार (fever), किस्म = प्रकार (type), विश्रचिका = संक्रामक रोग (epedemic), उत्साह = जोश (zeal), निकसार = निकास, निकलने का दरवाजा (exit), निस्तार – छुटकारा (to get rid off), विह्वल – बैचेन (restless), पत्रोत्पत्ति = पत्र + उत्पत्ति बेटा पैदा होना (birth of son),आपत्ति – ऐतराज (objection), अप्रिय जो अच्छा न लगे (not good), सन्नाटा = चुप्पी (silence), विलीन = गायब (disappear).

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