HBSE 7th Class Social Science Solutions History Chapter 2 नए राजा और उनके राज्य

Haryana State Board HBSE 7th Class Social Science Solutions History Chapter 2 नए राजा और उनके राज्य Textbook Exercise Questions and Answers.

Haryana Board 7th Class Social Science Solutions History Chapter 2 नए राजा और उनके राज्य

HBSE 7th Class History नए राजा और उनके राज्य Textbook Questions and Answers

फिर से याद करें

नए राजा और उनके राज्य HBSE 7th Class Social Science प्रश्न 1.
जोड़े बनाएँ:
गुर्जर-प्रतिहार – पश्चिमी दक्कन
राष्ट्रकूट – बंगाल
पाल – गुजरात और राजस्थान
चोल – तमिलनाडु
उत्तर:
गुर्जर-प्रतिहार – गुजरात और राजस्थान
राष्ट्रकूट – पश्चिमी दक्कन
पाल – बंगाल
चोल – तमिलनाडु

नए राजा और उनके राज्य प्रश्न उत्तर HBSE 7th Class Social Science प्रश्न 2.
“त्रिपक्षीय संघर्ष में लगे तीनों पक्ष कौन-कौन से थे?
उत्तर:
त्रिपक्षीय संघर्ष में लगे तीनों पक्ष:
(i) गुर्जर-प्रतिहार
(ii) राष्ट्रकूट
(iii) पाल

HBSE 7th Class Social Science Solutions History Chapter 2 नए राजा और उनके राज्य

नए राजा और उनके राज्य के प्रश्न उत्तर HBSE 7th Class Social Science प्रश्न 3.
चोल साम्राज्य में सभा की किसी समिति का सदस्य बनने के लिए आवश्यक शर्ते क्या थीं?
उत्तर:
चोल साम्राज्य में सभा की किसी समिति का सदस्य बनने के लिए निम्नलिखित शर्ते आवश्यक थीं
(i) सभा की सदस्यता के लिए इच्छुक लोगों को ऐसी भूमि का स्वामी होना चाहिए जहाँ से भू-राजस्व वसूला जाता है।
(ii) उनके पास अपना घर होना चाहिए।
(iii) उनकी उम्र 35 से 70 के बीच होनी चाहिए।
(iv) उन्हें वेदों का ज्ञान होना चाहिए।
(v) उन्हें प्रशासनिक मामलों की अच्छी जानकारी होनी चाहिए और ईमानदार होना चाहिए।
(vi) यदि कोई पिछले तीन सालों में किसी समिति का सदस्य रहा है तो वह किसी और समिति का सदस्य नहीं बन सकता।
(vii) जिसने अपने या अपने संबंधियों के खाते जमा नहीं कराए हैं, वह चुनाव नहीं लड़ सकता।

नए राजा और उनके राज्य पाठ के प्रश्न उत्तर HBSE 7th Class Social Science प्रश्न 4.
चाहमानों (चौहानों) के नियंत्रण में आने वाले दो प्रमुख नगर कौन से थे?
उत्तर:
चाहमानों (चौहानों) के नियंत्रण में आने वाले प्रमुख दो नगर-अजमेर और दिल्ली थे।

आइए समझें

New Kings And Kingdoms Question Answers HBSE 7th Class प्रश्न 5.
राष्ट्रकूट कैसे शक्तिशाली बने?
उत्तर:
(i) राष्ट्रकूट दक्षिण में प्रारंभ में कर्नाटक के चालुक्य राजाओं के अधीनस्थ थे।
(ii) 8वीं सदी के मध्य में एक राष्ट्रकुट प्रधान (भूस्वामी) दंतिदुर्ग ने अपने चालुक्य स्वामी की अधीनस्थता से इंकार कर दिया।
(iii) दतिदुर्ग ने अपने चालुक्य स्वामी को युद्ध में पराजित किया।
(iv) राष्ट्रकूटों ने कालांतर में उत्तर भारत के विख्यात नगर कन्नौज पर अधिकार करने के लिए त्रिपक्षीय संघर्ष में हिस्सा लिया और गुर्जर-प्रतिहार तथा पाल वंश के राजाओं को पराजित किया।

नए राज्य और उनके राज्य HBSE 7th Class Social Science HBSE प्रश्न 6.
नए राजवंशों ने स्वीकृति हासिल करने के लिए क्या किया?
उत्तर:
(i) बड़े-बड़े भू स्वामी या योद्धा सरदार अधिक सत्ता और संपत्ति प्राप्त करने पर अपने आपको महासामंत, महामण्डलेश्वर (पूरे मंडल का स्वामी) आदि घोषित कर देते थे।

(ii) जो भस्वामी या सामंत स्वतंत्र घोषित हो जाता था वह अपने राज्य में मान्यता प्राप्त करने के लिए कुछ ब्राह्मणों की मदद से अनुष्ठान या यज्ञ कराते थे और ब्राह्मण उन्हें क्षत्रिय के रूप में मान्यता दे देते थे।

(iii) इस काल में कुछ अन्य ऐसे उदाहरण भी मिलते हैं जिसमें उद्यमी परिवारों के पुरुषों ने अपनी राजशाही स्थापित करने के लिए सैन्य कौशल का प्रयोग किया। उदाहरण के तौर पर कदम मयूरशर्मण और गुर्जर-प्रतिहार हरिचंद्र ब्राह्मण थे, जिन्होंने अपने परंपरागत पेशे को छोड़कर शस्त्र को अपना लिया और क्रमश: कर्नाटक और राजस्थान में सफलतापूर्वक अपने राज्य स्थापित किए।

Naye Raja Aur Unke Rajya Question Answer HBSE 7th Class प्रश्न 7.
तमिल क्षेत्र में किस तरह की सिंचाई व्यवस्था का विकास हुआ?
उत्तर:

  1. अनेक नहरों की निर्मित किया गया।
  2. कई तालाबों और हौज़ों को निर्मित किया गया।
  3. अनेक क्षेत्रों में नए कुएँ खुदवाए गए।
  4. प्राकृतिक झीलों से सिंचाई की व्यवस्था की गई।

HBSE 7th Class Social Science Solutions History Chapter 2 नए राजा और उनके राज्य

Ch 2 New Kings And Kingdoms HBSE 7th Class प्रश्न 8.
चोल मंदिरों के साथ कौन-कौन सी गतिविधियाँ जुड़ी हुई थीं?
उत्तर:
(i) चोल मंदिर प्रायः अपने आसपास विकसित होने वाली बस्तियों के केंद्र बन गए। ये शिल्प-उत्पादन के केंद्र थे। ये मंदिर शासकों और अन्य लोगों द्वारा दी गई भूमि से भी संपन्न हो गए थे।

(ii) इस भूमि की उपज उन सारे विशेषज्ञों का निर्वाह करने में खर्च होती थी, जो मंदिर के आसपास रहते और उसके लिए काम करते थे जैसे पुरोहित, मालाकार, बावर्ची, मेहतर, संगीतकार, नर्तक इत्यादि। मंदिर सिर्फ पूजा-आराधना के स्थान नहीं थे अपितु वे आर्थिक, सामाजिक और सांस्कृतिक जीवन के केंद्र भी थे।

(iii) मंदिर के साथ जुड़े हुए शिल्पों में सबसे विशिष्ट था कांस्य प्रतिमाएँ बनाने का काम। चोल कांस्य प्रतिमाएँ संसार की सबसे उत्कृष्ट कांस्य प्रतिमाओं में गिनी जाती हैं। ज्यादातर प्रतिमाएँ तो देवी-देवताओं की ही होती थीं, लेकिन कुछ प्रतिमाएँ भक्तों की भी बनाई गई थीं।

आइए चर्चा करें

पाठ 2 नए राजा और उनके राज्य HBSE 7th Class Social Science प्रश्न 9.
मानचित्र 1 को दुबारा देखें और तलाश करें कि जिस प्रांत में आप रहते हैं, उससे कोई पुरानी राजशाहियाँ (राजाओं के राज्य) थीं या नहीं?
HBSE 7th Class Social Science Solutions History Chapter 2 नए राजा और उनके राज्य-1
उत्तर:
मैं, कर्नाटक राज्य में रहता हूँ। इस राज्य में कई पुराने राजवंशों के राज्य थे-

  1. चोल
  2. चालुक्य
  3. राष्ट्रकूट
  4. कदंबा कालांतर में दिल्ली सुल्तानों ने भी यहाँ पर अपना राज्य स्थापित किया। याद में मुगल सम्राटों ने भी इस क्षेत्र पर राज्य किया।

नए राजा और उनके राज्य नोट्स HBSE 7th Class Social Science प्रश्न 10.
जिस तरह के पंचायत चुनाव हम आज देखते हैं, उनसे उत्तरमेरुर के “चुनाव” किस तरह से अलग थे?
उत्तर:
उत्तरमेरुर में चुनाव लॉटरी द्वारा होते थे। जो लोग पंचायतों के चुनाव लड़ना चाहते थे, उनके नाम ताड़पत्र के छोटे टिकटों पर लिखे जाते थे और मिट्टी के बर्तन में रख दिए जाते थे तथा किसी छोटे लड़के या लड़की को हर समिति के लिए (जैसे सिंचाई समिति, बाग-बगीचा समिति, मंदिर समिति) एक के बाद एक टिकट निकालने के लिए कहा जाता था। आजकल पंचायतों के चुनाव वयस्क मताधिकार द्वारा गुप्त मतदान अथवा इलैक्ट्रोनिक वोटिंग मशीन (ई. वी. एम. = EVM) द्वारा होते हैं।

आइए करके देखें

New King And Kingdom HBSE 7th Class Social Science प्रश्न 11.
इस अध्याय में दिखलाए गए मंदिरों से अपने आस-पास के किसी मौजूदा मंदिर की तुलना करें और जो समानताएँ या अंतर आप देख पाते हैं, उन्हें बताएँ।
उत्तर:
इस अध्याय में दिखाए गए मंदिर और हमारे घर के आस-पास मंदिरों की तुलना निम्न प्रकार से की जा सकती है
(i) हमारे घर का मंदिर ईटों का बना है। यह साधारण स्थापत्य का नमूना है। इसमें अंदर प्रवेश के लिए एक साधारण लोहे का द्वार है और अंदर विशाल कक्ष में अलग-अलग मूर्तियों के लिए अलग स्थान बने हैं जबकि पुस्तक में दिखाए गए मंदिर बहुत भव्य हैं। इसमें अनेक सुंदर कांस्य की मूर्तियाँ हैं। उस मंदिर में आरती, पूजा के साथ-साथ मंदिर के चारों बने कक्षों में शिल्पकार उत्पादन करते हैं।

यह मंदिर अपने आप में एक बड़ा भूस्वामी है। भूमि की आमदनी से यह बहुत संपन्न है। यह मंदिर अनेक लोगों की जीविका चलाता है। यह आर्थिक, सामाजिक और सांस्कृतिक गतिविधियों का केंद्र है। इसमें देवताओं के साथ-साथ कुछ भक्तों की भी प्रतिमाएँ हैं।

(ii) हमारे घर के पास बना मंदिर केवल पूजा-पाठ के काम आता है लेकिन कुछ लोग चाहते हैं तो विशेष अनुमति लेकर मंदिर के विशाल कक्ष या छत या आँगन का विवाह अथवा किसी शोक सभा के आयोजन के लिए भी प्रयोग करते हैं। इसमें हर मंगलवार, शनिवार या रविवार को विशेष कीर्तन होते हैं. देवी-देवताओं के जन्म दिन पर जैसे रामनवमी, कृष्णजन्माष्टमी, गणेश जन्मोत्सव या शिवरात्रि के दिन विशेष भंडारे, प्रार्थनाएँ, धार्मिक प्रदर्शनियों आदि लगाई जाती हैं। यहाँ ज्यादातर प्रतिमाएँ संगमरमर की बनी हैं।

(iii) प्राचीन मंदिरों में प्रकाश के लिए बिजली, हवा के लिए कूलर, पंखे और ठंडे पानी के लिए मशीन आदि नहीं होते थे जबकि हमारे घर के पास बने मंदिर में बिजली की रोशनी, पंखे, कूलर और ठंडे पानी के लिए पर्याप्त व्यवस्था है।’

New Kings And Kingdoms Pdf HBSE 7th Class Social Science प्रश्न 12.
आज के समय में वसूले जाने वाले करों के बारे में और जानकारी हासिल करें। क्या ये नकद के रूप में हैं, वस्तु के रूप में हैं या श्रम सेवाओं के रूप में?
उत्तर:
आजकल हम कृषि भूमि कर, जल कर, विद्युत कर, गृह कर, संपदा कर, आयकर, विक्री कर, एकसाइज ड्यूटी और चुंगी नामक कर देते हैं। प्रायः इन करों का भुगतान हम नकदी या चैक द्वारा करते हैं। अब सरकार अनाज या जिन्स के रूप में कर नहीं लेती।

बहुविकल्पी प्रश्न

Class 7 Hamara Rajasthan Chapter 2 Question Answer प्रश्न 1.
उचित विकल्प चुनो:

(i) भूमि अनुदान का उल्लेख किया जाता था:
(क) ताम्र पत्रों पर
(ख) ताड़ पत्रों पर
(ग) कागज पर
उत्तर:
(क) ताम्र पत्रों पर।

(ii) कल्हण द्वारा रचित राजतंरगिनी में किस राज्य का इतिहास वर्णित है?
(क) असम
(ख) राजस्थान
(ग) कश्मीर
उत्तर:
(ग) कश्मीर।

(iii) तंजावूर शहर बनवाया गया:
(क) विजयालय द्वारा
(ख) राजाराम प्रथम द्वारा
(ग) राजेंद्र प्रथम द्वारा
उत्तर:
(क) विजयालय द्वारा।

(iv) चोल साम्राज्य में व्यापारियों के संघ कहलाते थे:
(क) उर
(ख) नाडु
(ग) नगरम
उत्तर:
(ग) नगरम।

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(v) ‘किताब-अल-हिंद’ के लेखक हैं:
(क) कल्हण
(ख) अल बेरूनी
(ग) नागभट्ट
उत्तर:
(ख) अल बेरूनी।

New Kings And Kingdoms Question Answer HBSE 7th Class Social Science प्रश्न 2.
रिक्त स्थान भरो:
(i) महमूद गजनी ने भारत पर ………. बार आक्रमण किया।
(ii) ……… सबसे शक्तिशाली चोल शासक था।
(iii) चोल साम्राज्य में किसानों की बस्तियाँ ……….. कहलाती थीं।
(iv) चाहमानों का सबसे प्रसिद्ध शासक ……. तृतीय था।
(v) गंगईकोंडचोलपुरम का प्रसिद्ध मंदिर …….. द्वारा बनाया गया।
उत्तर:
(i) सत्रह
(ii) राजाराम प्रथम
(iii) उर
(iv) पृथ्वीराज
(v) राजेंद्र प्रथमा

Naye Raja Aur Unke Rajya HBSE 7th Class Social Science प्रश्न 3.
सही गलत छाँटो:
(i) चोल कांस्य प्रतिमाएँ विश्व की सबसे उत्कृष्ट कांस्य प्रतिमाओं में गिनी जाती थीं।
(ii) प्रशस्तियों की रचना राजाओं द्वारा की जाती थी।
(iii) चोल वंश के अभिलेखों में चार सौ प्रकार के करों का उल्लेख मिलता है।
(iv) हिरण्यगर्भ अनुष्ठान क्षत्रियत्व प्राप्ति के लिए किया जाता था।
(v) महमूद गजनी ने सोमनाथ मंदिर को लूटा।
उत्तर:
(i) चोल कांस्य प्रतिमाएँ विश्व की सबसे उत्कृष्ट कांस्य प्रतिमाओं में गिनी जाती थीं। ✓
(ii) प्रशस्तियों की रचना राजाओं द्वारा की जाती थी। ✓
(iii) चोल वंश के अभिलेखों में चार सौ प्रकार के करों का उल्लेख मिलता है। ✓
(iv) हिरण्यगर्भ अनुष्ठान क्षत्रियत्व प्राप्ति के लिए किया जाता था। ✗
(v) महमूद गजनी ने सोमनाथ मंदिर को लूटा। ✓

प्रश्न 4.
जोड़े मिलाओ:
(क) वेल्लनग्गाई – (i) ब्राह्मणों को उपहार में दी गई भूमि
(ख) ब्रह्मदेय – (ii) मंदिर को उपहार में दी गई भूमि
(ग) शालाभोग – (iii) गैर ब्राह्ममण किसान स्वामी की भूमि
(घ) देवदान – (iv) जैन संस्थानों को दान दी गई भूमि
(ङ) पल्लिच्चंदम् – (v) किसी विद्यालय के रख-रखाव के लिए दी गई भूमि
उत्तर:
(क) – (iii)
(ख) – (i)
(ग) – (v)
(घ) – (ii)
(छ) – (iv)|

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HBSE 7th Class History नए राजा और उनके राज्य Important Questions and Answers

अति लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
राष्ट्रकूट राजवंश का संस्थापक कौन था? उसने देश के कौन से भाग में राज्य करना शुरू किया?
उत्तर:
दंतिदुर्ग राष्ट्रकूट का संस्थापक था। उसने दक्षिण के कर्नाटक राज्य के एक भाग से शासन शुरू किया।

प्रश्न 2.
कदंब राजवंश की स्थापना किसने और कहाँ की थी?
उत्तर:
राष्ट्रकूटों और चालुक्यों के बाद मयूरशरणम ने कदंब राज्य की स्थापना कर्नाटक में की।

प्रश्न 3.
गुर्जर-प्रतिहार राजवंश का संस्थापक कौन था? उसने कौन से प्रदेश में अपना राज्य स्थापित किया?
उत्तर:
हरिचंद्र नामक एक ब्राह्मण गुर्जर-प्रतिहार राजवंश का संस्थापक था। उसने राजस्थान में अपना राज्य स्थापित किया।

प्रश्न 4.
राष्ट्रकूट काल की एक कलाकृति का उदाहरण दीजिए।
उत्तर:
दक्षिण में एलोरा की गुफा न. 15 में दीवार पर बना एक चित्र (भित्ति चित्र) जिसमें भगवान विष्णु को नरसिंह अर्थात् पुरूष सिंह के रूप में दिखाया गया है (याद रहे इतिहासकार इस कलाकृति को राष्ट्रकूटों की देन मानते हैं।)

प्रश्न 5.
7वीं शताब्दी के राजा अपने सामंतों से क्या अपेक्षा रखते थे?
उत्तर:
7वीं शताब्दी के राजा चाहते थे कि उनके मातहत आने वाले सामंत उनके लिए उपहार लाएँ, उनके दरबार में हाजिरी लगाएँ, उन्हें सैन्य सहायता प्रदान करें।

प्रश्न 6.
सामंत अपने को स्वतंत्र घोषित कब कर देते थे?
उत्तर:
सत्ता व संपदा प्राप्त करने के बाद सामंत स्वयं को स्वतंत्र घोषित कर देते थे।

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लघु उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
चोल राज्य में भूमि अनुदान के साथ कौन-कौन सी चीजें दान में दी जाती थीं?
उत्तर:
फलदार वृक्ष, पानी, भूमि, बगीचे और फलोद्यान, पेड़, कुएँ. खुली जगह, चारागाह, एक गाँव, बाँबी, चबूतरें, नहरें, खाइयाँ, नदियाँ, दलदली जमीन, हौज, अन्नागार, मछलियों के तालाब, मधुमक्खियों के छत्ते और गहरी झीलें आदि वस्तुएँ भूमि अनुदान के साथ दी जाती थी।

प्रश्न 2.
कल्हण द्वारा रचित राजतरंगिनी बारहवीं सदी के लिए एक आसाधरण ग्रंथ क्यों था?
उत्तर:
(क) ‘राजतरंगिनी’ नामक ऐतिहासिक ग्रंथ कल्हण द्वारा रचा गया। यह 12वीं शताब्दी में लिखा गया था। यह बृहत् संस्कृत काव्य है जिसमें कश्मीर पर शासन करने वाले राजाओं का इतिहास दर्ज है। कल्हण ने अपना वृत्तांत लिखने के लिए शिलालेखों, दस्तावेजों, प्रत्यक्षदर्शियों के वर्णनों और पहले के इतिहासों समेत अनेक तरह के स्रोतों का इस्तेमाल किया!

(ख) प्रशस्तियों के लेखकों से भिन्न वह अक्सर शासकों और उनकी नीतियों के बारे में आलोचनात्मक रुख दिखलाता है। इसलिये बारहवीं सदी के लिए यह असाधारण ग्रंथ था।

प्रश्न 3.
चौहानों विशेषकर पृथ्वीराज तृतीय का संक्षिप्त उल्लेख कीजिए।
उत्तर:
(क) 12वीं शताब्दी के भारतीय इतिहास में युद्ध करने वाले दूसरे राजाओं में चाहमान भी थे, जो बाद में चौहान के रूप में जाने गए। वे दिल्ली और अजमेर के आस-पास के क्षेत्र पर शासन करते थे। उन्होंने पश्चिम और पूर्व की ओर अपने नियंत्रण-क्षेत्र का विस्तार करना चाहा, जहाँ उन्हें गुजरात के चालुक्यों और पश्चिमी उत्तर प्रदेश के गहड़वालों से टक्कर लेनी पड़ी।

(ख) चाहमानों का सबसे प्रसिद्ध शासक था पृथ्वीराज तृतीय (1168-1192), जिसने सुल्तान मुहम्मद गोरी नामक अफगान शासक को 1191 में हराया, लेकिन दूसरे ही साल 1192 में उसके हाथों हार गया।

प्रश्न 4.
उदाहरण द्वारा सिद्ध करें कि 8वीं सदी में एक शासक बनने के लिए क्षत्रिय के रूप में पैदा होना महत्त्वपूर्ण नहीं था।
उत्तर:
उस काल में हमारा समाज अनेक जातियों में बंटा था। युद्ध व शक्ति से संबंधित कार्य क्षत्रियों के माने जाते थे। दक्कन के राष्ट्रकूट राजा दंतीदुर्ग ने राष्ट्रकूट राज्य की स्थापना के बाद हिरण्यगर्भ नामक अनुष्ठान करके पुनः क्षत्रियत्व की प्राप्ति की। इसी प्रकार कदव मयूरशर्मण तथा गुर्जर-प्रतिहार हरिचंद्र जो ब्राह्मण थे, उन्होंने परंपरागत पेशे को छोड़कर शस्त्र को अपना लिया व क्रमश: कर्नाटक तथा राजस्थान में अपने राज्य स्थापित किए। उक्त दो उदाहरण स्पष्ट करते हैं कि 8वीं सदी में एक शासक बनने के लिए क्षत्रिय के रूप में पैदा होना महत्त्वपूर्ण नहीं था बल्कि क्षत्रियत्व का गुण होना आवश्यक था।

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दीर्घ उत्तरात्मक प्रश्न

प्रश्न 1.
संघर्ष की दृष्टि से मंदिरों का ऐतिहासिक उल्लेख किस तरह किया जाता है? सुल्तान महमूद गजनवी द्वारा किए भारत पर आक्रमण और एक लाभकारी ऐतिहासिक कार्य का उल्लेख कीजिए।
उत्तर:
1. प्राचीन भारत में अनेक शासकों ने भव्य विशाल मंदिरों का निर्माण करके भगवान के प्रति अपनी श्रद्धा, आस्था, राजनैतिक सत्ता और वैभव संसाधनों का प्रदर्शन करने का प्रयास किया।

2 कुछ गैर-हिंदू राजाओं ने उन मंदिरों को अपने लालच का निशाना बनाया और वहाँ जमा संपदा और बहुमूल्य पदार्थों को लूट लिया। ऐसा ही एक लुटेरा अफगानिस्तान से आने वाला गजनी का सुल्तान महमूद गजनवी था।

3. महमूद ने 997 से 1030 तक शासन किया। उसने अपने राज्य का विस्तार मध्य एशिया के कुछ भागों, ईरान और भारतीय उपमहाद्वीप के उत्तर-पश्चिम के कुछ भागों तक बढ़ाया।

4. कहा जाता है उसने भारत पर 17 बार आक्रमण किए। हर वर्ष वह उपमहाद्वीप पर आक्रमण करता था। महमूद के निशाने थे-समृद्ध मंदिर जिसमें गुजरात का सोमनाथ मंदिर भी शामिल था।

5. महमूद जो धन उठा ले गया उसका बहुत बड़ा हिस्सा गजनी में एक वैभवशाली राजधानी के निर्माण में खर्च हुआ।
एक ऐतिहासिक उपयोगी कार्य: महमूद गजनवी अपने द्वारा जीते गए लोगों के बारे में कई बातें जानना चाहता था और उसने अल-बेरूनी नामक एक विद्वान को इस उपमहाद्वीप का लेखा-जोखा लिखने का काम सौंपा। अरबी में लिखी गई उसकी कृति, ‘किताब-अल-हिन्द’, आज भी इतिहासकारों के लिए एक महत्त्वपूर्ण स्रोत है। अल-बेलनी ने इसे तैयार करने के लिए संस्कृत के विद्वानों से परामर्श किया।

प्रश्न 2.
दक्षिण भारत में चोल राजवंश ने सत्ता कैसे प्राप्त की? इस वंश के कुछ शासकों की उपलब्धियाँ बताइए।
अथवा
चोल वंश से संबंधित उरड्यार से तंजावुर तक की राजनैतिक घटनाओं की चर्चा कीजिए।
उत्तर:
चोल वंश द्वारा सत्ता प्राप्ति:
(i) यह एक महत्त्वपूर्ण ऐतिहासिक प्रश्न है कि दक्षिण भारत के सर्वाधिक शक्तिशाली और महत्त्वपूर्ण रहे राजवंश-चोलवंश ने किस प्रकार से सत्ता प्राप्त की थी। कहा जाता है कावेरी नदी के डेल्टा में मुट्टरियायें नामक प्रसिद्ध एक छोटे से मुखिया परिवार की सत्ता थी। वे कांचीपुरम (वर्तमान तमिलनाडु) के पल्लव नरेशों के अधीन थे।

(ii) उरइयार के चोलवंशीय प्राचीन मुखिया परिवार के विजयालय ने नौवीं सदी के मध्य में मुट्टरियारों को हराकर इस डेल्टा पर कब्जा जमाया। उसने वहाँ तंजावुर शहर और निशुम्भसूदिनी देवी का मंदिर बनवाया।

(iii) विजयालय के उत्तराधिकारियों की उपलब्धियाँ:
(1) विजयालय के उत्तराधिकारियों ने पड़ोसी इलाकों को जीता और उनका राज्य अपने क्षेत्रफल तथा शक्ति, दोनों में बढ़ता गया। दक्षिण और उत्तर के पांड्यन और पल्लव के इलाके इस राज्य का हिस्सा बना लिए गए।

(2) राजाराज प्रथम, जो सबसे शक्तिशाली चोल शासक माना जाता है, 985 में राजा बना और उसी ने इनमें से ज्यादातर क्षेत्रों पर अपने नियंत्रण का विस्तार किया। उसने साम्राज्य के प्रशासन का भी पुनर्गठन किया।

(3) राजाराज के पुत्र राजेंद्र प्रथम ने उसकी नीतियों को जारी रखा और उसने गंगा घाटी, श्रीलंका तथा दक्षिण पूर्व एशिया के देशों पर हमला भी किया। इन अभियानों के लिए उसने एक जल-सेना भी बनाई।

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नए राजा और उनके राज्य Class 7 HBSE Notes in Hindi

1. सुल्तान: अरबी भाषा का शब्द है जिसका अर्थ है शासक।
2. 7वीं से 12वीं शताब्दी के मध्य शासन करने वाले प्रमुख राजवंश:

  • गुर्जर-प्रतिहार
  • राष्ट्रकूट
  • पाल
  • चोल
  • चाहमान (चौहान)।

3. महामंडलेश्वर: पूरे मंडल का महान स्वामी।
4. हिरण्यगर्भ: सोने का गर्भ।
5. प्रशस्तियाँ: कुछ अभिलेखों को प्रशस्तियाँ कहते हैं। प्रायः इनमें नरेशों की स्तुति या बड़ाई की जाती है। इनमें ऐसे ब्यौरे होते हैं जो शब्दशः सत्य नहीं हो सकते।
6. कल्हण: 12वीं शताब्दी का कश्मीर के इतिहास का वृत्तांत देने वाला असाधारण इतिहासकार।
7. त्रिपक्षीय संघर्ष: कन्नौज के लिए गुर्जर-प्रतिहार, राष्ट्रकूट और पाल नामक तीन राजवंशों में सदियों तक चला संघर्ष।
8. अल-बरूनी: महमूद गजनवी के साथ आया विद्वान इतिहासकार और किताब ‘अल-हिंद’ का लेखक।
9. तराइन की पहली लड़ाई: यह लड़ाई पृथ्वीराज तृतीय और सुल्तान मोहम्मद गौरी के मध्य 1191 में हुई जिसमें सुल्तान हारा।
10. तराइन की दूसरी लड़ाई: यह लड़ाई पृथ्वीराज तृतीय और मोहम्मद गौरी के मध्य 1192 में हुई जिसमें गौरी विजयी रहा।
11. उर: चोल राज्य में किसानों की बस्तियाँ।
12. नाडु: तमिल राज्य में गाँव के समूह।
13. वेल्लाल: दक्षिण में धनी किसान।
14. मुवेंदवेलन: यह सम्मानपूर्वक वेलन या किसानों को दी गई धनी भूस्वामियों की उपाधि थी। ये धनी भूस्वामी तीन राजाओं को अपनी सेवाएं देने के लिए राजा के बहुत प्रिय माने गए।
15. अरइयार: गाँव के प्रधानों को यह उपाधि सम्मान के लिए राजा द्वारा दी जाती थी। कई बार केंद्र में उन्हें बड़े भूस्वामियों के साथ-साथ बड़े महत्त्वपूर्ण पद दिए जाते थे।
16. वेल्लनवगाई: यह गैर-ब्राह्मण किसान स्वामी को दी जाने वाली भूमि थी।
17. ब्रह्मदेय: यह ब्राह्मणों को उपहार में दी गई भूमि थी।
18. शालाभोग: यह किसी विद्यालय के रखरखाव के लिए दी गई भूमि थी।
19. देवदान, तिरुनमडुक्कनी: यह मंदिर को उपहार में दी गई भूमि थी।
20. पल्लिचंदम: यह संस्थानों को दान में दी गई भूमि थी।
21. नगरम: यह व्यापारियों के संघ थे जो प्रायः शहरों में प्रशासनिक कार्य किया करते थे।

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